उत्तर प्रदेश
झारखंड के मंत्री के फेसबुक पेज को हैक कर डाला अश्लील सामग्री
21 Mar, 2025 02:09 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
झारखंड सरकार के नगर विकास मंत्री सुदिव्य कुमार सोनू का फेसबुक पेज हैक हो गया है. गुरुवार को उनके ऑफिशियल पेज से अश्लील और आपत्तिजनक पोस्ट शेयर किए गए, जिससे उनके समर्थक और आम जनता हैरान रह गई, मंत्री के फेसबुक पेज पर 24 हजार से अधिक फॉलोअर्स हैं. जैसे ही मंत्री सुदिव्य कुमार सोनू और उनकी टीम को इस घटना की जानकारी मिली, उन्होंने तुरंत फेसबुक पेज को रिकवर करने की कोशिश शुरू कर दी. लेकिन, उन्हें अपना एडमिन एक्सेस नहीं मिल पाया.
इसे लेकर रांची स्थित लालपुर साइबर थाने में लिखित शिकायत की गई है. मंत्री के फेसबुक पेज का ऑपरेशन संभालने वाले रांची के कोकर निवासी ओमप्रकाश रमण ने शिकायत में कहा है कि इस पेज में सुदिव्य कुमार सोनू और गोपाल विश्वकर्मा को एडमिन का पावर था. अचानक सभी एडमिन का पावर खत्म कर दिया गया. साइबर पुलिस से इस संबंध में आवश्यक कार्रवाई का अनुरोध किया गया है.
गुरुवार तक मंत्री के फेसबुक पेज पर किया गया अश्लील पोस्ट भी नहीं हटाया जा सका था. शुक्रवार को यानि आज पोस्ट हटाने की कोशिश जारी है. इस पर शाम सात बजे तक 130 से ज्यादा लोगों के कमेंट आए हैं. मंत्री के समर्थक तमाम यूजर्स से पोस्ट को नजरअंदाज करने और इस संबंध में फेसबुक को रिपोर्ट करने का अनुरोध कर रहे हैं.
फर्जी फेसबुक अकाउंट बनाया
पिछले महीने भी साइबर अपराधियों ने झारखंड के डीजीपी अनुराग गुप्ता का फोटो इस्तेमाल कर फर्जी फेसबुक अकाउंट बना लिया था और इसके जरिए आम लोगों को फ्रेंड रिक्वेस्ट भेजे गए थे. मामला तब उजागर हुआ जब इस फर्जी फेसबुक अकाउंट में डीजीपी अनुराग गुप्ता के नाम की स्पेलिंग गलत होने पर कुछ लोगों ने पुलिस का ध्यान आकृष्ट कराया.
पहले भी हो चुके हैं ऐसे कांड
पुलिस का साइबर सेल इस मामले की तहकीकात कर रहा है. झारखंड के पूर्व डीजीपी आईपीएस नीरज सिन्हा के साथ-साथ कुछ आईएएस अधिकारियों के भी फर्जी सोशल मीडिया प्रोफाइल बनाकर ठगी की कोशिश के मामले सामने आ चुके हैं, लेकिन किसी मंत्री का सोशल मीडिया पेज हैक कर लिए जाने की यह पहली घटना है.
बीजेपी के बाद कांग्रेस ने भी 2027 चुनाव के लिए बिछाई सियासी बिसात
21 Mar, 2025 02:07 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
उत्तर प्रदेश में विधानसभा चुनाव 2027 में है, लेकिन सियासी बिसात अभी से ही बिछाई जाने लगी है. बीजेपी के बाद कांग्रेस ने भी यूपी में अपने जिला और महानगर अध्यक्षों के नाम का ऐलान कर दिया है. यूपी कांग्रेस कमेटी ने गुरुवार को 133 जिला और शहर अध्यक्षों के नामों की घोषणा कर 2027 चुनाव के लिए अपने सेनापति को उतार दिया है. ऐसे में सवाल ये उठता है कि राहुल गांधी के सामाजिक न्याय के एजेंडे पर प्रदेश अध्यक्ष अजय राय की टीम कितनी फिट बैठती है. कांग्रेस के लिए बंजर बन चुकी यूपी की जमीन पर क्या सियासी फसल लहरा पाएंगे?
2024 के लोकसभा चुनाव के बाद कांग्रेस ने दिसंबर में उत्तर प्रदेश में अपने सभी फ्रंटल संगठनों सहित जिला अध्यक्षों और शहर अध्यक्षों को भंग कर दिया था. इसके बाद 100 दिन में दोबारा से पार्टी संगठन बनाने की बात कही थी. इसके बाद से बी पार्टी अपने संगठन के पुनर्गठन की प्रक्रिया में लगी हुई थी. पार्टी राष्ट्रीय महासचिव संगठन केसी वेणुगोपाल की तरफ से गुरुवार खाम सभी नए जिला अध्यक्षों और शहर अध्यक्षों की सूची जारी की गई है. कांग्रेस के पुनर्गठन में प्रियंका गांधी के करीबी नेताओं का ख्याल रखा गया है तो राहुल गांधी के सामाजिक न्याय वाले एजेंडे को भी अमलीजामा पहनाने की कवायद की गई है.
राहुल गांधी के एजेंडे पर कांग्रेस का फोकस
यूपी की जिला और शहर अध्यक्ष के चयन में कांग्रेस ने राहुल गांधी के सामाजिक न्याय-पिछड़ा, दलित और अल्पसंख्यक समुदाय का पूरा ख्याल रखा गया है. कांग्रेस ने उत्तर प्रदेश के 75 जिलों के जिला अध्यक्ष और महानगर अध्यक्षों को मिलाकर कांग्रेस ने 133 पदाधिकारी घोषित किए हैं, जिसके जरिए नई सोशल इंजीनियरिंग बनाने की कोशिश की है. कांग्रेस के 133 जिला और शहर अध्यक्षों में 85 जिला-शहर अध्यक्ष ओबीसी, दलित और अल्पसंख्यक समुदाय से हैं, जो 65 फीसदी के करीब है. कांग्रेस ने 49 सवर्ण जातियों से आने वाले नेताओं को नियुक्ति की है तो 20 दलित समुदाय से हैं.
कांग्रेस ने ब्राह्मण समाज का रखा ख्याल
कांग्रेस के बनाए नए जिला और शहर अध्यक्ष की फेहरिश्त देखें तो 49 सवर्ण जातियों से हैं, जिसमें सबसे ज्यादा ब्राह्मण समाज से हैं. 27 ब्राह्मण नेताओं को जिले और शहर की कमान कांग्रेस ने सौंपी है. कांग्रेस ने 19 फीसदी हिस्सेदारी ब्राह्मण समाज को दी है. इसके बाद दूसरा नंबर ठाकुर समुदाय का आता है, ठाकुर समुदाय से 12 जिला और शहर अध्यक्ष बनाए गए हैं. वैश्य समाज से पांच और दो कायस्थ समुदाय के नेताओं की नियुक्ति की है. इसके अलावा तीन भूमिहार समाज से शहर-जिला अध्यक्ष बनाए गए हैं. कांग्रेस ने 35 फीसदी हिस्सेदारी सवर्णों समाज के नेताओं की दी है, जिसमें ब्राह्मण 29 फीसदी, ठाकुर 9 फीसदी, वैश्य 3 फीसदी और अन्य सवर्ण करीब 3 फीसदी हैं.
