खेल
बेंगलुरु FC ने लगाए गंभीर आरोप, कहा- ISL फाइनल में मालिक पर हुआ हमला
16 Apr, 2025 08:47 AM IST | GRAMINBHARATTV.IN
Parth Jindal: बेंगलुरु एफसी (BFC) ने मंगलवार को आरोप लगाया कि इंडियन सुपर लीग (ISL) 2024-2025 फाइनल के दौरान मोहन बागान सुपर जायंट के कुछ प्रशंसकों ने उनके मालिक पार्थ जिंदल और अन्य फैंस पर हमला किया, जिसमें जिंदल को चोटें आईं. क्लब ने यह भी बताया कि एक प्रशंसक की आंख में चोट आई जब होम क्राउड ने उनकी तरफ पटाखा फेंका. बता दें 12 अप्रैल को कोलकाता के सॉल्ट लेक स्टेडियम में खेले गए ISL फाइनल में मोहन बागान ने बेंगलुरु एफसी को 2-1 से हराकर खिताब जीता था. हालांकि, मैच के दौरान कुछ गलत घटनाएं भी हुईं.
पार्थ जिंदल पर हमला
BFC ने सोशल मीडिया पर एक बयान जारी कर कहा कि उनके प्रशंसकों और मालिक पार्थ जिंदल पर मोहन बागान के कुछ होम फैंस ने हमला किया. 'बेंगलुरु एफसी, मोहन बागान के कुछ प्रशंसकों की ओर से अपने सपोर्टर्स पर किए गए कायरतापूर्ण हमले की कड़ी निंदा करता है. इस दौरान स्टैंड्स में एक जलता हुआ पटाखा फेंका गया. जिससे एक BFC प्रशंसक की आंख में चोट आई, जबकि क्लब मालिक पार्थ जिंदल को भी चोटें आईं.' बता दें पार्थ जिंदल IPL टीम दिल्ली कैपिटल्स के को-ओनर भी हैं और मोहन बागान के मालिक संजीव गोयनका की IPL टीम लखनऊ सुपरजायंट्स है.
AIFF से की शिकायत, कार्रवाई की मांग
BFC ने अखिल भारतीय फुटबॉल फेडरेशन (AIFF) और ISL आयोजक FSDL के सामने इस मामले में औपचारिक शिकायत दर्ज कराई है. क्लब ने मांग की है कि इस घटना की गंभीरता से जांच की जाए और भविष्य में स्टेडियम में प्रशंसकों की सुरक्षा सुनिश्चित की जाए. 'स्टेडियम फुटबॉल प्रेमियों के लिए सुरक्षित स्थान होने चाहिए. इस तरह की घटनाओं का फुटबॉल या किसी भी खेल में कोई स्थान नहीं है.'
कैसा रहा मुकाबला?
फाइनल मैच में पहले हाफ तक कोई गोल नहीं हुआ, लेकिन 49वें मिनट में मोहन बागान के अल्बर्टो रोड्रिग्ज ने खुद के गोल से BFC को बढ़त दिला दी. हालांकि, 72वें मिनट में जेसन कमिंग्स ने पेनल्टी से गोल कर मैच को बराबरी पर ला दिया. मैच एक्स्ट्रा टाइम में गया, जहां जेमी मैकलरेन ने 96वें मिनट में जीत का गोल दागकर मोहन बागान को ISL डबल (लीग शील्ड+ISL कप) दिलाया. मोहन बागान, मुंबई सिटी (2020-21) के बाद ISL इतिहास में यह कारनामा करने वाली दूसरी टीम बन गई.
एडमिल्सन ने बताया बेहतर फुटबॉलर बनने का तरीका
13 Apr, 2025 05:15 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
जोस एडमिल्सन ने कहा कि भारतीय टीम के खिलाड़ियों को बेहतर बनने के लिए ट्रेनर की सलाह पर सबसे अधिक ध्यान देना चाहिये। एडमिल्सन रियाल मैड्रिड और एफसी बार्सिलोना की ओर से भी खेले हैं। एडमिल्सन के अनुसार फुटबॉल प्रबंधन को ये भी देखना चाहिये की खिलाड़ी क्या चाहते हैं। एडमिल्सन अभी पूर्व खिलाड़ियों के एक टूर्नामेंट के लिए भारत आये हुए हैं। एडमिल्सन ने कहा, ‘‘एक अच्छा फुटबॉल खिलाड़ी बनने की तकनीक हासिल करने से पहले कई तरह की चीजों को सीखना होता है। इसलिए खिलाड़ियों को ट्रेनर की शिक्षा पर ध्यान देना होगा और देखना होगा कि वे क्या चाहते हैं।’’ ब्राजील की 2002 विश्व कप विजेता फुटबॉल टीम के सदस्य रहे इस खिलाड़ी ने कहा, ‘‘एक अच्छा खिलाड़ी बनाने से पहले उन्हें एक अच्छा इंसान बनाना होगा। और यह बहुत अहम है। कई जगहों पर बच्चे खिलाड़ी बनने का सपना देखते हैं पर उन्हें कई समस्याओं का सामना करना पड़ता है जिनका समाधान करना होगा। ’’ पेपे अर्जेंटीना के लियोनेल मेस्सी की तुलना में पुर्तगाल टीम के उनके साथी क्रिस्टियानो रोनाल्डो को अच्छा डिफेंडर मानते हैं। इस खिलाड़ी ने कहा, ‘‘मुझे क्रिस्टियानो रोनाल्डो का नाम लेना होगा क्योंकि मैं उनके साथ ट्रेनिंग करता हूं। मुझे पता है कि उनके खिलाफ कितना कठिन है। ’’ उन्होंने कहा, ‘‘क्रिस्टियानो एक ऐसे फुटबॉलर रहे हैं जिन्होंने संघर्ष किया है और रियाल मैड्रिड को बहुत कुछ दिया है। उन्होंने मैनचेस्टर युनाइटेड, युवेंटस, पुर्तगाली राष्ट्रीय टीम को बहुत कुछ दिया है। उन्होंने हमेशा बहुत सारे मैच जीते हैं। मुझे पता है कि उनके साथ ट्रेनिंग करना कैसा होता है। उन्होंने बहुत मेहनत की है।
374 दिनों के बाद नीरज भारत में प्रतिस्पर्धा करते दिखेंगे
13 Apr, 2025 03:15 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
