छत्तीसगढ़
हथियार के साथ आत्मसमर्पण करने वाले नक्सलियों को छत्तीसगढ़ सरकार देगी लाखों रूपए
12 Apr, 2025 08:23 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
रायपुर : छत्तीसगढ़ सरकार ने अपनी नई नक्सलवादी आत्मसमर्पण नीति के तहत हिंसा का रास्ता छोड़कर आत्मसमर्पण करने वाले नक्सलियों को सुरक्षा के साथ-साथ उन्हें लाखों रूपए की प्रोत्साहन राशि भी देगी। आत्मसमर्पण करने वालों को शिक्षा, कौशल प्रशिक्षण और रोजगार व्यवसाय से जोड़ा जाएगा। इस नई नीति के जरिए छत्तीसगढ़ सरकार नक्सलवादियों को समाज की मुख्य धारा में लाकर उन्हें सम्मानजनक जिंदगी जीनेे का अवसर सुलभ करा रही है। नई नीति में आत्मसमर्पित नक्सलियों एवं उनके परिवार के प्रति उदार और संवेदनशील दृष्टिकोण अपनाते हुए छत्तीसगढ़ सरकार ने ऐसे प्रावधान किए है, जिससे उनके जीवन को सुरक्षित और भविष्य बेहतर बनाया जा सके।
छत्तीसगढ़ नक्सलवादी आत्मसमर्पण/पीड़ित राहत-पुनर्वास नीति 2025” को लागू करना वास्तव में छत्तीसगढ़ सरकार की राज्य में शांति बहाली, विकास और सामाजिक समरसता की दिशा में एक ऐतिहासिक पहल है। मुख्यमंत्री विष्णु देव साय का कहना है कि जो हथियार छोड़ेंगे, उन्हें भय नहीं, बल्कि सम्मान मिलेगा। वर्षों से जंगल-जंगल भटक रहे युवा, जो किसी भ्रम या दबाववश नक्सली संगठन में शामिल हो गए हैं, उनके लिए यह नीति एक नया जीवन शुरू करने का द्वार है। आत्मसमर्पण कर वे न केवल खुद का, बल्कि अपने परिवार और समाज का भविष्य भी सुरक्षित कर सकते हैं।
नई नीति में हथियारों के साथ आत्मसमर्पण करने वाले नक्सलियों को सरकार ने लाखों रूपए की मुआवजा राशि देने का प्रावधान किया है। एलएमजी के साथ आत्मसमर्पण करने वाले नक्सली को 5 लाख रुपये मुआवजा के तौर मिलेगा। इसी तरह एके-47/त्रिची असॉल्ट रायफल पर 4 लाख रुपये, मोर्टार पर 2.50 लाख रुपये, एसएलआर/ इंसास रायफल पर 2 लाख रुपये, एक्स 95 असाल्ट रायफल/एमपी-9 टेक्टिल पर 1.50 लाख रूपए, थ्री नाट थ्री रायफल पर 1 लाख रूपए, एक्स-कैलिबर पर 75 हजार रूपए, और यूबीजीएल अटेचमेंट पर 40 हजार रूपए, 315/12 बोर बंदुक पर 30 हजार रूपए, ग्लॉक पिस्टल पर 30 हजार रूपए के साथ ही अन्य छोटे हथियारों जैसे कार्बाइन, रिवॉल्वर, वायरलेस, डेटोनेटर आदि पर भी मुआवजा राशि का प्रावधान है।
हर आत्मसमर्पणकर्ता नक्सली को, भले ही उसके पास हथियार हों या न हों, उसे 50 हजार रूपए की नगद प्रोत्साहन राशि दी जाएगी। यदि कोई आत्मसमर्पित नक्सली, नक्सलियों द्वारा छिपाए गए आईईडी या विस्फोटकों की सूचना देकर उन्हें बरामद कराता है, तो उसे 15,000 से 25,000 तक की अतिरिक्त राशि दी जाएगी। बड़े हथियार डंप या विस्फोटक सामग्री की जानकारी देने पर एक लाख तक का इनाम मिलेगा। आत्मसमर्पणकर्ता यदि विवाह करने के इच्छुक हैं तो उसको एक लाख की विवाह अनुदान राशि भी दी जाएगी। यदि पति और पत्नी दोनों आत्मसमर्पित नक्सली हैं, तो उन्हें एक इकाई मानते हुए यह लाभ दिया जाएगा।
छत्तीसगढ़ सरकार द्वारा घोषित इनामी सूची में शामिल नक्सली के आत्मसमर्पण पर उन्हें पूरी इनामी राशि नियमों के अनुसार प्रदान की जाएगी। राज्य सरकार की इस नीति के साथ-साथ भारत सरकार की पुनर्वास योजनाओं का लाभ भी आत्मसमर्पित नक्सलियों को मिलेगा। इस नीति में यह सुनिश्चित किया गया है कि उन्हें समाज में दोबारा स्थापित होने के लिए हरसंभव मदद मिले। आत्मसमर्पणकर्ता को सिर्फ प्रोत्साहन राशि, मुआवजा, ईनाम ही न मिले बल्किे उसे इसके साथ शिक्षा, पसंद के अनुसार रोजगार-व्यवसाय के लिए कौशल प्रशिक्षण, स्वरोजगार और सामाजिक सम्मान भी मिेले।
मुख्यमंत्री विष्णु देव साय का कहना है कि हिंसा किसी समाधान का रास्ता नहीं है। हिंसा का रास्ता छोड़कर विकास की मुख्यधारा में शामिल होने वाले नक्सलियों के सुरक्षित भविष्य और स्वरोजगार के लिए हमारी सरकार हरसंभव मदद देगी।
सुशासन तिहार 2025 : प्रथम चरण के अंतिम दिन कलेक्टर वर्मा और जिला पंचायत अध्यक्ष साहू खैरबनाकला पहुंचकर स्वयं ग्रामवासियों से आवेदन लिए
12 Apr, 2025 08:22 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
रायपुर : सुशासन तिहार के अंतर्गत कल प्रथम चरण के अंतिम दिन कबीरधाम कलेक्टर गोपाल वर्मा और जिला पंचायत अध्यक्ष ईश्वरी साहू बोड़ला विकासखंड के ग्राम खैरबनाकला में पहुंचकर स्वयं ग्रामवासियों से आवेदन लिये। उन्होंने जमीन पर बैठकर ग्रामीणों से सीधा संवाद किया। इस दौरान ग्रामवासियों से चर्चा कर उनकी शिकायत, समस्या और मांगों को सुनकर आवेदन लिया। उन्होंने सुशासन तिहार की अवधारणा, उद्देश्य एवं गतिविधियों की विस्तार से जानकारी दी और शासन की विभिन्न जनकल्याणकारी योजनाओं से ग्रामीणों को अवगत कराया। इस अवसर पर जिला पंचायत सीईओं अजय कुमार त्रिपाठी, अपर कलेक्टर मुकेश रावटे, बोड़ला एसडीएम सुरूचि शार्दुल, तहसीलदार, जनपद सीईओ सहित अन्य अधिकारी भी उपस्थित रहे।
