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हरिद्वार भूमि घोटाला: 54 करोड़ के जमीन घोटाले में बड़ी कार्रवाई, DM और SDM समेत कई अफसर निलंबित
3 Jun, 2025 02:00 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
उत्तराखंड: उत्तराखंड में पहली बार ऐसा हुआ है कि सत्ता में बैठी सरकार ने अपने ही सिस्टम में बैठे शीर्ष अधिकारियों पर सीधा और कड़ा प्रहार किया है. हरिद्वार जमीन घोटाले में मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी की ओर से लिए गए निर्णय केवल एक घोटाले के पर्दाफाश की कार्रवाई नहीं, बल्कि उत्तराखंड की प्रशासनिक और राजनीतिक संस्कृति में एक निर्णायक बदलाव का संकेत हैं.
हरिद्वार नगर निगम की ओर से कूड़े के ढेर के पास स्थित अनुपयुक्त और सस्ती कृषि भूमि को 54 करोड़ रुपए में खरीदने के मामले ने राज्यभर में हलचल मचा दी थी. न तो भूमि की वास्तविक आवश्यकता थी, न ही पारदर्शी बोली प्रक्रिया अपनाई गई. शासन के स्पष्ट नियमों को दरकिनार कर एक ऐसा सौदा किया गया जो हर स्तर पर संदेहास्पद था, लेकिन इस बार मामला रफा-दफा नहीं हुआ. मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने इस पूरे प्रकरण की निष्पक्ष जांच कराई और रिपोर्ट मिलते ही तीन बड़े अफसरों के खिलाफ बड़ी कार्रवाई की.
ये तीन अधिकारी नपे
जिन अधिकारियों पर कार्रवाई की गई उनमें हरिद्वार के डीएम कर्मेन्द्र सिंह का भी नाम शामिल है. उनकी भूमि क्रय की अनुमति देने और प्रशासनिक स्वीकृति देने में भूमिका संदेहास्पद पाई गई. हरिद्वार के पूर्व नगर आयुक्त वरुण चौधरी ने बिना उचित प्रक्रिया के भूमि क्रय प्रस्ताव पारित किया और वित्तीय अनियमितताओं में प्रमुख भूमिका निभाई. एसडीएम अजयवीर सिंह की ओर से जमीन के निरीक्षण और सत्यापन की प्रक्रिया में घोर लापरवाही बरती गई, जिससे गलत रिपोर्ट शासन तक पहुंची.
इन तीनों अधिकारियों को वर्तमान पद से हटाया गया है और शासन स्तर पर आगे की विभागीय और दंडात्मक कार्रवाई प्रारंभ कर दी गई है. यह केवल प्रशासनिक निर्णय नहीं, बल्कि भ्रष्टाचार के खिलाफ मुख्यमंत्री की शून्य सहनशीलता की नीति का स्पष्ट प्रमाण है. इसके साथ ही निकिता बिष्ट (वरिष्ठ वित्त अधिकारी, नगर निगम हरिद्वार), विक्की (वरिष्ठ वैयक्तिक सहायक), राजेश कुमार (रजिस्ट्रार कानूनगों), कमलदास (मुख्य प्रशासनिक अधिकारी, तहसील हरिद्वार को भी जमीन घोटाले में संदिग्ध पाए जाने पर तुरंत प्रभाव से निलंबित किया है.
अब तक ये हो चुकी कार्रवाई
जांच अधिकारी नामित करने के बाद इस घोटाले में नगर निगम के प्रभारी सहायक नगर आयुक्त रविंद्र कुमार दयाल, प्रभारी अधिशासी अभियंता आनंद सिंह मिश्रवाण, कर एवं राजस्व अधीक्षक लक्ष्मीकांत भट्ट व अवर अभियंता दिनेश चंद्र कांडपाल को प्रथम दृष्टया दोषी पाए जाने पर निलंबित कर दिया गया था. संपत्ति लिपिक वेदवाल का सेवा विस्तार भी खत्म कर दिया गया था. रिटायर होने के बाद उन्हें सेवा विस्तार दिया गया था. उनके खिलाफ सिविल सर्विसेज रेगुलेशन के अनुच्छेद 351(ए) के प्रावधानों के तहत अनुशासनिक कार्रवाई के लिए नगर आयुक्त को निर्देश दिए गए थे.
अब इस पूरे मामले की जांच विजिलेंस विभाग को सौंपी गई है. धामी सरकार ने यह स्पष्ट कर दिया है कि अब उत्तराखंड में पद नहीं, कर्तव्य और जवाबदेही महत्वपूर्ण हैं. चाहे व्यक्ति कितना भी वरिष्ठ हो, अगर वह जनहित और नियमों की अवहेलना करेगा, तो कार्रवाई निश्चित है. इस ऐतिहासिक निर्णय से उत्तराखंड की जनता को यह संदेश मिला है कि अब भ्रष्टाचारियों की कोई जगह नहीं. सरकार की प्राथमिकता सिर्फ योजनाओं की घोषणा नहीं, बल्कि व्यवस्था की शुद्धि है. इस प्रकार की सख्त कार्रवाई राज्य के अन्य अधिकारियों के लिए भी एक चेतावनी है कि अब लापरवाही और मिलीभगत का युग खत्म हो चुका है.
देश में कोरोना से फिर बढ़ी चिंता, 24 घंटों में 5 मरीजों की मौत; 4 हजार के पार हुए सक्रिय मामले
3 Jun, 2025 01:30 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
दिल्ली: देश में पिछले 24 घंटों के दौरान कोरोना वायरस से पांच लोगों की मौत हो गई है. साथ ही सक्रिय कोविड-19 मामलों की संख्या बढ़कर 4,026 हो गई है. जिन पांच मरीजों की मौत हुई है वे केरल, महाराष्ट्र, तमिलनाडु और पश्चिम बंगाल के हैं. ये सभी मरीज पहले से ही स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं से पीड़ित थे. इस संबंध में स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय की ओर से जानकारी दी गई है. स्वास्थ्य मंत्रालय के अनुसार, इस समय दिल्ली में 393, गुजरात 397, कर्नाटक 311, केरल 1416, महाराष्ट्र 494, यूपी 138, तमिलनाडु 215 और वेस्ट बंगाल में 372 कोरोना के मामले सक्रिय है.
वहीं, कोरोना से केरल में 80 वर्षीय एक व्यक्ति की मौत की सूचना मिली है, जो गंभीर निमोनिया और तीव्र श्वसन संकट सिंड्रोम (ARDS) के साथ-साथ मधुमेह, उच्च रक्तचाप और कोरोनरी धमनी रोग से पीड़ित था. तमिलनाडु में टाइप 2 मधुमेह और पार्किंसंस रोग से पीड़ित 69 वर्षीय महिला ने वायरस के कारण दम तोड़ दिया. पश्चिम बंगाल में एक 43 वर्षीय महिला की मौत की सूचना मिली, जो तीव्र कोरोनरी सिंड्रोम, सेप्टिक शॉक और एक्यूट किडनी इंजरी से पीड़ित थी.