ओलंपिक पदक विजेता भाला फेंक खिलाड़ी नीरज चोपड़ा अगले माह हरियाणा के पंचकूला में एक घरेलू टूर्नामेंट में भाग लेंगे। नीरज यहां 24 मई को क्लासिक भाला फेंक इवेंट में शामिल होंगे। इसी के साथ ही नीरज एक साल से भी अधिक समय के बाद किसी घरेलू टूर्नामेंट में भारतीय टीम की ओर से खेलते हुए दिखेंगे। इससे पहले घरेलू मैदान पर अंतिम बार वह मई 2024 में भुवनेश्वर में फेडरेशन कप में उतरे थे। अब 374 दिनों के बाद नीरज भारत में प्रतिस्पर्धा करते दिखेंगे। इससे पहले अंतिम बार वह मई 2024 में भुवनेश्वर में फेडरेशन कप में उतरे थे। भारतीय एथलेटिक्स महासंघ (एएफआई) के अध्यक्ष बहादुर सिंह सागू ने कहा कि नीरज चोपड़ा के अलावा इस क्लासिक इवेंट में विश्व के कई अन्य टॉप भाला फेंक खिलाड़ी शामिल होंगे। इस प्रतियोगिता की तैयारियों अभी जारी है। नीरज टोक्यो ओलंपिक के स्वर्ण पदक विजेता है हालांकि पेरिस ओलंपिक में वह रजत पदक ही जीत पाये थे। विश्व चैम्पियनशिप सही कई और अंतरराष्ट्रीय प्रतियोगिताओं में वह नंबर एक स्थान पर रहे हैं। सागू ने कहा कि इस टूर्नामेंट से सभी को अंदाज हो जाएगा कि भारत एथलेटिक्स के क्षेत्र में आगे बढ़ रहा है। सागू ने कहा, ‘यह टूर्नामेंट उसी स्थान पर हो रहा है जहां नीरज ने अपने जूनियर शिविर का अधिकांश समय बिताया था। नीरज की भागीदारी के साथ देश में इस टूर्नामेंट की मेजबानी करना खुशी की बात है। नीरज ने इसी स्टेडिया में शुरुआत की थी। इसके बाद वह दोहा डायमंड लीग में खेलेंगे।
क्या सच में करुंग ओनलर और मैरी कॉम का रिश्ता टूटने वाला है? जानिए इस तलाक की सच्चाई
9 Apr, 2025 11:16 AM IST | GRAMINBHARATTV.IN
Mary Kom: 5 सालों तक डेटिंग के बाद बॉक्सर मैरी कॉम और करूँ ओनलर ने शादी की थी, जिसे करीब 20 साल हो गए हैं. शादी के बाद दोनों के 3 बच्चे हुए, एक बेटी को उन्होंने गोद लिया. दोनों के बीच सबकुछ ठीक चल रहा था, लेकिन दोनों के बीच तलाक की ख़बरों ने फैंस को हैरान कर दिया है. क्या सच में दोनों तलाक लेने जा रहे हैं? लेकिन इसके पीछे वजह क्या है, जो बात तलाक तक आ पहुंची.
मैरी कॉम एक जानी मानी हस्ती हैं, उन्हें देश में हर कोई जानता है. रिपोर्ट्स के मुताबिक मैरी कॉम और उनके पति करुंग ओनलर के बीच 2022 से ही रिश्ते खराब हैं, जो समय के साथ और बिगड़ते गए. रिपोर्ट में ये भी कहा गया है कि मैरी कॉम तो एक अन्य रिलेशनशिप में भी आ गई है, अब इसमें कितनी सच्चाई है. ये तो पता नहीं लेकिन मैरी कॉम ने अपनी जिंदगी में तीसरे के आने की ख़बरों का खंडन भी नहीं किया है.
अलग रह रहे हैं मैरी कॉम और ओनलर
ख़बरों की माने तो ओनलर विधानसभा चुनाव हारें तो उन्हें आर्थिक रूप से काफी नुकसान हुआ. ये भी मनमुटाव का एक कारण है. दोनों काफी समय से एक दूसरे के साथ नहीं रह रहे. मैरी कॉम अपने बच्चों के साथ फरीदाबाद में रहती हैं और उनके पति ओनलर अपने परिवार के साथ दिल्ली में रह रहे हैं.
एक सूत्र ने बताया कि, "चुनाव में हार के बाद, चीजें और खराब होती गई. उनके बीच रिश्ता और ख़राब होता चला गया. जिसके बाद मैरी कॉम अपने फरीदाबाद वाले घर में बच्चों के साथ रहने लगी" रिपोर्ट के अनुसार ओनलर को चुनाव में 2-3 करोड़ रूपये का नुकसान हुआ था, इससे और हार से मैरी कॉम नाखुश थी. मैरी कॉम और उनके पति ओनलर की मुलाकात 2000 में हुई थी. बॉक्सर का सामन खो गया था, जिसे ढूंढने में ओनलर ने मदद की थी. दोनों के बीच 5 साल तक दोस्ती रही, मार्च 2005 में दोनों ने शादी की.
बार्सिलोना के स्टार लामिने यमाल का ट्रांसफर, फुटबॉल इतिहास में हो सकता है नया रिकॉर्ड
8 Apr, 2025 02:10 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
Lamine Ymal: फुटबॉल की दुनिया से एक धमाकेदार खबर आ रही है. रिपोर्ट है कि मैनचेस्टर सिटी ने बार्सिलोना के सुपर टैलेंटेड लामिने यमाल को खरीदने के लिए €275 मिलियन (करीब 24,000 करोड़ रुपये) की मोटी रकम ऑफर की है. अगर ये डील हो गई, तो 17 साल का ये फुटबॉलर दुनिया का सबसे महंगा फुटबॉल खिलाड़ी बन जाएगा. ये खबर स्पेन की वेबसाइट फिचाजेस ने छापी है. लामिने यमाल तो ला लिगा में आग लगा रहे हैं. उनकी रफ्तार, गजब की स्किल्स और इतनी छोटी उम्र में बड़ा गेम खेलने का अंदाज देख बार्सिलोना के कोच हंसी फ्लिक के लिए वो बड़ा हथियार बन गए हैं. मैनचेस्टर सिटी के बॉस पेप गार्डियोला को बार्सिलोना की ला मासिया अकादमी के लड़के हमेशा से पसंद रहे हैं और यमाल में उन्हें अगला सुपरस्टार दिख रहा है.
