देश
डॉ. आंबेडकर की विरासत को समर्पित, सार्वजनिक अवकाश पर राजनीतिक नेताओं ने दी प्रतिक्रिया
29 Mar, 2025 09:00 AM IST | GRAMINBHARATTV.IN
संविधान के निर्माता डॉ. बीआर आंबेडकर की जयंती पर 14 अप्रैल को केंद्र सरकार द्वारा सार्वजनिक अवकाश घोषित किए जाने के फैसले की भाजपा नेता अनुराग ठाकुर ने जमकर सराहना की है। उन्होंने इस महत्वपूर्ण कदम के लिए प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की प्रशंसा करते हुए कहा कि यह देश के लिए डॉ. आंबेडकर के बहुमूल्य योगदान को परिलक्षित करता है।
अनुराग ठाकुर ने कही ये बात
इंटरनेट मीडिया प्लेटफार्म एक्स पर की गई पोस्ट में ठाकुर ने लिखा, ''संविधान के निर्माता व सामाजिक समानता के नायक बाबा साहब भीम राव आंबेडकर जी की जयंती पर राजकीय अवकाश की घोषणा की गई है। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के विजन के अनुरूप भारत सरकार द्वारा लिया गया यह निर्णय बाबा साहब आंबेडकर के प्रति सच्ची श्रद्धा व अनन्य सम्मान को दर्शाता है।''
केंद्रीय संस्कृति मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत ने भी सरकार और प्रधानमंत्री के इस निर्णय की सराहना की।
क्या-क्या बंद रहेगा
केंद्रीय कार्मिक, लोक शिकायत और पेंशन मंत्रालय ने 14 अप्रैल को अवकाश की घोषणा की पुष्टि की है। इस दिन देशभर में सभी केंद्रीय सरकारी कार्यालयों, केंद्र सरकार के नियंत्रण वाले सभी औद्योगिक प्रतिष्ठानों, स्वायत्त निकाय, संबद्ध कार्यालय एवं अधीनस्थ कार्यालय, केंद्र सरकार कल्याण समितियों में अवकाश रहेगा। भारतीय रिजर्व बैंक को भी सूचित कर दिया गया है और राज्य के आधार पर बैंक भी बंद रह सकते हैं।
आंध्र प्रदेश में बर्ड फ्लू के 8 मामले, 6 लाख मुर्गियों की मौत से पोल्ट्री उद्योग में संकट
28 Mar, 2025 04:40 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
भारत में बर्ड फ्लू (H5N1) के आठ प्रकोप की जानकारी शुक्रवार को विश्व पशु स्वास्थ्य संगठन (WOAH) ने दी। भारतीय अधिकारियों के हवाले से इस संगठन ने बताया कि ये प्रकोप आंध्र प्रदेश पूर्वी क्षेत्र में हुए हैं। इन प्रकोपों के कारण 6 लाख से अधिक मुर्गियों की मौत हो गई।
आंध्र प्रदेश में बर्ड फ्लू के प्रकोप
वर्ल्ड ऑर्गनाइजेशन फॉर एनिमल हेल्थ (WOAH) ने अपनी रिपोर्ट में कहा कि यह महामारी आंध्र प्रदेश में विभिन्न मुर्गी फार्मों के पोल्ट्री में फैली है।
बर्ड फ्लू का वायरस H5N1 अत्यधिक संक्रामक और घातक होता है, जिससे मुर्गियों के लिए गंभीर खतरा पैदा हो जाता है। इन प्रकोपों के परिणामस्वरूप लाखों मुर्गियों की मौत हुई और स्थानीय कृषि पर भी असर पड़ा।
थाईलैंड और म्यांमार में भूकंप से तबाही, पीएम मोदी ने कहा- भारत हर मदद के लिए तैयार
28 Mar, 2025 03:30 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
थाईलैंड और म्यांमार में आए भूकंप से भयंकर तबाही पर पीएम मोदी ने दुख जताया है. उन्होंने कहा कि म्यांमार और थाईलैंड में भूकंप के बाद की स्थिति से चिंतित हूं. सभी की सुरक्षा और खुशहाली के लिए प्रार्थना करता हूं. भारत हर संभव सहायता देने के लिए तैयार है. इस संबंध में, हमने अपने अधिकारियों से तैयार रहने को कहा है. साथ ही विदेश मंत्रालय से म्यांमार और थाईलैंड की सरकारों के साथ संपर्क में रहने की भी चर्चा की है.
म्यांमार, थाईलैंड और चीन की धरती भूकंप के तेज झटकों से हिल गई. तीनों देशों में भूकंप के कारण हड़कंप मचा हुआ है. खासतौर पर थाईलैंड और म्यांमार में इमारतें भरभराकर गिर गईं, घर मलबे में तब्दील हो गए. इस भूकंप का केंद्र म्यांमार रहा. ये 10 किलोमीटर की गहराई पर आया है. इस भूकंप का असर भारत के भी कुछ इलाकों में हुआ है.
म्यांमार में आए भूकंप की वजह से थाइलैंड की राजधानी बैंकॉक में तबाही का मंजर दिल दहलाने वाला है. 28 मार्च को म्यांमार में 7.7 और 6.4 तीव्रता के दो भूकंप आए, जिसका केंद्र शहर से सिर्फ 16 किलोमीटर उत्तर-पश्चिम में सागाइंग के पास स्थित था.
थाईलैंड में उड़ानें रद्द
भूकंप की तबाही के कारण थाईलैंड में उड़ानों को रद्द कर दिया गया है. बैंकॉक में इमरजेंसी लगा दिया गया है. म्यांमार में अब तक 15 लोगों की मौत हो चुकी है. इमारतों के गिरने की वजह से अभी थाईलैंड में कई लोग लापता हैं. वहां की रेस्क्यू टीमों की तरफ से राहत और बचाव कार्य किए जा रहे हैं.
पुलिस ने एसोसिएटेड प्रेस को बताया कि वे बैंकॉक के लोकप्रिय चतुचक मार्केट के पास घटनास्थल मौजूद थे उन्हें इस बात की तत्काल कोई जानकारी नहीं थी कि भूकंप के समय साइट पर कितने मजदूर मौजूद थे. भूकंप की वजह से म्यांमार में हजारों लोगों की मरने की आशंका जताई जा रही है.
दिशा सालियान की मौत: पोस्टमार्टम रिपोर्ट के बाद क्लोजर रिपोर्ट में गंभीर खुलासे
28 Mar, 2025 02:39 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
दिशा सालियान केस में एक नया मोड़ सामने आया है. दो दिन पहले ही दिशा की पोस्टमार्टम रिपोर्ट सामने आई थी, जिसमें बताया गया था कि दिशा के साथ किसी भी तरह यौन शोषण नहीं हुआ था. अब क्लोजर रिपोर्ट में कहा गया है कि बिजनेस में घाटा, दोस्तों के साथ गलतफहमियां और पिता द्वारा उसकी मेहनत की कमाई का दुरुपयोग करने से परेशान दिशा ने खुदकुशी कर ली.
