छत्तीसगढ़
आयुष्मान योजना का लाभ दिलाने के लिए चलाया जाएगा अभियान, कलेक्टर ने समय-सीमा पर कार्ड बनाने के दिए निर्देश
25 Mar, 2025 03:00 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
रायपुर: आयुष्मान योजना का लाभ दिलाने के लिए अंबिकापुर जिले में अभियान चलाया जाएगा। कलेक्टर श्री विलास भोस्कर ने आज समय-सीमा की बैठक में अधिकारियों को अभियान चलाकर आयुष्मान कार्ड बनाने के निर्देश दिए। उन्होंने स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों को संविदा भर्ती के तहत स्टाफ नर्स, कम्प्यूटर ऑपरेटर, आरएमओ सहित अन्य पदों की भर्ती प्रक्रिया जल्द पूरी करने को कहा।
कलेक्टर श्री भोस्कर ने बैठक में सभी तहसीलदारों को अधिक से अधिक किसानों को प्रोत्साहित करने तथा एग्रो स्टैक पंजीयन सुनिश्चित करने के निर्देश दिए। उन्होंने वन अधिकार पट्टा वितरण से संबंधित प्रकरण की जानकारी ली तथा एसडीएम को पट्टा वितरण प्रकरण का सत्यापन करने तथा फर्जी पट्टा वितरण के प्रकरण पर सख्त कार्रवाई करने को कहा। कलेक्टर ने बैठक में कहा कि डीएमएफ फंड से स्वीकृत निर्माण कार्य तेजी से पूरे किए जाएं। इसी तरह उन्होंने पीएम आवास, पीएम जन्म, स्वामित्व योजना सहित विभिन्न योजनाओं की समीक्षा की।
दंतेवाड़ा-बीजापुर सीमा पर जवानों और नक्सलियों के बीच जारी मुठभेड़, अब तक 3 शव बरामद
25 Mar, 2025 02:16 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
रायपुर: छत्तीसगढ़ के दंतेवाड़ा-बीजापुर-नारायणपुर जिले की सीमा पर पुलिस और नक्सलियों के बीच भीषण मुठभेड़ चल रही है। अब तक 5 से ज्यादा नक्सलियों के मारे जाने की खबर है। मौके से 3 शव और इंसास राइफल बरामद की गई है। नक्सलियों के बड़े कैडर की मौजूदगी की सूचना पर सुरक्षा बलों ने कोर एरिया की घेराबंदी कर दी है। इस ऑपरेशन में करीब 500 जवान शामिल हैं। सुबह 8 बजे से फायरिंग जारी है।
इंद्रावती नदी के उस पार ऑपरेशन
पुलिस को सूचना मिली थी कि इंद्रावती नदी के उस पार बड़ी संख्या में नक्सली मौजूद हैं। इसी आधार पर एक दिन पहले दंतेवाड़ा और बीजापुर से जवानों को ऑपरेशन के लिए भेजा गया था। 25 मार्च की सुबह नक्सलियों से मुठभेड़ शुरू हुई। सूत्रों के मुताबिक फोर्स ने नक्सलियों को चारों तरफ से घेर लिया है, लेकिन अभी आधिकारिक पुष्टि नहीं हुई है। दंतेवाड़ा एसपी गौरव राय और एएसपी आरके बर्मन ने बताया कि मुठभेड़ जारी है। सर्च ऑपरेशन खत्म होने के बाद ही पूरी स्थिति साफ हो पाएगी।
दोनों तरफ से फायरिंग
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, जंगल में पहले से मौजूद नक्सलियों ने जवानों पर फायरिंग शुरू कर दी। जवानों ने भी जवाबी फायरिंग की। दोनों तरफ से लगातार गोलियां चल रही हैं। खबर है कि जवानों ने नक्सलियों को घेर लिया है। मुठभेड़ के बारे में पूरी जानकारी कुछ देर बाद पता चलेगी। लेकिन माना जा रहा है कि फोर्स ने बड़ा ऑपरेशन शुरू किया है, जिसके चलते कई नक्सली मारे जा सकते हैं।
नक्सलियों को हो सकता है भारी नुकसान
दंतेवाड़ा एसपी गौरव राय ने मुठभेड़ की पुष्टि की है। उन्होंने बताया कि जवानों को नक्सलियों की मौजूदगी की सूचना मिली थी। इसके बाद ऑपरेशन शुरू किया गया। फिलहाल मुठभेड़ जारी है और अधिक जानकारी का इंतजार है। यह मुठभेड़ ऐसे समय हो रही है, जब बस्तर में नक्सलियों के खिलाफ अभियान तेज कर दिया गया है। सुरक्षाबल लगातार नक्सलियों को पकड़ने की कोशिश कर रहे हैं। इस मुठभेड़ से नक्सलियों को बड़ा नुकसान होने की संभावना है।
इसी इलाके में 30 नक्सली हुए थे ढेर
चार दिन पहले इसी इलाके में दो अलग-अलग मुठभेड़ों में सुरक्षाबलों ने 30 नक्सलियों को ढेर कर दिया था। दंतेवाड़ा-बीजापुर सीमा पर 26 और कांकेर में 4 नक्सली मारे गए। यह नक्सलियों के लिए उनके TCOC (टैक्टिकल काउंटर ऑफेंसिव कैंपेन) महीने का सबसे बड़ा नुकसान माना जा रहा है। सूत्रों के मुताबिक, यह हमला हाल ही में सरेंडर करने वाले नक्सली दिनेश मोडियाम द्वारा दी गई सूचना के आधार पर किया गया।
प्रदेश में बारिश के आसार नहीं, अगले पांच दिन में बड़ा दिन और रात का तापमान
25 Mar, 2025 10:45 AM IST | GRAMINBHARATTV.IN
रायपुर: छत्तीसगढ़ की राजधानी रायपुर में सोमवार को आसमान में बादल छाए रहने से तापमान में मामूली गिरावट दर्ज की गई, जिससे लोगों को गर्मी से थोड़ी राहत मिली। हालांकि मौसम विभाग के अनुसार मंगलवार से मौसम साफ होने लगेगा और अगले तीन-चार दिनों में तापमान में बढ़ोतरी होगी, जिससे गर्मी बढ़ने की संभावना है। सोमवार को रायपुर में दिन का अधिकतम तापमान 36 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया, जो सामान्य से 1.2 डिग्री कम रहा। वहीं, रात का न्यूनतम तापमान 23.4 डिग्री रहा, जो सामान्य से 1.2 डिग्री अधिक रहा। मौसम विभाग ने अनुमान जताया है कि अगले कुछ दिनों में दिन के तापमान में 2-3 डिग्री की बढ़ोतरी हो सकती है। मंगलवार 25 मार्च को रायपुर में दिन का तापमान 37 डिग्री और रात का तापमान 23 डिग्री के आसपास रह सकता है।
प्रदेश में बारिश से तापमान में गिरावट