गांधी परिवार के गढ़ और राहुल गांधी के संसदीय क्षेत्र रायबरेली में पंकज तिवारी को दोबारा से जिला अध्यक्ष की कमान सौंपी गई है तो धीरज श्रीवास्तव को दोबारा से शहर अध्यक्ष बनाया गया है. कांग्रेस ने पहली बार इतनी कम संख्या में ब्राह्मण समाज से जिला-शहर अध्यक्ष बनाए गए हैं. अमेठी में जिला अध्यक्ष की कमान प्रदीप सिंघल को फिर सौंपी गई है जबिक शहर अध्यक्ष के नाम का ऐलान नहीं किया गया. रायबरेली में करीब तीन दशक से ब्राह्मण समाज से ही जिला अध्यक्ष बनते आ रहे हैं जबकि जिले में दलित और ओबीसी की संख्या काफी ज्यादा है.
PDA फार्मूला पर कांग्रेस का फोकस
कांग्रेस ने जिला और शहर अध्यक्ष के चयन में पीडीए फार्मूले यानि पिछड़ा, दलित और अल्पसंख्यक समुदाय का ख्याल रखा है. कांग्रेस ने 85 जिला-शहर अध्यक्ष इन्हीं तीनों समुदाय से बनाए हैं, जो 65 फीसदी के करीब है. कांग्रेस ने 48 ओबीसी समाज से जिला और शहर अध्यक्ष बनाए हैं, जिसमें 33 हिंदू ओबीसी, 15 मुस्लिम ओबीसी समुदाय के नेताओं को कमान सौंपी गई है. हालांकि, मुस्लिम समुदाय से कुल 32 सदस्यों की नियुक्ति की गई है, जिसमें 17 जनरल जाति के मुस्लिम और 15 ओबीसी मुस्लिम हैं. इसके अलावा अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति से 20 जिला अध्यक्ष बनाए गए हैं, जिनमें 19 दलित और एक आदिवासी समुदाय से हैं.
उत्तर प्रदेश कांग्रेस कमेटी ने जिस तरह से संगठन में दलित, ओबीसी और अल्पसंख्यक को 65 फीसदी हिस्सेदारी दी है, उससे एक बात साफ है कि राहुल गांधी के सामाजिक न्याय वाले एजेंडे को संगठन में अमलीजामा पहनाने की कवायद की गई है. सपा प्रमुख अखिलेश यादव भी पीडीए के एजेंडे पर ही अपनी सियासी बिसात बिछा रहे हैं तो बीजेपी ने भी अपने संगठन में दलित और ओबीसी को खास तवज्जे दी है. ऐसे में कांग्रेस ने भी दलित और ओबीसी के साथ मुस्लिम समीकरण का दांव चला है. लोकसभा चुनाव में सपा को पीडीए फॉर्मूले से जबरदस्त सफलता मिली थी और कांग्रेस भी गठबंधन का हिस्सा थी. ऐसे में अब कांग्रेस 2027 के विधानसभा चुनाव के पहले पीडीए फार्मूले से यूपी में अपनी खोई जमीन तलाशने की कोशिश में है.
कांग्रेस संगठन पर प्रियंका गांधी की छाप
उत्तर प्रदेश में 2017 के विधानसभा चुनाव में हर के बाद कांग्रेस पार्टी ने प्रियंका गांधी को राष्ट्रीय महासचिव और उत्तर प्रदेश का प्रभारी बनाकर भेजा था. पर उनके नेतृत्व में 2022 के चुनाव में कांग्रेस को उत्तर प्रदेश में मिली करारी हार के बाद यह माना जा रहा था कि प्रदेश में अब उनके और उनके लोगों को जिम्मेदारी नहीं दी जाएगी. पर कांग्रेस की ओर से जारी 133 जिला व शहर अध्यक्षों की सूची में प्रियंका गांधी की चली है. इस सूची में ज्यादातर जिला अध्यक्षों और शहर अध्यक्षों के तौर पर प्रियंका गांधी की टीम में के लोगों को जिम्मेदारी दी गई है.मथुरा शहर की जिम्मेदारी कांग्रेस ने लोकसभा चुनाव के प्रत्याशी रहे मुकेश धनगर को जिला अध्यक्ष बनाया है जबकि आगरा जिला अध्यक्ष की जिम्मेदारी लोकसभा प्रत्याशी रहे रामनाथ सिकरवार को दी गई है.
लखनऊ जिला अध्यक्ष की जिम्मेदारी रुद्र दमन सिंह बबलू को दी गई है. जबकि शहर अध्यक्ष पर कोई बदलाव नहीं किया गया है लखनऊ शहर अध्यक्ष डॉ शहजाद और अमित त्यागी को ही बनाया गया है. कानपुर नगर की बात करें तो महानगर की जिम्मेदारी पवन गुप्ता को सौंपी गई है जबकि कानपुर देहात की जिम्मेदारी अमित सिंह गौर को दी गई है. कांग्रेस की जिला अध्यक्षों और शहर अध्यक्षों की सूची में प्रदेश अध्यक्ष अजय राय और प्रभारी अविनाश पांडे के लोगों को तवज्जो ना के बराबर मिली है केवल बनारस आसपास के जिलों में ही अजय राय अपने अनुसार जिला अध्यक्ष नगर अध्यक्ष बनवाने में सफल हुए है.
कांग्रेस ने युवा नेताओं को दिया तवज्जो
कांग्रेस ने शहर और जिला अध्यक्ष की नियुक्त में युवा चेहरों को खास तवज्जे दी है. 133 शहर और जिला अध्यक्ष की फेहरिश्त देखें तो 84 नेताओं की उम्र 21 साल से 50 साल के बीच है. 21 से 40 साल के उम्र के 25 नेताओं को जिला-शहर अध्यक्ष बनाया गया है जबकि 41 साल से 50 साल के उम्र के 59 नेताओं को शहर व जिले की कमान सौंपी गई है. 51 से 60 साल के 40 नेताओं को संगठन में जिले की कमान सौंपी गई है जबकि 61 साल से ज्यादा उम्र के 7 नेता हैं, जिनमें 2 नेताओं की उम्र 70 साल से ज्यादा है. इस तरह कांग्रेस ने जिला और शहर अध्यक्ष बनाने में उम्र का खास ख्याल रखा है, औसतन उम्र 47 साल है. कांग्रेस ने 2027 के लिहाज से युवा टीम का गटन किया है.