कलेक्टर वर्मा ने ग्रामीणों की समस्याएं ध्यानपूर्वक सुनीं और संबंधित अधिकारियों को उनके त्वरित निराकरण के निर्देश दिए। ग्रामीणों ने ज्यादातर आदेवन जॉब कार्ड, पीएम आवास, पेयजल, सड़क और राजस्व सहित विभिन्न प्रकार से सम्बन्धित आवदेन किए। सुशासन तिहार के चौथे दिन जिले में शहरी सहित ग्राम पंचायतों में बड़ी संख्या में नागरिक पहुंचकर अपनी मांग, शिकायत और समस्याओं के निराकरण के लिए समाधान पेटी में आवेदन जमा किया। मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय के मंशानुरूप राज्य में सुशासन की स्थापना सुनिश्चित करने के लिए प्रत्येक स्तर पर शासकीय कामकाज में पारदर्शिता लाने एवं शासकीय योजनाओं एवं कार्यक्रमों का प्रभावी क्रियान्वयन सुनिश्चित करने सुशासन तिहार का आयोजन नगरीय एवं ग्राम पंचायत मुख्यालयों में किया जा रहा है। कलेक्टर गोपाल वर्मा ने कहा कि सुशासन तिहार का आयोजन प्रशासन और नागरिकों के बीच संवाद स्थापित करने का एक महत्वपूर्ण अवसर है। इस पहल के माध्यम से हम नागरिकों की समस्याओं का त्वरित समाधान सुनिश्चित करेंगे और शासन के कामकाज में पारदर्शिता लाएंगे। हमारा उद्देश्य है कि हर नागरिक को अपनी समस्या के समाधान के लिए एक सशक्त मंच मिले और प्रशासन उनकी समस्याओं को प्राथमिकता से हल करे। इस कार्यक्रम के दौरान प्राप्त होने वाली सभी शिकायतों और आवेदन का निराकरण समयबद्ध तरीके से किया जाएगा। हम यह सुनिश्चित करेंगे कि नागरिकों को हर स्तर पर न्याय और सुविधा मिले। उन्होंने कहा कि इस कार्यक्रम में नागरिकों को पूरी तरह से सहभागी बनाने के लिए जिला प्रशासन हर संभव कदम उठा रहा है और समाधान शिविरों के माध्यम से नागरिकों को उनके मामलों का समाधान शीघ्र मिलेगा।
जिला पंचायत अध्यक्ष ईश्वरी साहू ने कहा कि सुशासन तिहार के दौरान नागरिकों से प्राप्त शिकायतों और समस्याओं का निराकरण प्रभावी तरीके से किया जाएगा। इसका उद्देश्य सरकार की योजनाओं का सही और पारदर्शी क्रियान्वयन सुनिश्चित करना है, ताकि आम नागरिकों को उनका अधिकार समय पर मिल सके। उन्होंने कहा कि सभी ग्राम पंचायतों और नगरीय निकायों में समाधान पेटी स्थापित की है, जिससे नागरिकों को अपनी समस्याओं के समाधान के लिए एक आसान और सुलभ तरीका मिल सके। समाधान शिविरों का आयोजन भी इस प्रक्रिया का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है, जहां अधिकारियों के साथ मिलकर समस्याओं का समाधान किया जाएगा। उन्होंने यह भी कहा कि नागरिकों से प्राप्त सभी आवेदन की निगरानी की जाएगी और उनका निराकरण सुनिश्चित करने के लिए कार्य किया जाएगा।
सुशासन तिहार के अंतर्गत कबीरधाम जिले के चारों जनपद के ग्राम पंचायतों एवं 7 नगरीय निकायों में सभी व्यवस्था सुनिश्चित की गई है। जिले के नागरिक द्वारा अपनी समस्या, शिकायत और मांगों को लेकर सुबह 10 बजे से शाम 05 बजे तक समाधान पेटी के माध्यम से आवेदन प्रस्तुत किया गया। आवेदन लेने की प्रक्रिया की आज अंतिम दिवस थी। पहले चरण में आम जनता से आवेदन प्राप्त किया गया। दूसरे चरण में लगभग एक माह के भीतर प्राप्त आवेदनों का निराकरण किया जाएगा। तीसरे एवं अंतिम चरण में 05 मई से 31 मई 2025 के बीच समाधान शिविरों का आयोजन किया जाएगा। प्रत्येक 08 से 15 पंचायतों के मध्य शिविर लगेंगे, जहां आवेदकों को उनके प्रकरणों की जानकारी दी जाएगी। शिविरों की तिथि की सूचना एसएमएस और पावती के माध्यम से दी जाएगी। जिन आवेदनों का निराकरण शिविर में संभव होगा, वहीं किया जाएगा। शेष आवेदनों को एक माह में हल कर जानकारी दी जाएगी।
बीजापुर मुठभेड़ में 3 नक्सली ढेर, सुरक्षाबलों का संयुक्त अभियान अभी भी जारी
12 Apr, 2025 04:30 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
बीजापुर: छत्तीसगढ़ के बीजापुर जिले के कोलनार इलाके में शनिवार सुबह करीब साढ़े नौ बजे सुरक्षा बलों ने मुठभेड़ में तीन नक्सलियों को मार गिराया। यह कार्रवाई सीआरपीएफ की 202 कोबरा और 210 कोबरा इकाई, राज्य पुलिस के विशेष कार्य बल (एसटीएफ) और जिला रिजर्व गार्ड (डीआरजी) की संयुक्त टीम ने की। सीआरपीएफ के मुताबिक मुठभेड़ के दौरान जवान पूरी तरह सुरक्षित हैं और किसी के घायल होने की खबर नहीं है। इलाके में अभी भी रुक-रुक कर गोलीबारी जारी है और सतर्कता के साथ ऑपरेशन को आगे बढ़ाया जा रहा है।
सुरक्षा बलों की इस कार्रवाई को नक्सल मोर्चे पर बड़ी कामयाबी माना जा रहा है। अधिकारियों के मुताबिक इलाके में सर्च ऑपरेशन जारी है और अन्य नक्सलियों की तलाश की जा रही है। गोलीबारी जारी, और शव बरामद होने की संभावना: दरअसल सीआरपीएफ ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर बताया कि शनिवार सुबह साढ़े नौ बजे सुरक्षा बलों ने संयुक्त अभियान चलाकर एक नक्सली को मार गिराया है। सीआरपीएफ की 202 कोबरा और 210 कोबरा इकाइयों, छत्तीसगढ़ पुलिस के विशेष कार्य बल और जिला रिजर्व गार्ड की मौजूदगी में यह ऑपरेशन चल रहा है। किसी भी जवान के घायल होने की खबर नहीं है। रुक-रुक कर गोलीबारी जारी है।
इंद्रावती नदी के जंगलों में मुठभेड़
पीटीआई की खबर में छत्तीसगढ़ पुलिस के हवाले से बताया गया कि नक्सल प्रभावित बीजापुर जिले में सुरक्षा बलों ने मुठभेड़ में दो नक्सलियों को मार गिराया है। पुलिस अधिकारियों ने बताया कि जिले के इंद्रावती क्षेत्र के अंतर्गत जंगलों में सुरक्षा बलों और नक्सलियों के बीच मुठभेड़ में दो नक्सली मारे गए। उन्होंने बताया कि इंद्रावती नदी क्षेत्र के अंतर्गत जंगलों में नक्सलियों की मौजूदगी की सूचना पर सुरक्षा बलों को नक्सल विरोधी अभियान पर भेजा गया था।
नक्सलियों को भारी नुकसान की संभावना