छत्तीसगढ़ के आसपास बने मौसमी सिस्टम कमजोर पड़ रहे हैं, जिसका असर राजधानी में भी दिख रहा है। पिछले 48 घंटों में हल्की बारिश और बादल छाए रहने से तापमान में गिरावट आई थी, लेकिन अब मौसम साफ होने लगा है। पिछले 24 घंटों में जशपुर जिले के जशपुरनगर में सबसे ज्यादा 53.6 मिमी बारिश दर्ज की गई, जबकि अन्य इलाकों में हल्की बारिश हुई। प्रदेश में सबसे ज्यादा अधिकतम तापमान 37.5 डिग्री राजनांदगांव में और सबसे कम न्यूनतम तापमान 15.5 डिग्री अंबिकापुर में दर्ज किया गया।
प्रदेश में आज मौसम शुष्क रहेगा, तापमान में होगी बढ़ोतरी
मौसम विभाग के अनुसार 25 मार्च को प्रदेश में मौसम शुष्क रहने की संभावना है। अगले पांच दिनों में अधिकतम तापमान में 2-4 डिग्री की बढ़ोतरी हो सकती है। रायपुर में आसमान ज्यादातर साफ रहेगा, लेकिन गर्मी बढ़ने की संभावना है। बदलते मौसम को देखते हुए लोगों को गर्मी से बचाव के उपाय करने की सलाह दी गई है। धूप में निकलते समय पानी पीते रहने और हल्के कपड़े पहनने की सलाह दी गई है।
कृषक उन्नति योजना से बदली किसान धनीराम साहू की तकदीर
24 Mar, 2025 11:47 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
महासमुंद : महासमुंद विकासखंड के ग्राम चिंगरौद के किसान धनीराम साहू के जीवन में कृषक उन्नति योजना आर्थिक समृद्धि का नया अवसर लेकर आई है। शासन द्वारा धान खरीदी 3100 रुपये प्रति क्विंटल की दर से किए जाने से उनकी आय में उल्लेखनीय वृद्धि हुई है, जिससे उनका आत्मविश्वास भी बढ़ा है।
धनीराम साहू ने बताया कि उन्होंने कुल 6 एकड़ में धान की खेती की थी, जिससे अच्छी आमदनी प्राप्त हुई। वे इस राशि से अपनी नवीन कृषि भूमि खरीदने की योजना बना रहे हैं, जो कि पहले पूंजी की कमी के कारण संभव नहीं हो पा रही थी। इसके अलावा, वे इस आय का उपयोग अपने बच्चों की शिक्षा और खेती के अन्य कार्यों में भी करेंगे। धनीराम का मानना है कि साय सरकार की इस योजना ने प्रदेश के किसानों को आत्मनिर्भर बनाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है। उनका कहना है कि पहले की तुलना में अब धान की खेती से अधिक लाभ प्राप्त हो रहा है और अंतर राशि का भुगतान भी समय पर हो रहा है, जिससे किसानों का शासन के प्रति विश्वास बढ़ा है।
उन्होंने मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय को धन्यवाद देते हुए कहा कि राज्य में किसान खुशहाल हैं और कृषि क्षेत्र नई ऊंचाइयों को छू रहा है। उन्होंने यह भी उल्लेख किया कि 3100 रुपये प्रति क्विंटल की दर पूरे देश में सबसे अधिक है, जिससे किसानों को आर्थिक संबल मिल रहा है। कृषक उन्नति योजना निश्चित रूप से किसानों के जीवन में सकारात्मक परिवर्तन ला रही है और कृषि को लाभकारी व्यवसाय के रूप में स्थापित करने में मदद कर रही है।
खाद्य मंत्री दयाल दास बघेल की केन्द्रीय राज्य मंत्री तोखन साहू से मुलाकात
24 Mar, 2025 11:46 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
रायपुर : खाद्य, नागरिक आपूर्ति एवं उपभोक्ता संरक्षण मंत्री दयाल दास बघेल के राजधानी रायपुर स्थित शासकीय निवास कार्यालय में केन्द्रीय राज्य मंत्री तोखन साहू से सौजन्य मुलाकात हुई। खाद्य मंत्री बघेल ने केन्द्रीय राज्य मंत्री साहू का आत्मीय स्वागत किया। इस दौरान केन्द्रीय मंत्री साहू के नेतृत्व में क्षेत्रवासियों ने जिला बेमेतरा के बुचीपुर में आयोजित श्रीमद् भागवत ज्ञान यज्ञ महोत्सव के लिए आमंत्रित किया।
उल्लेखनीय है कि चैत्र नवरात्र पर्व के अवसर पर सिद्ध शक्तिपीठ मां महामाया धार्मिक सेवा समिति बुचीपुर द्वारा 30 मार्च से 06 अपै्रल 2025 तक संगीत मय श्रीमद् भागवत ज्ञान यज्ञ सप्ताह का आयोजन किया गया।
राष्ट्रपति मुर्मु का छत्तीसगढ़ विधान सभा में आह्वान: नारी सशक्तीकरण और समरसता से बनेगा श्रेष्ठ छत्तीसगढ़
24 Mar, 2025 11:44 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
रायपुर : भारत की राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु ने आज छत्तीसगढ़ विधान सभा के रजत जयंती समारोह में भाग लेते हुए प्रदेशवासियों को 25 वर्षों की लोकतांत्रिक यात्रा की बधाई दी और विधान सभा की उत्कृष्ट संसदीय परंपराओं की भूरि-भूरि प्रशंसा की। राष्ट्रपति मुर्मु ने छत्तीसगढ़ राज्य की स्थापना को स्वर्गीय प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी जी के असाधारण मार्गदर्शन का परिणाम बताया और उनके प्रति सादर नमन किया। उन्होंने कहा कि छत्तीसगढ़ की लोकतांत्रिक यात्रा, जन-आकांक्षाओं की अभिव्यक्ति का एक प्रेरणास्पद उदाहरण है। उन्होंने अपने विधायक काल की स्मृतियाँ साझा करते हुए कहा कि जन-प्रतिनिधि के रूप में कार्य करना जनसेवा की भावना से प्रेरित व्यक्तियों के लिए एक सौभाग्य होता है। उन्होंने विधान सभा को संस्कृति की संवाहक और नीति निर्धारण की दिशा देने वाला केंद्र बताया।
छत्तीसगढ़ विधान सभा: अनुकरणीय संसदीय आचरण का प्रतीक
राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु ने छत्तीसगढ़ विधान सभा द्वारा अपनाई गई अनुशासित और मर्यादित परंपराओं की सराहना की। विशेष रूप से उन्होंने 'स्वयमेव निलंबन' जैसे नियमों की सराहना की और इस बात को ऐतिहासिक बताया कि 25 वर्षों में छत्तीसगढ़ विधानसभा में कभी भी मार्शल का उपयोग नहीं करना पड़ा।