अंतरराष्ट्रीय सेक्स रैकेट का खुलासा,ऑन डिमांड स्पा और शराब का धंधा समिट बिल्डिंग में चलाता था गैरकानूनी कारोबार
21 Mar, 2025 10:50 AM IST | GRAMINBHARATTV.IN
यूपी के लखनऊ से एक हैरतअंगेज मामला सामने आया है. राज्य की राजधानी के पॉश इलाके में देह व्यापार का धंधा चल रहा था. आरोपी की पहचान शक्ति सिंह के रूप में हुई है. आरोपी थाईलैंड की लड़कियों को बुलाकर अपने फ्लैट में रखता था. थाईलैंड की लड़कियां 90 दिन के टूरिस्ट वीजा पर भारत आती हैं और फिर वीजा खत्म होने पर एक हफ्ते के लिए वापस चली जाती थी.
पुलिस ने बताया कि आरोपी थाईलैंड की लड़कियों से अपने नाइट क्लब में काम करवाता था. लड़कियां क्लब में शराब सर्व करने का काम करती थीं. साथ ही हाई प्रोफाइल ग्राहकों को रिझाती थी. ऐसे में जो भी ग्राहक लड़की चुनता था आरोपी रेट फिक्स होने पर उसको भेज देता था. थाईलैंड की लड़कियां मसाज पार्लर, स्पा में भी काम करती थी.
अपार्टमेंट में पकड़ी गईं लड़कियों ने किया खुलासा
पुलिस ने बताया कि आरोपी के इस काम का खुलासा उसी के अपार्टमेंट में पकड़ी गईं 10 थाई लड़कियों ने किया है. पुलिस ने बताया कि शक्ति सिंह ने प्राइवेट यूनिवर्सिटी से MBA किया और वह फैजाबाद का रहने वाला है. लोगों को दिखाने के लिए शक्ति रियल एस्टेट का काम करता है. शक्ति की ‘श्री साईं रियल इन्फ्रा प्राइवेट लिमिटेड’ नाम से कंपनी भी है, जो दिसंबर 2022 में शुरू हुई है. कंपनी के निदेशक साधना सिंह और शक्ति सिंह हैं.
हाई-प्रोफाइल दलालों का नेटवर्क है एक्टिव
पुलिस से मिली जानकारी थाईलैंड में इन लड़कियों को धोखा देकर धंधे में धकेला जाता था. लड़कियों को लखनऊ लाने के लिए हाई-प्रोफाइल दलालों का नेटवर्क एक्टिव है. लड़कियों को पहले लालच दिया जाता था, फिर धोखा देकर देह व्यापार के धंधे में शामिल कर लिया जाता था. शक्ति हाइट्स में छापेमारी के दौरान जिन लड़कियों को पकड़ा गया है, पुलिस उनके रजिस्टर और दस्तावेजों की जांच कर रही है. इसके अलावा ये भी पता किया जा रहा है कि लड़कियां कितने समय से लखनऊ में रह रही थी और कितनी बार लखनऊ आ चुकी हैं.
पुलिस ने बताया कि शक्ति ने मल्हौर रोड पर बिना नक्शा पास कराए चार अपार्टमेंट बनाए है, जिसमें वो थाईलैंड की लड़कियों को रखता था. इसके अलावा पुलिस ने बताया कि कि शक्ति सिंह के खिलाफ पहले से भी कई आपराधिक मुकदमे चल रहे हैं. सिंह के खिलाफ अवैध निर्माण और बिजली चोरी के भी कई मामले दर्ज हैं.
घर से सामान लेने गया बच्चा कुत्तों के चंगुल में फंसा, दर्दनाक मौत
20 Mar, 2025 08:11 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
यूपी के मुरादाबाद के कुंदरकी थाना इलाके में जंगली कुत्तों का आतंक दिन-प्रतिदिन बढ़ता ही जा रहा है. ताजा मामला कुन्दरकी थाना इलाके के ही मोहम्मद जमापुर गांव का है, जहां एक 7 साल के मासूम छात्र अब्दुल की कुत्तों के हमले में मौके पर ही मौत हो गई. बच्चा घर से चीज लेने के लिए निकला था. इसी दौरान जंगली कुत्तों के झुंड ने उस पर हमला कर दिया. बच्चा जब घर नहीं पहुंचा तो परिवार के लोग काफी घबरा गए. इस दौरान उन्होंने जब बच्चे की तलाश शुरू की तो उसका शव आम के बाग के पास खून से लथपथ पड़ा हुआ मिला.
मुरादाबाद के कुंदरकी इलाके में एक सात साल के मासूम अब्दुल की कुत्तों के हमले में मौत हो गई. अब्दुल घर के पास ही सरकारी स्कूल में दूसरी क्लास का छात्र था. वह घटना वाले दिन स्कूल गया था और क्लास पूरी होने के बाद घर लौटा था. इसके बाद वह चीज लेने के लिए घर से निकला था. इसी बीच आम के बाग के पास उसे करीब एक दर्जन जंगली कुत्तों ने उसे घेर लिया. इसके बाद उन कुत्तों ने अब्दुल पर हमला कर उसे लहूलुहान कर दिया, जिसमें उसकी मौके पर ही मौत हो गई.
खून से लथपथ मिला बच्चे का शव
चीज लेने के लिए घर से निकला बच्चा जब घर नहीं पहुंचा तो परिवार के लोग काफी परेशान हो गए. घर वालों ने तुरंत बच्चे को ढूंढना शुरू किया. इस बीच देर शाम अब्दुल का शव खून से लथपथ आम के बाग के पास मिला. इसके बाद गांववालों ने घटना की जानकारी पुलिस को दी. मामले की जानकारी होते ही पुलिस की टीम मौके पर पहुंच गई और उन्होंने फोरेंसिक टीम को भी मौके पर बुला लिया. पुलिस ने बच्चे के शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया.
कुत्तों के हमले में बच्चे की मौत
तमाम लोगों ने कुत्तों को वहां से भगा दिया था, लेकिन तब तक मासूम बच्चे की मौत हो गई थी. मामले की जानकारी देते हुए पुलिस के वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि कुंदरकी थाना क्षेत्र के जमापुर गांव में तकरीबन 6:30 बजे एक बच्चे की डेड बॉडी मिलने की सूचना पुलिस को प्राप्त हुई थी. सूचना मिलते ही कुंदरकी पुलिस तत्काल मौके पर पहुंच गई थी. यहां एक 7 साल के बच्चा का शव मिला है. प्रथम दृष्टि या लग रहा है कुछ कुत्तों के हमले में बच्ची की मौत हो गई है.