पुलिस अधिकारियों ने बताया कि अभियान के दौरान आज सुबह करीब नौ बजे सुरक्षा बलों और नक्सलियों के बीच मुठभेड़ हुई और सुरक्षा बलों ने अब तक मौके से दो नक्सलियों के शव बरामद किए हैं। उन्होंने कहा, "इलाके में सुबह से ही रुक-रुक कर गोलीबारी हो रही है। मुठभेड़ में नक्सलियों को भारी नुकसान पहुंचने की आशंका है। इलाके में तलाशी अभियान जारी है।" नक्सलियों के खिलाफ बड़ा ऑपरेशनः यह मुठभेड़ ऐसे समय हुई है, जब राज्य सरकार लगातार नक्सल विरोधी अभियान तेज कर रही है। हाल ही में दंतेवाड़ा में 26 नक्सलियों ने आत्मसमर्पण किया था, जिनमें से तीन पर नकद इनाम घोषित था। आत्मसमर्पण की यह घटना डीआरजी मुख्यालय में हुई और यह 'लोन वर्राटू' (घर वापसी) अभियान का हिस्सा था।
मुख्यमंत्री का शांति और विकास का संदेश
10 अप्रैल को छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने मीडिया से बातचीत में शांति और विकास के रास्ते पर चलने का संदेश दिया था सीएम साय ने कहा, "हमने शुरू से ही नक्सलियों के लिए आत्मसमर्पण का रास्ता खुला रखा है। हम बार-बार अपील कर रहे हैं कि आप बंदूक और गोली की भाषा छोड़कर विकास के रास्ते पर आइए। सरकार आपको न्याय देगी और रोजगार से जोड़ेगी।"
'शिक्षा ही विकास की कुंजी है', शपथ ग्रहण समारोह में शामिल हुए सीएम साय ने कही ये बात
12 Apr, 2025 02:00 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
रायपुर: शिक्षा ही विकास का मूलमंत्र है। शिक्षा के बिना जीवन अधूरा है। एक पढ़े-लिखे व्यक्ति और अनपढ़ व्यक्ति के जीवन में जमीन आसमान का अंतर होता है। स्कूली बच्चों को पुस्तकें उपलब्ध कराने में पाठ्य पुस्तक निगम की भूमिका बहुत महत्वपूर्ण है। यह बातें मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने आज राजधानी रायपुर के शहीद स्मारक भवन में आयोजित छत्तीसगढ़ पाठ्य पुस्तक निगम के नवनियुक्त अध्यक्ष राजा पांडेय के पदभार ग्रहण कार्यक्रम में कहीं।
मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने छत्तीसगढ़ पाठ्य पुस्तक निगम के अध्यक्ष के रूप में पदभार ग्रहण करने पर राजा पांडेय को हार्दिक बधाई एवं शुभकामनाएं दीं। मुख्यमंत्री ने कहा कि पाठ्य पुस्तक निगम का दायित्व है की किताबें समय पर छपें और बच्चों को स्कूल में पुस्तकें समय पर उपलब्ध हों। मुझे पूरी उम्मीद है कि राजा पांडेय पाठ्य पुस्तक निगम के अध्यक्ष के रूप में अपने कर्तव्यों का पूरी ईमानदारी से निर्वहन करेंगे। विकसित छत्तीसगढ़ बनाने में शिक्षा की सबसे महत्वपूर्ण भूमिका है। इस लिहाज से पाठ्यपुस्तक निगम के पास एक बड़ी जिम्मेदारी है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में नई शिक्षा नीति की शुरुआत की गई है, जिसे हमने छत्तीसगढ़ में लागू किया है। नई शिक्षा नीति में शिक्षा के साथ-साथ रोजगार पर भी फोकस किया गया है। प्राथमिक शिक्षा के स्तर पर हम बच्चों को 18 स्थानीय बोलियों में किताबें उपलब्ध करा रहे हैं। इससे बच्चे अपनी मातृभाषा में शिक्षा प्राप्त कर पायेंगे। नई शिक्षा नीति का लाभ राज्य के बच्चों को मिल रहा है। छत्तीसगढ़ की 25 वर्ष की यात्रा में शिक्षा के क्षेत्र में देश के शीर्ष संस्थान जैसे आईआईटी, आईआईएम, नेशनल लॉ स्कूल और ट्रिपल आईटी छत्तीसगढ़ में स्थापित हुए हैं। आज चिकित्सा शिक्षा के क्षेत्र में छत्तीसगढ़ में 14 मेडिकल कॉलेज हैं। एम्स जैसे राष्ट्रीय चिकित्सा संस्थान का लाभ लोगों को मिल रहा है।
मुख्यमंत्री साय ने कहा कि आज छत्तीसगढ़ हर क्षेत्र में तेजी से विकास कर रहा है। आज नवा रायपुर में हमने प्रदेश के पहले सेमीकंडक्टर यूनिट का भूमिपूजन किया है। ये सेमीकंडक्टर के क्षेत्र में देश का दूसरा यूनिट है। 1143 करोड़ की लागत से इस संयंत्र की स्थापना हुई है। कम्पनी ने 10 हज़ार करोड़ के अतिरिक्त निवेश का प्रस्ताव भी दिया है। इससे सेमीकंडक्टर चिप्स निर्माण में प्रदेश के युवाओं को रोजगार उपलब्ध होगा। इसी तरह नवा रायपुर को आईटी हब बनाने की दिशा में आज स्कवायर बिजनेस सर्विसेज को ऑफिस स्पेस आबंटित किया गया है। बिहान की बहनों को 40 बैटरी चालित ई-रिक्शा भी दिया गया है। साथ ही आज एल्कलाइन वाटर बॉटलिंग प्लांट का भी हमने शुभारंभ किया है। छत्तीसगढ़ की नई औद्योगिक नीति की निवेशकों द्वारा बहुत पसंद किया जा रहा है। एनर्जी और टेक्सटाइल सहित कई क्षेत्रों में राज्य को निवेश प्राप्त हो रहा है। हम सभी को मिलकर छत्तीसगढ़ को आगे बढ़ाना है।
केंद्रीय राज्यमंत्री तोखन साहू ने छत्तीसगढ़ पाठ्य पुस्तक निगम के नवनियुक्त अध्यक्ष राजा पाण्डेय को बधाई एवं शुभकामनाएं दी। उन्होंने शिक्षा के महत्व को रेखांकित करते हुए कहा कि शिक्षा समाजिक परिवर्तन की धुरी है। समाजिक परिवर्तन से आर्थिक परिवर्तन संभव है। आर्थिक परिवर्तन से ही सशक्त राष्ट्र की संकल्पनाओं को साकार किया जा सकता है।
उपमुख्यमंत्री अरुण साव ने कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा कि हमारी सरकार सुशासन को लेकर कार्य कर रही है। अभी गांवों से लेकर शहरों तक सुशासन तिहार मनाया जा रहा है। सुशासन के उद्देश्यों और आम जनमानस तक शासन की योजनाओं को पहुंचाने में सभी निगम-मंडल का महत्वपूर्ण स्थान है। उन्होंने इस अवसर पर नवनियुक्त राजा पाण्डेय को बधाई एवं शुभकामनाएं दी।