€275 मिलियन की रकम के बावजूद बेचने को तैयार नहीं
मैन सिटी की टीम तो पहले से ही सितारों से भरी है. अगर यमाल वहां गए तो गार्डियोला जैसे कोच के साथ वो और चमक सकते हैं. लेकिन बार्सिलोना के लिए ये ऑफर बड़ी टेंशन है. यमाल का कॉन्ट्रैक्ट जून 2026 तक है और क्लब उनकी डील को और लंबा करना चाहता है. मगर €275 मिलियन की रकम इतनी बड़ी है कि बार्सिलोना, जो पहले से ही पैसे की तंगी से जूझ रहा है, को दो बार सोचना पड़ सकता है. लेकिन बात यहीं खत्म नहीं होती. यमाल बार्सिलोना के लिए सिर्फ एक प्लेयर नहीं, बल्कि उनका फ्यूचर हैं. मेस्सी के बाद क्लब नई पहचान बना रहा है और यमाल उसका बड़ा चेहरा हैं. उनकी मार्केट वैल्यू और गेम को देखते हुए क्लब प्रेसिडेंट जोआन और फ्लिक उन्हें किसी भी कीमत पर बेचने के मूड में नहीं लगते. फिर भी ये अफवाह फुटबॉल फैंस के बीच गपशप का टॉपिक बनी हुई है.
अब तक के सबसे महंगे फुटबॉल ट्रांसफर
फुटबॉल में पैसा तो भरा पड़ा है. टिकट बिकते हैं, जर्सी हाथों-हाथ जाती हैं और स्पॉन्सरशिप से क्लबों की तिजोरी भरती है. टॉप के प्लेयर्स को टीम में लाने के लिए क्लब मोटी-मोटी रकम देते हैं. चलिए अब तक के पांच सबसे महंगे ट्रांसफर पर एक नजर डालते हैं. 2017 में पेरिस सेंट जर्मेन यानी PSG ने बार्सिलोना से नेमार को €222 मिलियन, मतलब करीब 19,500 करोड़ रुपये में खरीद लिया. इस डील ने तो फुटबॉल की दुनिया में तूफान ला दिया और ट्रांसफर का पूरा खेल ही बदल डाला. उसी साल PSG ने फ्रांस के तेजरफ्तार स्ट्राइकर कायलियन एम्बाप्पे को €180 मिलियन, यानी लगभग 15,800 करोड़ रुपये में साइन किया.
€145 मिलियन का निवेश नहीं लाया फायदा
उनकी स्पीड और गोल मारने का स्टाइल देख हर कोई उनका फैन हो गया. फिर 2018 में बार्सिलोना ने लिवरपूल से ब्राजील के जादूगर फिलिप कॉउटिन्हो को €145 मिलियन, करीब 12,700 करोड़ रुपये में लिया, पर ये सौदा उनके लिए कुछ खास फायदा नहीं लाया. 2019 में एटलेटिको मैड्रिड ने पुर्तगाल के "नए रोनाल्डो" कहे जाने वाले जोआओ फेलिक्स को €126 मिलियन, यानी करीब 11,000 करोड़ रुपये में अपनी टीम में शामिल किया. ये पैसा अभी तक ठीक-ठाक काम करता दिख रहा है. और उसी साल बार्सिलोना ने एटलेटिको मैड्रिड से एंटोनी ग्रीजमैन को €120 मिलियन, मतलब करीब 10,500 करोड़ रुपये में खरीदा, मगर 2021 में वो लोन पर वापस एटलेटिको चले गए, जिससे बार्सिलोना को नुकसान उठाना पड़ा.
मेसी के अगले विश्वकप में खेलने पर संशय बरकार
6 Apr, 2025 05:15 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
कनाडा, यूनाइटेड स्टेट और मैक्सिको में होने वाले 2026 फीफा विश्वकप में अर्जेंटीना के स्टार खिलाड़ी लियोनल मेसी के खेलने को लेकर संशय बना हुआ है। मेसी की कप्तानी में ही पिछले विश्वप में अर्जेंटीना ने खिताब जीता था पर अब वह 27 साल के हो गये हैं। ऐसे में वह अगले साल विश्वकप में खेल पायेंगे ये पक्के तौर पर नहीं कहा जा सकता। 2022 विश्वकप में अर्जेंटीना की जीत में मेसी की अहम भूमिका थी। उन्होंने तब 7 गोल किए थे। इस खिलाड़ी ने अब तक पांच फीफा विश्वकप खेले हैं। अगले साल तक वह 28 के हो जाएंगे। ऐसे में उनकी फिटनेस कैसी रहती है ये भी देखना होगा। अर्जेंटीना ने विश्वकप के लिए पहले ही प्रवेश हासिल कर लिया है। कोच लियोनल स्कोलोनी ने कहा कि हम देखेंगे कि आगे क्या होता है, अभी बहुत समय है। अभी हमें उसे अकेला छोड़ देना चाहिए समय आने पर वह खेलने ये नहीं खेलने पर अपनी ओर से फैसला करेगा। अर्जेंटीना की टीम आजकल अच्छी लय में है। उसने मैसी के बिना ही क्वालीफाइंग में सबसे अधिक बार चैम्पियन रही ब्राजीत को भी 1-4 से हराया था। इसके अलावा उसने उरुग्वे को भी 1-0 से हराया था। इस मैच में भी मेसी शामिल नहीं थे
ओलंपियन वंदना ने अंतरराष्ट्रीय हॉकी को अलविदा कहा
6 Apr, 2025 02:15 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
भारतीय महिला टीम की अनुभवी खिलाड़ी वंदना कटारिया ने अंतरराष्ट्रीय हॉकी से संन्यास की घोषणा कर दी है हालांकि वह लीग मुकाबलों में खेलती रहेंगी। इसी के साथ ही वंदना के 15 वर्ष के सुनहरे कैरियर पर विराम लग गया। वंदना ने भारतीय टीम के लिए सबसे अधिक 320 मैच खेले हैं।