दिशा सालियान मामले में यह अपडेट चौंकाने वाला है. क्लोजर रिपोर्ट में यह भी कहा गया कि दिशा के पिता उसकी कमाई के पैसे उस महिला के ऊपर खर्च कर देते थे, जिसके साथ उनका प्रेम प्रसंग था. मिड डे ने इस बाबत खबर प्रकाशित की है. रिपोर्ट में बताया गया है कि दिशा सालियन व्यवसाय में घाटे और गंभीर पारिवारिक मामलों के चलते तनाव में थीं. उसके दो प्रोजेक्ट ठप हो गये थे, जिससे वह परेशान थीं.
पिता ने हाल आदित्य ठाकरे पर लगाया है आरोप
दिशा सालियान अभिनेता सुशांत सिंह राजपूत की खुदकुशी से पहले 8 जून, 2020 को मृत पाई गई थी. इसके बाद से ये मामला काफी सुर्खियों में रहा. पिछले दिनों दिशा सालियान के पिता ने मामले की जांच के लिए हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाया. उन्होंने उद्धव गुट के शिवसेना नेता आदित्य ठाकरे पर आरोप लगाया था. अब दिशा केस में पिता के अफेयर का नया एंगल सामने आने पर जांच ने अलग ही दिशा ले ली है.
दिशा के दोस्तों, मंगेतर से बातचीत पर बनी रिपोर्ट
इस रिपोर्ट में आगे कहा गया है कि दिशा के सभी दोस्तों और उसके मंगेतर ने भी पुलिस को दिए अपने बयान में कहा है कि उसने अपने पिता के प्रेम संबंधों के बारे में उन्हें बताया था. और यह भी कहा था कि कैसे पिता ने उसकी कमाई के पैसे को किसी दूसरी महिला पर खर्च कर दिया. इस वजह से वह बहुत दुखी रहती थी.
पूरे मामले पर दिशा के पिता सतीश सालियान के वकील नीलेश ओझा ने कहा कि यह भरोसा करने लायक नहीं लगता. इस क्लोजर रिपोर्ट का कोई कानूनी महत्व नहीं है. आपको बता दें कि पिछले 17 मार्च को दिशा के पिता ने कोर्ट में नई अपील लगाई थी जिसमें आदित्य ठाकरे, अभिनेता सूरज पंचोली और डिनो मोरिया सहित सभी आरोपियों का नार्को टेस्ट कराने की मांग की थी.
टीवीके ने वक्फ विधेयक के खिलाफ विरोध जताया, पार्टी प्रमुख विजय ने बैठक में किया प्रस्ताव पारित
28 Mar, 2025 02:31 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
अभिनेता विजय की अगुवाई वाली तमिलगा वेत्री कझगम ने वक्फ विधेयक का विरोध किया. पार्टी ने शुक्रवार को केंद्र से वक्फ विधेयक वापस लेने का अनुरोध किया. पार्टी का आरोप है कि यह मुसलमानों के अधिकारों को छीन लेगा और वह चाहती है कि प्रस्तावित परिसीमन प्रक्रिया को लागू नहीं किया जाए.
टीवीके ने पार्टी की पहली आम परिषद की बैठक में पारित प्रस्ताव में कहा कि वक्फ विधेयक ने नई शर्तें बनाकर संबंधित मामलों में मुसलमानों की शक्तियों को छीन लिया है. उनके मौजूदा अधिकारों को भी कम किया है, इसलिए केंद्र को इसे वापस लेना चाहिए. इस बैठक की अध्यक्षता पार्टी के संस्थापक विजय ने की.
प्रस्तावित परिसीमन पर विजय की पार्टी ने ‘सूचना’ का हवाला देते हुए कहा कि उत्तरी राज्यों के लिए सीटों की संख्या कई गुना बढ़ जाएगी और तमिलनाडु सहित दक्षिणी राज्यों के लिए यह संख्या घट जाएगी. पार्टी ने आरोप लगाया कि तमिलनाडु के लोग इसे केंद्र सरकार की परिवार नियोजन योजना का ठीक से पालन करने की सजा मानते हैं. पार्टी ने केंद्र से परिसीमन के कदम को वापस लेने की मांग की.
क्या बोले सीएम एमके स्टालिन?
तमिलनाडु विधानसभा में इस विधेयक के खिलाफ प्रस्ताव पेश करते हुए राज्य के सीएम एमके स्टालिन ने कहा कि केंद्र सरकार वक्फ विधेयक में संशोधन करने की कोशिश कर रही है, जिससे वक्फ बोर्ड की शक्तियों में बाधा आएगी. इससे मुस्लिमों की भावनाएं आहत हो रही हैं और केंद्र सरकार को इसकी कोई परवाह नहीं है.
उनकी ओर से पेश किए गए प्रस्ताव में कहा गया है कि भारत में लोग धार्मिक सद्भाव के साथ रह रहे हैं. संविधान ने सभी लोगों को अपने धर्म का पालन करने का अधिकार दिया है. वहीं, चुनी हुई सरकारों को इसकी रक्षा करने का अधिकार है. विधानसभा सर्वसम्मति से जोर देती है कि केंद्र सरकार को वक्फ अधिनियम 1995 के लिए वक्फ संशोधन विधेयक 2024 को वापस लेना चाहिए. ये अल्पसंख्यक मुसलमानों को बुरी तरह प्रभावित करेगा.