इस अवसर पर विधायक अमर अग्रवाल,विधायक श्रीमती गोमती साय,विधायक मोतीलाल साहू, विधायक सुशांत शुक्ला,विधायक प्रबोध मिंज, विधायक भूलन सिंह मरावी, पूर्व मंत्री रामसेवक पैंकरा, पूर्व विधायक शिवरतन शर्मा,पूर्व विधायक देवजी भाई पटेल सहित निगम-मंडल-आयोग के अध्यक्षगण भूपेंद्र सवन्नी,रामप्रताप सिंह, संजय श्रीवास्तव, अनुराग सिंहदेव, लोकेश कांवड़िया, शशांक शर्मा, श्रीनिवास मद्दी , अमरजीत छाबड़ा सहित अन्य जनप्रतिनिधिगण तथा छ. ग. पाठ्यपुस्तक निगम के अधिकारी-कर्मचारीगण व गणमान्य नागरिक उपस्थित थे।
भाटापारा सिविल अस्पताल में बंद पड़ा ब्लड स्टोरेज सेंटर, मरीज बेहाल
12 Apr, 2025 01:09 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
भाटापारा के सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में स्थित ब्लड स्टोरेज सेंटर की बदहाली ने एक बार फिर से सरकारी स्वास्थ्य सेवाओं की हकीकत सामने ला दी है। महीनों से बंद पड़े इस सेंटर में अब न तो कोई कामकाज हो रहा है और न ही मरीजों को समय पर रक्त मिल पा रहा है। हालात इतने खराब हैं कि जरूरी मशीनें कोने में कबाड़ की तरह पड़ी हुई हैं और उन पर धूल की मोटी परत जमी है।
लाइसेंस की मियाद खत्म, मशीनें जंग खा रही
सूत्रों के अनुसार, सेंटर का लाइसेंस कई महीनों पहले ही समाप्त हो चुका है। लेकिन उसके नवीनीकरण की प्रक्रिया आज तक पूरी नहीं की जा सकी। इस लापरवाही का खामियाजा मरीजों को उठाना पड़ रहा है। हाल ही में एक आपातकालीन स्थिति में खून की जरूरत पड़ी, लेकिन ब्लड स्टोरेज सेंटर की बंद व्यवस्था ने अस्पताल स्टाफ और मरीज के परिजनों को असहाय कर दिया।
स्वास्थ्य विभाग इस मामले पर चुप्पी साधे हुए
जब मीडिया की टीम ने मौके पर जाकर स्थिति की जानकारी लेने की कोशिश की, तो स्वास्थ्य विभाग के कर्मचारियों ने सेंटर का दरवाजा खोलने से इनकार कर दिया। साथ ही, तस्वीरें लेने की भी अनुमति नहीं दी गई। यह रवैया स्पष्ट करता है कि विभाग खुद भी इस स्थिति को लेकर असहज और लाचार है।
बीएमओ का बयान
भाटापारा के बीएमओ डॉ. राजेन्द्र माहेश्वरी ने कहा कि मैंने वर्ष 2022 में पदभार ग्रहण किया था। तब से यह मशीन बंद है। सीजीएमएससी की टीम द्वारा जांच के दौरान मशीन को डिस्मेंटल लायक बताया गया था। नए मशीन के लिए उच्च अधिकारियों को पत्र लिखा गया है।
स्थानीय लोगों में आक्रोश
स्थानीय नागरिकों का कहना है कि यह ब्लड स्टोरेज सेंटर इसलिए शुरू किया गया था। ताकि आपात स्थिति में मरीजों को समय पर रक्त मिल सके। लेकिन आज यह केवल बंद कमरों और जर्जर मशीनों तक सिमट कर रह गया है।
मरीजों को हो रही भारी परेशानी
ब्लड सेंटर की निष्क्रियता के चलते मरीजों को अब निजी अस्पतालों या फिर रायपुर जैसे बड़े शहरों के ब्लड बैंकों पर निर्भर रहना पड़ता है। इससे न केवल समय और धन की बर्बादी होती है, बल्कि गंभीर मामलों में देरी जानलेवा भी साबित हो सकती है।
प्रशासन कब जागेगा?
अब सवाल यह है कि क्या सिस्टम किसी बड़ी अनहोनी के इंतजार में है? क्या मरीजों की जान इतनी सस्ती हो गई है कि लाइसेंस नवीनीकरण जैसी बुनियादी प्रक्रिया को महीनों तक टाला जा सकता है? अगर स्वास्थ्य विभाग और प्रशासन ने अब भी इस मुद्दे पर गंभीरता नहीं दिखाई, तो यह चुप्पी किसी दिन बहुत बड़ी कीमत मांग सकती है।
मां बनी हैवान! सक्ती जिले में बेटे को मारकर जमीन में गाड़ा, जांच में जुटी पुलिस
12 Apr, 2025 01:03 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
सक्ती जिले में शनिवार को एक दिल दहला देने वाली घटना सामने आई है। जहां एक मां ने अपने मंझले बेटे और दूसरे पति के साथ मिलकर अपने बड़े बेटे की हत्या कर दी। उसके बाद उसे घर में ही गाड़ दिया। गांव के एक युवक ने इसकी शिकायत थाने में दर्ज कराई है।
जिसके बाद पूरा मामला सामने आया है। मामले की सूचना पर सक्ती एसडीओपी सहित पुलिस टीम मौके पर पहुंच गई है। मामले की जांच की जा रही है। जानकारी के मुताबिक, ग्राम चारपारा निवासी अरविंद भारती ने शुक्रवार को थाने में एक शिकायत दर्ज कराई है।
युवक ने शिकायत में बताया है कि गांव की ही महिला सरिता भारती ने अपने बड़े बेटे संदीप भारती को अपने मंझले बेटे कारण भारती के साथ मिलकर उसकी हत्या कर दी है। उसके बाद रंजीत भारती (वर्तमान पति) के साथ मिलकर बेटे को घर में गाड़ दिया।
मामले की जानकारी मिलते ही सक्ती एसडीओपी मनीष कुंवर अपनी टीम के साथ घटनास्थल पर पहुंच गए। एसडीएम की अनुमति के बाद शव को निकालने की बात कही जा रही है। मालखरौदा थाना प्रभारी सतरूपा तारम ने बताया कि शिकायत मिली है। पुलिस टीम घटनास्थल पर पहुंच चुकी है। उच्च अधिकारियों को मामले की जानकारी दी गई है। मामले की जांच की जा रही है।
कर्मचारियों की पेंशन कटौती पर हाईकोर्ट ने दिया यह फैसला
12 Apr, 2025 01:00 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
रायपुर: छत्तीसगढ़ हाईकोर्ट ने एक अहम फैसला सुनाया है। कोर्ट ने कहा है कि राज्य सरकार कानूनी प्रावधान के बिना किसी कर्मचारी की पेंशन, ग्रेच्युटी या अवकाश नकदीकरण राशि नहीं छीन सकती। यह फैसला जस्टिस बिभु दत्ता गुरु की बेंच ने सुनाया। कोर्ट ने यह भी कहा कि सरकार 'प्रशासनिक निर्देश' के नाम पर भी इसे नहीं छीन सकती। कोर्ट ने यह फैसला राजकुमार गोनेकर नामक एक मृतक सरकारी कर्मचारी के मामले में सुनाया। कोर्ट ने गोनेकर की पेंशन से 9.2 लाख रुपए वसूलने के आदेश को रद्द कर दिया।