राष्ट्रपति मुर्मु ने छत्तीसगढ़ को मातृशक्ति का साक्षात प्रतीक बताते हुए राज्य की सांस्कृतिक गरिमा को नमन किया। उन्होंने छत्तीसगढ़ की महिला विभूति मिनी माता को याद करते हुए उनके योगदान को नमन किया। साथ ही उन्होंने इस बात की सराहना की कि आज विधान सभा में 19 महिला विधायक हैं और राज्य में महिला मतदाताओं की संख्या पुरुषों से अधिक रही है। राष्ट्रपति ने महिला विधायकों से आह्वान किया कि वे राज्य की अन्य महिलाओं को सशक्त बनाने में अग्रणी भूमिका निभाएँ। उन्होंने ‘नारी शक्ति वंदन अधिनियम’ की भावना को धरातल पर उतारने की अपील की।
समावेशी समाज की दिशा में छत्तीसगढ़ की नीतियाँ
राष्ट्रपति मुर्मु ने छत्तीसगढ़ विधान सभा द्वारा पारित 565 विधेयकों को समावेशी विकास की दिशा में ऐतिहासिक बताया। विशेष रूप से महिलाओं को रूढ़ियों पर आधारित प्रताड़ना से मुक्त कराने वाले अधिनियम का उल्लेख करते हुए डॉ. रमन सिंह जी के कार्यकाल में इसे विधान सभा का महत्वपूर्ण योगदान बताया।
प्राकृतिक संसाधनों से समृद्ध, संभावनाओं से परिपूर्ण राज्य
राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु ने कहा छत्तीसगढ़ में विकास की असीम संभावनाएं विद्यमान है।उन्होंने कहा कि राज्य में खनिज, औद्योगिक और कृषि क्षेत्र में विकास की व्यापक संभावना है। उन्होंने पर्यावरण-संरक्षण और विकास के बीच संतुलन की आवश्यकता पर जोर दिया। उन्होंने कहा कि यहां के पारंपरिक लोक शिल्प की देश-विदेश में सराहना होती है। यह सुंदर राज्य हरे-भरे जंगलों, झरनों तथा अन्य प्राकृतिक वरदानों से समृद्ध है। छत्तीसगढ़ को महानदी, हसदेव, इंद्रावती और शिवनाथ जैसी नदियों का आशीर्वाद प्राप्त है। छत्तीसगढ़ को आधुनिक विकास के मार्ग पर आगे बढ़ने के साथ-साथ पर्यावरण का संरक्षण भी सुनिश्चित करना है। राज्य के आप सब नीति-निर्माताओं पर विकास और प्रकृति के बीच संतुलन स्थापित करने की ज़िम्मेदारी है। इसके साथ ही समाज के सभी वर्गों को आधुनिक विकास-यात्रा से जोड़ना भी सभी जनप्रतिनिधियों का उत्तरदायित्व है।
वामपंथी उग्रवाद से मुक्ति की ओर निर्णायक प्रगति
राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु ने कहा कि छत्तीसगढ़ में वामपंथी उग्रवाद से प्रभावित लोगों को समाज की मुख्य धारा से जोड़ने का कार्य अंतिम और निर्णायक दौर में पहुंच गया है। छत्तीसगढ़ के नक्सल प्रभावित क्षेत्रों के लोग विकास के मार्ग पर आगे बढ़ना चाहते हैं। उन्होंने विश्वास व्यक्त किया कि छत्तीसगढ़ को उग्रवाद से पूर्णतया मुक्त करने के प्रयास में शीघ्र ही सफलता प्राप्त होगी और राज्य के इतिहास में एक स्वर्णिम अध्याय जुड़ेगा।
सामाजिक समरसता का मूलमंत्र : ‘मनखे-मनखे एक समान’
गुरु घासीदास जी के संदेश ‘मनखे-मनखे एक समान’ को उद्धृत करते हुए राष्ट्रपति ने सामाजिक समानता और समरसता के आदर्श छत्तीसगढ़ के निर्माण की बात कही। राष्ट्रपति मुर्मु ने छत्तीसगढ़ विधान सभा को आदर्श लोकतांत्रिक संस्थान बताते हुए राज्य के उज्ज्वल भविष्य की कामना की और सभी जनप्रतिनिधियों से श्रेष्ठ छत्तीसगढ़ के निर्माण हेतु समर्पण की भावना से कार्य करने का आह्वान किया।
लोकतांत्रिक परंपराओं में छत्तीसगढ़ विधानसभा एक आदर्श उदाहरण - राज्यपाल रमेन डेका
राज्यपाल रमेन डेका ने रजत जयंती समारोह में राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु की गरिमामयी उपस्थिति को अद्वितीय और प्रेरणादायक बताते हुए राज्य की जनता की ओर से उनका हृदय से स्वागत किया। उन्होंने भारत रत्न अटल बिहारी वाजपेयी जी को स्मरण करते हुए कहा कि छत्तीसगढ़ राज्य का निर्माण उनके दूरदर्शी नेतृत्व और जन-आकांक्षाओं की गहरी समझ का परिणाम था। उन्होंने बताया कि वर्ष 2025 को राज्य सरकार ने ‘अटल निर्माण वर्ष’ के रूप में घोषित किया है, जिसमें अधोसंरचना विकास को सर्वाेच्च प्राथमिकता दी जाएगी। राज्यपाल डेका ने छत्तीसगढ़ विधान सभा की 25 वर्ष की यात्रा को गर्व और सम्मान की यात्रा बताया।
राज्यपाल ने विधानसभा द्वारा अपनाए गए ‘स्वयमेव निलंबन’ नियम को अनुशासन और लोकतांत्रिक मर्यादाओं के पालन का अद्भुत उदाहरण बताया। उन्होंने इसे पूरे देश की विधानसभाओं के लिए एक मॉडल के रूप में प्रस्तुत किया, जिसे राष्ट्रभर में सराहा गया है।
उन्होंने कहा कि छत्तीसगढ़ विधानसभा जन आकांक्षाओं को मूर्त रूप देने वाला मंच है। राज्यपाल ने विधानसभा की नीतियों और कार्यक्रमों की सराहना की, जिनसे राज्य को सामाजिक, आर्थिक और सांस्कृतिक रूप से सशक्त बनाया गया। उन्होंने बताया कि नक्सल प्रभावित क्षेत्रों में पुनर्वास और विकास के निरंतर प्रयासों से बस्तर अंचल के आदिवासी समुदायों को मुख्यधारा से जोड़ने में सफलता मिल रही है।
खनिज संपदा से औद्योगिक शक्ति बनने की यात्रा
राज्यपाल ने कहा कि छत्तीसगढ़ को देश का प्रमुख स्टील और ऊर्जा उत्पादक राज्य बताते हुए उन्होंने इस उपलब्धि का श्रेय राज्य के दूरदर्शी नेतृत्व को दिया। राज्यपाल ने जानकारी दी कि वर्तमान विधानसभा में 19 महिला विधायक हैं, जो कुल सदस्यों का 21.11 प्रतिशत हैं। इसे उन्होंने महिला सशक्तिकरण का श्रेष्ठ उदाहरण बताया और राज्य में महिलाओं की बढ़ती भूमिका की सराहना की।उन्होंने छत्तीसगढ़ की ऐतिहासिक, सांस्कृतिक और आध्यात्मिक धरोहर को नमन करते हुए कई महापुरुषों का स्मरण किया, जिनमें माता शबरी, गुरु घासीदास, स्वामी विवेकानंद, वीर नारायण सिंह, मिनीमाता आदि प्रमुख हैं। उन्होंने यह भी कहा कि स्वामी विवेकानंद के किशोर जीवन के महत्वपूर्ण वर्ष छत्तीसगढ़ में बीते, जिसने उनके आत्मिक विकास में योगदान दिया। उन्होंने कहा कि रजत जयंती वर्ष हमें एक नई ऊर्जा देता है, और यह हमारा सामूहिक संकल्प होना चाहिए कि छत्तीसगढ़िया सबले बढ़िया की पहचान को बनाए रखते हुए राज्य को समान अवसर, सर्वांगीण समृद्धि और सांस्कृतिक गरिमा से युक्त विकसित छत्तीसगढ़ के रूप में आगे ले जाएँ।
राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु का छत्तीसगढ़ आगमन: स्वामी विवेकानंद एयरपोर्ट पर हुआ भव्य स्वागत
24 Mar, 2025 11:43 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
रायपुर : राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु का आज छत्तीसगढ़ आगमन पर स्वामी विवेकानंद एयरपोर्ट रायपुर में राज्यपाल रमेन डेका, मुख्यमंत्री विष्णु देव साय, केंद्रीय राज्य मंत्री तोखन साहू, उपमुख्यमंत्री द्वय अरुण साव एवं विजय शर्मा, महापौर मीनल चौबे, रमेश बैस, सरोज पाण्डे, गौरीशंकर अग्रवाल, शिवरतन शर्मा सहित अन्य जनप्रतिनिधियों और अधिकारियों ने स्वागत किया।
राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु ने विधानसभा परिसर में किया कदम्ब का पौधरोपण
24 Mar, 2025 11:41 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
रायपुर : छत्तीसगढ़ विधानसभा के रजत जयंती समारोह के अवसर पर आज राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु ने विधानसभा परिसर में कदम्ब का पौधरोपण किया। इस अवसर पर राज्यपाल रमेन डेका, मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय और विधानसभा अध्यक्ष डॉ. रमन सिंह उपस्थित थे।
लोकतांत्रिक परंपराओं की मिसाल है छत्तीसगढ़ विधानसभा: मुख्यमंत्री साय
24 Mar, 2025 11:40 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
रायपुर : मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने आज छत्तीसगढ़ विधानसभा के रजत जयंती समारोह के अवसर पर प्रदेशवासियों की ओर से भारत की राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु का आत्मीय स्वागत करते हुए कहा कि यह हम सभी का सौभाग्य है कि जब छत्तीसगढ़ विधानसभा अपने गौरवशाली 25 वर्षों का उत्सव मना रही है, तब देश की प्रथम नागरिक हमारे बीच उपस्थित हैं। उन्होंने कहा कि वर्ष 2000 में भारत रत्न स्वर्गीय अटल बिहारी वाजपेयी जी के नेतृत्व में बने छत्तीसगढ़ का रजत वर्ष संयोग से उनके जन्मशताब्दी वर्ष में पड़ रहा है, जिसे हम अटल निर्माण वर्ष के रूप में मना रहे हैं।
मुख्यमंत्री साय ने कहा कि हमारी विधानसभा की 25 वर्षों की यात्रा लोकतंत्र की सुदृढ़ परंपराओं की प्रतीक है। वैदिक काल से चले आ रहे भारतीय लोकतंत्र को छत्तीसगढ़ ने अपने कार्यों से मजबूत किया है। सदन में जनहितकारी विषयों पर गंभीर चर्चाएं, सशक्त विमर्श और स्वस्थ वातावरण में लिए गए निर्णय, हमारी संसदीय संस्कृति को समृद्ध करते हैं। उन्होंने कहा कि छत्तीसगढ़ विधानसभा ने केवल विधायी कार्य ही नहीं, बल्कि प्रतिनिधियों के नेतृत्व विकास को भी प्राथमिकता दी है। मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने कहा कि हमारे माननीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी कहते हैं कि सीखने की प्रक्रिया निरंतर चलनी चाहिए। हाल ही में विधानसभा सदस्यों के लिए आईआईएम रायपुर में आयोजित पब्लिक लीडरशिप प्रोग्राम इसका उदाहरण है, जहाँ नेतृत्व और प्रशासन के महत्वपूर्ण पहलुओं पर प्रशिक्षण दिया गया। उन्होंने कहा कि हम सभी मिलकर विकसित भारत और विकसित छत्तीसगढ़ के निर्माण के लिए संकल्पबद्ध हैं।
विधान सभा अध्यक्ष डॉ. रमन सिंह ने राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु का स्वागत करते हुए कहा कि छत्तीसगढ़ विधानसभा को यह गौरव प्राप्त है कि तीसरी बार भारत के राष्ट्रपति ने सदन को संबोधित किया है। इससे पहले स्वर्गीय डॉ. एपीजे अब्दुल कलाम और प्रतिभा देवी सिंह पाटिल विधानसभा को संबोधित कर चुके हैं। उन्होंने राष्ट्रपति मुर्मु जी के सरल, संघर्षशील और प्रेरणादायक जीवन को देश की महिलाओं, जनप्रतिनिधियों और युवाओं के लिए प्रेरणा स्रोत बताया। उन्होंने छत्तीसगढ़ विधान सभा की 25 वर्ष की यात्रा को लोकतांत्रिक मूल्यों की सुदृढ़ता की यात्रा बताया। उन्होंने कहा कि सदन में ‘स्वअनुशासन’ की परंपरा स्थापित की गई, जहां सदस्यों ने स्वयं बनाए नियमों का पालन कर पूरे देश के लिए उदाहरण प्रस्तुत किया।
डॉ. सिंह ने बताया कि छत्तीसगढ़ विधानसभा ने संसदीय गतिविधियों के क्षेत्र में राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय पहचान बनाई है। उन्होंने उल्लेख किया कि छत्तीसगढ़ विधानसभा ने 2011 में लोक सेवा गारंटी अधिनियम, और 2012 में खाद्य सुरक्षा अधिनियम पारित किए, जो अंत्योदय और समावेशी विकास के प्रतीक हैं। डॉ. रमन सिंह ने बताया कि शीघ्र ही विधानसभा नया रायपुर स्थित नवीन भवन में स्थानांतरित होगी। उन्होंने राष्ट्रपति जी की उपस्थिति को सदन की स्मृतियों में एक अमिट अध्याय बताया। उन्होंने कहा कि विधानसभा में सदन में उत्कृष्ट प्रदर्शन करने वाले जनप्रतिनिधियों और पत्रकारों को नियमित रूप से पुरस्कार व सम्मान दिया जाता है, जो लोकतांत्रिक चेतना को सुदृढ़ करते हैं।