गांव में कुत्तों का आतंक
गांववालों के अनुसार क्षेत्र में जंगली कुत्तों का आतंक लंबे समय से है, आए दिन जंगली कुत्ते जानवरों को भी अपना शिकार बनाते रहते हैं. मृतक बच्चे के परिजन ने बताया गया कि बच्चा पढ़ने के लिए स्कूल गया था. स्कूल से घर आने के बाद बच्चा चीज लेने के लिए पैसे लेकर घर से निकला था. इसी बीच दुकान पर जाते समय पता नहीं वह कहीं निकल गया था. इसी बीच कुत्तों के हमले में उसकी मौत हो गई.
इन्वेस्ट यूपी के सीईओ की मुश्किलें बढ़ीं, सीएम योगी ने सस्पेंड कर एफआईआर दर्ज करवाई
20 Mar, 2025 06:25 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
लखनऊ. यूपी के सीनियर IAS अभिषेक प्रकाश को सीएम योगी ने सस्पेंड कर दिया. डिफेंस कॉरिडोर के लिए जमीन अधिग्रहण में गड़बड़ी के आरोपों के बाद यह फैसला लिया गया. औद्योगिक विकास विभाग के सचिव और इन्वेस्ट यूपी के CEO अभिषेक प्रकाश 2006 बैच के आईएएस अफसर हैं. लखनऊ डिफेंस एक्सपो जमीन घोटाले में भ्रष्टाचार और फर्जी दस्तावेजों के आरोप सामने आए हैं. यह मामला भटगांव में डिफेंस कॉरिडोर के लिए जमीन अधिग्रहण से जुड़ा है. मुआवजे के नाम पर अनियमितताओं के चलते तत्कालीन DM लखनऊ, IAS अभिषेक प्रकाश को निलंबित किया गया. जांच जारी है. उद्यमी की शिकायत पर पुलिस ने एफआईआर दर्ज की है.
अभिषेक प्रकाश लखीमपुर खीरी, बरेली, हमीरपुर और लखनऊ के डीएम रह चुके हैं. स्पेशल सेक्रेटरी होम डिपार्टमेंट, मेरठ में एमडी वेस्टर्न इलेक्ट्रिक डिपार्टमेंट, डायरेक्टर नेडा, स्पेशल सेक्रेटरी यूपी मेडिकल, हेल्थ एंड फैमली वेलफेयर डिपार्टमेंट रह चुके हैं.
निकांत जैन एक बिचौलियों को भी पुलिस ने गिरफ्तार किया है. आरोप है की सोलर इंडस्ट्री लगाने के लिए उद्यमी ने किया था. इन्वेस्ट यूपी में आवेदन काम कराने के लिए वसूलीबाज आरोपी जैन ने कमीशन मांगा था.
इलाहाबाद हाई कोर्ट का विवादास्पद आदेश: छाती पर हाथ रखना और नाड़ा खोलना रेप की श्रेणी में नहीं
20 Mar, 2025 06:16 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
भारत के लोगों का कोर्ट में काफी विश्वास है. अगर किसी के साथ कुछ गलत हुआ है तो वो न्याय के लिए इसी कोर्ट पर आश्रित हो जाता है. कोर्ट में जज भी मामले के हर पहलु को देखते हुए ही किसी केस पर सुनवाई करते हैं. लेकिन कई बार कुछ मामलों में ऐसे फैसले लिए जाते हैं, जिसके बाद बवाल मच जाता है. इन दिनों इलाहाबाद हाईकोर्ट के एक ऐसे ही फैसले ने बवाल मचाया हुआ है.
इलाहाबाद हाई कोर्ट में एक नाबालिग के साथ कथित बलात्कार के केस पर जज ने ऐसा बयान दिया, जिसके बाद बहस छिड़ गई. दो लड़कों ने एक नाबालिग लड़की के साथ छेड़खानी की थी. पवन और आकाश नाम के इन आरोपितों ने नाबालिग के निजी अंग छुए थे. इसके बाद पायजामा खोल दिया था. गनीमत थी कि आसपास के लोगों ने बच्ची की चीख सुन ली और उसे बचा लिया. इसके बाद दोनों आरोपियों के खिलाफ मामला दर्ज करवाया गया था, जिसमें भारतीय दंड संहिता (IPC) की धारा 376 और पॉक्सो अधिनियम की धारा 18 के तहत मुकदमे दर्ज किए गए थे. लेकिन आरोपियों ने अपने ऊपर लगी धाराओं के खिलाफ हाई कोर्ट में अपील की थी.
क्या कहा कोर्ट ने?
आरोपियों द्वारा दायर की गई याचिका पर कोर्ट के जज ने टिप्पणी करते हुए कहा कि दोनों के खिलाफ रेप के केस नहीं दर्ज किये जा सकते. उन्होंने सिर्फ नाबालिग की छाती को छुआ था और उसके पायजामे की डोर खोली थी. जब राहगीरों ने उन्हें पकड़ा तो उन्होंने नाबालिग को छोड़ दिया. ऐसे में बलात्कार हुआ ही नहीं. इस स्थिति में रेप का केस बनता ही नहीं है.
मच गया बवाल
हाई कोर्ट की इस टिप्पणी के बाद बवाल मच गया है. कई सामाजिक संगठन इस टिप्पणी के खिलाफ उतर आए हैं. सबका यही कहना है कि क्या नाबालिग की छाती को छूना और नाड़ा खोलना इस बात का प्रमाण नहीं है कि अपराधियों की क्या थी. वो लड़की की किस्मत थी कि लोगों ने उसे बचा लिया वरना उसके साथ दुष्कर्म होना तय था. ऐसे में आरोपियों को यूं ही रेप के इल्जाम से मुक्त करना समाज में एक बहुत गलत संदेश देगा.
ऑटो में बैठी बहन की लाइव लोकेशन पर भाई की नजर, पुलिस के पहुंचते ही हुआ हड़कंप
20 Mar, 2025 06:03 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
लखनऊ. राजधानी लखनऊ के मलिहाबाद इलाके में आम के बाग में एक महिला का शव एक बड़े बैग में मिला. जानकारी के मुताबिक 32 साल की आशा प्रजापति की हत्या एक ऑटो चालक ने की. आरोप है कि लूट के बाद महिला की हत्या कर शव को बैग में भर दिया। इतना ही नहीं परिजनों ने रेप की आशंका भी व्यक्त की है.
अयोध्या के रौनाही क्षेत्र की रहने वाली आशा इंटरव्यू देकर वाराणसी से मंगलवार देर रात लखनऊ के आलमबाग बस अड्डे पहुंची थी. वहां से ऑटो लेकर चिनहट निवासी अपने भाई के घर के लिए निकली थी. रास्ते में मोबाइल पर भाई और भाभी से बात भी करती रही और लाइव लोकेशन भी शेयर किया. लेकिन ऑटो चालक उसे मलिहाबाद इलाके में ले गया. मोबाइल पर गलत रास्ता देखकर भाई ने भाई ने यूपी 112 पर पुलिस को दी सूचना. पुलिस की टीम महिला की तलाश में जुटी और कुछ घंटे बाद मलिहाबाद में एक बैग में आशा का शव मिला. शव से जेवर और बैग से पैसे गायब मिले. भाई ने रेप के बाद लूटपाट और फिर हत्या की बात कही है. भाई की तहरीर पर पुलिस ने मुकदमा दर्ज कर आरोपी ऑटो चालक की तलाश शुरू कर दी है. आरोपी की गिरफ्तारी के लिए पुलिस की तीन टीमें लगाई गई हैं.