मुख्यमंत्री ममता बनर्जी गुरुवार को केलॉग कॉलेज में अपने भाषण के दौरान भारी विरोध का सामना करना पड़ा
28 Mar, 2025 11:43 AM IST | GRAMINBHARATTV.IN
लंदन/कोलकाता। पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी गुरुवार को लंदन में ऑक्सफोर्ड विश्वविद्यालय के केलॉग कॉलेज में अपने भाषण के दौरान भारी विरोध का सामना करना पड़ा। स्टूडेंट फेडरेशन ऑफ इंडिया (एसएफआई) के छात्र नेताओं ने ‘गो बैक’ के नारे लगाए और बंगाल में चुनाव बाद हिंसा के साथ ही आरजी कर मेडिकल कॉलेज से जुड़े मुद्दों पर सवाल किए।
हालांकि, मुख्यमंत्री बनर्जी ने संयम के साथ स्थिति को संभाला और शिष्टाचार बनाए रखते हुए प्रदर्शनकारियों को जवाब दिया।
शुरू में, दर्शकों में मौजूद अतिथि अचानक विरोध से चौंक गए, लेकिन उन्होंने मुख्यमंत्री की प्रतिक्रिया की सराहना की।
आखिर में, सीएम ममता बनर्जी ने बिना किसी रुकावट के अपना भाषण समाप्त किया।
उन्हें प्रदर्शनकारियों से यह कहते हुए सुना गया, “अपनी पार्टी से कहो कि वे हमारे राज्य (पश्चिम बंगाल) में अपनी ताकत बढ़ाएँ ताकि वे हमसे लड़ सकें।”
जब यह घटना मुख्यमंत्री के भाषण के आसपास हुई, तो दर्शकों में भारतीय क्रिकेट टीम के पूर्व कप्तान सौरव गांगुली भी मौजूद थे।
इस पर प्रतिक्रिया देते हुए, तृणमूल कांग्रेस प्रमुख ने 1990 के दशक की शुरुआत की अपनी एक पुरानी तस्वीर दिखाई, जिसमें उनके सिर पर पट्टी बंधी हुई थी और दावा किया कि यह विपक्ष में रहने के दौरान उनकी हत्या के प्रयास का सबूत है।
यह हंगामा तब शुरू हुआ जब एक दर्शक ने उनसे “लाखों करोड़” के ‘विशिष्ट निवेश प्रस्तावों’ के बारे में पूछा।
जैसे ही सीएम ने जवाब देने की कोशिश की, दर्शकों में से एक अन्य सदस्य ने हस्तक्षेप किया। सीएम ने दर्शकों से कहा कि वे रुक जाएं, क्योंकि यह कोई प्रेस कॉन्फ्रेंस नहीं थी।
हालांकि लंदन यात्रा के दौरान उद्योग और व्यापार से जुड़ी कई बैठकें हुईं, लेकिन मुख्यमंत्री का केलॉग कॉलेज में दिया गया भाषण सुर्खियां बटोर ले गया।
आखिर में, बाकी दर्शकों के सामूहिक विरोध के कारण प्रदर्शनकारियों को हॉल छोड़ने पर मजबूर होना पड़ा।
मुख्यमंत्री को केलॉग कॉलेज में महिलाओं, बच्चों और समाज के हाशिए पर पड़े वर्गों के सामाजिक विकास पर बोलने के लिए आमंत्रित किया गया था।
बोलते समय मुख्यमंत्री ममता बनर्जी राज्य में ‘स्वास्थ्य साथी’ और ‘कन्याश्री’ जैसी परियोजनाओं का जिक्र कर रही थीं।
पश्चिम बंगाल में औद्योगिक स्थिति के बारे में बोलते हुए, जब टाटा की टीसीएस कंपनी में निवेश का विषय उठाया गया, तो दर्शकों के पीछे से कुछ लोग हाथों में तख्तियां लेकर खड़े हो गए। इन पर राज्य में चुनाव और चुनाव के बाद की हिंसा के साथ-साथ आरजी बलात्कार मामले के बारे में लिखा हुआ था।
दर्शकों ने मुख्यमंत्री के भाषण के दौरान चिल्लाकर अपनी बात रखने की कोशिश की।
हालांकि, मुख्यमंत्री इस बात से जरा भी विचलित नहीं हुईं और उन्होंने शुरू से ही शांत लेकिन दृढ़ स्वर में विरोध प्रदर्शन को संभालना जारी रखा। सीएम बनर्जी ने प्रदर्शनकारियों से कहा, “आप मेरा स्वागत कर रहे हैं, धन्यवाद। मैं आपको मिठाई खिलाऊंगी।”
प्रदर्शनकारियों ने जब आरजी कर बलात्कार मामले का मुद्दा उठाया तो मुख्यमंत्री ने पलटवार करते हुए कहा, “‘थोड़ा जोर से बोलिए, मैं आपको सुन नहीं पा रही हूं। मैं आपकी हर बात सुनूंगी। क्या आपको पता है कि यह मामला लंबित है? इस मामले की जांच की जिम्मेदारी अब केंद्र सरकार के हाथ में है, मामला अब हमारे हाथ में नहीं है।”
ममता बनर्जी ने आगे कहा, “यहां राजनीति मत कीजिए, यह राजनीति का मंच नहीं है। मेरे राज्य में जाइए और मेरे साथ राजनीति कीजिए।”
इसके बाद प्रदर्शनकारियों ने जादवपुर विश्वविद्यालय की घटना का मुद्दा भी उठाया। मुख्यमंत्री ने फिर एक प्रदर्शनकारी को भाई कहकर संबोधित किया और कहा, “झूठ मत बोलो। मुझे तुमसे सहानुभूति है। लेकिन इसे राजनीति का मंच बनाने के बजाय बंगाल जाकर अपनी पार्टी को मजबूत करने को कहो ताकि वे हमसे लड़ सकें।”
मुख्यमंत्री का जवाब सुनकर दर्शकों में मौजूद अतिथियों ने जोर-जोर से तालियां बजानी शुरू कर दीं। इसके बाद प्रदर्शनकारियों ने अपनी आवाज उठाने की कोशिश की। मुख्यमंत्री ने भी उन्हें जवाब में कहा, “मेरा अपमान करके अपनी संस्था का अपमान मत करो। मैं देश की प्रतिनिधि बनकर आई हूं। अपने देश का अपमान मत करो।”
बाद में कार्यक्रम के आयोजकों और मौजूद अतिथियों ने सामूहिक रूप से प्रदर्शनकारियों के खिलाफ आवाज उठाई। प्रदर्शनकारियों को कार्यक्रम स्थल से जाने के लिए मजबूर होना पड़ा।
मुख्यमंत्री के भाषण को सुनने के लिए कई प्रवासी भारतीयों के अलावा कई अलग-अलग देशों के प्रतिनिधि भी मौजूद थे। हालांकि, कार्यक्रम के आयोजकों ने इस अप्रत्याशित घटना के लिए मुख्यमंत्री से खेद जताया है।
हालांकि, मुख्यमंत्री ने शांति से कहा, “आपने मुझे बार-बार यहां आने के लिए प्रोत्साहित किया है। याद रखें, दीदी को किसी की परवाह नहीं है। दीदी रॉयल बंगाल टाइगर की तरह चलती हैं। अगर आप मुझे पकड़ सकते हैं, तो मुझे पकड़ लें!”
इस बीच, अखिल भारतीय तृणमूल कांग्रेस ने एक्स पर लिखा: “वह (ममता बनर्जी) नहीं हिलती। वह लड़खड़ाती नहीं। जितना आप टोकेंगे, वह उतनी ही भयंकर दहाड़ेगी। वो एक रॉयल बंगाल टाइगर है!”