नेता प्रतिपक्ष डॉ. चरणदास महंत ने भारत की राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु का हृदय से स्वागत करते हुए उन्हें संघर्ष, सादगी और सेवा की प्रतीक बताया। उन्होंने कहा कि राष्ट्रपति जी का जीवन पूरे देश के लिए प्रेरणास्रोत है। उन्होंने राष्ट्रपति मुर्मु की उपस्थिति को ऐतिहासिक बताते हुए आभार व्यक्त किया और कहा कि हम सब उनके वचनों से प्रेरणा लेकर छत्तीसगढ़ के विकास में एकजुटता से कार्य करेंगे।
इस अवसर पर राज्यपाल रमेन डेका ने विधानसभा सदस्य संदर्भ पुस्तिका का विमोचन किया और राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्म को पुस्तिका की प्रथम प्रति भेंट की।
रजत जयंती समारोह के अवसर पर मंत्रीमंडल के सभी मंत्रीगण एवं विधानसभा के सभी सदस्यगण उपस्थित थे।
मुख्यमंत्री विष्णु देव साय का ग्रीष्मकाल में पेयजल की उपलब्धता सुनिश्चित करने पर जोर
24 Mar, 2025 11:35 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
रायपुर : मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने कहा कि ग्रीष्मकाल में प्रदेश के प्रत्येक नागरिक तक निर्बाध और सुरक्षित पेयजल पहुंचाना हमारी प्राथमिक जिम्मेदारी है। इसके लिए सभी विभागों के बीच समन्वय और जनसहभागिता अनिवार्य है। उन्होंने ज़ोर देकर कहा कि जल संकट से निपटने के लिए जल संरक्षण की दिशा में ठोस और निर्णायक कदम उठाए जाने की आवश्यकता है, जिससे आने वाले समय में प्रदेश जल संकट की किसी भी स्थिति से सुरक्षित रह सके। मुख्यमंत्री साय मंत्रालय में आयोजित लोक स्वास्थ्य यांत्रिकी एवं जल संसाधन विभाग की उच्चस्तरीय समीक्षा बैठक को संबोधित कर रहे थे।
मुख्यमंत्री साय ने अधिकारियों को निर्देशित किया कि ग्रीष्म ऋतु के दौरान प्रदेशभर में पेयजल की समुचित और सतत उपलब्धता सुनिश्चित करने के लिए सभी जरूरी उपायों को प्राथमिकता पर क्रियान्वित किया जाए।
मुख्यमंत्री साय ने ग्रीष्मकालीन परिस्थितियों को ध्यान में रखते हुए प्रदेशभर में पेयजल की उपलब्धता को राज्य सरकार की सर्वोच्च प्राथमिकता घोषित किया है। उन्होंने संबंधित अधिकारियों को स्पष्ट निर्देश दिए कि जल संकट की किसी भी संभावना को गंभीरता से लेते हुए त्वरित और समन्वित कार्रवाई सुनिश्चित की जाए। मुख्यमंत्री ने इस दिशा में ग्रामीण विकास, नगरीय प्रशासन, ऊर्जा, वन एवं कृषि विभाग को परस्पर तालमेल के साथ कार्य करने के निर्देश दिए।
उन्होंने कहा कि प्रदेश में उत्पन्न हो रही पेयजल समस्याओं के समाधान हेतु अल्पकालिक और दीर्घकालिक रणनीतियाँ समान रूप से आवश्यक हैं। इसके लिए उन्होंने जल संरक्षण के प्रभावी उपायों जैसे रिचार्ज पिट, रेन वॉटर हार्वेस्टिंग और सौर ऊर्जा आधारित पंपों को तेजी से बढ़ावा देने पर बल दिया। साथ ही, उन्होंने भूजल के अनियंत्रित दोहन पर सख्त निगरानी रखने और कम जल-खपत वाली फसलों की खेती को प्रोत्साहन देने के निर्देश दिए, जिससे जल संसाधनों का संतुलित उपयोग सुनिश्चित हो सके।
मुख्यमंत्री साय ने अधिकारियों को निर्देश दिए कि वे केवल कार्यालयों तक सीमित न रहते हुए, फील्ड में जाकर स्वयं स्थिति का आकलन करें और स्थल पर ही पेयजल संबंधी समस्याओं का त्वरित समाधान सुनिश्चित करें।
मुख्यमंत्री ने निर्देश दिए कि आगामी 15 दिनों के भीतर प्रदेशभर में विशेष अभियान चलाकर सभी हैंडपंपों और सार्वजनिक नलों की मरम्मत सुनिश्चित की जाए। उन्होंने कहा कि अनेक स्थानों पर हैंडपंपों में केवल मामूली तकनीकी समस्याएँ होती हैं, जिन्हें यदि समय रहते स्थानीय मैकेनिक द्वारा दुरुस्त किया जाए, तो नागरिकों को अनावश्यक परेशानी से बचाया जा सकता है।
बैठक के दौरान यह जानकारी दी गई कि राज्य सरकार ने इस कार्य के त्वरित निष्पादन हेतु पूरे प्रदेश में मोबाइल वैन यूनिट्स की विशेष व्यवस्था की है, जो आगामी चार महीनों तक फील्ड में सक्रिय रहकर रखरखाव और मरम्मत का कार्य प्राथमिकता से संपादित करेंगी।
मुख्यमंत्री साय ने कहा कि प्रदेश के पर्वतीय और मैदानी दोनों क्षेत्रों में स्वच्छ पेयजल की सतत उपलब्धता सुनिश्चित करना राज्य सरकार की प्राथमिक जिम्मेदारी है। उन्होंने अधिकारियों से कहा कि इसके लिए स्थानीय भू-प्राकृतिक परिस्थितियों के अनुरूप जल संरक्षण उपायों को बढ़ावा दिया जाए, ताकि दीर्घकालिक समाधान सुनिश्चित किया जा सके। उन्होंने वन्य प्राणियों के लिए गर्मी के मौसम में जल की उपलब्धता सुनिश्चित करने के भी स्पष्ट निर्देश दिए।
मुख्यमंत्री ने यह भी निर्देशित किया कि प्रदेशभर में अमृत सरोवरों को जल प्रबंधन के मॉडल के रूप में विकसित किया जाए, ताकि वे जल संग्रहण, वर्षा जल संरक्षण और सामुदायिक भागीदारी के सफल उदाहरण बन सकें। उन्होंने तालाबों और जलाशयों के आसपास हो रहे अतिक्रमण को प्राथमिकता से हटाने की आवश्यकता पर बल देते हुए कहा कि जलस्रोतों की रक्षा करना केवल प्रशासनिक दायित्व नहीं, बल्कि सामूहिक सामाजिक जिम्मेदारी भी है।
मुख्यमंत्री साय ने सौर ऊर्जा आधारित पेयजल योजनाओं के संचालन और रखरखाव की प्रक्रिया को तीव्र गति से क्रियान्वित करने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि इन योजनाओं के प्रभावी कार्यान्वयन से जल स्रोतों के अपव्यय को नियंत्रित किया जा सकता है और ऊर्जा की बचत भी सुनिश्चित होती है। मुख्यमंत्री ने विशेष रूप से इस बात पर बल दिया कि सोलर पेयजल योजनाओं में 'सेंसर आधारित स्वचालित प्रणाली' लागू की जाए, जिससे जल वितरण की निगरानी और नियंत्रण तकनीकी रूप से संभव हो सके और स्मार्ट जल प्रबंधन प्रणाली की दिशा में राज्य एक महत्वपूर्ण कदम आगे बढ़ाए।