महाराष्ट्र में कोरोना से दो लोगों की मौत
अगर महाराष्ट्र की बात करें तो कोविड से और 2 मौतें हो गई हैं. स्वास्थ्य विभाग के अनुसार, ये मौतें कोल्हापुर और सातरा में हुई हैं. दोनों मरीज अन्य गंभीर बीमारी से जूझ रहे थे. इसी के साथ इस वर्ष राज्य में कोविड से मरने वालों की संख्या 10 हो गई है. राज्य में सोमवार को 59 नए मरीज कोविड 19 के सामने आए, जिनमें मुंबई में 20 मामले पाए गए. इसी के साथ राज्य में कोविड संक्रमित मरीजों की संख्या 873 हो गई है, जिनमें अकेले 483 मरीज मुंबई के हैं. मुंबई में कोविड लगातार बढ़ रहा है. राज्य में अब तक कोविड संक्रमित 369 लोग ठीक भी हो चुके हैं.
कोरोना के नए वेरिएंट के लक्षण
कोरोना वायरस के नए मामलों के बढ़ने की वजह NB.1.8.1 सब-वेरिएंट है, जोकि कोविड-19 का ओमिक्रॉन का वेरिएंट है. भारतीय चिकित्सा अनुसंधान परिषद (ICMR) ने पुष्टि की है कि नया स्ट्रेन तेजी से फैलता है और अत्यधिक परिवर्तनशील है, लेकिन यह हल्की बीमारी का कारण बनता है. सामान्य लक्षणों में बुखार, खांसी, गले में खराश, थकान, सिरदर्द, शरीर में दर्द, नाक बहना और भूख न लगना शामिल हैं. ये वायरस मौसमी फ्लू के समान ही है.
ऑपरेशन सिंदूर: अंतरराष्ट्रीय दौरे के बाद दिल्ली लौटे तीनों बहुपक्षीय प्रतिनिधिमंडल, ओवैसी भी रहे शामिल
3 Jun, 2025 12:30 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
दिल्ली: ऑपरेशन सिंदूर के बारे में दुनिया को भारत का पक्ष समझाने गए तीन बहुपक्षीय प्रतिनिधिमंडल आज देश वापस आ रहे हैं. पहली टीम सुबह 8:45 बजे दिल्ली एयरपोर्ट टी3 पर उतरी. दूसरी टीम दोपहर 2:45 बजे और तीसरी टीम रात 9:50 बजे उतरेगी. 8.45 बजे बीजेपी सांसद बैजयंत पांडा की टीम पहुंची. इसी के साथ बैजयंत पांडा के नेतृत्व में सर्वदलीय प्रतिनिधिमंडल के सदस्य और एआईएमआईएम सांसद असदुद्दीन ओवैसी अल्जीरिया, सऊदी अरब, कुवैत और बहरीन की यात्रा पूरी करने के बाद हैदराबाद पहुंच गए हैं.
बता दें कि इन प्रतिनिधिमंडलों ने आतंकवाद के खिलाफ भारत की निरंतर लड़ाई को प्रदर्शित करने के लिए प्रमुख साझेदार देशों का दौरा किया था. विदेश से लौटने पर सर्वदलीय प्रतिनिधिमंडलों के सदस्यों के प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी से मुलाकात करने की संभावना है. सूत्रों ने बताया कि जयशंकर प्रतिनिधिमंडल से अलग-अलग मिल सकते हैं, जबकि प्रधानमंत्री मोदी के उनसे एकसाथ मिलने की संभावना है
पहलगाम आतंकी हमले के बाद शुरू हुआ था ऑपरेशन सिंदूर
बता दें कि आतंकियों द्वारा 22 अप्रैल को पहलगाम में किए गए आतंकवादी हमले के बाद ही ऑपरेशन सिंदूर शुरू किया गया था. ऑपरेशन सिंदूर के तहत भारतीय सेना ने पाकिस्तान में स्थित 9 आतंकी ठिकानों को निशाना बनाया था. इसके बाद पाकिस्तान की ओर से किए गए ड्रोन मिसाइल हमलों का भी भारत ने मुंहतोड़ जवाब दिया था.
33 देशों का किया था दौरा
इन प्रतिनिधिमंडलों ने अमेरिका, यूरोप, मध्य पूर्व, अफ्रीका और पूर्वी एशिया जैसे क्षेत्रों में कुल 33 देशों का दौरा किया.
5 साल से पाकिस्तानी नेटवर्क से जुड़ा था गगनदीप, ISI एजेंट को दे रहा था खुफिया जानकारी
3 Jun, 2025 12:00 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
पंजाब: जासूसी मामले में पंजाब पुलिस को बड़ी सफलता मिली है. पाकिस्तान के लिए जासूसी करने वाले एक और शख्स को पुलिस ने गिरफ्तार किया है. पंजाब पुलिस ने पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी ISI के लिए जासूसी करने वाले गगनदीप सिंह उर्फ गगन को तरनतारन से गिरफ्तार किया है. उस पर देश की सेना से जुड़ी खुफिया जानकारी पाकिस्तान भेजने का आरोप है.
ऑपरेशन सिंदूर के दौरान खुफिया जानकारी की लीक
पंजाब पुलिस ने खुलासा किया है कि पाकिस्तान में मौजूद खालिस्तानी आतंकी गोपाल सिंह चावला ISI के साथ मिलकर भारत में जासूसी का रैकेट चला रहा है. उसी के इशारे पर आरोपी गगनदीप ने पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी और खालिस्तानी आतंकी गोपाल सिंह चावला को भारतीय सेना से जुड़ी खुफिया जानकारी और आर्मी की मूवमेंट की जानकारी ऑपरेशन सिंदूर के दौरान लीक की थी.
पाकिस्तान को भेजी आर्मी डिप्लॉयमेंट की जानकारी
गगनदीप इंडियन आर्मी के डिप्लॉयमेंट और लोकेशन की जानकारी पाकिस्तान को भेज रहा था. ये भी पता चला है कि गगनदीप खालिस्तानी आतंकी गोपाल सिंह चावला के साथ पिछले 5 साल से संपर्क में था. चावला ने ही गगनदीप का संपर्क ISI एजेंट के साथ करवाया था. खुफिया जानकारी के बदले ISI एजेंट ने गगनदीप को पैसे भी भेजे थे. उसके मोबाइल से ISI एजेंट के 20 कॉन्टेक्ट नंबर भी पुलिस को मिले हैं.
देश में छिपे जासूसों पर शिकंजा कसना जारी
बता दें कि देश में छिपे जासूसों पर पिछले काफी दिनों से शिकंजा कसा जा रहा है. ज्योति मल्होत्रा की गिरफ्तारी के बाद से देश के अलग-अलग हिस्सों से अब तक न जाने कितने जासूस पकड़े जा चुके हैं. पंजाब, हरियाणा, महाराष्ट्र, यूपी, गुजरात, दिल्ली, राजस्थान समेत कई जगहों से जासूसों को गिरफ्तार किया जा चुका है.