लगातार व्यवधानों के बीच, दर्शकों में से किसी ने बंगाल में हिंदुओं के साथ व्यवहार के बारे में सवाल उठाया।
सीएम बनर्जी ने जवाब दिया, “मैं सभी के लिए हूं, हिंदू और मुसलमान,” जिसके बाद दर्शकों के एक वर्ग ने “गो बैक” के नारे लगाए।
विरोध प्रदर्शन का नेतृत्व वामपंथी छात्र संगठन स्टूडेंट्स फेडरेशन ऑफ इंडिया (एसएफआई-यूके) के सदस्यों ने किया, जिन्होंने सीएम बनर्जी और उनकी सरकार पर भ्रष्टाचार और लोकतांत्रिक अधिकारों को दबाने का आरोप लगाया।
पुडुचेरी के मछुआरों ने श्रीलंका जेल से रिहाई के बाद उपराज्यपाल को दिया धन्यवाद
28 Mar, 2025 11:34 AM IST | GRAMINBHARATTV.IN
पुडुचेरी। श्रीलंका की जेल से रिहा हुए मछुआरों ने शुक्रवार को पुडुचेरी के उपराज्यपाल कैलाश नाथन से उनके घर पर मुलाकात की। उन्होंने उप-राज्यपाल को फूलों की माला पहनाकर मदद के लिए शुक्रिया कहा।
श्रीलंका की नौसेना ने कराईकल के 13 मछुआरों को पकड़कर जेल में डाल दिया था। इस दौरान एक मछुआरे के पैर में गोली भी लग गई थी और वह घायल हो गया था। उपराज्यपाल ने उनकी रिहाई और घायल के इलाज के लिए भारत सरकार और श्रीलंका में भारतीय दूतावास से बात की थी। केंद्र सरकार ने तेजी से कदम उठाए, जिससे सभी मछुआरे छूट गए।
चेन्नई पहुंचने के बाद घायल मछुआरे को एक अच्छे निजी अस्पताल में इलाज के लिए भेजा गया। बाकी मछुआरों को उनके घर भेज दिया गया।
मछुआरों ने बताया कि उपराज्यपाल उनके लिए परिवार जैसे हैं, क्योंकि वे हमेशा मछुआरों की भलाई के लिए सोचते हैं। उन्होंने विधानसभा में अपने पहले भाषण में मछुआरों के लिए कई योजनाओं की बात की थी।
इस मुलाकात के दौरान उपराज्यपाल ने मछुआरों का हाल जाना और कहा कि सीमा पार मछली पकड़ने की समस्या को हमेशा के लिए हल करना जरूरी है। उन्होंने कहा इसे ध्यान में रखकर वे कराईकल के मछुआरों को अंडमान और लक्षद्वीप में समुद्र के अंदर मछली पकड़ने के लिए प्रेरित करना चाहते हैं। पिछले हफ्ते दिल्ली में उन्होंने मत्स्य पालन मंत्री से इस पर बात की। केंद्र और राज्य सरकार मिलकर इसकी योजना बना रही हैं।
उपराज्यपाल ने यह भी बताया कि कराईकल के लिए कई विकास योजनाएं चल रही हैं। केंद्र सरकार ने 130 करोड़ रुपये दिए हैं, ताकि कराईकल में एक नया और बेहतर मछली पकड़ने का बंदरगाह बन सके।
बता दें कि 20 मार्च को कराईकल क्षेत्र के 13 मछुआरे श्रीलंका की जेल से रिहा होकर चेन्नई एयरपोर्ट पहुंचे थे। उनमें से एक को पैर में चोट लगी थी, जिसे अस्पताल में भर्ती कराया गया था।
कराईकल फिशिंग बंदरगाह से 13 मछुआरे 26 फरवरी को कोडियाकराई के पास समुद्र में मछली पकड़ने के लिए एक ओरी नाव में गए थे। उस समय समुद्र में बहाव के कारण मछली पकड़ने वाला जाल सीमा पार कर 300 मीटर से अधिक दूर चला गया।
इस दौरान गश्त पर आई श्रीलंका की नौसेना ने उन्हें घेर लिया। नौसेना ने फायरिंग की और मछुआरों को पकड़ लिया। फायरिंग में एक मछुआरे के पैर में गंभीर चोट लगी और दो अन्य को मामूली चोटें आई थीं। इसके बाद सभी मछुआरों को जाफना जेल भेज दिया गया था।
बेंगलुरु में पत्नी की हत्या, दामाद ने ससुराल को फोन कर बताया सूटकेस में छिपी है लाश
28 Mar, 2025 09:30 AM IST | GRAMINBHARATTV.IN
देश में मुस्कान और साहिल का केस सुर्खियों में है। इसी बीच बेंगलुरु से राकेश और गौरी का भी केस सामने आया है। हालांकि, यहां कहानी थोड़ी अलग है। दरअसल, महाराष्ट्र के रहने वाले राकेश ने अपनी पत्नी गौरी को मौत की नींद सुला दिया। गौरी को मारने के बाद आरोपी ने अपने ससुराल वालों को फोन करके इसकी जानकारी दी। उसने कहा कि आपकी बेटी की लाश सूटकेस में है। जानकारी के मुताबिक, यह मर्डर आपसी झगड़े के चलते हुआ है। पति-पत्नी दोनों ही नौकरी करते थे, जिनके अक्सर झगड़े होते रहते थे।
सूटकेस में पैक कर दी लाश
यह मामला बेंगलुरु के हुलीमावु से सामने आया है। जहां पर राकेश नाम के एक शख्स को इस कदर गुस्सा आया कि उसने अपनी पत्नी को जान से मार दिया। पत्नी की हत्या करने के बाद राकेश ने गौरी के शव को एक सूटकेस में बंद किया और उसके माता-पिता को फोन किया। आरोपी पति ने उनको बताया कि आपकी बेटी गौरी को मैंने मार दिया है, जिसकी लाश सूटकेस में है।
घरेलू झगड़े के चलते हुआ मर्डर
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, दोनों का किसी बात को लेकर आपस में झगड़ा हुआ था, जिसके बाद राकेश ने गुस्से में गौरी की हत्या की। पुलिस इस पूरे मामले की जांच कर रही है। जानकारी के मुताबिक, पति-पत्नी दोनों ही वर्किंग थे। राकेश महाराष्ट्र का रहने वाला था। पिछले साल ही दोनों डोड्डाकन्नहल्ली में शिफ्ट हुए थे।
पुलिस को भी इस मर्डर की जानकारी दी गई, जिसके लिए कंट्रोल रूम में फांसी के मामले के बारे में फोन आया था। जब घर पर पहुंची, तो देखा कि दरवाजा बंद था। जब अंदर घुसे, तो उन्हें बाथरूम में एक सूटकेस मिला। इसके बाद फोरेंसिक टीम भी घटनास्थल पर पहुंची। हत्या करने के बाद राकेश बेंगलुरु से पुणे भाग गया, जहां से पुलिस ने उसको गिरफ्तार किया। राकेश की गिरफ्तारी हुलीमावु और पुणे पुलिस की कॉल डिटेल रिकॉर्ड को ट्रैक करने से भी आसान हुई।