मुख्यमंत्री ने पंचायती राज संस्थाओं की भूमिका को जल संरक्षण के क्षेत्र में अत्यंत महत्वपूर्ण बताते हुए कहा कि ग्राम स्तर पर जनजागरूकता और सहभागिता ही जल संकट का दीर्घकालिक समाधान है। उन्होंने निर्देश दिए कि ग्राम सभाओं में जल संरक्षण, भूजल प्रबंधन और निस्तारी जल योजनाओं पर व्यापक चर्चा सुनिश्चित की जाए, ताकि समुदाय स्तर पर ठोस पहल हो सके। मुख्यमंत्री ने पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग को इन गतिविधियों के सुनियोजित क्रियान्वयन और ग्राम पंचायतों की सक्रिय भागीदारी सुनिश्चित करने के लिए विशेष रूप से निर्देशित किया।
इस उच्चस्तरीय बैठक में उपमुख्यमंत्री अरुण साव, विजय शर्मा, मुख्य सचिव अमिताभ जैन, मुख्यमंत्री के प्रमुख सचिव सुबोध सिंह, पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग की प्रमुख सचिव निहारिका बारिक, जल संसाधन विभाग के सचिव राजेश सुकुमार टोप्पो, लोक स्वास्थ्य यांत्रिकी विभाग के सचिव मोहम्मद कैसर अब्दुल हक और कृषि, वन, जलवायु परिवर्तन एवं ऊर्जा विभाग के अधिकारी उपस्थित थे।
राष्ट्रपति मुर्मू का छत्तीसगढ़ विधानसभा से आह्वान: महिला सशक्तिकरण और सद्भाव से बनेगा बेहतर छत्तीसगढ़
24 Mar, 2025 08:15 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
रायपुर: भारत की राष्ट्रपति श्रीमती द्रौपदी मुर्मु ने आज छत्तीसगढ़ विधान सभा के रजत जयंती समारोह में भाग लेते हुए प्रदेशवासियों को 25 वर्षों की लोकतांत्रिक यात्रा की बधाई दी और विधान सभा की उत्कृष्ट संसदीय परंपराओं की भूरि-भूरि प्रशंसा की। राष्ट्रपति श्रीमती मुर्मु ने छत्तीसगढ़ राज्य की स्थापना को स्वर्गीय प्रधानमंत्री श्री अटल बिहारी वाजपेयी जी के असाधारण मार्गदर्शन का परिणाम बताया और उनके प्रति सादर नमन किया। उन्होंने कहा कि छत्तीसगढ़ की लोकतांत्रिक यात्रा, जन-आकांक्षाओं की अभिव्यक्ति का एक प्रेरणास्पद उदाहरण है। उन्होंने अपने विधायक काल की स्मृतियाँ साझा करते हुए कहा कि जन-प्रतिनिधि के रूप में कार्य करना जनसेवा की भावना से प्रेरित व्यक्तियों के लिए एक सौभाग्य होता है। उन्होंने विधान सभा को संस्कृति की संवाहक और नीति निर्धारण की दिशा देने वाला केंद्र बताया।
छत्तीसगढ़ विधान सभा: अनुकरणीय संसदीय आचरण का प्रतीक
राष्ट्रपति श्रीमती द्रौपदी मुर्मु ने छत्तीसगढ़ विधान सभा द्वारा अपनाई गई अनुशासित और मर्यादित परंपराओं की सराहना की। विशेष रूप से उन्होंने 'स्वयमेव निलंबन' जैसे नियमों की सराहना की और इस बात को ऐतिहासिक बताया कि 25 वर्षों में छत्तीसगढ़ विधानसभा में कभी भी मार्शल का उपयोग नहीं करना पड़ा। राष्ट्रपति श्रीमती मुर्मु ने छत्तीसगढ़ को मातृशक्ति का साक्षात प्रतीक बताते हुए राज्य की सांस्कृतिक गरिमा को नमन किया। उन्होंने छत्तीसगढ़ की महिला विभूति मिनी माता को याद करते हुए उनके योगदान को नमन किया। साथ ही उन्होंने इस बात की सराहना की कि आज विधान सभा में 19 महिला विधायक हैं और राज्य में महिला मतदाताओं की संख्या पुरुषों से अधिक रही है। राष्ट्रपति ने महिला विधायकों से आह्वान किया कि वे राज्य की अन्य महिलाओं को सशक्त बनाने में अग्रणी भूमिका निभाएँ। उन्होंने ‘नारी शक्ति वंदन अधिनियम’ की भावना को धरातल पर उतारने की अपील की।
समावेशी समाज की दिशा में छत्तीसगढ़ की नीतियाँ
राष्ट्रपति श्रीमती मुर्मु ने छत्तीसगढ़ विधान सभा द्वारा पारित 565 विधेयकों को समावेशी विकास की दिशा में ऐतिहासिक बताया। विशेष रूप से महिलाओं को रूढ़ियों पर आधारित प्रताड़ना से मुक्त कराने वाले अधिनियम का उल्लेख करते हुए डॉ. रमन सिंह जी के कार्यकाल में इसे विधान सभा का महत्वपूर्ण योगदान बताया।
प्राकृतिक संसाधनों से समृद्ध, संभावनाओं से परिपूर्ण राज्य
राष्ट्रपति श्रीमती द्रौपदी मुर्मु ने कहा छत्तीसगढ़ में विकास की असीम संभावनाएं विद्यमान है।उन्होंने कहा कि राज्य में खनिज, औद्योगिक और कृषि क्षेत्र में विकास की व्यापक संभावना है। उन्होंने पर्यावरण-संरक्षण और विकास के बीच संतुलन की आवश्यकता पर जोर दिया। उन्होंने कहा कि यहां के पारंपरिक लोक शिल्प की देश-विदेश में सराहना होती है। यह सुंदर राज्य हरे-भरे जंगलों, झरनों तथा अन्य प्राकृतिक वरदानों से समृद्ध है। छत्तीसगढ़ को महानदी, हसदेव, इंद्रावती और शिवनाथ जैसी नदियों का आशीर्वाद प्राप्त है। छत्तीसगढ़ को आधुनिक विकास के मार्ग पर आगे बढ़ने के साथ-साथ पर्यावरण का संरक्षण भी सुनिश्चित करना है। राज्य के आप सब नीति-निर्माताओं पर विकास और प्रकृति के बीच संतुलन स्थापित करने की ज़िम्मेदारी है। इसके साथ ही समाज के सभी वर्गों को आधुनिक विकास-यात्रा से जोड़ना भी सभी जनप्रतिनिधियों का उत्तरदायित्व है।
वामपंथी उग्रवाद से मुक्ति की ओर निर्णायक प्रगति
राष्ट्रपति श्रीमती द्रौपदी मुर्मु ने कहा कि छत्तीसगढ़ में वामपंथी उग्रवाद से प्रभावित लोगों को समाज की मुख्य धारा से जोड़ने का कार्य अंतिम और निर्णायक दौर में पहुंच गया है। छत्तीसगढ़ के नक्सल प्रभावित क्षेत्रों के लोग विकास के मार्ग पर आगे बढ़ना चाहते हैं। उन्होंने विश्वास व्यक्त किया कि छत्तीसगढ़ को उग्रवाद से पूर्णतया मुक्त करने के प्रयास में शीघ्र ही सफलता प्राप्त होगी और राज्य के इतिहास में एक स्वर्णिम अध्याय जुड़ेगा।