देश से धोखा, अब पकड़ा गया जासूस
अब पंजाब से गगनदीप नाम के शख्स को पकड़ा गया है, जो पैसे लेकर सेना की खुफिया जानकारी पाक को भेज रहा था. ऑपरेशन सिंदूर के समय जब पूरा देश एक सुर में पाकिस्तान को सबक सिखाने की मांग कर रहा था तब पंजाब में बैठा गगनदीप अपने ही देश की जानकारी दुश्मन को भेजकर अपनी जेब गरम कर रहा था. अब वह पुलिस के शिकंजे में है.
लाचेन में भूस्खलन की चपेट में आया सेना का कैंप, तीन जवान शहीद
2 Jun, 2025 07:00 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
सिक्किम: सिक्किम के लाचेन में सेना के एक शिविर में भूस्खलन होने से तीन सैन्यकर्मियों की मौत हो गई है. जबकि छह सैनिक अभी भी लापता हैं. सोमवार को एक रक्षा अधिकारी ने बताया कि लापता सैनिकों के लिए बचाव अभियान जारी है. बचाव दल बेहद चुनौतीपूर्ण इलाके और प्रतिकूल मौसम की स्थिति में लगातार काम कर रहे हैं. अधिकारी ने बताया कि मंगन जिले के लाचेन नगर में भारी बारिश के कारण यह भूस्खलन रविवार शाम करीब सात बजे हुआ.
इस भयावह भूस्खलन ने आर्मी कैंप को अपनी चपेट में ले लिया. भूस्खलन के बाद भारतीय सेना ने तुरंत बचाव अभियान शुरू किया. अब तक चार लोगों को मामूली चोटों के साथ बचा लिया गया है. जबकि तीन बहादुर सैनिक – हवलदार लखविंदर सिंह, लांस नायक मनीष ठाकुर और पोर्टर अभिषेक लखाड़ा इस आपदा में शहीद हो गए. बयान के अनुसार, तीनों के शव बरामद कर लिए गए हैं, रेस्क्यू ऑपरेश जारी है.
सेना के आधिकारिक बयान में क्या कहा?
भारतीय सेना ने इस आपदा में जान गंवाने वाले सैनिकों को श्रद्धांजलि दी है. सेना के आधिकारिक बयान में कहा गया है, ‘भारतीय सेना इस दुर्भाग्यपूर्ण घटना में जान गंवाने वाले बहादुरों के परिवारों के प्रति अपनी गहरी संवेदना व्यक्त करती है. इस दुख की घड़ी में शोक संतप्त परिवारों को आवश्यक सहायता प्रदान करने का हर संभव प्रयास किया जा रहा है.’ इसमें कहा गया है कि भारतीय सेना अपने सभी कर्मियों की सुरक्षा और भलाई सुनिश्चित करने की अपनी प्रतिबद्धता में दृढ़ है, प्रकृति के प्रकोप के बावजूद भी अपनी अडिग भावना और कर्तव्य के प्रति समर्पण का प्रदर्शन करती है. भारतीय सेना ने प्रतिकूल परिस्थितियों का सामना करते हुए अद्वितीय प्रतिबद्धता और लचीलेपन का प्रदर्शन करते हुए तुरंत बचाव अभियान शुरू किया.
जयपुर टाउन हॉल विवाद: सुप्रीम कोर्ट ने राजघराने से कहा, "फिर तो पूरा जयपुर आपका हो जाएगा"
2 Jun, 2025 06:00 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
दिल्ली: जयपुर राजघराने की याचिका पर सुप्रीम कोर्ट में सोमवार को सुनवाई हुई. जयपुर के ऐतिहासिक टाउन हॉल (पुरानी विधानसभा) को लेकर चल रहे विवाद में सुप्रीम कोर्ट ने राजमाता पद्मिनी देवी समेत जयपुर राजपरिवार के सदस्यों की याचिका पर राज्य सरकार को नोटिस जारी किया. राजस्थान हाईकोर्ट ने इसे सरकारी संपत्ति मानते हुए राजघराने के दावों को खारिज कर दिया था. राजघराने के सदस्यों ने हाईकोर्ट के फैसले को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी है. टाउन हॉल के अलावा चार मुख्य इमारतों को भी सरकारी संपत्ति घोषित किया गया है. सुप्रीम कोर्ट में जस्टिस प्रशांत कुमार मिश्रा और जस्टिस ऑगस्टिन जॉर्ज मसीह की बेंच ने राज्य सरकार से कहा कि जब तक मामला अदालत में लंबित है तब तक कार्रवाई को आगे नहीं बढ़ाया जाए. मामले पर अब दो महीने बाद सुनवाई होगी.
याचिकाकर्ता के वकील की दलील पर क्या बोला कोर्ट
याचिकाकर्ताओं के वकील वरिष्ठ अधिवक्ता हरीश साल्वे ने दलील दी कि यह मामला कानूनी पेचीदगियों से भरा हुआ है. उन्होंने इस मामले में संविधान के अनुच्छेद 362 और 363 में पूर्व शासकों और रजवाड़ों के विशेषाधिकार का जिक्र किया
हरीश साल्वे ने जोर दिया कि रजवाड़ों के विभिन्न कॉन्ट्रेक्ट हैं और आप इन राज्यों के इतिहास को तो जानते हैं. यह एक संधि तब हुई थी जब संघ तो पक्ष भी नहीं था, यह तो जयपुर और बीकानेर जैसे शासकों के बीच हुई थी.
टाउन हॉल मामले में 6 हफ्ते की मोहलत मंजूर
इस पर कोर्ट ने कहा कि तो आप भारत संघ को बिना पक्ष बनाए कैसे किसी संपत्ति का विलय कर सकते हैं? ऐसे में तो पूरा जयपुर आपका हो जाएगा. अगर ऐसा होता है तो राजस्थान का हर शासक सभी सरकारी संपत्तियों पर अपना दावा करेगा. ये रियासतें कहेंगी कि सारी संपत्तियां उनकी ही हैं. कोर्ट ने कहा कि अगर आप कहते हैं कि भारत संघ इस कॉन्ट्रेक्ट का पक्षकार नहीं था तो संविधान का अनुच्छेद 363 भी लागू नहीं होगा.राजघराने के पक्षकार साल्वे ने कहा कि हम यथास्थिति चाहते हैं. राज्य के वकील ने जवाब देने के लिए 6 सप्ताह की मोहलत मांगी है और दलील दी कि कोई अंतरिम आदेश पारित नहीं किया जाए. कोर्ट ने नोटिस जारी किया जिसे राज्य के वकील ने स्वीकार कर लिया है.
आखिर क्या है पूरा मामला?
साल 1949 में महाराजा सवाई मानसिंह द्वितीय और भारत सरकार के बीच हुए समझौते के तहत टाउन हॉल समेत कुछ संपत्तियां सरकारी उपयोग के लिए दी गई थीं. इसके बाद जब साल 2022 में गहलोत सरकार के ने जब संपत्ति पर म्यूजियम बनाने का फैसला किया तो शाही परिवार ने आपत्ति जताई. 2014 से 2022 तक कई नोटिस और शिकायतों के बावजूद कोई समाधान नहीं निकला. इसके बाद शाही परिवार ने सिविल कोर्ट में मुकदमा दायर कर संपत्ति पर कब्जा, रोक और मुआवजे की मांग की. राज्य सरकार ने अनुच्छेद 363 का हवाला देकर मुकदमा खारिज करने की मांग की, जिसे ट्रायल कोर्ट ने ठुकरा दिया. लेकिन हाईकोर्ट ने ट्रायल कोर्ट के फैसले को पलट दिया था. इसके बाद हाईकोर्ट ने राज्य सरकार के हक में फैसला सुनाया था. हाईकोर्ट के फैसले को राजघरानों के सदस्यों ने सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी है.