आधे घंटे में घर पहुंचने की कही थी बात
भाई ने बताया कि ऑटो पर बैठने के बाद बहन ने आधे घंटे में घर पहुंचने की बात कही थी. आधा घंटा गुजरने के बाद भाई ने कॉल किया तो आशा ने ड्राइवर से बात करवाई. जिस पर ड्राइवर ने कहा कि रास्ता ख़राब है इसलिए दूसरे रास्ते से आ रहा है. जिसके बाद आशा ने अपने भाई को लोकेशन भेज दी. भाई ने जब लोकेशन चेक की तो वो मलिहाबाद का था. जब भाई ने दुबारा कॉल किया तो मोबाइल ऑफ मिला. जिसके बाद भाई ने 112 डायल कर पुलिस को फ़ोन किया. पुलिस ने जब लोकेशन चेक की तो मलिहाबाद के वाजिदनगर का था. तलाशने के बाद आम के बाग़ में एक बैग मिला जिसमें आशा का शव था.
सीएम योगी आदित्यनाथ का बयान: विदेशी आक्रांताओं का महिमामंडन देशद्रोह,नया भारत नहीं करेगा स्वीकार
20 Mar, 2025 05:54 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
बहराइच. उत्तर प्रदेश के बहराइच पहुंचे मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने औरंगजेब और सैयद साला मसूद गाजी विवाद पर तीखा हमला किया. बहराइच के मिहीपुरवा तहसील भवन का उद्घाटन करने के बाद मुख्यमंत्री ने अपने संबोधन में कहा कि आक्रांताओं का महिमा मंडान करने वाले देशद्रोही हैं. आज का नया भारत महापुरुषों का अपमान बर्दाश्त नहीं करेगा.
मुख्यमंत्री ने कहा कि बहराइच में भेड़ियों ने आतंक मचाया था, वे पकड़े गए. जानवरों के हमला में इंसानों की मौत से दुख होता है, लेकिन हमारी सरकार ने मृतकों के परिवार को तुरंत मुआवजा दिया. उन्होंने कहा कि भारत में कुछ लोग आक्रांताओं का महिमामंडन कर रहे हैं. देश यह बर्दाश्त नहीं करेगा. आक्रांताओं का महिमा मंडान करने वाले देशद्रोही हैं.
मुख्यमंत्री ने कहा कि जल्द ही बहराइच में महाराजा सुहेलदेव स्मारक का उद्घाटन भी किया जाएगा. साथ ही उन्हेंने जिले में नए बइपास रोड का भी ऐलान किया और कहा कि इससे जिले में पर्यटन बढ़ेगा और रोजगार के नए अवसर सृजन होंगे. मुख्यमंत्री ने कहा कि जब 2017 में उनकी सरकार बानी तो बहराइच जिले की जीडीपी 6 हजार करोड़ रुपए से कुछ अधिक थी. लेकिन आज 2023-24 में जिले की जीडीपी कई गुना बढ़कर 25 हजार करोड़ रुपए की हो गई है.
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने इस दौरान अपनी सरकार की उपलब्धियों को भी गिनाया और कहा कि जिले में एक लाख 10 हाजर गरीब परिवारों को पक्का मकान मिल चुका है. लोगों को टॉयलेट की सुविधा भी मिली है. वृद्ध, विधवा और विकलांगों को पेंशन मिल रहा है. गरीब परिवारों की बेटियों के लिए सर्कार 51 हजार रुपए दे रही है. 1 अप्रैल से यह राशि एक लाख रुपए हो जाएगी.
दारोगा की दबंगई: लड़की के घर में घुसकर शादी का दबाव, थानेदारी गई
20 Mar, 2025 02:36 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
झारखंड में धनबाद पुलिस के एक दरोगा को इश्कबाजी महंगी पड़ गई है. यह दरोगा एक लड़की को पसंद करते थे और उससे शादी करना चाहते थे. जबकि लड़की और उसके घर वाले इस रिश्ते के लिए तैयार नहीं थे. बावजूद इसके दरोगा दल बल के साथ लड़की के घर में घुस गए और परिवार सहित थाने में लाकर बैठा दिया था. इस घटना का वीडियो सोशल मीडिया में वायरल होने के बाद धनबाद के एसएसपी ने कड़ा एक्शन लिया है. मामला धनबाद के घनुडीह ओपी क्षेत्र का है.
जानकारी के मुताबिक घनुडीह ओपी प्रभारी सोनू कुमार दो दिन पहले धनबाद थाना क्षेत्र में बिनोद नगर निवासी में रहने वाली महिला के घर में आधी रात को घुस गए थे. उस समय उन्होंने महिला और उसके परिवार के लोगों को हड़काते हुए उनकी बेटी का हाथ मांगा. जब लड़की के घर वालों ने उन्हें मना कर दिया तो ओपी प्रभारी सोनू कुमार ने पूरे परिवार को उठाकर थाने में बंद कर दिया. इस घटना का वीडियो सोशल मीडिया में भी वायरल हुआ है.
एसएसपी ने छीनी थानेदारी
इसी वीडियो पर संज्ञान लेते हुए धनबाद के एसएसपी हृदीप पी जनार्दन ने सोनू कुमार से थानेदारी छीन ली है. उन्हें घनुडीह ओपी से हटा कर ना केवल हरिहरपुर थाना भेज दिया है, बल्कि उन्हें चार्ज देने के बजाय जेएसआई बना दिया है. वहीं उनके स्थान पर पुलिस लाइन से सब-इंस्पेक्टर पंकज कुमार को भेजा है. पंकज कुमार इससे पहले कुमार धुबी ओपी के प्रभारी रह चुके हैं. दरोगा सोनू कुमार का जो वीडियो सोशल मीडिया में वायरल हो रहा है, उसमें वह एक घर में घुसकर महिला को हड़का रहे हैं.
दरोगा के खिलाफ होगी विभागीय जांच
पीड़ित महिला का आरोप है कि सोनू कुमार उनकी बेटी से जबरन शादी करना चाहते हैं. जबकि उन्होंने अपनी बेटी की शादी कहीं और तय कर रखी है. जब सोनू कुमार को रिश्ता करने से मना किया गया तो उन्होंने वर्दी का रौब झाड़ते हुए पूरे परिवार को ले जाकर थाने में बंद कर दिया था. यह वीडियो सोशल मीडिया में वायरल होने के बाद एसएसपी ने सब इंस्पेक्टर सोनू कुमार के खिलाफ विभागीय जांच के आदेश दिए हैं.