सामाजिक समरसता का मूलमंत्र : ‘मनखे-मनखे एक समान’
गुरु घासीदास जी के संदेश ‘मनखे-मनखे एक समान’ को उद्धृत करते हुए राष्ट्रपति ने सामाजिक समानता और समरसता के आदर्श छत्तीसगढ़ के निर्माण की बात कही। राष्ट्रपति मुर्मु ने छत्तीसगढ़ विधान सभा को आदर्श लोकतांत्रिक संस्थान बताते हुए राज्य के उज्ज्वल भविष्य की कामना की और सभी जनप्रतिनिधियों से श्रेष्ठ छत्तीसगढ़ के निर्माण हेतु समर्पण की भावना से कार्य करने का आह्वान किया।
राज्यपाल श्री रमेन डेका ने रजत जयंती समारोह में राष्ट्रपति श्रीमती द्रौपदी मुर्मु की गरिमामयी उपस्थिति को अद्वितीय और प्रेरणादायक बताते हुए राज्य की जनता की ओर से उनका हृदय से स्वागत किया। उन्होंने भारत रत्न श्री अटल बिहारी वाजपेयी जी को स्मरण करते हुए कहा कि छत्तीसगढ़ राज्य का निर्माण उनके दूरदर्शी नेतृत्व और जन-आकांक्षाओं की गहरी समझ का परिणाम था। उन्होंने बताया कि वर्ष 2025 को राज्य सरकार ने ‘अटल निर्माण वर्ष’ के रूप में घोषित किया है, जिसमें अधोसंरचना विकास को सर्वाेच्च प्राथमिकता दी जाएगी। राज्यपाल श्री डेका ने छत्तीसगढ़ विधान सभा की 25 वर्ष की यात्रा को गर्व और सम्मान की यात्रा बताया।
राज्यपाल ने विधानसभा द्वारा अपनाए गए ‘स्वयमेव निलंबन’ नियम को अनुशासन और लोकतांत्रिक मर्यादाओं के पालन का अद्भुत उदाहरण बताया। उन्होंने इसे पूरे देश की विधानसभाओं के लिए एक मॉडल के रूप में प्रस्तुत किया, जिसे राष्ट्रभर में सराहा गया है। उन्होंने कहा कि छत्तीसगढ़ विधानसभा जन आकांक्षाओं को मूर्त रूप देने वाला मंच है। राज्यपाल ने विधानसभा की नीतियों और कार्यक्रमों की सराहना की, जिनसे राज्य को सामाजिक, आर्थिक और सांस्कृतिक रूप से सशक्त बनाया गया। उन्होंने बताया कि नक्सल प्रभावित क्षेत्रों में पुनर्वास और विकास के निरंतर प्रयासों से बस्तर अंचल के आदिवासी समुदायों को मुख्यधारा से जोड़ने में सफलता मिल रही है।
खनिज संपदा से औद्योगिक शक्ति बनने की यात्रा
राज्यपाल ने कहा कि छत्तीसगढ़ को देश का प्रमुख स्टील और ऊर्जा उत्पादक राज्य बताते हुए उन्होंने इस उपलब्धि का श्रेय राज्य के दूरदर्शी नेतृत्व को दिया। राज्यपाल ने जानकारी दी कि वर्तमान विधानसभा में 19 महिला विधायक हैं, जो कुल सदस्यों का 21.11 प्रतिशत हैं। इसे उन्होंने महिला सशक्तिकरण का श्रेष्ठ उदाहरण बताया और राज्य में महिलाओं की बढ़ती भूमिका की सराहना की।उन्होंने छत्तीसगढ़ की ऐतिहासिक, सांस्कृतिक और आध्यात्मिक धरोहर को नमन करते हुए कई महापुरुषों का स्मरण किया, जिनमें माता शबरी, गुरु घासीदास, स्वामी विवेकानंद, वीर नारायण सिंह, मिनीमाता आदि प्रमुख हैं। उन्होंने यह भी कहा कि स्वामी विवेकानंद के किशोर जीवन के महत्वपूर्ण वर्ष छत्तीसगढ़ में बीते, जिसने उनके आत्मिक विकास में योगदान दिया। उन्होंने कहा कि रजत जयंती वर्ष हमें एक नई ऊर्जा देता है, और यह हमारा सामूहिक संकल्प होना चाहिए कि छत्तीसगढ़िया सबले बढ़िया की पहचान को बनाए रखते हुए राज्य को समान अवसर, सर्वांगीण समृद्धि और सांस्कृतिक गरिमा से युक्त विकसित छत्तीसगढ़ के रूप में आगे ले जाएँ।
कटघोरा में मिला महिला का शव, जांच में जुटी पुलिस
24 Mar, 2025 06:50 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
कोरबा: कटघोरा थाना क्षेत्र स्थित दुर्गा मंदिर के पास एक महिला की संदिग्ध अवस्था में लाश मिली है. घटना से क्षेत्र में सनसनी फैल गई है. मामले की सूचना मिलने पर पुलिस मौके पर पहुंची और मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी है. जानकारी के अनुसार महिला किराए के मकान में अकेली रहती थी और मजदूरी करती थी। आज सुबह महिला की लाश घर के पीछे बगीचे में मिली, जबकि घर का पिछला दरवाजा खुला था। महिला की लाश संदिग्ध अवस्था में मिली, जिससे हत्या की आशंका जताई जा रही है।घटना स्थल के पास और घर के दरवाजे पर खून से सनी ईंट भी मिली है, जिससे यह मामला और संदिग्ध हो रहा है।
घटना की गंभीरता को देखते हुए कटघोरा थाना पुलिस ने डॉग स्क्वायड और फोरेंसिक एक्सपर्ट को मौके पर बुलाया है। फिलहाल पुलिस मामले की जांच में जुटी है। एडिशनल एसपी कटघोरा नितीश कुमार ठाकुर ने बताया कि दुर्गा मंदिर के सामने लता नेताम नाम की महिला रहती थी, जिसकी हत्या की गई है. वह किराए के मकान में रहती थी। घटना कल शाम की है और पुलिस को इस संबंध में सूचना मिली थी। डॉग स्क्वायड और एफएसएल की टीम मौके पर पहुंची। घटनास्थल से भौतिक साक्ष्य जुटाए जा रहे हैं और संदिग्धों के बारे में जानकारी जुटाई जा रही है। पुलिस उनसे पूछताछ कर रही है।
अवैध शराब कारोबारी गिरफ्तार: 131 लीटर महुआ और 6960 किलो महुआ लाहन जब्त, कुल 6 ठिकानों पर छापेमारी
24 Mar, 2025 04:20 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