दशकों पुरानी परंपरा को मिली सेना की मंजूरी, रेड रोड पर होगी ईद की नमाज
2 Jun, 2025 04:00 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
कोलकाता: कोलकाता के रेड रोड यानी इंदिरा गांधी सरणी पर ईद-उल-अज़हा की सामूहिक नमाज की अनुमति सेना ने दे दी है. सेना ने एक दिन पहले ही परमिशन कैंसिल कर दी थी. तभी से ये कयास लगाए जा रहे थे कि मुस्लिम समाज अनुमति लेने के लिए कोर्ट जा सकता है. हालांकि सेना ने अपने ट्रेनिंग कार्यक्रम बदलाव करते हुए नमाज की परमिशन दे दी है.
कोलकाता के रेड रोड पर दशकों से यह नमाज होती आ रही है और इसे सांप्रदायिक सौहार्द का प्रतीक माना जाता रहा है. मुख्यमंत्री बनने के बाद ममता बनर्जी भी हर साल ईद-उल-अज़हा की नमाज़ के दौरान मौजूद रहती हैं. पश्चिम बंगाल सबसे ज्यादा लोग एक साथ इसी रेड रोड पर नमाज पढ़ते हैं. रेड रोड पर नमाज की अनुमति से कुछ महीने पहले कुछ हिंदूवादी संगठनों ने भी एक कार्यक्रम इजाजत मांगी थी. हालांकि उस सेना और कोर्ट दोनों ने ही इजाजत देने से इंकार कर दिया था.
बातचीत से सुलझा मामला
सोमवार को बताया कि सेना के अधिकारियों ने इस हफ्ते के अंत में ईद-उल-अजहा की नमाज के लिए रेड रोड पर अपने प्रशिक्षण कार्यक्रम में थोड़ा बदलाव करने का फैसला किया है. पश्चिम बंगाल के मंत्री जावेद अहमद खान ने कहा कि हालांकि सेना की अपनी व्यस्तताओं के कारण अनुमति को लेकर कुछ समस्या थी, लेकिन आयोजकों और रक्षा अधिकारियों के बीच विचार-विमर्श के जरिए मामले को सुलझाया जा रहा है.
नमाज के लिए सेना ने बदला अपना कार्यक्रम
सूत्रों ने बताया कि सेना के अधिकारियों ने यहां रेड रोड पर ईद की नमाज के लिए दशकों पुरानी परंपरा को ध्यान में रखते हुए नमाज के लिए अपने प्रशिक्षण कार्यक्रम में थोड़ा बदलाव करने का फैसला किया है. रेड रोड, जो एक रक्षा संपत्ति है, शहर के बीचों-बीच मैदान क्षेत्र से होकर गुजरती है, जो पूर्वी कमान मुख्यालय फोर्ट विलियम के बगल में है. यहां होने वाली नमाज में एक साथ लोगों लोग शामिल होते हैं.
6 साल में पहली बार G7 में नहीं दिखेंगे पीएम मोदी, क्या कनाडा बना वजह?
2 Jun, 2025 03:00 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
दिल्ली: 6 सालों में ऐसा पहली बार होगा जब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी G7 सम्मेलन में शामिल नहीं होंगे. 15 जून से 17 जून के बीच कनाडा के अल्बर्ट में G7 देशों की बैठक होगी, लेकिन अभी तक आधिकारिक तौर पर भारत को आमंत्रण नहीं आया है. हालांकि, इसकी भी पूरी संभावना है कि प्रधानमंत्री मोदी कनाडा नहीं जाएंगे. खासतौर पर तब जब भारत को अभी भी यकीन नहीं है कि कनाडा की नई सरकार खालिस्तानी अलगाववादियों के बारे में उसकी चिताओं को लेकर बात सुनेगी.
एक के अनुसार G7 के लिए कनाडा के स्पोक्सपर्सन ने इस बात की पुष्टि नहीं की कि भारत को सम्मेलन के लिए आमंत्रित किया जाएगा. रिपोर्ट में कहा गया कि अगर कनाडा की तरफ से अंतिम समय पर आमंत्रण भेजा जाता है तो इसकी संभावना बहुत कम है कि भारत उस पर विचार करेगा क्योंकि एक तो खालिस्तानी अलगाववादियों की ओर से पीएम मोदी की यात्रा को बाधित किए जाने की आशंका है और दूसरा दोनों देशों के बीच करीब दो साल से रिश्ते बेहद तानवपूर्ण हो चुके हैं.
साल 2023 से भारत और कनाडा के बीच तनाव काफी बढ़ गया है, जिसके चलते पूर्व कनाडाई पीएम जस्टिन ट्रूडो ने भारत को लेकर काफी तल्ख रवैया भी अपनाया था. इस साल अल्बर्ट के कनानसकिस में कनाडा G7 समिट का आयोजन करने वाला है. कनाडा ने गेस्ट लिस्ट को लेकर कोई ऐलान नहीं किया है कि उसने किस-किस को आमंत्रित किया है, लेकिन कनेडियन मीडिया में कई रिपोर्ट्स हैं कि दक्षिण अफ्रीका, यूक्रेन, ऑस्ट्रेलिया और ब्राजील को आधिकारिक निमंत्रण भेजा जा चुका है.
G7 में कनाडा, फ्रांस, जर्मनी, इटली, जापान, यूनाइटेड किंगडम और संयुक्त राज्य अमेरिका सदस्य देश हैं. इस साल समिट में यूरोपियन यूनियन और कई और देशों के शामिल होने की उम्मीद की जा रही है. भारत और कनाडा में तनाव के बीच प्रधानमंत्री मोदी के G7 में जाने को लेकर कोई जानकारी नहीं है. हालांकि, कई रिपोर्ट में कहा गया है कि खालिस्तानी अलगाववादियों को लेकर भारत की चिंता के चलते पीएम मोदी वहां नहीं जाएंगे.
साल 2023 से दोनों देशों के बीच काफी दूरियां आ चुकी हैं. तत्काल ट्रूडो सरकार ने खालिस्तानी आतंकी हरदीप सिंह निज्जर की हत्या में भारत का हाथ होने का आरोप लगाया था, जिसके आज तक कोई सबूत उसने नहीं दिए. हालांकि, भारत सरकार ने उनके इन आरोपों को खारिज कर दिया था. अब देखना ये है कि क्या नए कनाडाई प्रधानमंत्री मार्क कार्ने की सरकार भारत के साथ रिश्तों को सुधारने की कोशिश करेगी और खालिस्तानी अलगाववादियों को लेकर उसकी चिंताओं पर गौर करती है या नहीं.