भारत में भीषण गर्मी: मौसम विभाग ने अप्रैल में हीटवेव की संभावना जताई, 2025 सबसे गर्म साल होगा
28 Mar, 2025 08:30 AM IST | GRAMINBHARATTV.IN
देश में मौसम को लेकर बड़ा बदलाव देखने को मिल रहा है। इस बार मार्च में ही अप्रैल जैसी गर्मी आ गई है। वहीं देश के कई राज्यों अभी से ही भीषण गर्मी की चपेट में आ गए हैं। ऐसे में उम्मीद लगाई जा रही है देश में इस बार उम्मीद से कहीं ज्यादा गर्मी पड़ने वाली है। भारतीय मौसम विभाग ने मौसम को लेकर लेटेस्ट अपडेट जारी किया है।
भारतीय मौसम विभाग (IMD) के मुताबिक, इस साल देश के नॉर्थ-वेस्ट राज्यों यानी हिमाचल प्रदेश, जम्मू-कश्मीर, उत्तराखंड, हरियाणा, पंजाब, राजस्थान, दिल्ली में हीटवेव (लू) के दिनों की संख्या दोगुनी होनी की आशंका है। वेदर रिपोर्ट के मुताबिक, साल 2024 भारत के लिए सबसे ज्यादा गर्म सालों में से एक रहा था, बताया जा रहा है पिछले साल 554 दिन हीटवेव का असर दिखाई दिया।
अप्रैल में ज्यादा दिन चलेगी लू
अक्सर आमतौर पर अप्रैल से जून के महीनों में लगातार 5 से 6 दिन लू चलती है, लेकिन इस बार 10 से 12 दिन लू का असर जारी रहेगा। मौसम वैज्ञानिकों का कहना है कि अगर हीटवेव के दिनों की संख्या दोगुनी होती है तो 2025 अब तक का सबसे गर्म साल होगा। इन दिनों का तापमान सामान्य से 5 डिग्री या इससे भी ज्यादा रह सकता है।
पहाड़ी इलाकों में भी हीटवेव का असर
मैदानी, पहाड़ी और तटीय इलाकों के लिए हीटवेव की स्थिति तय करने का आधार अलग होता है। किसी दिन हीटवेव का असर तब ज्यादा माना जाता है जब उस दिनों के मौसम का तापमान सामान्य से 5°C ज्यादा होता है
तटीय इलाका- अधिकतम तापमान 37°C से ऊपर होगा।
मैदानी इलाका- अधिकतम तापमान 40°C से ऊपर हो।
पहाड़ी इलाका- अधिकतम तापमान 30°C से ऊपर हो।
कब होती है हीटवेव?
अगर तापमान सामान्य से 6.5°C या उससे ज्यादा बढ़ जाए तो उसे गंभीर हीटवेव माना जाता है। IMD ने इस साल देश के ज्यादातर हिस्सों में अधिकतम और न्यूनतम तापमान सामान्य से ज्यादा रहने का अनुमान लगाया है।
अकोला, दिल्ली, यूपी, राजस्थान के चितौड़गढ़ और मध्यप्रदेश, यूपी के प्रयागराज में कल पारा 40 डिग्री के पार पहुंच गया है। वहीं इसे और बढ़ने की आशंका है।
प्रयागराज के मां कल्याणी देवी मंदिर में नवरात्रि के दौरान अनुष्ठान और पूजन की तैयारियां पूरी
28 Mar, 2025 08:30 AM IST | GRAMINBHARATTV.IN
प्रयागराज। 30 मार्च से चैत्र नवरात्रि का पर्व शुरू होने जा रहा है, जिसमें मां दुर्गा के नौ स्वरूपों की पूजा और उपासना की जाती है। इन नौ दिनों तक श्रद्धालु मंदिरों में जाकर मां दुर्गा के विभिन्न रूपों की पूजा करते हैं।
देश भर में 51 प्रमुख शक्तिपीठ स्थित हैं, जहां नवरात्रि के त्योहार के दौरान बड़ी संख्या में श्रद्धालु जुटते हैं। इसी क्रम में प्रयागराज के सिद्धपीठ और शक्तिपीठ मंदिरों में भी तैयारियां जोर-शोर से चल रही हैं। इनमें से एक प्रयागराज के प्रसिद्ध शक्तिपीठ मां कल्याणी देवी मंदिर में भी तैयारियां जोर-शोर से चल रही हैं।
यहां नवरात्रि के नौ दिनों तक भक्तों का तांता लगता है। सुबह से शाम तक मां कल्याणी के दर्शन के लिए श्रद्धालुओं की लंबी कतारें लगी रहती हैं। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, इस मंदिर में देवी सती की उंगली गिरी थी, जिसके कारण इसे 51 शक्तिपीठों में से एक माना जाता है।
शक्तिपीठ मां कल्याणी देवी मंदिर के महामंत्री पंडित जी ने कहा कि मां कल्याणी देवी मंदिर द्वार से लेकर पूरे परिसर में तैयारी लगभग पूरी हो चुकी है। माता के आभूषणों समेत सभी सफाई के कार्य पूरे हो चुके हैं। 30 मार्च से चैत्र नवरात्रि शुरू हो रहे हैं। इस बार आठ दिन का नवरात्र है। इन आठ दिनों में मां भगवती का भक्तों को अलग-अलग रूप में दर्शन प्राप्त होगा। यहां मानस पाठ, दुर्गा सप्तशती का पाठ होता है, अनुष्ठान होते हैं, मां का अभिषेक होता है और एक हजार पुष्पों से मां का पुष्पार्चन का कार्यक्रम होता है। प्रतिदिन बदल-बदलकर कार्यक्रम होते हैं।
उन्होंने आगे कहा कि पहले दिन कलश स्थापन के साथ माताएं व्रत रखने का यहां संकल्प करती हैं। महिलाएं मां का पूजन-अर्चन करती हैं और नौ दिन व्रत रखने का भी संकल्प करती हैं।
महाराष्ट्र विधान परिषद ने कॉमेडियन कुणाल कामरा के खिलाफ विशेषाधिकार हनन नोटिस जारी किया
28 Mar, 2025 08:00 AM IST | GRAMINBHARATTV.IN
मुंबई। महाराष्ट्र विधान परिषद ने गुरुवार को स्टैंडअप कमीडियन कुणाल कामरा के खिलाफ ‘देशद्रोही’ टिप्पणी को लेकर विशेषाधिकार हनन नोटिस स्वीकार कर लिया और इसे विशेषाधिकार समिति को भेज दिया। यह जानकारी उच्च सदन के सभापति राम शिंदे ने दी।