पेंशन दान नहीं है
जस्टिस गुरु ने अपने फैसले में कहा कि ग्रेच्युटी और पेंशन दान नहीं है। कर्मचारी अपनी लंबी, निरंतर, निष्ठावान और बेदाग सेवा से इन्हें अर्जित करता है। यह कर्मचारी का अधिकार है और यह उसकी संपत्ति है। साथ ही जस्टिस गुरु ने संविधान के अनुच्छेद 300-ए का हवाला देते हुए कहा कि संपत्ति के इस अधिकार को कानूनी प्रक्रिया के बिना नहीं छीना जा सकता। कोर्ट ने कहा कि बिना किसी कानूनी प्रावधान और प्रशासनिक निर्देश के पेंशन, ग्रेच्युटी या अवकाश नकदीकरण का हिस्सा लेने का राज्य सरकार का प्रयास स्वीकार्य नहीं है।
वसूली आदेश रद्द
इसके साथ ही कोर्ट ने मध्य प्रदेश के छिंदवाड़ा निवासी राजकुमार गोनेकर के मामले में यह फैसला सुनाया। कोर्ट ने गोनेकर की पेंशन से 9.2 लाख रुपये वसूलने के आदेश को रद्द कर दिया। गोनेकर के वकील ने कोर्ट को बताया कि गोनेकर को 29 मार्च 1990 को सहायक निदेशक के पद पर नियुक्त किया गया था। बाद में 2000 में उन्हें उप निदेशक के पद पर पदोन्नत किया गया। हालांकि, ग्रेडेशन सूची में कुछ सुधारों के कारण उन्हें सहायक निदेशक के पद पर पदावनत कर दिया गया। कोर्ट के आदेश के बाद उन्होंने उप निदेशक के पद पर काम किया और 31 जनवरी 2018 को सेवानिवृत्त हो गए।
कथित गबन
अपनी सेवा के दौरान गोनेकर को गबन का नोटिस मिला था। उन्होंने अपने जवाब में आरोपों से इनकार किया और कहा कि उन्होंने कानून के अनुसार काम किया। रिटायरमेंट के बाद 13 दिसंबर 2018 को उन्हें कारण बताओ नोटिस जारी किया गया। उन्होंने 25 जनवरी 2019 को अपना जवाब दाखिल किया और फिर आरोपों से इनकार किया। छत्तीसगढ़ हाईकोर्ट ने कहा कि गोनेकर की पेंशन से 9.23 लाख रुपए वसूलने का आदेश इन तथ्यों पर ठीक से विचार किए बिना और उचित प्रक्रिया का पालन किए बिना पारित किया गया। राज्य ने इसका विरोध किया और कहा कि प्रक्रिया का पालन किया गया। राज्य ने यह भी कहा कि गोनेकर का जवाब मिलने और सरकार द्वारा राशि वसूलने की अनुमति मिलने के बाद ही कार्रवाई की गई। हाईकोर्ट ने कहा कि मूल याचिकाकर्ता गोनेकर की मृत्यु 20 जून 2024 को हो गई थी। इसके बाद उनके कानूनी उत्तराधिकारियों को याचिका में पक्षकार बनाया गया।
राज्यपाल के पास है शक्ति
अदालत ने छत्तीसगढ़ सिविल सेवा (पेंशन) नियम, 1976 के नियम 9 का हवाला दिया। इसमें कहा गया है कि राज्यपाल के पास पेंशन रोकने या वापस लेने या सरकार को हुए नुकसान की वसूली का आदेश देने का अधिकार है। ऐसा तब हो सकता है जब पेंशनभोगी विभागीय या न्यायिक कार्यवाही में गंभीर कदाचार या लापरवाही का दोषी पाया जाता है। कोर्ट ने पहले के फैसलों का हवाला दिया। इसमें सुप्रीम कोर्ट ने पेंशन काटने से पहले सुनवाई का उचित अवसर दिए जाने के महत्व पर जोर दिया था। यह प्राकृतिक न्याय के सिद्धांत का पालन करता है।
हाईकोर्ट ने निष्कर्ष निकाला कि नियम 9 के अनुसार पेंशन से वसूली का आदेश तभी दिया जा सकता है जब कर्मचारी विभागीय या न्यायिक कार्यवाही में दोषी पाया जाता है। गोनेकर को दोषी पाए जाने का कोई सबूत नहीं था। केवल कारण बताओ नोटिस और उनके जवाब थे। इसलिए वसूली के आदेश को बरकरार नहीं रखा जा सकता।
45 दिन के भीतर राशि लौटाने के निर्देश
कोर्ट ने आदेश दिया कि गोनेकर की पेंशन से काटी गई राशि 45 दिन के भीतर उनके कानूनी उत्तराधिकारियों को लौटाई जाए।
एंटी नक्सल ऑपरेशन के तहत बीजापुर में हुई जबरदस्त मुठभेड़
12 Apr, 2025 12:59 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
जिले के इंद्रावती नेशनल पार्क इलाके में माड़ क्षेत्र के जंगल मे पुलिस व नक्सलियों के बीच मुठभेड़ हुई है। मिली जानकारी के मुताबिक, तीन नक्सलियों के मारे जाने की खबर है। दो नक्सलियों के शव बरामद हो गए गैं। बस्तर आईजी पी सुंदरराज ने इसकी पुष्टि की है। मारे गये नक्सलियों की संख्या बढ़ सकती है। सभी जवान सुरक्षित बताये जा रहे हैं।
सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक, बीजापुर जिले इंद्रावती टाइगर रिजर्व क्षेत्र के माड़ के जंगलों में नक्सलियों की मौजूदगी की सूचना पुलिस को मिली थी। सूचना के बाद सुरक्षाबलों की संयुक्त टीम नक्सल विरोधी अभियान पर निकली थी।
अभियान के दौरान सुबह 9 बजे के करीब सुरक्षाबलों और नक्सलियों के बीच मुठभेड़ शुरू हो गई। जो रुक-रुक कर अब भी जारी है। बताया गया है कि इस मुठभेड़ में नक्सलियों को भारी नुकसान होने की संभावना है। फिलहाल, सर्च अभियान चल रहा है। पुलिस ने कहा कि विस्तृत जानकारी पृथक से जारी की जाएगी।
गर्लफ्रेंड से मिलने पहुंचा युवक, बेरहमी से पीटा गया, 5 आरोपी हिरासत में
12 Apr, 2025 12:53 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
छत्तीसगढ़ में एक लड़के की पिटाई का मामला सामने आया है. यहां एक लड़का अपनी गर्लफ्रेंड से मिलने उसके घर पहुंचा था, लेकिन उसकी सरेआम पिटाई की गई. लड़के की पिटाई का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो गया. वीडियो के वारयल होने के बाद पुलिस एक्शन में आई. इस मामले में पांच लोगों को पुलिस ने हिरासत में लिया है.