JEE Advanced Result 2025: एलन कोटा के राजित गुप्ता ने किया टॉप, सक्षम जिंदल को मिला दूसरा स्थान
2 Jun, 2025 02:01 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
देश की सबसे बड़ी और प्रतिष्ठित इंजीनियरिंग परीक्षा जेईई एडवांस्ड का परिणाम जारी हो गया है, जिसमें एक बार फिर शिक्षा की काशी कोटा ने टॉप किया है. परीक्षा परिणाम में पूरे देश में शिक्षा नगरी का डंका बजा है. कोटा से राजित गुप्ता ने ऑल इंडिया पहली रैंक हासिल की है. राजित मूल रूप से कोटा के महावीर नगर इलाके के निवासी है. उन्होंने अपनी सफलता का श्रेय अपने परिवार और कोचिंग संस्थान को दिया है. वहीं दूसरे नंबर पर सक्षम जिंदल ने जगह बनाई है. इसी तरह अक्षत चौरसिया ने ऑल इंडिया छठी रैंक और देवेश पंकज ने ऑल इंडिया 8वीं रैंक हासिल की है. वहीं टॉप 50 और टॉप 100 में भी कोटा का ने वर्चस्व कायम किया है.
खुशी' मेरी सफलता की कुंजी
पहली रैंक हासिल करने वाले राजित ने जेईई मेन 2025 में 100 पर्सेंटाइल हासिल कर ऑल इंडिया में 16वीं रैंक बनाई थी. राजित के टॉपर आने के बाद पूरे परिवार में खुशी की लहर है. अपनी सफलता पर राजित ने बताया, ‘खुशी मेरी सफलता की कुंजी है. मैं हर स्थिति में खुश रहता हूं. मैं पढ़ाई के लिए कभी भी सख्त शेड्यूल का पालन नहीं करता था, क्योंकि इससे अनावश्यक दबाव बनता है. इसलिए मैं तभी पढ़ता था जब मेरा मन करता था, लेकिन मैं जितने समय भी पढ़ता था, अच्छी तरह से पढ़ता था’.
राजित कोटा के स्थानीय निवासी है. उन्होंने इससे पूर्व जेईई मेन जनवरी सेशन में 100 परसेन्टाइल एवं जेईई मेन अप्रैल सेशन में भी ऑल इंडिया रैंक 16 हासिल की थी. राजित ने 10वीं कक्षा 96.8% अंकों से उत्तीर्ण की थी. राजित ने बताया कि पढ़ाई के दौरान सबसे ज्यादा फोकस रहता था कि गलतियों को रिपीट नहीं करूं, क्योंकि गलतियां दूर होने से ही आपकी सब्जेक्ट में नींव मजबूत होती है. डाउट्स क्लीयर होने के बाद ही वे टॉपिक में आगे पढ़ते थे.
पिता की भी आई थी अच्छी रैंक
राजित के पिता दीपक गुप्ता बीएसएनएल में उपमंडल अभियंता हैं. उनकी मां डॉ.श्रुति अग्रवाल जेडीबी कॉलेज में होम साइंस सब्जेक्ट की प्रोफेसर हैं. राजित के पिता ने 1994 में आरपीईटी में 48वीं रैंक हासिल की थी. राजित के पिता दीपक ने बताया कि हमारे समय में आईआईटी का उतना क्रेज नहीं था. उस समय राजस्थान में तीन ही इंजीनियरिंग कॉलेज थे इसलिए आरपीईटी काफी प्रतिष्ठित एग्जाम माना जाता था. कोटा इंजीनियरिंग कॉलेज से बीटेक की, फिर एनआईटी प्रयागराज (उस समय इलाहबाद) से एमटेक की. फिलहाल बीएसएनएल में उपखंड अभियंता हूं.
कोटा के माहौल से मिली सफलता
वहीं दूसरी रैंक पर आने वाले हिसार के सक्षम जिंदल हैं. वे अपनी सफलता का श्रेय कोटा के माहौल को देते हैं. उनके पिता डॉ.उमेश जिंदल पैथोलॉजिस्ट और मां अनीता जिंदल फिजियोथैरेपिस्ट हैं. सक्षम जिंदल का कहना है कि जेईई जैसी प्रतियोगी परीक्षा की तैयारी निश्चित ही चुनौतीपूर्ण होती है, लेकिन जब समर्पण, स्पष्ट उद्देश्य और सशक्त मार्गदर्शन साथ हो, तो कोई भी लक्ष्य असंभव नहीं रहता. उनका कहना है कि कोटा का चयन जेईई की तैयारी के लिए करना कॅरियर के लिए टर्निंग पॉइंट साबित हुआ’.
सक्षम पिछले दो साल से कोटा के क्लासरूम स्टूडेंट हैं. उसने जेईई मेन जनवरी में 100 परसेन्टाइल स्कोर किए थे एवं जेईई मेन अप्रैल सेशन में भी ऑल इंडिया रैंक 10 हासिल की थी. सक्षम ने इससे पहले 10वीं कक्षा 98% अंकों से उत्तीर्ण की है. जबकि इसी वर्ष उसने जेईई एडवांस्ड क्रेक करने के साथ-साथ 12वीं कक्षा भी 96.4% अंकों से पास की है. सक्षम क्रिकेट में अण्डर 14 डिस्ट्रिक्ट लेवल पर खेल चुके हैं. क्रिकेट में कॅरियर बनाने के सवाल पर सक्षम ने बताया कि वे इस फील्ड में जाना चाहते थे, लेकिन कोविड के दौरान प्रेक्टिस बंद हो गई थी फिर उनका फोकस पूरी तरह से पढ़ाई पर हो गया था.
मां-पिता ने हमेशा फ्रीडम दी
सक्षम ने बताया कि माता-पिता दोनों डॉक्टर हैं. उन्होनें हमेशा फ्रीडम दी. मुझे वही करने दिया जिसमें मेरा मन है. उनकी वजह से ही बिना किसी दबाव के पढ़ सका और इसी वजह से ही जेईई एडवांस्ड में इतनी बड़ी सफलता हासिल कर सका. गणित शुरु से ही सक्षम का पसंदीदा विषय रहा है इसलिए उन्होंने इसमें ही कॅरियर बनाने का सोचा. उनका आईआईटी मुंबई में जाने का सपना था जो कि अब साकार होने जा रहा है. उनका कहना है कि कोटा के माहौल का भी पूरा सहयोग रहा. कोटा में हर कोई एक-दूसरे को सफलता प्राप्त करने के लिए प्रेरित करता है. सक्षम ने बताया कि पूरी कोशिश रहती थी कि हर विषय को गहराई से समझूं. सवालों का अभ्यास बार-बार करता था. इससे विश्वास मजबूत हुआ. जेईई मेन में एनसीईआरटी सिलेबस के अलावा अन्य किसी रेफरेंस बुक या मैटेरियल की जरूरत नहीं होती.