यह विवाद हाल ही में खार स्थित हैबिटेट कॉमेडी क्लब में कामरा के शो से उपजा है, जहां उन्होंने उपमुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे पर निशाना साधते हुए एक पैरोडी गीत प्रस्तुत किया था।
इस कृत्य के कारण शिवसेना समर्थकों में आक्रोश फैल गया और रविवार को क्लब तथा होटल में तोड़फोड़ की गई।
शिंदे ने कहा, “मैंने कुणाल कामरा और शिवसेना (यूबीटी) नेता सुषमा अंधारे के खिलाफ विशेषाधिकार हनन का नोटिस स्वीकार कर लिया है और इसे विशेषाधिकार समिति के अध्यक्ष प्रसाद लाड को भेज दिया है। प्रस्ताव के संबंध में आगे की कार्रवाई समिति द्वारा तय की जाएगी।”
यह नोटिस बुधवार को भाजपा एमएलसी प्रवीण दारकेकर द्वारा पेश किया गया, जो सदन के नेता भी हैं।
दारकेकर ने कहा, “कुणाल कामरा ने एक गाना गाया, जिसमें उपमुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे के लिए व्यक्तिगत और अपमानजनक संदर्भ थे।”
उन्होंने आरोप लगाया कि शिवसेना (यूबीटी) नेता अंधारे ने प्रदर्शन का समर्थन किया और “आपत्तिजनक भाषा का इस्तेमाल किया, जो सदन की अवमानना के बराबर है।”
रिपोर्ट के अनुसार, कामरा और अंधारे दोनों ने “अपनी टिप्पणियों के माध्यम से विधायी संस्थाओं की गरिमा का अनादर किया।”
पिछले साल विशेषाधिकार समिति के अध्यक्ष नियुक्त किए गए भाजपा एमएलसी प्रसाद लाड अब अन्य समिति सदस्यों के साथ नोटिस की समीक्षा करेंगे। विधान परिषद के नियमों के अनुसार, अगर समिति शिकायत में दम पाती है, तो प्रस्ताव सदन में चर्चा के लिए लाया जा सकता है।
इस बीच, एकनाथ शिंदे के नेतृत्व वाली शिवसेना विधायक रमेश बोरनारे ने शिवसेना यूबीटी की उपनेता सुषमा अंधारे के खिलाफ मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस का कथित तौर पर मजाक उड़ाने के लिए राज्य विधानसभा में विशेषाधिकार हनन का नोटिस पेश किया।
वित्त राज्य मंत्री आशीष जायसवाल ने बोरनारे के नोटिस का समर्थन किया। भाजपा नेता सुधीर मुनगंटीवार ने आग्रह किया कि विधानसभा की विशेषाधिकार समिति के सदस्यों के नाम जल्द घोषित किए जाएं। पीठासीन अधिकारी संजय केलकर ने कहा कि स्पीकर राहुल नार्वेकर नोटिस पर फैसला लेंगे।
इस बीच, कामरा ने माफी मांगने से इनकार कर दिया है और कहा है कि वह “विवाद के शांत होने का इंतजार करते हुए बिस्तर के नीचे नहीं छिपेंगे।”
उपमुख्यमंत्री शिंदे के खिलाफ कथित रूप से अपमानजनक टिप्पणी करने के आरोप में शिवसेना विधायक मुरजी पटेल की शिकायत पर खार पुलिस ने कामरा के खिलाफ मामला दर्ज किया है।
कामरा, जो वर्तमान में पुडुचेरी में हैं, को 31 मार्च को अधिकारियों के सामने पेश होने के लिए कहा गया है।
पुलिस ने कामरा को दो समन भेजे हैं।
गुजरात बनेगा समान नागरिक संहिता (UCC) लागू करने वाला दूसरा राज्य
27 Mar, 2025 06:21 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
अहमदाबाद: उत्तराखंड के बाद गुजरात समान नागरिक संहिता (UCC) लागू करने वाला देश का दूसरा राज्य बन जाएगा। राज्य के कानून मंत्री ऋषिकेश पटेल ने कल राज्य विधानसभा में यह बात कही। राज्य के कानून मंत्री ऋषिकेश पटेल ने कहा कि समान नागरिक संहिता लागू करने का निर्णय राज्य के सभी लोगों के लिए समान न्याय सुनिश्चित करने और एक भारत श्रेष्ठ भारत की अवधारणा को साकार करने की दिशा में एक कदम है।
इस दिशा में राज्य सरकार ने राज्य के लिए समान नागरिक संहिता (UCC) का मूल्यांकन और मसौदा तैयार करने के लिए न्यायमूर्ति रंजना देसाई की अध्यक्षता में एक उच्च स्तरीय समिति का गठन किया है। समिति ने निवासियों, सामाजिक राजनीतिक संगठनों से सुझाव आमंत्रित किए हैं, कानून बनाने में अधिक लोगों की भागीदारी सुनिश्चित करने के लिए सुझाव प्रस्तुत करने की समय सीमा 15 अप्रैल, 2025 तक बढ़ा दी गई है।
निचली अदालतों में डिजिटलीकरण
ई-कोर्ट प्रोजेट के बारे में पटेल ने कहा कि हाईकोर्ट और निचली अदालतों में डिजिटलीकरण के लिए 27.84 करोड़ रुपये दिए गए हैं। इससे अदालतों में कागजी काम कम होगा और सब कुछ कंप्यूटर पर होगा। फास्ट ट्रैक कोर्ट के बारे में बताते हुए पटेल ने कहा कि पिछले साल जिला अदालतों ने 18,41,016 मामलों को सुलझाया। मतलब, अदालतों ने बहुत तेजी से काम किया। पटेल ने यह भी बताया कि अलग-अलग कानूनों के लिए राज्य में कई अदालतें बनाई गई हैं।
595 विशेष अदालतें बनाई गई
उन्होंने कहा कि हाईकोर्ट की मंजूरी से, 595 विशेष अदालतें बनाई गई हैं। इनमें अत्याचार निवारण अधिनियम के तहत आने वाले मामले भी शामिल हैं। गुजरात पीड़ित मुआवजा योजना-2019 के बारे में मंत्री जी ने बताया कि अपराधों के शिकार लोगों को मुआवजा दिया गया। जैसे कि अत्याचार, एसिट अटैक (तेजाब हमला) और पॉक्सों एक्ट (Pocso Act) के तहत आने वाले मामलों में पिछले तीन सालों में 39 करोड़ रुपये का मुआवजा दिया गया। उन्होंने कहा कि सरकार पीड़ितों की मदद कर रही है।
क्या होती है समान नागरिक संहिता (UCC)?