पटना में अपराधियों का तांडव, बाइक सवारों ने बालू कारोबारी को गोलियों से भूना
20 Mar, 2025 02:20 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
बिहार की राजधानी पटना से बड़ी खबर है. राजधानी में अपराधियों ने पुलिस प्रशासन के चुस्त दुरुस्त दावे को ठेंगा दिखाते हुए फिर अपराधी घटना को अंजाम दिया है. अपराधियों ने एक बालू कारोबारी की गोली मारकर हत्या कर दी है. बताया जा रहा है कि बालू कारोबारी को तब गोली मारी गई, जब वह बगीचे में बैठे हुए थे. ऐसे में अब पुलिस पूरे मामले की जांच में जुटी हुई है.
मिली खबर के अनुसार राजधानी के नौबतपुर थाना क्षेत्र के नवही गांव में अपराधियों ने मनीष उर्फ मोनू नाम के बालू कारोबारी को एक के बाद एक तीन गोलियां मारी. घटना बुधवार देर रात की बताई जा रही है. मिली खबर के अनुसार मोनू को उसके लिए एक दोस्त ने फोन करके घर से बाहर बुलाया था. मोनू जैसे ही घर से बाहर निकला, पहले से ही घात लगाए अपराधियों ने उसके ऊपर हमला कर दिया और गोलियां दाग दी.
मोनू कुमार (29) बालू का कारोबार करता था। उसके खिलाफ बिहटा और नौबतपुर थानों में रंगदारी के मामले दर्ज थे।
पुलिस ने शुरू कर दी है जांच
फुलवारी शरीफ डीएसपी दीपक कुमार ने बताया कि हत्या के पीछे आपसी वर्चस्व का विवाद हो सकता है। मनिक गैंग की संलिप्तता की जांच की जा रही है, और आरोपियों की गिरफ्तारी के लिए छापेमारी जारी है। पुलिस ने बताया कि गोलियां मोनू के सीने, पीठ और कमर में लगी. वारदात के बाद अपराधी वहां से फरार हो गए.गोली लगने के बाद मोनू को तुरंत रेफरल अस्पताल पहुंचाया गया, जहां डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया. बताया जा रहा है कि मोनू नवही गांव के ही निवासी भगवान सिंह का पुत्र था और दो भाइयों में छोटा था. मोनू की हत्या के बाद स्थानीय लोगों ने जमकर हंगामा किया और पुलिस के खिलाफ नारेबाजी भी की. घटना की सूचना मिलने के बाद पुलिस प्रशासन के आला अधिकारी मौके पर पहुंचे और अपनी जांच को शुरू कर दिए.
इलाके में बना हुआ है तनाव
पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर के उसे पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है और आगे की कार्रवाई में जुट गई है. बताया जा रहा है कि मोनू के ऊपर भी रंगदारी समेत कई मामले दर्ज है. फिलहाल इसकी पड़ताल की जा रही है. पुलिस का कहना है कि घटना के वास्तविक कारणों का पता आरोपियों को पकड़ने के बाद ही सामने आएगा. फिलहाल इलाके में तनाव बना हुआ है.
केंद्रीय मंत्री नित्यानंद राय के परिवार में tragedy: गोलीबारी में भांजे की हत्या, बहन घायल
20 Mar, 2025 02:00 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
बिहार के भागलपुर से गोलीकांड की बड़ी खबर सामने आ रही है. यहां आपसी विवाद में केंद्रीय गृह राज्य मंत्री नित्यानंद राय के भांजे की मौत हो गई है. जबकि, दूसरा भांजा और बहन गोलीकांड में बुरी तरह घायल हुए हैं. मामला नवगछिया के जगतपुर इलाके का है. मृतक की पहचान विश्वजीत के रूप में हुई है. वहीं घायलों में जयजीत और उसकी मां मीना शामिल हैं.
मृतक केंद्रीय मंत्री नित्यानंद राय का भांजा था. मीना, नित्यानंद की चचेरी बहन हैं. घायलों का प्राइवेट अस्पताल में इलाज चल रहा है. उधर, पुलिस मामले की जांच में जुट गई है.
भाई-भाई में फायरिंग
जानकारी के मुताबिक, भाई-भाई के बीच फायरिंग हुई है, जिसमें एक भाई की मौत हुई है. जबकि, दूसरा घायल हुआ है. वहीं, मृतक विश्वजीत की मां को भी हाथ में गोली लगी है. बताया जा रहा है कि नल के पानी को लेकर दोनों में विवाद हुआ जिसके बाद दोनों में मारपीट हो गई. फिर जयजीत ने फायरिंग कर दी, जिसके बाद विश्विजित को अस्पताल ले जाने के क्रम में मौत हो गई. वहीं जयजीत बुरी तरह से जख्मी है.
हाईप्रोफाइल मामला
भाजपा एमएलसी डॉक्टर एनके यादव के अस्पताल में ईलाज किया जा रहा है. वहीं, विश्वजीत के शव को पोस्टमार्टम के लिए लाया गया है. घटनास्थल पर नवगछिया एसपी मामले की जांच कर रही है. हाईप्रोफाइल मामला के कारण परिजन मीडियाकर्मियों को घर में नहीं आने दे रहे. साथ ही कुछ भी बोलने से भी परहेज कर रहे हैं.
क्या बोली पुलिस?
मामले को लेकर नवगछिया एसपी प्रेरणा कुमार ने बताया- हमें सुबह सूचना प्राप्त हुई की प्रवक्ता के जगतपुर गांव में दो भाइयों ने आपस में गोली चलाई है. मौके पर परबत्ता SHO पहुंचे. दोनों घायलों को अस्पताल पहुंचाया गया. सूचना पर एसडीपीओ भी अस्पताल पहुंचे. अस्पताल से सूचना मिली कि एक की मौत हो गई है और दूसरे का इलाज जारी है. विवाद के बीच उनकी मां के भी हाथ में गोली लगने की सूचना है.
एसपी प्रेरणा कुमार ने बताया कि प्रथम दृष्टया नल को लेकर विवाद की बात सामने आई है. हम फिलहाल बयान दर्ज कर रहे हैं. जिस तरह का बयान है उस हिसाब से आगे कार्रवाई करेंगे. घटनास्थल से एक खोखा और एक गोली बरामद हुई है. एफएसएल की टीम जांच कर रही है पूरी रिपोर्ट आने के बाद आगे की कार्रवाई होगी.
आसमान से गिरते कौवे: भोजपुर में बर्ड फ्लू के खतरे को लेकर स्वास्थ्य विभाग सतर्क
20 Mar, 2025 12:24 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
बिहार के भोजपुर जिले के कोईलवर प्रखण्ड के हरहंगी टोला गांव के लोग दहशत के साये में है. उनके घरों, खेत-खलिहान में आसमान से मरे हुए कौवे गिर रहे है. वहीं एक साथ लगभग दो दर्जन कौवों के मरने से गांव में हड़कंप मच गया है. ग्रामीण ने बताया कि आसमान में एक साथ कौवों का झुंड उड़ता हुआ नजर आता है और जोर जोर से आवाज करता है. फिर अचानक आसमान से जमीन पर गिरकर तड़प तड़प कर मर जाते हैं.