एमपी के माजिद हुसैन तीसरे नंबर पर
जेईई एडवांस्ड 2025 में बुरहानपुर के माजिद हुसैन ने ऑल इंडिया तीसरी रैंक हासिल की. पहले प्रयास में मिली इस सफलता से पूरे मध्यप्रदेश में खुशी की लहर है. स्कूल और प्रशासन ने उनका सम्मान किया. माजिद ने सफलता का श्रेय परिवार व शिक्षकों को दिया और सॉफ्टवेयर इंजीनियर बनने का सपना साझा किया. जब माजिद से पूछा गया कि आपने इस एग्जाम को क्रैक करने के लिए किस तरह से तैयारी की थी. तब उन्होंने बताया कि उनकी तैयारी तो एडवांस एग्जाम के लिए शुरू से ही जारी थी. इसके लिए सबसे ज्यादा जरूरी था कि, सब कुछ रिवाइस किया जाए. इसके लिए फाइनल एग्जाम के पैटर्न को पूरी तरह से एनालाइज करना था. और फिर एग्जाम की तैयारीयों के लिए जो चीजें चाहिए होती हैं, उनके हिसाब से खुद को भी एडजस्ट किया.
बेंगलुरु में विराट कोहली के पब 'वन8 कम्यून' पर सीओटीपीए उल्लंघन पर FIR दर्ज
2 Jun, 2025 02:00 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
बेंगलुरु: विराट कोहली के स्वामित्व वाले पब 'वन8 कम्यून' के खिलाफ पुलिस ने मामला दर्ज किया है. बेंगलुरु के रत्नम कॉम्प्लेक्स की छठी मंजिल पर स्थित इस पब के खिलाफ सिगरेट और अन्य तंबाकू उत्पाद अधिनियम-2003 (सीओटीपीए) के तहत मामला दर्ज किया गया है. ये मामला स्मोकिंग जोन निर्धारित न करने को लेकर है. पुलिस को शिकायत मिली थी कि 'वन8 कम्यू' न पब में स्मोकिंग जोन के नियमों का उल्लंघन हो रहा है. कब्बन पार्क पुलिस ने सीओटीपीए अधिनियम के उल्लंघन के लिए स्वतः संज्ञान लेते हुए मामला दर्ज किया है.
सिगरेट और तंबाकू उत्पाद अधिनियम के तहत मामला दर्ज
पब पर सिगरेट और अन्य तंबाकू उत्पाद अधिनियम की धारा 4 और 21 के तहत मामला दर्ज किया गया है. सीओटीपीए अधिनियम के तहत सार्वजनिक स्थानों पर धूम्रपान के लिए सख्त नियम निर्धारित किए गए हैं, जिनका पालन न करना कानूनी अपराध की श्रेणी में आता है. 'वन8 कम्यून' विराट कोहली के स्वामित्व वाली पब चेन है, जिसकी दिल्ली, मुंबई, पुणे, कोलकाता और बेंगलुरु जैसे प्रमुख शहरों में ब्रांच हैं. 'वन8 कम्यून' पहले भी मुश्किल में पड़ चुका है. जून 2024 में निर्धारित समय से अधिक समय तक संचालन करने के लिए एफआईआर दर्ज की गई थी. उस वक्त पाया गया था कि पब रात 1 बजे के बाद भी खुला था और ग्राहकों को सर्व कर रहा था.
कोहली की टीम फाइनल में पंजाब से भिड़ेगी
इसके बाद दिसंबर 2024 में ग्रेटर बेंगलुरु महानगर पालिका (बीबीएमपी) ने पब को फायर सेफ्टी रूल्स के उल्लंघन के लिए नोटिस जारी किया था. विराट कोहली इन दिनों आईपीएल-2025 में व्यस्त हैं. कोहली रॉयल चैलेंजर्स बेंगलुरु का हिस्सा हैं, जिसने इस सीजन के फाइनल में अपनी जगह बनाई है. नौ साल बाद ये टीम खिताबी मैच में उतरेगी. 3 जून को अहमदाबाद के नरेंद्र मोदी स्टेडियम में आरसीबी का सामना पंजाब किंग्स से होगा. दोनों ही टीमें अब तक एक भी बार आईपीएल खिताब नहीं जीती है. ऐसे में फैंस को इस बार एक नया विजेता मिलेगा.
अन्ना यूनिवर्सिटी रेप केस: आरोपी ज्ञानशेखरन को 30 साल की सजा, 11 धाराओं में पाया गया दोषी
2 Jun, 2025 01:58 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
चेन्नई: चेन्नई की अन्ना यूनिवर्सिटी में रेप मामले में महिला कोर्ट का फैसला सामने आ चुका है. अदालत ने दोषी ज्ञानशेखरन को 30 साल कारावास की सजा सुनाई है. इसके साथ ही 90,000 रुपये का जुर्माना भी लगाया है. यहां साल 2024 के दिसंबर महीने में यूनिवर्सिटी की 19 वर्षीय छात्रा के साथ कैंपस में ही बिरयानी बेचने वाले शख्स ने रेप किया. जज ने दोनों पक्षों को सुनने के बाद सजा आज 2 जून फैसला सुनाया है.
90 हजार रुपये जुर्माना
चेन्नई महिला अदालत की तरफ से अन्ना विश्वविद्यालय रेप केस में आरोपी ए ज्ञानसेकरन को कम से कम 30 साल के लिए आजीवन कारावास और 90,000 रुपये के जुर्माने की सजा सुनाए जाने पर, आरोपी के वकील ने कहा, “अदालत ने अन्ना विश्वविद्यालय बलात्कार मामले में ज्ञानसेकरन को सभी 11 धाराओं में आरोपी पाया है.”
कोर्ट ने पिछले हफ्ते ही आरोपी को दोषी करार दिया था और आज सजा का ऐलान किया गया है. आरोपी को बिना किसी छूट के 30 साल की सजा सुनाई गई है. उस पर 90,000 रुपये का जुर्माना भी लगाया गया है, जो पीड़िता को मिलेगा. आरोपी के वकील ने कहा कि हमारे पास बेहतर अपील करने का मौका है. अदालत से दस्तावेज मिलने के बाद, हम ऊपरी अदालत में अपील करेंगे.
क्या है पूरा मामला?
दिसंबर 2024 में तमिलनाडु की राजधानी चेन्नई की अन्ना यूनिवर्सिटी इस समय सुर्खियों में थी. इसकी वजह 19 साल छात्रा के साथ कैंपस में ही बिरयानी बेचने वाले एक शख्स ने रेप किया था. आरोपी की पहचान ज्ञानशेखरन के रूप में हुई थी. उस छात्रा के साथ हुई दरिंदगी को लेकर विपक्षी दलों ने स्टालिन सरकार को निशाने पर लिया था. छात्रा ने अपनी शिकायत में बताया था कि आरोपी ज्ञानशेखरन ने पहले वीडियो बनाया और बाद में उसके साथ रेप किया था. जांच में यह भी पता चला कि ज्ञानशेखरन आदतन अपराधी है. उसके खिलाफ पहले से ही 15 केस दर्ज हैं. इससे पहले भी वह रेप की घटना को अंजाम दे चुका है.