मामला छत्तीसगढ के सक्ती जिले के मालखरौदा थाना क्षेत्र के बड़े रेवली गांव है. जिस लड़के की पिटाई की गई, उसका नाम राहुल अंचल है और उसकी उम्र 21 साल है. लड़के को कथित तौर पर लड़की के परिवार वालों ने नग्न करके पीटा. लड़का और लड़की रिलेशनशिप में थे. पुलिस ने इस मामले में शुक्रवार को बताया कि ये घटना 8 अप्रैल की है. राहुल अंचल की पिटाई का वीडियो वायरल होने के बाद पांच लोगों को हिरासत में लिया गया है.
सड़क पर की गई लड़के की पिटाई
पुलिस के अनुसार, डबरा का रहवासी राहूल अंचल जो अनुसूचित जाति सतनामी समुदाय का है वो अन्य पिछड़ा वर्ग की एक 16 साल की नाबालिग लड़की से मिलने उसके घर गया था. लड़की के परिवार वाले लड़के को देखकर भड़क गए. इसके बाद उन्होंने लड़के को नग्न करके रस्सी से बांध दिया. फिर चपल्लों, केबलों और पाइपों से उसे पीटा. 9 अप्रैल को नग्न करके फिर उसे सड़क पर सरेआम पीटा गया.
लड़का अस्पताल में भर्ती
पुलिस ने बताया कि राहुल अंचल को रायगड़ के अस्पताल में भर्ती कराया गया है. वहीं वायरल वीडियो में देखा जा सकता है कि राहुल एक पेड़ के नीचे बने चबूतरे पर बैठा है, जहां एक व्यक्ति उसकी पिटाई कर रहा है. एक अन्य वीडियो में राहुल कह रहा है कि लड़की के माता-पिता ने उसे कमरे में पकड़कर दूसरों को बुलाकर रात भर उसकी पिटाई की.
इन धाराओं में पुलिस ने किया मामला दर्ज
सक्ती जिले की एसपी अंकिता शर्मा ने बताया कि इस मामले में कोई औपचारिक शिकायत दर्ज नहीं कराई गई थी. वीडियो वायरल होने के बाद पुलिस ने स्वत: मामले का संज्ञान लिया और जिस समुदाय का लड़का है उसके प्रमुख लोगों को बुलाकर एफआईआर दर्ज कराई. पांच लोग हिरासत में हैं. मामले में आगे की जांच चल रही है.
वाणिज्य एवं श्रम मंत्री लखन लाल देवांगन आज जिले में आयोजित सुशासन तिहार शिविर में पहुंचे
11 Apr, 2025 06:00 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
रायपुर: वाणिज्य, उद्योग एवं श्रम मंत्री लखनलाल देवांगन ने कहा कि प्रदेश के लोकप्रिय मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय के निर्देश पर छत्तीसगढ़ के शहरी एवं ग्रामीण क्षेत्रों में आयोजित किया जा रहा सुशासन तिहार-2025 आम जनता की समस्याओं एवं शिकायतों के निराकरण तथा जनता की आकांक्षाओं की पूर्ति का सशक्त माध्यम बन रहा है। उन्होंने कहा कि देश के यशस्वी प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की मंशा के अनुरूप हमारी सरकार सुशासन, भ्रष्टाचार मुक्त प्रशासन एवं जनकल्याण को सर्वोच्च प्राथमिकता रखकर कार्य कर रही है, जिसके फलस्वरूप छत्तीसगढ़ सरकार की छवि जनहितैषी सरकार के रूप में अंकित हुई है। उद्योग, वाणिज्य एवं श्रम मंत्री लखनलाल देवांगन कल नगर पालिक निगम कोरबा के दर्री जोन कार्यालय में आयोजित सुशासन तिहार शिविर में पहुंचे। उन्होंने शिविर का निरीक्षण किया, वार्डवार काउंटरों का अवलोकन किया तथा आम जनता द्वारा समस्याओं, शिकायतों एवं मांगों के संबंध में प्रस्तुत आवेदनों की जानकारी ली। इस दौरान उद्योग मंत्री देवांगन ने शिविर में पहुंचे आम नागरिकों से मुलाकात कर उनकी शिकायतों, समस्याओं एवं मांगों पर चर्चा की तथा उनके संतुष्टिपूर्ण निराकरण के संबंध में अधिकारियों को आवश्यक दिशा-निर्देश दिए। शिविर में महापौर श्रीमती संजूदेवी राजपूत, कमिश्नर आशुतोष पाण्डेय, जिला पंचायत सीईओ दिनेश कुमार नाग, पार्षद नरेन्द्र देवांगन सहित अन्य पार्षदगण उपस्थित थे।
यहाँ यह उल्लेखनीय है कि प्रदेश के मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय की मंशानुरूप पूरे प्रदेश में सुशासन तिहार 2025 का आयोजन किया जा रहा है, जिसकी शुरूआत मंगलवार 08 अप्रैल से हो गई है। इसी कड़ी में नगर पालिक निगम कोरबा क्षेत्रान्तर्गत सुशासन तिहार 2025 का आयोजन किया जा रहा है। आयोजन के प्रथम चरण में 08 अप्रैल से 11 अप्रैल 2025 तक आम जनता से उनकी शिकायतों एवं मांगों से संबंधित आवेदन प्राप्त किए जा रहे हैं, जिसके पश्चात द्वितीय चरण के अंतर्गत एक माह के भीतर इन प्राप्त आवेदनों का निराकरण किया जाएगा। सुशासन तिहार के तृतीय चरण में 05 मई से 31 मई तक वार्डों में समाधान शिविर आयोजित किए जाएंगे। सुशासन तिहार के तीसरे दिन कोरबा जोन कार्यालय, टी.पी. नगर, कोसाबाड़ी, पं. नगर पालिक निगम कोरबा के रविशंकर शुक्ला नगर, बालको, दर्री एवं सर्वमंगल जोन कार्यालय। दर्री जोन कार्यालय में आयोजित सुशासन तिहार शिविर में उद्योग मंत्री लखनलाल देवांगन ने अपनी गरिमामयी उपस्थिति प्रदान कर शिविर का निरीक्षण किया।
कोरबा के विकास के लिए धन की कमी नहीं होने दी जाएगी
शिविर का निरीक्षण करने के पश्चात उद्योग मंत्री देवांगन ने महापौर श्रीमती संजूदेवी राजपूत एवं आयुक्त आशुतोष पाण्डेय एवं निगम के पार्षदों से शहर के विकास एवं निर्माण कार्यों, नागरिक सेवाओं एवं सुविधाओं तथा मूलभूत आवश्यकताओं से संबंधित कार्यों पर विस्तार से चर्चा की तथा कहा कि कोरबा के सर्वांगीण विकास के लिए धन की कमी नहीं होने दी जाएगी, निगम के सभी वार्डों में दलगत राजनीति से ऊपर उठकर वहां के नागरिकों की आवश्यकताओं, मांगों एवं इच्छाओं को ध्यान में रखते हुए विकास कार्य कराए जाएंगे।