32 साल की इस फॉरवर्ड ने कहा , ‘मैं कृतज्ञ मन से अंतरराष्ट्रीय हॉकी को अलविद कह रही हूं। यह फैसला मिले-जुले विचारों वाला है। इसमें खुशी ओर दुख दोनो हैं। मैं इसलिए नहीं हट रही हूं क्योंकि मेरे अंदर खेल की इच्छा कम हो गयी गई है या मेरे भीतर हॉकी नहीं बची है बल्कि इसलिए क्योंकि मैं अपने करियर के शीर्ष प रहते हुए संन्यास लेना चाहती हूं, जबकि मैं अभी भी अपने सर्वश्रेष्ठ स्तर पर हूं।
उन्होंने कहा, ‘यह विदाई थकान की वजह से नहीं है। यह अंतरराष्ट्रीय मंच को अपनी शर्तों पर छोड़ने का एक अच्छा अवसर है, मेरा सिर ऊंचा रहेगा क्योंकि मैं अभी भी बेहतर प्रदर्शन कर रही हूंहै। भीड़ के शोर के साथ ही हर गोल पर मिलने वाली खुशी और भारत की जर्सी पहनने का गर्व हमेशा मेरे मन में रहेगा। गौरतलब है कि साल 2009 में सीनियर टीम में पदार्पण करने वाली कटारिया टोक्यो ओलंपिक 2020 में चौथे स्थान पर रही भारतीय टीम में शामिल थी। तब वंदना हैट्रिक लगाने वाली एकमात्र भारतीय महिला खिलाड़ी बनी थीं। वंदना ने कहा, ‘अपनी साथी खिलाड़ियों, अपनी बहनों से मैं यही कहूंगी कि आपके लगाव और विश्वास ने मुझे बल दिया। मेरे कोचों और मेंटर्स ने अपने प्रयासों से मेरे कैरियर को निखारा।
कटारिया ने फरवरी में भुवनेश्वर में एफआईएच प्रो लीग में भारत के लिए आखिरी मैच खेला। उन्होंने सोशल मीडिया में लिखा, ‘मेरे दिवंगत पिता मेरी चट्टान, मेरे मार्गदर्शक थे। उनके बिना मेरा सपना कभी पूरा नहीं होता। उनके बलिदानों और प्यार से मेरे खेल की नींव पड़ी। उन्होंने मुझे सपने देखने, लड़ने और जीतने के लिए मंच दिया। उन्होंने कहा, ‘लेकिन मेरी कहानी यहां खत्म नहीं होती। यह नई शुरूआत है। मैं हॉकी उठाकर नहीं रखूंगी। मैं खेलती रहूंगी। हॉकी इंडिया लीग में और उसके अलावा भी अन्य मुकाबलों में क्योंकि मेरे अंदर अभी काफी खेल बचा है।
IPL 2025: पहले हफ्ते के बाद ऑरेंज कैप और पर्पल कैप पर कब्जा करने वाले खिलाड़ी कौन?
31 Mar, 2025 12:55 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
IPL 2025: क्रिकेट की सबसे बड़ी लीग इंडियन प्रीमियर लीग (IPL) 2025 दुनिया भर के क्रिकेट फैंस का जमकर मनोरंजन कर रही है, रोजाना एक से बढ़कर एक रोमांचक मैच खेले जा रहे हैं. गेंद और बल्ले के बीच एक दिलचस्प प्रतियोगिता देखने को मिल रही है. आए दिन कोई न कोई बड़े रिकॉर्ड्स बन रहे हैं. रविवार को दो मुकाबले खेले गए. शाम के समय खेले गए 11वें मुकाबले में चेन्नई सुपर किंग्स (CSK) को राजस्थान रॉयल्स (RR) को 6 रनों के मामूली अंतर से हराया.
IPL 2025 का पहला हफ्ता कल समाप्त हुआ. इस सीजन के कुल 11 मैचों के समाप्त होने के बाद पहले हफ्ते में कौन बल्लेबाज सबसे ज्यादा रन बनाकर ऑरेंज कप होल्डर है, और किस गेंदबाज ने सबसे ज्यादा विकेट चटकाकर पर्पल कैप पर अपना कब्जा किया है. क्या आप जानते हैं? इसमें सबसे दिलचस्प बात ये है कि ये दोनों ही प्रतिष्ठित कैप विदेशी खिलाड़ियों के पास है.
निकोलस पूरन ऑरेंज कैप होल्डर
लखनऊ सुपर जायंट्स के बाएं हाथ के स्टार विकेटकीपर बल्लेबाज निकोलस पूरन फिलहाल IPL 2025 के ऑरेंज कैप होल्डर है. पूरन अब तक सबसे ज्यादा रन बनाने वाले बल्लेबाज हैं. उन्होंने 2 पारियों में 72.50 की औसत से कुल 145 रन बनाए हैं. इन दोनों ही मैचों में उन्होंने शानदार अर्धशतक ठोके हैं. ऑरेंज कैप की रेस में उनसे बिल्कुल पीछे गुजरात टाइटन्स के साई सुदर्शन हैं, जिनके नाम 2 पारियों में 137 रन दर्ज हैं. वहीं, ट्रेविस हेड 136 रनों के साथ सबसे ज्यादा रन बनाने वाले खिलाड़ियों की लिस्ट में तीसरे स्थान पर हैं.
पर्पल कैप पर नूर अहमद का कब्जा
IPL 2025 में अब तक सबसे ज्यादा विकेट चेन्नई सुपर किंग्स के मिस्ट्री स्पिनर नूर अहमद ने झटके हैं. नूर का फिलहाल प्रतिष्ठित पर्पल कैप पर कब्जा है. नूर ने 3 मैचों में अब तक कुल 9 विकेट झटके हैं. वहीं, दिल्ली कैपिटल्स के स्टार तेज गेंदबाज मिचेल स्टार्क उन्हें कड़ी टक्कर दे रहे. स्टार्क के नाम 2 मैचों में 8 विकेट झटके हैं, जिसमें रविवार को सनराइजर्स हैदराबाद के खिलाफ मैच में 5 विकेट हॉल भी शामिल हैं. सबसे ज्यादा विकेट लेने वाले गेंदबाजों की लिस्ट में लखनऊ सुपर जायंट्स के तेज गेंदबाजी ऑलराउंडर शार्दुल ठाकुर 6 विकेट के साथ तीसरे नंबर पर हैं.