बाटला हाउस में बुलडोजर कार्रवाई पर सुप्रीम कोर्ट की सुनवाई शुरू, नोटिस तक सीमित रहेगा आदेश
2 Jun, 2025 01:30 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
दिल्ली: नई दिल्ली के बाटला हाउस में बुलडोजर कार्यवाही के खिलाफ याचिका पर सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई शुरू हो गई है.सुप्रीम कोर्ट के समक्ष वरिष्ठ अधिवक्ता संजय हेगड़े ने अदालत के एक आदेश का जिक्र किया. इस पर सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि हमें अपना आदेश पता है. छुट्टियों के दौरान हम ये सब नहीं करेंगे. हम नोटिस जारी कर सकते हैं लेकिन और कोई आदेश नहीं देंगे. हेगड़े ने कहा कि तब तो कार्यवाही हो जाएगी. इस पर सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि आप अपने मुवक्किल से निर्देश लेकर बताएं. हम मामले को पास ओवर कर रहे हैं.
बता दें कि बाटला हाउस में मौजूद कई दुकानों और मकानों पर यूपी इरिगेशन की तरफ से अवैध निर्माण के मामले में नोटिस लगाया गया है. याचिका दायर करने वालों की दलील है कि कोर्ट ने कहा था कि 15 दिन का नोटिस चाहिए, लेकिन यहां एक नोटिस चिपकाया गया है और बेदखल करने की कोशिश हो रही है. इस मामले में 26 मई को नोटिस दिया गया था. जामिया और ओखला के इन मकानों को हटाने का नोटिस डीडीए यानी दिल्ली डिस्ट्रिक्ट काउंसिल ने जारी किया है. सुप्रीम कोर्ट में इसी पर सुनवाई हो रही है.
ऑपरेशन सिंदूर: 2000+ अवैध बांग्लादेशी प्रवासी देश से बाहर, केंद्र की बड़ी कार्रवाई
2 Jun, 2025 12:00 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
Operation Sindoor: केंद्र सरकार द्वारा 7 मई को शुरू किए गए “ऑपरेशन सिंदूर” के तहत अब तक 2,000 से अधिक कथित अवैध बांग्लादेशी प्रवासियों को भारत से बाहर भेजा जा चुका है। यह जानकारी इंडियन एक्सप्रेस को दिए गए एक आधिकारिक बयान में सरकारी सूत्रों ने दी। देशव्यापी दस्तावेज सत्यापन अभियान के बाद इन प्रवासियों को सीमा पार बांग्लादेश भेजा गया है। वर्तमान में चल रहे इस अभियान से स्पष्ट है कि केंद्र सरकार अवैध प्रवास के मुद्दे पर सख्त रुख अपनाए हुए है और अन्य राज्यों में भी शीघ्र ही कार्रवाई की तैयारी है।
2,000 से अधिक अवैध बांग्लादेशी वापस भेजे गए
सूत्रों के मुताबिक, इस कार्रवाई के कारण पैदा हुए भय के चलते बड़ी संख्या में अप्रवासी खुद ही भारत-बांग्लादेश सीमा के पास पहुंचे हैं और स्वेच्छा से देश छोड़ रहे हैं। अब तक करीब 2,000 लोगों ने बिना किसी औपचारिक कार्रवाई के खुद सीमा पार कर ली है।
तीन पूर्वोत्तर राज्यों में केंद्र की मुहिम
ऑपरेशन सिंदूर का दायरा मुख्यतः त्रिपुरा, मेघालय और असम जैसे सीमावर्ती राज्यों में केंद्रित है, जहां से बांग्लादेशी सीमा पर ‘वापसी’ की प्रक्रिया आसान मानी जा रही है। एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया, अप्रैल में जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले के बाद इस दिशा में एक केंद्रित प्रयास शुरू हुआ। ऑपरेशन सिंदूर के तहत इस कार्रवाई को संगठित और गति दी गई।
गुजरात से सबसे ज्यादा निष्कासन
अधिकारियों के अनुसार, इस अभियान की शुरुआत गुजरात से हुई, जहां सबसे पहले अवैध प्रवासियों की पहचान कर उन्हें निकाला गया। अब तक वापस भेजे गए करीब आधे प्रवासी गुजरात से हैं। दिल्ली और हरियाणा में भी बड़ी संख्या में बांग्लादेशी प्रवासी पकड़े गए और सीमा पर भेजे गए। इसके अतिरिक्त असम, महाराष्ट्र और राजस्थान से भी लोग निष्कासित किए गए हैं।
खीर भवानी मेले में उमड़ा आस्था का सैलाब, पहलगाम हमले के बाद भी नहीं डिगा श्रद्धालुओं का हौसला
2 Jun, 2025 11:52 AM IST | GRAMINBHARATTV.IN
पहलगाम: पहलगाम में आतंकी हमले के बाद जहां भारत और पाकिस्तान के बीच तनाव काफी बढ़ गया तो वहीं कश्मीर घाटी में पर्यटकों की संख्या में भारी गिरावट आ गई. वहां हलचल भी काफी सीमित हो गई. लेकिन अब हमले के बाद कश्मीर स्थित गांदरबल में खीर भवानी मेले के रूप में पहला बड़ा आयोजन हो रहा है. इसके लिए सुरक्षा के भी कड़े इंतजाम किए गए हैं.
खीर भवानी मेले का आयोजन कल मंगलवार को गांदरबल के तुलमुल्ला, कुलगाम के मंजगाम और देवसर, कुपवाड़ा के टिक्कर में तथा अनंतनाग के लोगरीपोरा पांच रागन्या भगवती मंदिरों में किया जाएगा. मेले से पहले तैयारियों का जायजा लेते हुए जम्मू-कश्मीर पुलिस प्रमुख ने रविवार को माता खीर भवानी मंदिर में दर्शन किया और मेले की सुरक्षा को लेकर तैयारियों की समीक्षा भी की.
60 बसों के काफिले से घाटी पहुंचे श्रद्धालु
कड़ी सुरक्षा व्यवस्था के बीच सैकड़ों की संख्या में लोग, जिनमें अधिकतर कश्मीरी पंडित हैं, कल रविवार की सुबह 60 बसों के काफिले में घाटी के लिए रवाना हुए. वे वहां खीर भवानी मेले में हिस्सा लेंगे जो समुदाय का सबसे बड़ा धार्मिक आयोजन है. हालांकि अधिकारियों का कहना है कि तीर्थयात्रियों की सुरक्षा और रहने को लेकर सभी प्रबंध कर लिए गए हैं. हालांकि उन्होंने यह भी माना कि पिछले साल की तुलना में इस बार मेले में श्रद्धालुओं की संख्या कम है. जम्मू-कश्मीर पुलिस के महानिदेशक (DGP) के साथ गांदरबल जिले के कई वरिष्ठ पुलिस अधिकारी भी मंदिर में मौजूद रहे. अधिकारियों ने मंदिर में माता रागन्या देवी के दर्शन भी किए. घाटी और देश के अन्य हिस्सों से आए कश्मीरी पंडित भारी संख्या में तुलमुल्ला स्थित खीर भवानी मंदिर में एकत्र हुए.
कश्मीरी पंडितों के लिए खास मंदिर
श्रीनगर के पास प्रसिद्ध रागन्या देवी मंदिर में माता खीर भवानी का मेला हर साल लगता है. मेले को लेकर कड़ी सुरक्षा इंतजाम के बावजूद इस साल श्रद्धालुओं की संख्या कम दिख रही है. पिछले कई सालों की तरह इस बार भीड़ नहीं दिख रही. माना जा रहा है कि श्रद्धालुओं की संख्या में कमी की वजह पहलगाम आतंकी हमला और फिर भारत-पाकिस्तान के बीच हुई सैन्य कार्रवाई है.