कुल 1363 आवेदन प्राप्त हुए
नगरीय निकायों के सहायक नोडल अधिकारी एवं निगम के प्रभारी उपायुक्त पवन वर्मा ने बताया कि आज आयोजित शिविरों में कुल 1363 आवेदन प्राप्त हुए, जिनमें 1139 मांगों से संबंधित तथा 224 शिकायतों से संबंधित थे। इन शिविरों में वार्ड पार्षदों ने भी भाग लिया तथा अपने वार्ड के नागरिकों को मांगों एवं शिकायतों से संबंधित आवेदन प्रस्तुत करने में अपना सहयोग प्रदान किया। इस अवसर पर निगम के अपर आयुक्त विनय मिश्रा, उपायुक्त पवन वर्मा, महापौर परिषद सदस्य अजय कुमार चंद्रा, पार्षद मुकुंद सिंह कंवर, विनम्र तिवारी, जनक सिंह राजपूत, सुखविंदर कौर, नरेंद्र पाटनवार, नारायण सिंह ठाकुर, ईश्वर साहू, मनोज लहरे, मीना शर्मा, किशोर साहू, संजय कुर्मवंशी, कृष्णा जायसवाल, जोन आयुक्त अजीत तिग्गा, सहायक अभियंता यशवंत जोगी, रितेश सिंह सहित अन्य जनप्रतिनिधि एवं नागरिक उपस्थित थे।
मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय झरिया अल्काइन वाटर बाटलिंग प्लांट का करेंगे उद्घाटन
11 Apr, 2025 05:00 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
रायपुर: मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय 11 अप्रैल को नवा रायपुर में देश की प्रसिद्ध सेमीकंडक्टर निर्माता कंपनी पॉलीमेटेक इलेक्ट्रॉनिक्स प्राइवेट लिमिटेड के प्लांट का शिलान्यास करेंगे। इस अवसर पर मुख्यमंत्री झरिया एल्कलाइन वाटर बॉटलिंग प्लांट का लोकार्पण करेंगे। नवा रायपुर में निर्मित कमर्शियल टावर में आईटी कंपनियों को सुसज्जित स्थान आवंटित करने के साथ ही मुख्यमंत्री नवा रायपुर में सार्वजनिक ई-ऑटो परिवहन सेवा का भी शुभारंभ करेंगे। इस अवसर पर आयोजित कार्यक्रम में वाणिज्य एवं उद्योग मंत्री श्री लखनलाल देवांगन, आवास एवं पर्यावरण मंत्री श्री ओपी चौधरी सम्मानित अतिथि के रूप में उपस्थित रहेंगे। यह कार्यक्रम वाणिज्य एवं उद्योग विभाग, आवास एवं पर्यावरण विभाग के संयुक्त तत्वावधान में आयोजित किया जाएगा। गौरतलब है कि पॉलीमेटेक इलेक्ट्रॉनिक्स प्राइवेट लिमिटेड भारत की पहली सेमीकंडक्टर चिप निर्माण कंपनी है, जो छत्तीसगढ़ में 1143 करोड़ रुपए की लागत से बड़ी फैक्ट्री लगाएगी। डेढ़ लाख वर्ग फीट में बनने वाले इस प्लांट में 2030 तक 10 अरब चिप्स का उत्पादन होगा, जिसका उपयोग टेलीकॉम, 6जी/7जी, लैपटॉप और पावर इलेक्ट्रॉनिक्स में किया जाएगा। इस प्लांट में 130 से अधिक लोगों को रोजगार मिलेगा।
मुख्यमंत्री श्री साय नवा रायपुर के कमर्शियल टावर में आईटी कंपनियों को पूरी तरह से तैयार ऑफिस स्पेस आवंटित करेंगे। यह कदम नवा रायपुर को भारत का आईटी हब बनाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण पहल होगी। आईटी कंपनी के जरिए 750 लोगों को रोजगार मिलेगा। मुख्यमंत्री इस अवसर पर युवाओं को ज्वाइनिंग लेटर भी सौंपेंगे।
मुख्यमंत्री श्री साय द्वारा नवा रायपुर में ई-ऑटो सार्वजनिक परिवहन सेवा का भी शुभारंभ किया जाएगा। यह ई-ऑटो सेवा महिला स्व-सहायता समूह के माध्यम से संचालित की जाएगी। यह ई-ऑटो सार्वजनिक परिवहन सेवा लगभग 130 किलोमीटर के दायरे में आवासीय क्षेत्रों, कार्यालयों, रेलवे स्टेशन, एयरपोर्ट और जंगल सफारी को जोड़ेगी। इससे 40 महिलाओं को रोजगार मिलेगा और उनकी आय में वृद्धि होगी। मुख्यमंत्री श्री साय झरिया अल्कलाइन वाटर बॉटलिंग प्लांट का भी उद्घाटन करेंगे। इससे स्वच्छ पेयजल की आपूर्ति होगी।
सरकारी स्वास्थ्य संस्थाओं में जन्म लेने वाले नवजात शिशुओं का भी बनेगा आधार कार्ड
11 Apr, 2025 02:30 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
रायपुर: देश के प्रत्येक नागरिक को आधार कार्ड से जोड़ने की पहल को और मजबूत करने के लिए भारत सरकार द्वारा संचालित बर्थ लिंक आधार पंजीयन योजना के अंतर्गत अब सरकारी स्वास्थ्य संस्थाओं में जन्म लेने वाले नवजात शिशुओं का भी आधार कार्ड बनाया जाएगा। इस कदम से नागरिकों को सरकारी योजनाओं का लाभ सीधे और पारदर्शी तरीके से मिल सकेगा। यह योजना आधार कार्ड के माध्यम से स्वास्थ्य, शिक्षा और वित्तीय सेवाओं तक पहुंच सुनिश्चित करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगी।
योजना के अंतर्गत स्वास्थ्य संस्थाओं में पदस्थ ऑपरेटरों को एलएमएस (लर्निंग मैनेजमेंट सिस्टम) और एनएसईआईटी (नेशनल स्किल एंड एम्प्लॉयमेंट इंडेक्स टेस्ट) परीक्षा उत्तीर्ण करना अनिवार्य है, जिसके लिए प्रशिक्षण दिया जा चुका है। अब तक 6 स्वास्थ्य संस्थाओं के ऑपरेटरों ने ये मानक पूरे कर लिए हैं। सफल अभ्यर्थियों को स्वास्थ्य सचिव श्री अमित कटारिया के हाथों टैबलेट और फिंगरप्रिंट स्कैनर डिवाइस प्रदान की गई है।