भारतीय महिला हॉकी टीम लॉस एंजिल्स ओलंपिक की तैयारियों में लगी
30 Mar, 2025 05:15 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
भारतीय महिला हॉकी टीम 2028 लॉस एंजिल्स ओलंपिक के लिए अभी से तैयारियों में लगी है। हॉकी इंडिया ने टीम की तैयारियों के लिए नीदरलैंड के दिग्गज ड्रैग फ्लिक ताइके ताइकेमा से भी करार किया है। इसी के तहत ताइकेमा टीम की इस कमजोरी को भी टीम करने में लगे हैं। ताइकेमा ने पिछले महीने भुवनेश्वर में प्रो लीग से पहले सात दिवसीय शिविर में भी भारतीय खिलाड़ियों को प्रशिक्षण दिया था। भारत ने प्रो लीग के घरेलू चरण में इंग्लैंड, जर्मनी, नीदरलैंड और स्पेन के खिलाफ अच्छा प्रदर्शन किया था। ताइकेमा के मार्गदर्शन में शिविर का मुख्य उद्देश्य तकनीकी कौशल को निखारने के साथ ड्रैग फ्लिक की सटीकता में सुधार करना था।
भारतीय महिला टीम के मुख्य कोच हरेंद्र सिंह ने कहा कि शिविर खिलाड़ियों के लिए बहुत फायदेमंद रहा और ताइकेमा लॉस एंजिल्स खेलों तक अल्पकालिक आधार पर टीम के साथ काम करना जारी रखेंगे। उन्होंने कहा, ‘‘ताइकेमा ड्रैग फ्लिक के मामले में सबसे महान दिग्गजों में से एक हैं। वह तकनीक को निखारने और ड्रैग फ्लिक की प्रक्रिया को आसान बनाने के लिए टीम के साथ काम कर रहे हैं।’’
हरेंद्र ने कहा, ‘‘ड्रैग फ्लिक करना एक विशिष्ट कौशल है और ताइकेमा भविष्य के शिविर में भी हमारे साथ काम करना जारी रखेंगे।’’ हरेंद्र ने कहा कि दीपिका सहित इससे हमारी टीम की सभी खिलाड़ियों के कोशल में सुधार आया है।
इस 45 साल के पूर्व खिलाड़ी को अपने खेल के दिनों में पेनल्टी-कार्नर की सटीकता के लिए जाना जाता था। ताइकेमा ने 11 वर्षों के अपने अंतरराष्ट्रीय करियर में नीदरलैंड की पुरुष टीम के लिए 94 मैचों में 170 गोल किए। उन्हें दुनिया के सबसे खतरनाक पेनल्टी कॉर्नर विशेषज्ञों में से एक माना जाता है।
कबड्डी वर्ल्ड कप 2025 पर विवाद, भारतीय टीम के लंदन टूर्नामेंट में भाग लेने पर IKF की नाराजगी
20 Mar, 2025 12:37 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
Kabaddi World Cup 2025: कबड्डी वर्ल्ड कप 2025 वेस्ट मिडलैंड्स में 17 से 23 मार्च के बीच खेला जा रहा है। इसका आयोजन इंग्लैंड कबड्डी संघ और ब्रिटिश कबड्डी लीग ने विश्व कबड्डी फेडरेशन की छत्रछाया में किया है। जो खेल की समानांतर वैश्विक यूनिट है। दूसरी तरफ इंटरनेशनल कबड्डी फेडरेशन भी कबड्डी वर्ल्ड कप का आयोजन करवाता है। इस तरह से फैंस को कबड्डी के दो वर्ल्ड कप देखने को मिलते हैं। बस इसी बात को लेकर पेंच फंस गया है। इंटरनेशनल कबड्डी फेडरेशन ने बुधवार को कहा कि लंदन में हो रहा वर्ल्ड कप अनॉथराइज्ड है और भारतीय कबड्डी महासंघ से टूर्नामेंट में भाग लेने गई टीम के खिलाफ कार्रवाई करने के लिए कहा है।
कबड्डी वर्ल्ड कप 2025 को लेकर सामने आया विवाद
इंटरनेशनल कबड्डी फेडरेशन (IKF) ने बताया है कि ब्रिटेन में जो कबड्डी विश्व कप हो रहा है। वह वर्ल्ड कबड्डी फेडरेशन द्वारा आयोजित करवाया जा रहा है, जो इंटरनेशनल कबड्डी फेडरेशन से मान्यता प्राप्त नहीं है। ओलंपिक काउंसिल ऑफ एशिया (OCA) से कबड्डी के खेल की इंटरनेशनल इकाई के तौर पर इंटरनेशनल कबड्डी फेडरेशन (IKF) को मान्यता मिली है। ओलंपिक काउंसिल ऑफ एशिया (OCA), इंटरनेशनल कबड्डी फेडरेशन (IKF) और एशियाई कबड्डी महासंघ 1990 से एशियाई खेलों और अन्य इंटरनेशनल कबड्डी टूर्नामेंटों में महिला और पुरुष वर्ग में कबड्डी के पदक टूर्नामेंट्स का संचालन करते हैं।
2020 में अमैच्योर कबड्डी फेडरेशन ऑफ इंडिया झेल चुकी है निलंबन
इससे पहले भी 2020 में एक भारतीय टीम पाकिस्तान में कबड्डी विश्व कप खेलने गई थी जबकि अमैच्योर कबड्डी फेडरेशन ऑफ इंडिया (AKFI) और खेल मंत्रालय ने कहा था कि उन्होंने किसी टीम को मंजूरी नहीं दी है। (AKFI) को 2024 में इंटरनेशनल कबड्डी फेडरेशन ने निलंबित कर दिया था, क्योंकि 2018 के बाद से उसके चुनाव नहीं हुए थे। तब से अदालत द्वारा नियुक्त प्रशासक जस्टिस एस पी गर्ग संगठन का संचालन कर रहे हैं।
IKF ने AKFI से की कार्रवाई की मांग
हाल ही में उच्चतम न्यायालय ने उनसे कबड्डी का संचालन चुनकर आई ईकाई (AKFI) को सौंपने के लिए कहा। भारत के विनोद कुमार तिवारी के चीफ हैं, जो 2022 में चार साल के लिए चुने गए। इंटरनेशनल कबड्डी फेडरेशन को अमैच्योर कबड्डी फेडरेशन ऑफ इंडिया ने बताया कि ब्रिटेन में तथाकथित विश्व कप खेलने गई भारतीय टीम को उससे कोई मंजूरी या मान्यता नहीं मिली है। IKF आगे AKFI से अनुरोध करेगा कि वह ब्रिटेन में तथाकथित कबड्डी विश्व कप में कथित भारतीय टीम के साथ उचित और न्यायसंगत तरीके से व्यवहार करने के लिए अपने अधिकार का प्रयोग करे। जिसमें भारत में इसके तत्वावधान में आयोजित होने वाली कबड्डी टूर्नामेंट और कार्यक्रमों में भागीदारी भी शामिल है।
रिटायरमेंट के बाद वापसी करने वाले सुनील छेत्री ने किया 95वां गोल, टीम इंडिया को दिलाई जीत
20 Mar, 2025 12:09 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
Sunil Chhetri: भारतीय फुटबॉल में सुनील छेत्री की क्या अहमियत और स्थान है, इसका पता पिछले करीब डेढ़ दशक में देखने को मिला है. इसके बाद भी अगर किसी को कोई संदेह है या था, तो वो भी शायद अब दूर हो गया होगा. करीब एक साल पहले इंटरनेशनल फुटबॉल से संन्यास लेने वाले पूर्व भारतीय कप्तान छेत्री ने एक बार फिर साबित कर दिया कि 40 की उम्र में भी, वो भारतीय फुटबॉल का सबसे भरोसेमंद नाम हैं. रिटायरमेंट से वापसी के बाद अपना पहला ही मैच खेल रहे छेत्री ने मालदीव के खिलाफ गोल दागा और भारतीय टीम को करीब 500 दिन में पहली जीत दिलाई.