खीर भवानी मंदिर कश्मीरी पंडितों के लिए बेहद खास मंदिर है. कश्मीरी पंडितों के बीच इस मंदिर की खास मान्यता है. हर साल ज्येष्ठ अष्टमी के अवसर पर गांदरबल में खीर भवानी मंदिर में मेले का आयोजन होता है. यह देवी खीर भवानी को समर्पित है, जो कश्मीरी हिंदुओं की कुल देवी भी मानी जाती है. मंदिर में देवी को खीर चढ़ाई जाती है.
घाटी में ठहरने-खाने का प्रबंधः राहत आयुक्त
राहत आयुक्त (प्रवासी) ने कल रविवार को जम्मू के डीसी और वरिष्ठ पुलिस अधिकारियों के साथ मिलकर जम्मू के बाहरी इलाके नगरोटा से सड़क परिवहन निगम (आरटीसी) की बसों के काफिले को हरी झंडी दिखाई. श्रद्धालु मंगलवार को मंदिरों में दर्शन करेंगे और एक दिन बाद जम्मू लौट आएंगे.
जम्मू के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक (SSP) ने कहा कि तीर्थयात्रियों के लिए सभी आवश्यक सुरक्षा व्यवस्थाएं की गई हैं. वहीं राहत आयुक्त करवानी ने बताया, "तीर्थयात्रियों की सुरक्षा और रास्ते में तथा घाटी में ठहरने-खाने के संबंध में सभी तरह की तैयारी की गई हैं."
मेले को लेकर क्या कह रहे हैं श्रद्धालु
एक श्रद्धालु ने बताया, माता खीर भवानी के साथ हमारा संबंध सदियों पुराना है. हम इस यात्रा के लिए पूरा साल इंतजार करते हैं. पिछले 36 सालों से बने डर के हालात के बावजूद लोग यहां पर आ रहे हैं. स्थिति कठिन जरूर है, लेकिन भगवान में हमारी आस्था और भी मजबूत है. लोगों को निश्चित रूप से यहां आना चाहिए और इसका अनुभव करना चाहिए.
मेले में शामिल हो रहे एक अन्य श्रद्धालु राजेश ज्योत्सी ने कहा, "माता खीर भवानी हमारी कुल देवी हैं और उनके दर्शन करना हमारा पवित्र कर्तव्य है. हमें किसी बात का डर नहीं है- यह हमारी धरती है. इस तरह के हमले होते रहते हैं, लेकिन यहां की व्यवस्थाएं बेहतरीन हैं. मैं सभी से अनुरोध करता हूं कि वे यहां आएं और माता का आशीर्वाद लें." पहली बार मेले में शामिल हो रहीं सरोज ने भी यही बात कही. उन्होंने कहा, "यह मेरी पहली यात्रा है. मैंने इस जगह के बारे में बहुत कुछ सुना था. हमें डर नहीं है. ये हमले केवल डर पैदा करने के लिए हैं, और हमें मजबूती से खड़े रहना चाहिए. मुझे किसी तरह का डर नहीं है. ‘माता’ के दर्शन करने में कोई डर नहीं है. पहलगाम का आतंकी हमला दुर्भाग्यपूर्ण था, लेकिन पर्यटकों को वहां जाना चाहिए. हमें डरना नहीं चाहिए."
दिल्ली पुलिस ने पकड़ा 'फर्जी कर्नल', युवाओं से करता था ठगी
2 Jun, 2025 11:50 AM IST | GRAMINBHARATTV.IN
दिल्ली पुलिस ने सेना के एक फर्जी अफसर की गिरफ्तारी की है. गिरफ्तार किए गए आरोपी ने खुद को सेना का कर्नल बताया. फिर युवाओं को सेना में नौकरी दिलाने और सेना कल्याण आवास संगठन (एडब्ल्यूएचओ) में फ्लैट और दुकान दिलाने के नाम पर झांसा दिया और ठगी की. दिल्ली पुलिस की क्राइम ब्रांच ने उसे पंजाब के पटियाला से गिरफ्तार किया है. आरोपी यहां अपने पूरे परिवार को छोड़कर एक वृद्धा आश्रम में पुलिस से बचने के लिए छिपा हुआ था.
शनिवार को सूचना मिलने के बाद दिल्ली पुलिस की क्राइम ब्रांच से गिरफ्तार कर लिया. आरोपी की पहचान सीताराम गुफ्ता उर्फ सीताराम सिंगला के रुप में हुई है. वो 77 साल का है. आरोपी ने पंजाब यूनिवर्सिटी से अर्धशास्त्र में एमए किया है. बताया जा रहा है कि आरोपी दिल्ली में सेना में नौकरी दिलाने के नाम पर ठगी करने वाले तीन मामलों में शामिल था.
साल 2007 में की थी ठगी शिकायत
क्राइम ब्रांच की डीसीपी अपूर्वा गुप्ता ने बताया कि विवेक विहार के रहने वाले बैंक कर्मचारी अनिल निगम ने साल 2007 में ठगी की शिकायत दी थी. पीड़ित ने अपनी शिकायत में बताया कि आरोपी ने खुद को दिल्ली में तैनात सेना के कर्नल रैंक का अफसर बताते हुए सेना कल्याण आवास संगठन में फ्लैट दिलाने के नाम पर उनसे 56 हजार रुपये लिए.
कोर्ट ने आरोपी को किया भगौड़ा घोषित
अपूर्वा गुप्ता के अनुसार, पीड़ित ने अपनी शिकायत में बताया कि पैसे लेने के बाद आरोपी ने उनको रसीदें दीं, लेकिन जांंच करने पर वो फर्जी निकलीं. बाद में पीड़ित की शिकायत पर विवेक विहार थाने में मामला दर्ज किया गया. आरोपी की गिरफ्तारी भी की गई. पुलिस ने उसके खिलाफ कड़कड़डूमा कोर्ट में चार्जशीट दाखिल की. बाद में उसे जमानत मिल गई. इसके बाद से आरोपी फरार चल रहा था. बाद में कोर्ट ने उसे भगौड़ा घोषित कर दिया.
आरोपी सेना में करता था तेल आपूर्ति
आरोपी सीताराम का जन्म हरियाणा के सिरसा के मंडी डबवाली में हुआ था. बाद में उसका परिवार पंजाब के मनसा में रहने लगा. वह पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह का अर्थशास्त्र का छात्र था. पंजाब विश्वविद्यालय में वह उसके प्रोफेसर थे. आरोपी ने शुरू में सेना में तेल ठेकेदार के रूप में काम किया. उसने पूरे भारत की अलग अलग छावनी एरिया में तेल की आपूर्ति शुरू की. इस दौरान उसने सेना के अफसरों के सभी रैंक और भर्ती प्रक्रिया के बारे में जान लिया.
इसके बाद 1987 में वह दिल्ली आया और उसने एक तेल ठेकेदार के रूप में यहां काम करने लगा. साथ ही खुद को सेना का कर्नल बताकर लोगों से ठगी करना भी शुरु कर दिया है.