कौवों के लगतार मरने पर ग्रामीणों ने इसकी सूचना पशुपालन विभाग को दी है. जिसके बाद पशु चिकित्सक की 3 सदस्यीय टीम हरहंगी टोला पहुंच कर मामलें की जांच की. स्थानीय हरेराम राय ने बताया कि पिछले दो दिनों से सागवान के बगीचे में एक-एक कर 15 से 20 कौवों की आसमान से गिरकर मौत हो गई. जिसे लेकर गांव के लोग किसी महामारी को लेकर भयभीत है.
कौवौं की अचानक हो रही मौत
हरहंगी टोला पहुंचे पशु चिकित्सक डा. विशाल शर्मा ने बताया कि मृत कौवों की जांच में बर्ड फ्लू जैसे कोई लक्षण नहीं मिले हैं. वहीं राहत वाली बात ये है कि गांव के पांच किलोमीटर के परिधि में कोई पोल्ट्री फार्म भी नहीं है, जिससे मृत कौवों में बर्ड फ्लू जैसे लक्षण हो. उन्होंने बताया कि प्रथम दृष्टयता किसी अज्ञात बीमारी, हीटिंग या डायरिया भी हो सकता है. हालांकि इसकी और गहनता से जांच की जा रही. सतर्कता को लेकर सभी मृत कौवों को दफनाने के लिए गड्ढे खोद, चुना डाल डिस्पोस्ड कर दिया गया है.
लोगों में दहशत
आशंका जताई जा रही है कि अभी किसान अपने फसलों में कीटनाशक का उपयोग कर रहे हैं, हो सकता है कि कीटनाशक के उपयोग से कौवों की मौत हो रही हो. मगर क्षेत्र के लोगों का कहना है कि अगर ऐसा होता तो अन्य पक्षियों की भी मौत होती. मगर सिर्फ कौवे की ही मौत हो रही हैं. कौवा आसमान से सर के बल तेजी से धरती पर गिरते हैं, और नीचे गिरते ही मर जाते हैं. एतिहात के तौर पर उन्हें जमीन में दफनाया जा रहा हैं. स्वास्थ्य विभाग ने मृत कौवों का सेंपल लेकर जांच हेतु कोलकाता भेज दिया है.
पुलिस विभाग की गोपनीयता भंग: सिपाही और दलाल की मिलीभगत से चोरी के मोबाइलों का कारोबार
20 Mar, 2025 12:15 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
बिहार पुलिस में चोरी या खोए हुए मोबाइलों को ढूंढकर ऑपरेशन मुस्कान के तहत लोगों को उनके मोबाइल लौटा रही हैं. इसको लेकर बिहार पुलिस ने हर जिले में टेक्निकल टीम का गठन किया हैं, जहां 24 घंटे पुलिसकर्मियों की तैनाती रहती हैं. पुलिस के जवान उच्च अधिकारियों को जांच की सारी सूचना उपलब्ध करवाते हैं. मगर यहीं पुलिसकर्मी चंद पैसे की लालच में पुलिस विभाग की सारी सूचना बाहर के लोगों को मुहैया करा रहा है.
पूर्णिया जिला पुलिस बल के डी.आई.यू शाखा में कार्यरत एक सिपाही के द्वारा कटिहार के एक दलाल के माध्यम से पुलिस विभाग का एसडीआर, सीडीआर और मोबाइल का लाइव लोकेशन कई वर्षों से बेचा जा रहा था. इसके लिए वो लोगों से मोटी रकम भी लेता था. इस मामले में पुलिस ने डीआईयू शाखा पूर्णिया में कार्यरत सिपाही के सहयोगी को चोरी के 7 मोबाइल के साथ गिरफ्तार किया है. वहीं जेल भेजे जाने से पहले पुलिस के सहयोगी ने जो राज खोले हैं, वह हैरान कर देने वाले है.
दलालों को देता जानकारी
कटिहार के मुफस्सिल थाना पुलिस को गुप्त सूचना मिली कि कुछ लोग चोरी के मोबाइलों की खरीद-बिक्री का धंधा करते है. जिसके बाद पुलिस ने टीम का गठन कर कटिहार चंद्रमा चौक पर एक घर में छापेमारी की. जिसमें सुशील कुमार मंडल के पुत्र राजा कुमार उर्फ राजेश कुमार को गिरफ्तार किया. राजेश को देखते ही पुलिस चौक गई. क्योंकि राजेश पुलिस के लिए जाना पहचाना चेहरा था. पुलिस ने राजेश के घर से 7 चोरी किए गए मोबाइल बरामद किए हैं.
डिटेल मिलने पर होती थी खोजबीन
राजेश कुमार कटिहार में पूर्व में पदस्थापित सौरभ कुमार के लिए काम करता था. चोरी या खोए मोबाइल लोगों का आवेदन थाना के पास राजेश लिखने में सहयोग करने के बहाने ले लेता था. इसके अलावा कटिहार के विभिन्न थाने से भी खोए हुए मोबाइल की दर्ज रिपोर्ट के डेटा को इकट्ठा कर सिपाही सौरभ कुमार को दे देता था. वहीं टेक्निकल टीम में पदस्थापित सिपाही सौरभ मोबाइलों की खोजबीन शुरू करता था. वहीं चोरी के मोबाइल का पता लगते ही सिपाही सौरभ पूरा डेटा जो अपने विभाग को देना होता था, उसे अपने सहयोगी राजेश को उपलब्ध करा देता था.
लोगों से ऐंठते थे हजारों रुपए
राजेश मुफस्सिल थाना का पुलिस बनकर मोबाइल चोर या उसके सहयोगी को फोन कर डराता था और चोरी के इल्जाम में जेल की चक्की पिसवाने की धमकी देता था. फोन कर मोबाइल मिल जाने की तरकीब बताया करता था. जिस ब्यक्ति का मोबाइल चोरी होता था, उसे बुलाकर यह कहा जाता था कि पुलिस सिर्फ संनहा दर्ज कर अपना कर्तव्य पूरा करती है, आपका मोबाइल कभी नहीं मिलेगा. अगर मोबाइल चाहिए तो उनकी कुछ चोरों से जान पहचान हैं, उसे कहकर मोबाइल ढूंढ़वाकर आपको दिलवा देंगे. वहीं लोग अपने 50-60 हजार के मोबाइल के बदले 5-10 हजार तक देने को राजी हो जाते थे. आरोपी के सिपाही के खिलाफ विभागीय जांच के आदेश दिए गए.