AFC क्वालिफायर्स में दिखाया शानदार खेल
छेत्री ने पिछले साल जून में इंटरनेशनल फुटबॉल से संन्यास का ऐलान किया था. उस वक्त भी भारतीय टीम संघर्ष कर रही थी और उनके जाने के बाद तो ये संघर्ष बढ़ ही गया था. ऐसे में AFC एशियन चैंपियनशिप के क्वालिफायर्स में जब भारतीय टीम के सामने चुनौती बढ़ती हुई दिख रही थी, तब छेत्री ने सबको चौंकाते हुए संन्यास से वापसी का ऐलान कर दिया. तब ये सवाल उठ रहे थे कि क्या वो 40 की उम्र में भी वैसा कमाल दिखा पाएंगे, जैसा कुछ साल पहले तक कर रहे थे. इसका जवाब भी अब मिल गया है.
489 दिनों बाद मिली जीत
बांग्लादेश के खिलाफ 25 मार्च को क्वालिफायर मैच से पहले बुधवार 19 मार्च को भारतीय टीम ने मालदीव के खिलाफ एक दोस्ताना मैच खेला. शिलॉन्ग में खेले गए इस मुकाबले के साथ ही छेत्री की टीम इंडिया में वापसी हुई और भारत के सबसे सफल फुटबॉलर ने टीम को निराश भी नहीं किया. टीम इंडिया ने इस मैच में मालदीव को 3-0 से हरा दिया. इसके साथ ही भारतीय टीम ने 489 दिनों के लंबे इंतजार के बाद कोई मुकाबला जीतने में सफलता हासिल की. इससे पहले जुलाई 2023 में टीम इंडिया ने सैफ चैंपियनशिप का फाइनल जीता था, जो उसकी आखिरी जीत थी.
40 की उम्र में 95वां गोल
इस मुकाबले में भारतीय टीम के लिए पहला गोल राहुल भेके 34वें मिनट में किया, जबकि 66वें मिनट में लिस्टन कोलको ने बढ़त को दोगुना कर दिया. मगर भारतीय फैंस के लिए पैसा वसूल पल तो 76वें मिनट में आया. जब छेत्री ने एक शानदार गोल के साथ टीम इंडिया की जीत पर मुहर लगा दी और साथ ही टीम इंडिया की नीली जर्सी में उन्हें गोल करते देखने का हजारों फैंस का सपना पूरा हुआ. छेत्री के करियर का ये 95वां गोल है. इस उम्र में भी पहले जैसी ही तेजी और गोल दागने में उतनी ही सफाई ने साबित कर दिया कि इस स्टार की जगह लेना आसान नहीं है. साथ ही क्वालिफायर मैच से पहले टीम इंडिया का जोश भी इस जीत से बढ़ा होगा.
जूनियर विश्व कप निशानेबाजी की मेजबानी करेगा भारत
9 Mar, 2025 07:15 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
नई दिल्ली । भारत इस साल 24 सितंबर से 2 अक्टूबर तक जूनियर विश्व कप निशानेबाजी की मेजबानी करेगा। विश्व कप निशानेबाजी में राइफल, पिस्टल और शॉटगन की प्रतियोगितायें । यह हाल के दिनों में का तीसरा शीर्ष अंतरराष्ट्रीय निशानेबाजी खेल महासंघ (आईएसएसएफ) का टूर्नामेंट होगा जो भारत में आयोजित किया जाएगा। राष्ट्रीय महासंघ के अध्यक्ष कलिकेश नारायण सिंह देव ने कहा, ‘‘पिछले महीने रोम में आईएसएसएफ की कार्यकारी समिति की एक सार्थक बैठक हुई थी और सभी सदस्य महासंघों के अलावा आईएसएसएफ अध्यक्ष लुसियानो रॉसी ने भारत की शीर्ष अंतरराष्ट्रीय निशानेबाजी प्रतियोगिताओं की मेजबानी करने और खेल को वैश्विक स्तर पर आगे बढ़ाने में सहायता करने के तरीके की प्रशंसा की थी।’’उन्होंने कहा, ‘‘हमें तब इसकी उम्मीद थी पर अब जब मेजबानी मिलने की आधिकारिक पुष्टि हो गई है तो हम अपना सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करने के लिए उत्साहित हैं। ’’ वहीं भारतीय राष्ट्रीय राइफल संघ (एनआरएआई) के महासचिव सुल्तान सिंह ने कहा, ‘‘आईएसएसएफ ने अपने पत्र में हमसे दो संभावित समय की पुष्टि करने का अनुरोध किया है जिसमें एक सितंबर-अक्टूबर में और दूसरा अक्टूबर के अंत तथा नवंबर की शुरुआत के दौरान है। हम आंतरिक रूप से बैठक के बाद शीघ्र ही उन्हें इसके बारे में बताएंगे जिससे सदस्य महासंघ इसके अनुसार तैयारी कर सकें।’’ इससे पहले भारत ने दो महाद्वीपीय चैंपियनशिप और छह आईएसएसएफ प्रतियोगिताओं की मेजबानी की थी जिसमें दो विश्व कप फाइनल प्रतियोगितायें और चार सीनियर आईएसएसएफ विश्व कप शामिल हैं। साल 2023 में सीनियर विश्व कप भी भारत में हुआ था!