योजना के अंतर्गत प्रत्येक संस्था में सीईएलसी (चाइल्ड एनरोलमेंट लाइट क्लाइंट) किट (एंड्रॉयड टैबलेट और फिंगरप्रिंट डिवाइस) की व्यवस्था की गई है, जिससे आधार पंजीयन तेजी से और आसानी से हो सकेगा। आयुक्त एवं संचालक, स्वास्थ्य सेवाएं सुश्री प्रियंका शुक्ला द्वारा योजना की प्रगति की नियमित समीक्षा की जा रही है। संस्थाओं से प्राप्त आंकड़ों का समन्वय यूआईडीएआई (भारतीय विशिष्ट पहचान प्राधिकरण) से किया जा रहा है। जल्द ही यह योजना राज्य के सभी जिलों में सरकारी स्वास्थ्य संस्थाओं में लागू की जाएगी।
मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने छत्तीसगढ़ दौरे पर आए केंद्रीय मंत्री जी किशन रेड्डी से की मुलाकात
11 Apr, 2025 12:30 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
रायपुर: छत्तीसगढ़ के दो दिवसीय दौरे पर आए केंद्रीय कोयला एवं खान मंत्री जी किशन रेड्डी से आज रात यहां एक निजी होटल में मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने सौजन्य मुलाकात की। इस अवसर पर विधानसभा अध्यक्ष डॉ. रमन सिंह, उपमुख्यमंत्री अरुण साव और रायपुर सांसद बृजमोहन अग्रवाल भी मौजूद थे।
वन विभाग में घोटाले की जांच तेज, 12 ठिकानों पर एकसाथ छापेमारी
11 Apr, 2025 12:02 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
सुकमा। छत्तीसगढ़ के सुकमा में एसीबी और ईओडब्ल्यू की लगातार दूसरे दिन शुक्रवार को भी कार्रवाई जारी है। तेंदूपत्ता बोनस में हुए भ्रष्टाचार के मामले में दोनों टीमों ने कोंटा के बाद अब दोरनापाल में वन विभाग के कर्मचारियों घर छापा मारा है। वहीं जिला मुख्यालय सुकमा में भी वन विभाग के एक प्रबंधक के घर छापामार कार्रवाई की गई है।
शुक्रवार सुबह सात जगहों पर कार्रवाई
आज सुबह एसीबी और ईओडब्ल्यू की टीमों ने सात स्थानों पर छापा मारा है। 2021-22 में वन विभाग के तेंदूपत्ता बोनस वितरण में हुई गड़बड़ी को लेकर दस्तावेज खंगाले जा रहे हैं। इसके पहले 8 मार्च को सुकमा डीएफओ अशोक पटेल के यहां भी छापा पड़ा था। आय से अधिक संपत्ति के बाद डीएफओ की निशानदेही पर कार्रवाई हो रही है।
सात करोड़ के तेंदूपत्ता घोटाले में कल 12 ठिकानों पर हुई थी ईओडब्ल्यू की कार्रवाई
लगभग सात करोड़ रुपये के तेंदूपत्ता बोनस राशि घोटाले की जांच कर रही आर्थिक अपराध शाखा (ईओडब्ल्यू) और भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो (एसीबी) की संयुक्त टीमों ने गुरुवार को जिले के पूर्व विधायक व सीपीआई नेता मनीष कुंजाम सहित लघु वनोपज समिति के प्रबंधकों व वन कर्मचारियों के 12 ठिकानों में छापे मारे।
वन विभाग के कर्मचारी के घर मिले 26.63 लाख कैश
मनीष कुंजाम के सुकमा और रामाराम दोनों निवास में एक साथ छापा मारा गया था। शाम तक चली कार्रवाई में जांच टीम ने दस्तावेज, मोबाइल, इलेक्ट्रानिक उपकरण, कई बैंक एकाउंट व निवेश से संबंधित दस्तावेज के साथ नकद राशि जब्त की है। वनमंडलाधिकारी सुकमा के कर्मचारी राजशेखर पुराणिक के निवास से 26 लाख 63 हजार 700 रुपये नकद मिले हैं।
पूर्ववर्ती कांग्रेस सरकार के कार्यकाल के दौरान 2021-2022 में तेंदूपत्ता संग्राहकों को वितरित की जाने वाली राशि का गबन किया गया था। इसी मामले में आरोपित वनमंडलाधिकारी अशोक कुमार पटेल को राज्य शासन ने फरवरी में निलंबित किया है। मनीष कुंजाम ने दावा किया कि तेंदूपत्ता बोनस राशि घोटाले के वे ही शिकायतकर्ता हैं। प्रदेश सरकार बदले की भावना से कार्रवाई कर रही है।
प्रशासन की चुप्पी पर उठे सवाल, गिधौरी में क्यों नहीं हो रही सख्त कार्रवाई?
11 Apr, 2025 11:50 AM IST | GRAMINBHARATTV.IN
जिले में जहां प्रशासन आमतौर पर जनशिकायतों पर तुरंत कार्रवाई करता नजर आता है। ग्राम गिधौरी में खुलेआम चल रहे नकली शराब के कारोबार पर चुप्पी साध लेना कई सवालों को जन्म दे रहा है। स्थानीय सूत्रों के अनुसार, ग्राम गिधौरी के कुछ हिस्सों में नकली शराब का अवैध कारोबार धड़ल्ले से जारी है। हैरानी की बात यह है कि इस गैरकानूनी गतिविधि की जानकारी आम नागरिकों से लेकर जनप्रतिनिधियों तक को है। लेकिन पुलिस प्रशासन की ओर से अब तक कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया है।
गांववासियों का आरोप है कि पुलिस को इस पूरे नेटवर्क की जानकारी होने के बावजूद अपराधियों पर कोई प्रभावी कार्रवाई नहीं की जा रही है। जिससे उनके हौसले और भी बुलंद होते जा रहे है। अब बड़ा सवाल यह है कि जब जिला प्रशासन अन्य मामलों में इतनी तेजी दिखाता है, तो ग्राम गिधौरी की ओर से आंखें क्यों मूंदी जा रही हैं? क्या यह मामला प्रशासनिक उपेक्षा का है या फिर कोई राजनीतिक हस्तक्षेप इस कार्रवाई में बाधा बना हुआ है?
थाना प्रभारी का दावा
जब इस विषय में गिधौरी थाना प्रभारी शशांक सिंह ठाकुर से बात की गई तो उन्होंने कहा कि पहले कुछ लोगों द्वारा अवैध शराब का काम किया जा रहा था। लेकिन अब लगातार कार्रवाई की जा रही है। जिससे यह काम बंद हो चुका है। हालांकि, गांव के हालात और जनता की शिकायतें इस दावे से मेल नहीं खा रही हैं। जिलेवासियों को उम्मीद है कि प्रशासन जल्द स्थिति की गंभीरता को समझेगा और ग्राम गिधौरी को इस अवैध और खतरनाक कारोबार से जल्द मुक्त करेगा।