समान नागरिक संहिता: समान नागरिक संहिता धर्म की परवाह किए बिना सभी नागरिकों के व्यक्तिगत मामलों को नियंत्रित करने के लिए कानूनों का एक सेट रखती है, जो यह सुनिश्चित करती है कि उनके मौलिक और संवैधानिक अधिकार सुरक्षित हैं।
UCC फुल फॉर्म: UCC का मतलब समान नागरिक संहिता है।
समान नागरिक संहिता का अर्थ
समान नागरिक संहिता कानूनों के एक सामान्य समूह को संदर्भित करती है, जो भारत के सभी नागरिकों पर विवाह, तलाक, विरासत, गोद लेने और उत्तराधिकार के संबंध में लागू होती है। ये कानून भारत के नागरिकों पर धर्म और लिंग रुझान के बावजूद लागू होते हैं।
क्या आप जानते हैं:
गोवा में एक समान पारिवारिक कानून है, इस प्रकार यह एकमात्र भारतीय राज्य है, जहां समान नागरिक संहिता है और 1954 का विशेष विवाह अधिनियम किसी भी नागरिक को किसी विशेष धार्मिक व्यक्तिगत कानून के दायरे से बाहर शादी करने की अनुमति देता है।
समान कानूनों की उत्पत्ति
ब्रिटिश सरकार ने 1840 में लेक्स लोकी की रिपोर्ट के आधार पर अपराधों, सबूतों और अनुबंधों के लिए एक समान कानून बनाए थे, लेकिन हिंदुओं और मुसलमानों के व्यक्तिगत कानूनों को उन्होंने जानबूझकर कहीं छोड़ दिया था। दूसरी ओर ब्रिटिश भारत न्यायपालिका ने ब्रिटिश न्यायाधीशों द्वारा हिंदू, मुस्लिम और अंग्रेजी कानून को लागू करने का प्रावधान किया। साथ ही उन दिनों सुधारक महिलाओं द्वारा मूलतः धार्मिक रीति-रिवाजों जैसे सती आदि के तहत किये जाने वाले भेदभाव के विरुद्ध कानून बनाने के लिए आवाज उठा रहे थे।
संविधान सभा की स्थापना की गई थी, जिसमें दोनों प्रकार के सदस्य शामिल थे: वे जो समान नागरिक संहिता को अपनाकर समाज में सुधार चाहते थे जैसे डॉ. बी. आर अम्बेडकर और अन्य मुस्लिम प्रतिनिधि थे, जिन्होंने व्यक्तिगत कानूनों को कायम रखा। साथ ही समान नागरिक संहिता के समर्थकों का संविधान सभा में अल्पसंख्यक समुदायों द्वारा विरोध किया गया था। परिणामस्वरूप, डीपीएसपी (राज्य नीति के निदेशक सिद्धांत) के भाग IV में अनुच्छेद 44 के तहत संविधान में केवल एक पंक्ति जोड़ी गई है।
ईद तक वक्फ संशोधन विधेयक पर केंद्र सरकार ने लगाई रोक, नीतीश कुमार के चुनावी डर का असर
27 Mar, 2025 01:42 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
ईद के बाद लोकसभा में वक्फ संशोधन विधेयक 2025 लाया जा सकता है. सूत्रों के मुताबिक, केंद्र सरकार एनडीए घटकदल जेडीयू और बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के पहल पर ईद तक वक्फ संशोधन विधेयक नहीं लाएगी. नीतीश कुमार को इस बिल का असर इस अक्टूबर में होने वाले बिहार विधानसभा चुनाव पर पड़ने का डर है.
वैसे जेडीयू वक्फ संशोधन बिल के पक्ष में है और नीतीश कुमार द्वारा दिए गए सभी सुझावों को संशोधित बिल में जगह भी दी गई है. हालांकि, केंद्र सरकार वक्फ संशोधन बिल में देरी के पीछे पार्लियामेंट में अन्य विधाई कामों का हवाला दे रही है.
बिहार में वक्फ बिल के खिलाफ विरोध प्रदर्शन
बिहार में बुधवार को वक्फ विधेयक के खिलाफ जबरदस्त प्रदर्शन हुआ. ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड ने पटना में महाधरना का आयोजन किया था. विधानसभा से लेकर सड़कों तक पर प्रदर्शन हुए. विभिन्न राजनीतिक दलों ने ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड एआईएमपीएलबी के इस विरोध का समर्थन किया था. एआईएमपीएलबी ने संसद में पेश वक्फ विधेयक को वापस लेने की मांग की और मुख्यमंत्री नीतीश कुमार जैसे धर्मनिरपेक्ष नेताओं से विवादास्पद विधेयक के लिए उनके समर्थन पर पुनर्विचार करने का अनुरोध किया गया.
तेजस्वी यादव ने कहा कि उनकी पार्टी इस विधेयक का पुरजोर विरोध करेगी, क्योंकि यह असंवैधानिक और तानाशाही प्रवृत्ति का है. राजद नेता ने कहा कि यह नागपुरिया विचारधारा से प्रेरित है. तेजस्वी का इशारा RSS की तरफ था, जिसका मुख्यालय महाराष्ट्र के नागपुर में है. तेजस्वी ने सीएम नीतीश पर निशाना साधते हुए कहा कि कुछ लोग सत्ता के लालच के कारण विधेयक का समर्थन कर रहे हैं.
वक्फ बिल के खिलाफ किसने क्या कहा?
इस विरोध प्रदर्शन में भीम आर्मी के संस्थापक चंद्रशेखर आजाद उर्फ रावण और इंडियन यूनियन मुस्लिम लीग (आईयूएमएल) के सांसद ईटी मोहम्मद बशीर जैसे राज्य के बाहर के नेता भी शामिल हुए. यूपी के नगीना से सांसद चंद्रशेखर ने संवाददाताओं से कहा कि वक्फ पर हमला करने के बाद मोदी सरकार अब मुसलमानों के बीच ईद किट बांट रही है. यह किसी की आंखें निकालने के बाद उसे चश्मा देने के समान है.
बिहार में माले विधायक दल के नेता महबूब आलम ने इस विधेयक की तुलना हिटलर द्वारा अन्य धर्मों के लोगों के बीच लोकप्रियता हासिल करने के लिए यहूदियों को निशाना बनाए जाने से की. एआईएमआईएम की बिहार इकाई के अध्यक्ष और विधायक अख्तरुल ईमान ने आरोप लगाया कि हमें दाढ़ी रखने और टोपी पहनने जैसी प्रथाओं के लिए पहले से ही निशाना बनाया जा रहा है. वक्फ विधेयक इसलिए लाया गया है, ताकि मृतकों को भी न बख्शा जाए और हमारे कब्रिस्तानों पर बुलडोजर चलाए जाएं.