भारतीय दिग्गज ने 273 दिन बाद संन्यास से की वापसी, टीम इंडिया की खातिर लिया अहम कदम
7 Mar, 2025 08:49 AM IST | GRAMINBHARATTV.IN
Sunil Chhetri: खेलों में संन्यास के ऐलान के बाद वापसी के कई उदाहरण देखने को मिले हैं और अब एक भारतीय दिग्गज भी ऐसी ही वापसी करने जा रहा है. जी हां, भारत के महानतम फुटबॉल खिलाड़ी और पूर्व कप्तान सुनील छेत्री ने संन्यास से वापसी का ऐलान कर दिया है. छेत्री ने टीम इंडिया को क्वालिफिकेशन हासिल करने में मदद करने के लिए ये बड़ा फैसला किया है. भारतीय फुटबॉल संघ ने गुरुवार को इसका ऐलान किया और बताया कि मार्च विंडो में होने वाले मुकाबले के लिए सुनील छेत्री वापसी करने जा रहे हैं.
संन्यास के 273 दिन वापसी का ऐलान
भारतीय फुटबॉल के सबसे सफल खिलाड़ी सुनील छेत्री ने पिछले साल ही इंटरनेशनल फुटबॉल से संन्यास का ऐलान किया था. 40 साल के हो चुके छेत्री ने 6 जून को कुवैत के खिलाफ अपना आखिरी मैच खेला था, जो 0-0 से ड्रॉ रहा था. ये वर्ल्ड कप 2026 का क्वालिफायर मुकाबला था लेकिन भारतीय टीम को सफलता नहीं मिल पाई थी. तब आंसुओं के साथ छेत्री की विदाई हुई थी. अब 273 दिन बाद एक बार फिर उन्होंने भारतीय जर्सी पहनने का फैसला किया है.
25 मार्च को भारत-बांग्लादेश AFC मुकाबला
इन दिनों 2027 में होने वाले AFC एशियन कप के क्वालिफायर मुकाबले खेले जा रहे हैं और उसमें टीम इंडिया का एक अहम मुकाबला इस महीने के अंत में होना है. ये मैच भारत और बांग्लादेश के बीच 25 मार्च को खेला जाएगा, जो मेघालय की राजधानी शिलॉन्ग में होगा. इस मुकाबले की अहमियत को देखते हुए ही छेत्री ने ये फैसला किया है. छेत्री ने इंटरनेशनल फुटबॉल में 94 गोल दागे हैं, जो भारत की ओर से सबसे ज्यादा हैं. जबकि विश्व फुटबॉल में वो चौथे नंबर पर हैं. छेत्री के पास अब अपने आंकड़ों में इजाफा करने का मौका है.
शानदार फॉर्म में सुनील छेत्री
इसके साथ ही पहली बार नए कोच मानोलो मार्केज की टीम में सुनील छेत्री खेलते हुए दिखेंगे. पिछले साल छेत्री के संन्यास के बाद ही मार्केज को भारतीय टीम का नया कोच नियुक्त किया गया था. इसके बाद से टीम इंडिया ने जो 4 इंटरनेशनल मैच खेले, उसमें कोच ने फॉरवर्ड लाइन में अलग-अलग विकल्पों को इस्तेमाल किया. लेकिन खास सफलता नहीं मिली और 4 मुकाबलों में सिर्फ 2 गोल भारतीय टीम दाग सकी. ऐसे में मार्केज ने भारतीय फुटबॉल के सबसे सफल अटैकर को टीम में वापस बुलाने का फैसला किया है.
ISL में 12 गोल और 2 असिस्ट
छेत्री की वापसी की एक बड़ी वजह उनकी मौजूदा फॉर्म भी है. इंटरनेशनल फुटबॉल से संन्यास के बावजूद छेत्री अपने क्लब बेंगलुरु एफसी के लिए लगातार खेल रहे हैं. इंडियन सुपर लीग (ISL) के मौजूदा सीजन में छेत्री ने बेंगुलरु के लिए अभी तक 12 गोल दागे हैं, जिसमें केरला ब्लास्टर्स के खिलाफ एक शानदार हैट्रिक भी थी. इसके अलावा उनके नाम दो असिस्ट भी हैं, जिससे कुल मिलाकर 14 गोल में वो शामिल रहे हैं. ऐसे में मार्केज और भारतीय फुटबॉल संघ ने महान फुटबॉलर की फॉर्म का फायदा उठाने के लिए ये कदम उठाया है और छेत्री ने इसके लिए हामी भरी है.
D Gukesh विफल रहने के बावजूद शांत, हार्ट-रेट मॉनीटर ने भी पुख्ता किया
13 Feb, 2025 04:54 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
विश्व शतरंज चैंपियनशिप में डिंग लिरेन के खिलाफ ऐतिहासिक जीत दर्ज करने वाले डी गुकेश अपने शांत स्वभाव के लिए जाने जाते हैं। जीत के बाद भी उन्होंने अपनी जीत का जश्न शांति से मनाया। गुकेश ने जिस शांत तरीके से अपनी जीत और सफलता का जश्न मनाया, उसे देखकर पूरी दुनिया हैरान रह गई।
यह पता चला कि मानसिक कंडीशनिंग कोच पैडी अप्टन गुकेश की विश्व चैंपियनशिप टीम का हिस्सा थे। अप्टन 2011 के वनडे विश्व कप की जीत के दौरान भारतीय क्रिकेट टीम के साथ काम करने के लिए मशहूर हैं। गुकेश ने एक बार फिर वीसेनहाउस फ्रीस्टाइल शतरंज ग्रैंड स्लैम में अपनी शांतचित्तता दिखाई है, जिसकी पुष्टि हार्ट-रेट मॉनिटर ने की है। फ्रीस्टाइल ग्रैंड स्लैम टूर के शुरुआती चरण में जीत हासिल करने में विफल रहने के बावजूद, गुकेश ने टूर्नामेंट के माध्यम से दिखाया है कि वह दबाव में भी प्रदर्शन करने के लिए तैयार हैं और इससे प्रभावित नहीं होते हैं, कुछ ऐसा जो भारतीय क्रिकेट के दिग्गज एमएस धोनी की याद दिलाता है।
फैबियानो कारुआना के खिलाफ क्वार्टरफाइनल में हार के पहले गेम के दौरान, गुकेश के पास घड़ी पर सिर्फ़ एक मिनट बचा था, और उसकी हृदय गति 78 बीट प्रति मिनट (बीपीएम) थी। इस बीच, कारुआना, जिसके पास घड़ी पर 35 सेकंड और बचे थे, आश्चर्यजनक रूप से किनारे पर था, और उसकी हृदय गति 124 बीपीएम थी।
मैग्नस कार्लसन की हृदय गति से भी बेहतर
दिलचस्प बात यह है कि वीसेनहॉसन में चल रहे फ्रीस्टाइल ग्रैंड स्लैम में मॉनिटर हैं जो गेम के दौरान खिलाड़ियों की हृदय गति को मापते हैं और उन्हें वास्तविक समय में स्क्रीन पर प्रदर्शित करते हैं। इस बीच, यहां तक कि कारुआना ने गेम के दौरान गुकेश के संयम की ओर इशारा किया। डेविड हॉवेल से बात करते हुए, उन्होंने पूछा, "उसकी हृदय गति लगभग 70 थी?"