पति की बात बनी जानलेवा, नई नवेली दुल्हन ने उठाया खौफनाक कदम
20 Mar, 2025 12:03 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
बिहार के जमुई से रोंगटे खड़े कर देने वाली खबर सामने आई है. यहां 20 साल की नई नवेली दुल्हन का शव कमरे के अंदर फंदे से लटका मिला. लाश देख पति की चीख निकल गई. रोते-रोते वो बस एक ही बात कहने लगा- काश मैंने उसे मायके भेज दिया होता.
मृतका का नाम मंजरी कुमारी था. उसकी शादी अभी कुछ महीने पहले ही हुई थी. शुरुआत में तो सब कुछ सही चलता रहा. लेकिन बाद में उसे मायके की याद सताने लगी. वो बार-बार पति से कहती थी कि मुझे मायके भेज दो. मम्मी-पापा की याद आ रही है, लेकिन पति सोनू उसे किसी न किसी बहाने से रोक लेता था.
मंगलवार को मंजरी ने दोबारा सोनू से कहा कि मैं मायके जाना चाहती हूं. सोनू ने कहा- मैं धान बेचकर आता हूं, फिर तुम्हें मायके छोड़ आऊंगा. लेकिन ये बात मंजरी को रास न आई. वो कमरे में गई. साड़ी उठाई. उससे फांसी का फंदा बनाया. फिर उस फांसी के फंदे से झूल गई. सोनू जब घर लौटा तो यह नजारा देख उसके पैरों तले जमीन खिसक गई. बीवी की लाश को देख वो चीखने-चिल्लाने लगा.
मायके न भेजे जाने से थी नाराज
सोनू की चीख सुनकर पड़ोस के लोग भी वहां आ पहुंचे. तुरंत पुलिस को सूचना दे दी गई. पुलिस मौके पर पहुंची और शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भिजवाया. सोनू से जब पुलिस ने पूछा कि मंजरी ने ऐसा कदम क्यों उठाया तो जवाब मिला-साहब मैं उसे मायके भेज देता तो ये सब न होता. वो रोज मायके जाने की जिद करती थी. लेकिन मैं उसे टाल देता था. आज मैंने सोचा था कि पत्नी को मायके छोड़ आऊंगा. लेकिन उससे पहले ही मंजरी ने आत्महत्या कर ली.
क्या बोले मृतका के पिता?
उधर, मृतका के पिता, गिरानी पासवान, ने थाने में आवेदन देकर स्पष्ट किया कि उनकी बेटी मंजरी ने आत्महत्या की है और इसमें ससुराल पक्ष की कोई गलती नहीं है. इस संबंध में थानाध्यक्ष कुमार संजीव ने बताया कि मामले की गहन जांच जारी है. परिजनों के बयान के आधार पर फिलहाल किसी के खिलाफ कोई आरोप निर्धारित नहीं किया गया है.
मथुरा में युवक ने पेट दर्द से परेशान होकर खुद किया ऑपरेशन, हालत हुई गंभीर
20 Mar, 2025 10:58 AM IST | GRAMINBHARATTV.IN
उत्तर प्रदेश के मथुरा में पेट दर्द से परेशान युवक ने खुद ही अपना ऑपरेशन करना शुरू कर दिया. उसने इंटरनेट पर ऑपरेशन करने का तरीका देखा. मेडिकल स्टोर से सुन्न करने वाला इंजेक्शन (एनेस्थीसिया) खरीदा. कमरे में आकर पहले खुद को इंजेक्शन लगाया. फिर पेट की आंत में चीरा मारा. उसके बाद टांके लगाने लगा. जैसे की उसने 12 टांके लगाए, उसकी हालत बिगड़ने लगी.
आनन-फानन में उसे अस्पताल में भर्ती करवाना पड़ा. डॉक्टरों ने उसे आगरा रेफर कर दिया है. फिलहाल युवक की हालत गंभीर बनी हुई है. मामला गांव सुनरख का है. यहां रहने वाला 32 वर्षीय राजाबाबू पुत्र कन्हैया पेट दर्द से परेशान था. पेट दर्द से निजात पाने के लिये बुधवार की दोपहर घर के एक कमरे में बंद होकर राजाबाबू ने खुद ही ऑपरेशन का प्रयास किया.
पेट को सुन्न करने का इंजेक्शन लगाया और पेट के निचले हिस्से में सीधे हाथ की साइड में उसने सात इंच लंबा चीरा मार लिया. इस दौरान सर्जिकल ब्लेड पेट के अंदर ज्यादा गहराई में चले जाने से परेशानी बढ़ गई और दर्द बढ़ गया औप खून रिसने लगा तो उसने खुद ही टांके लगा लिए, इसके बाद भी जब पेट में दर्द की समस्या कम न हुई और खून निकलना भी बंद नहीं हुआ तो वह दूसरे कमरे में मौजूद परिजनों के पास पहुंचा.
इंटरनेट से जुटाई थी जानकारी
उसकी हालत देख परिजन घबरा गए और तत्काल उसे लेकर जिला अस्पताल पहुंचे. वहां, डॉक्टरों ने जब उसका हाल देखा और पूरी घटना सुनी तो उनके भी होश फाख्ता हो गए. डॉक्टरों ने फिर प्राथमिक उपचार के बाद उसे आगरा एसएन मेडिकल कॉलेज रेफर कर दिया. बताया जा रहा है कि पेट में दर्द से परेशान होकर खुद ही अपना ऑपरेशन करने वाले राजाबाबू ने ऑपरेशन और उसमें प्रयोग होने वाले सामान आदि की जानकारी इंटरनेट मीडिया से जुटाई थी. सर्जिकल ब्लेड, स्टिचिंग का सामान, सुन्न करने वाला इंजेक्शन आदि सामान मथुरा के बाजार से वह खरीदकर ले गया था और अपने आप ऑपरेशन की कोशिश की.
पहले हुआ था अपेन्डिस का ऑपरेशन
राजाबाबू के भतीजे राहुल ने बताया कि कई साल पहले राजा बाबू का अपेन्डिस का ऑपरेशन हुआ था. उसके बाद भी वह पेट में दर्द की शिकायत बताते रहते. अल्ट्रासाउंड कराया था तो वह सामान्य आया था. इसके बाद दर्द से परेशान राजा बाबू ने खुद ही ऑपरेशन कर निदान पाने की कोशिश की. जब दिक्कत बढ़ी तो परिजनों को बताया और परिजन अस्पताल लेकर पहुंचे. वृंदावन संयुक्त जिला चिकित्सालय प्रभारी आपातकालीन विभाग डॉ. शशिरंजन ने बताया, राजाबाबू नाम के युवक को अस्पताल लाया गया था. युवक ने पेट के राइट साइड में सात बाई एक सेंटीमीटर का चीरा लगा लिया था. उसने 10-12 गलत टांके लगा लिये थे. उसे टांके लगाकर आगरा के लिये रेफर कर दिया है.