इससे पहले विधानसभा में तिरंगा लेकर पहुंचे राजद और वामपंथी विधायकों ने वक्फ विधेयक को लेकर सदन में जमकर हंगामा किया, जिसके चलते कार्यवाही शुरू होने के कुछ ही मिनटों के भीतर इसे स्थगित करना पड़ा. विपक्षी विधायकों ने विवादास्पद विधेयक की निंदा करने वाले नारे लिखी तख्तियां भी थाम रखी थीं.
संसद में सांसदों के बीच हंसी-मजाक, टीएमसी सांसद ने कंगना रनौत को 'ब्यूटी क्वीन' कहा
27 Mar, 2025 01:35 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
संसद परिसर में अक्सर धरना-प्रदर्शन और नारेबाजी की तस्वीरें सबने देखी है, लेकिन बुधवार को तीन अलग-अलग दलों के सांसदों के बीच हंसी-मजाक के हल्के फुल्के पल सांसदों के बीच चर्चा का विषय बने रहे. दरअसल, हुआ यूं कि नई संसद के मकर द्वार से सदन में जा रहे टीएमसी सांसद कल्याण बनर्जी की नजर अचानक गेट पर अभिनेत्री और सांसद कंगना रनौत पर पड़ी तो वो हल्के फुल्के अंदाज में बोले, आज मेरा दिन अच्छा है, इंडिया की ब्यूटी क्वीन भी यहां पर हैं. जिस पर कंगना ने तपाक से मुस्कुराते हुए जवाब दिया, अरे दादा ऐसा नहीं है.
प्रियंका ने हंसते हुए दिया ये जवाब
कंगना और कल्याण की चर्चा के बीच अचानक कांग्रेस महासचिव और सांसद प्रियंका गांधी गुलाबी साड़ी में मकर द्वार से निकल रही थीं, तो कल्याण बनर्जी ने प्रियंका की तरफ अपना रुख मोड़ा और हंसते हुए कहा, मोस्ट ग्लैमरस लेडी. इस पर प्रियंका हंस पड़ीं और कल्याण बनर्जी से बोलीं, नहीं नहीं मैं कोई ग्लैमरस नहीं हूं. कल्याण बनर्जी ने फिर दोहराया, आप हैं. नहीं नहीं हूं… ये कहकर हंसते हुए प्रियंका अपनी गाड़ी की तरफ चली गईं.
कंगना रनौत, कल्याण बनर्जी और प्रियंका गांधी
इसके बाद फिर कल्याण बनर्जी और कंगना के बीच संवाद शुरू हुआ. दरअसल कंगना अपनी गाड़ी का इंतजार कर रही थीं. तब कल्याण ने कंगना से फिर हंसते हुए कहा, आप तो ब्यूटी क्वीन हैं. इस पर कंगना ने हंसते हुए कल्याण बनर्जी से कहा कि आपकी जोरदार आवा पूरे सदन में गूंजती है, आप बड़े नेता हैं. फिर दोनों हंसते हुए अपनी अपनी मंजिल की तरफ बढ़ गए.
4 अप्रैल तक बजट सत्र
संसद के बजट सत्र की शुरुआत 31 जनवरी से हुई. ये 4 अप्रैल तक प्रस्तावित है. वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण एक फरवरी को आम बजट पेश किया था. सत्र के पहले चरण में राष्ट्रपति के अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्ताव पर दोनों सदनों में बहस हुई और संसद के दोनों सदनों में प्रधानमंत्री के जवाब के साथ यह संपन्न हुआ. अभी बजट सत्र का दूसरा चरण चल रहा है. इसकी शुरुआत 10 मार्च को हुई.
डीआरडीओ और भारतीय नौसेना ने ओडिशा में किया VLSRSAM मिसाइल का सफल परीक्षण
27 Mar, 2025 12:02 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन (DRDO) और भारतीय नौसेना ने 26 मार्च 2025 को ओडिशा के चांदीपुर में सफल मिसाइल परीक्षण किया. इस परीक्षण में वर्टिकली लॉन्च की जाने वाली शॉर्ट-रेंज सरफेस-टू-एयर मिसाइल (VLSRSAM) को दोपहर 12:00 बजे दागा गया. मिसाइल को जमीन से एक वर्टिकल लॉन्चर के जरिए छोड़ा गया और इसने बेहद कम ऊंचाई और नजदीकी दूरी पर एक तेज रफ्तार हवाई लक्ष्य को निशाना बनाया. इस टेस्ट ने साबित कर दिया कि यह मिसाइल कम ऊंचाई पर भी दुश्मन के हमले को रोक सकती है.
इस परीक्षण के दौरान मिसाइल ने तेजी से दिशा बदलते हुए अपने लक्ष्य को पूरी तरह नष्ट कर दिया. इससे साबित हुआ कि यह मिसाइल बहुत फुर्तीली, भरोसेमंद और सटीक है.
मिसाइल में क्या-क्या शामिल
इस परीक्षण में युद्ध के हालात की तरह सभी हथियार प्रणाली का इस्तेमाल किया गया. इसमें शामिल थे: #स्वदेशी रेडियो फ्रीक्वेंसी सीकर (जो लक्ष्य को पहचानने में मदद करता है) #मल्टी-फंक्शन रडार (जो दुश्मन के हमले का पता लगाता है) #वेपन कंट्रोल सिस्टम (जो मिसाइल को सही दिशा में चलाता है)
इन सभी उपकरणों ने उम्मीद के मुताबिक काम किया और आईटीआर चांदीपुर के वैज्ञानिकों ने उड़ान डेटा से इसकी पुष्टि की.
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने दी बधाई
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने डीआरडीओ, भारतीय नौसेना और वैज्ञानिकों को इस सफलता के लिए बधाई दी. उन्होंने कहा कि यह मिसाइल भारत की रक्षा तकनीक की ताकत को दिखाती है और भारतीय नौसेना के लिए बहुत उपयोगी होगी. डीआरडीओ के अध्यक्ष डॉ. समीर वी. कामत ने भी इस उपलब्धि पर सभी को बधाई दी और कहा कि यह आधुनिक तकनीकों से लैस मिसाइल भारतीय सेना की ताकत को और बढ़ाएगी.
एक डिफेंस अधिकारी ने कहा, रडार और नियंत्रण प्रणालियों के साथ मिसाइल ने परीक्षण के दौरान उम्मीद के मुताबिक प्रदर्शन किया. सिस्टम के प्रदर्शन की पुष्टि आईटीआर चांदीपुर में विभिन्न रेंज उपकरणों द्वारा कैप्चर किए गए उड़ान डेटा से की गई.