"यह काफी प्रभावशाली है... साथ ही, मैग्नस की हृदय गति भी बहुत ज़्यादा नहीं बढ़ती है," उन्होंने कहा। इस बीच, आधिकारिक टिप्पणीकार पीटर लेको और जुडिट पोलगर भी गुकेश के हृदय गति मॉनिटर नंबरों से हैरान हैं। लेको ने लाइव कवरेज के दौरान पोलगर से पूछा, "वह ऐसा कैसे करता है? वह कौन है!" पिछले साल सिंगापुर में गुकेश की जीत के बाद, अप्टन ने भारतीय जीएम की बाहरी दुनिया से खुद को अलग करने की क्षमता के बारे में भी बात की। हिंदुस्तान टाइम्स से बात करते हुए, उन्होंने कहा, "यह एक ऐसा कौशल है जिसकी एक शतरंज खिलाड़ी को ज़रूरत होती है। हाँ। किसी भी एथलीट के लिए, सबसे महत्वपूर्ण बात सही ढंग से ध्यान केंद्रित करना और पूरी तरह से मौजूद रहना है। और विशेष रूप से ऐसे खेल में जो लगभग पूरी तरह से मानसिक है और 6-7 घंटे तक चलता है, ध्यान बनाए रखने की क्षमता वास्तव में महत्वपूर्ण है, और बहुत कम लोग लगातार छह घंटे तक पूरी तरह से ध्यान केंद्रित कर सकते हैं।
कुछ खेलों में हम इसे स्विच अप और स्विच डाउन करने में सक्षम होना कहते हैं।" उन्होंने कहा कि आपके पास ऐसे समय होते हैं जब आप अगले कदम को समझते हैं। आप सभी विकल्पों को समझते हैं, आपने उन सभी चीजों के बारे में सोचा है जो आपको करने की ज़रूरत है, और फिर आपको बस अपने दिमाग को थोड़ा आराम देने की ज़रूरत है। आप अपनी आँखें बंद करते हैं और यह वास्तव में सभी दृश्य उत्तेजना को दूर करने के बारे में है। और यह लगभग रिचार्ज करने का एक तरीका है, थोड़ा सा रिचार्ज करें और बैटरी को ऊपर उठाएँ।
ग्रैंडमास्टर आर प्रज्ञानंद ने वर्ल्ड चैंपियन डी गुकेश को हराकर टाटा स्टील मास्टर्स का जीता खिताब
3 Feb, 2025 01:59 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
Tata Steel Masters Title: भारत के स्टार चेस खिलाड़ी डी गुकेश हाल ही में वर्ल्ड चैंपियन बने थे. इसके बाद अब उन्हें पहली बार हार का सामना करना पड़ा है. भारतीय ग्रैंडमास्टर आर प्रज्ञानंद ने उन्हें नीदरलैंड में हुए एक रोमांचक मुकाबले में मात दी और टाटा स्टील मास्टर्स का खिताब अपने नाम किया. प्रज्ञानंद ने टाई ब्रेक में वर्ल्ड चैंपियन गुकेश को 2-1 से हराकर सभी को चौंका दिया. उन्होंने ना सिर्फ गुकेश का मात दी है, बल्कि 2006 के बाद इस टूर्नामेंट को जीतने वाले पहले भारतीय ग्रैंडमास्टर बन गए हैं. बता दें पिछली बार चेस के दिग्गज खिलाड़ी विश्वनाथन आनंद ने इस खिताब को जीता था.
अंतिम राउंड में जीत की हासिल
नीदरलैंड के विज आन जी में खेले गए टाटा स्टील मास्टर्स टूर्नामेंट में 14 खिलाड़ियों ने हिस्सा लिया था, जिसे राउंड-रॉबिन फॉर्मेट में खेला गया. इस दौरान गुकेश और प्रज्ञानंद 13वें राउंड के बाद टाई पर आ गए थे. दोनों ने क्लासिक गेम को गंवा दिया था और 8.5 पॉइंट्स की बराबरी पर थे. बता दें गुकेश को जहां अर्जुन एरिगेसी के खिलाफ हार का सामना करना पड़ा. वहीं प्रज्ञानंद को विंसेंट कीमर ने हराया था. इससे मुकाबला टाईब्रेकर में चला गया. इसके बाद अंतिम राउंड में दोनों के बीच भिड़ंत हुई, जिसमें प्रज्ञानंद ने बाजी मार ली.
गुकेश को हराकर बने दूसरे भारतीय चैंपियन
डी गुकेश पिछले कुछ समय से लगातार हर टूर्नामेंट में शानदार प्रदर्शन करते आ रहे हैं. वर्ल्ड चैंपियन बनन के बाद से उनका आत्मविश्वास भी बढ़ा हुआ था. वहीं इस टूर्नामेंट में फाइनल राउंड तक पहुंचने कामयाब रहे. सभी को उम्मीद थी कि उनकी ही जीत होगी. लेकिन प्रज्ञानंद ने बड़ा उलटफेर कर दिया और टूर्नामेंट को जीतने वाले दूसरे भारतीय बन गए. इसने सभी फैंस को चौंका दिया. वहीं हार के बाद गुकेश भी काफी निराश नजर आए. दूसरी ओर वियतनाम के थाई डाई वैन गुयेन ने टाटा चैलेंजर्स 2025 का टाइटल जीता. इसके अलावा प्रज्ञानंद की बहन ग्रैंडमास्टर जी वैशाली इस टूर्नामेंट में 9वें नंबर, जबकि दिव्या देशमुख ने 12वें नंबर पर रहीं.