बिलासपुर: आबकारी विभाग ने रविवार को तखतपुर और कोटा क्षेत्र में अवैध शराब के खिलाफ बड़ी कार्रवाई की। कुल 6 जगहों पर दबिश दी गई, जिसमें 131 लीटर महुआ शराब और 6960 किलो महुआ लाहन जब्त किया गया। हैरान करने वाली बात यह है कि कोटा क्षेत्र के ग्राम धूमा में एक घर के बाथरूम में पानी की टंकी में शराब बनाने का लाहन छिपाकर रखा गया था। हालांकि अवैध शराब के कारोबार में लिप्त 4 आरोपियों को गिरफ्तार कर न्यायिक रिमांड पर भेज दिया गया है। आबकारी विभाग को मुखबिर से सूचना मिली कि ग्राम धूमा चौकी जूना पारा में अवैध शराब का निर्माण किया जा रहा है। विभाग और संबंधित थाना क्षेत्र की संयुक्त पुलिस टीम मौके पर पहुंची और एक घर में दबिश देनी शुरू की। काफी छानबीन के बाद भी पुलिस के हाथ कुछ नहीं लगा। आखिरी प्रयास के तौर पर जैसे ही बाथरूम में पानी की टंकी खोली गई तो सारा राज खुल गया। पुलिस ने बाथरूम के ऊपर बनी पानी की टंकी को भी खोला तो उसमें भी लाहन मिला। इस तरह बाथरूम के अंदर ड्रम में तथा बाथरूम के ऊपर पानी की टंकी में कुल 9 ड्रम तथा आंगन में 1 ड्रम में महुआ लाहन भरा हुआ पाया गया।
इनका रहा योगदान
छापेमारी एवं जब्ती में सहायक जिला आबकारी अधिकारी कल्पना राठौर, उपनिरीक्षक धर्मेंद्र शुक्ला, नेतराम बंजारे, वेदप्रकाश नेताम, प्रधान आरक्षक सुभाष तिवारी, जगत, जयशंकर कमलेश एवं चालक संदीप खलखो का विशेष योगदान रहा। इन सभी अधिकारी-कर्मचारियों ने मिलकर अभियान को सफल बनाया।
ये आरोपी गिरफ्तार
आबकारी विभाग की कार्रवाई में 4 आरोपियों को गिरफ्तार किया गया है, जिन पर अवैध शराब के कारोबार में संलिप्त होने का आरोप है। गिरफ्तार आरोपियों में से रामचंद्र ध्रुव (निवासी धूमा, थाना जूना पारा चौकी) को 9 लीटर महुआ शराब के साथ पकड़ा गया। जबकि अजू राम टेकाम को 6000 किलोग्राम महुआ लाहन के साथ पकड़ा गया। इस छापेमारी के दौरान अजय भारद्वाज एवं प्रेमदास को भी पकड़ा गया, जिनके पास से 8 लीटर महुआ शराब बरामद की गई। सभी आरोपियों को न्यायिक रिमांड पर भेज दिया गया है। इसके अलावा इन आरोपियों से जुड़े अन्य आरोपियों की तलाश की जा रही है।
अपनी मांगों को लेकर छत्तीसगढ़ में बीएड शिक्षकों का अनोखा प्रदर्शन, लहराया क्रांतिकारी तिरंगा
24 Mar, 2025 03:53 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
रायपुर: सेवा सुरक्षा और समायोजन की मांग को लेकर पिछले तीन महीने से संघर्ष कर रहे बीएड प्रशिक्षित सहायक शिक्षकों ने रविवार को शहादत दिवस पर अलग अंदाज में विरोध जताया। शिक्षकों ने भारत माता, भगत सिंह, राजगुरु और सुखदेव की वेशभूषा में रैली निकालकर प्रदर्शन किया। शिक्षकों ने हाथों में जंजीरें पहनीं, कैदियों के कपड़े पहने और तिरंगे के नारे लगाते रहे।
शहीद भगत सिंह की प्रतिमा तक पैदल मार्च निकाला
रायपुर बस स्टैंड से टिकरापारा शहीद भगत सिंह की प्रतिमा तक पैदल मार्च निकाला। इसके बाद शहीद दिवस पर भगत सिंह को श्रद्धांजलि दी और शहीदों की प्रतिमा पर माल्यार्पण किया। शिक्षकों ने शहीदों के बलिदान से प्रेरणा लेते हुए न्याय की लड़ाई जारी रखने की शपथ ली और सरकार से शिक्षकों की भावनाओं और उनकी रोजी-रोटी के संकट को समझते हुए त्वरित निर्णय लेने की अपील की।
तीन महीने से जारी है संघर्ष
हजारों बीएड शिक्षक शहीद भगत सिंह की प्रतिमा तक पैदल मार्च निकाला। प्रदेश के प्रशिक्षित सहायक अध्यापक सेवा सुरक्षा व समायोजन की मांग को लेकर लगातार धरना प्रदर्शन, क्रमिक भूख हड़ताल, सामूहिक उपवास, मशाल जुलूस व ज्ञापन सौंपने जैसे शांतिपूर्ण तरीकों से अपनी आवाज बुलंद कर रहे हैं। अध्यापकों की मांग है कि सरकार इस मुद्दे पर तत्काल निर्णय ले कि प्राथमिक शिक्षक के पद पर बीएड धारकों की भर्ती की गई थी, अब उन्हें अयोग्य घोषित करना अन्यायपूर्ण है। सर्वोच्च न्यायालय के निर्णय के बाद राज्य सरकार को इन अध्यापकों को अन्य पदों पर समायोजित करने का अधिकार है, लेकिन अभी तक इस दिशा में कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया है। अध्यापकों का कहना है कि यदि सरकार जल्द ही कोई ठोस निर्णय नहीं लेती है तो उनका आंदोलन और उग्र होगा।
सरकार से मांगें
सभी बीएड प्रशिक्षित सहायक अध्यापकों को सेवा सुरक्षा दी जाए तथा उन्हें अन्य पदों पर समायोजित किया जाए।
शिक्षा के क्षेत्र में अध्यापकों की संख्या पहले से ही कम है, ऐसे में योग्य अध्यापकों को नौकरी से हटाना न केवल अन्यायपूर्ण होगा, बल्कि शिक्षा व्यवस्था पर भी इसका नकारात्मक प्रभाव पड़ेगा।
सरकार को जल्द से जल्द इस समस्या का समाधान कर अध्यापकों की सेवाएं सुरक्षित करनी चाहिए।
वित्त मंत्री द्वारा विधानसभा में पेश रिपोर्ट में खुलासा, केवल 54.70 प्रतिशत राशि ही हुई खर्च
24 Mar, 2025 02:34 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
छग विधानसभा: छत्तीसगढ़ में बजट की रफ्तार शुरुआती 9 महीनों में धीमी रही। वित्त मंत्री ओपी चौधरी ने करीब 22 फीसदी की ग्रोथ के साथ अपना पहला बजट पेश किया। जबकि नौ महीनों में बजट का सिर्फ 54.70 फीसदी ही खर्च हो सका। वित्त मंत्री चौधरी द्वारा विधानसभा में पेश की गई रिपोर्ट से यह खुलासा हुआ है।
कई योजनाएं देरी से शुरू हुईं
हालांकि, दीनदयाल उपाध्याय भूमिहीन कृषि मजदूर कल्याण योजना देरी से शुरू हुई। इसके अलावा कई ऐसी योजनाएं हैं, जिनके क्रियान्वयन में थोड़ा समय लगा। इस वजह से भी शुरुआती दिनों में बजट खर्च की रफ्तार धीमी रही है। रिपोर्ट के मुताबिक, शुरुआती तीन महीनों में बजट का सिर्फ 20.40 फीसदी ही खर्च हो सका।
इसमें पूंजीगत व्यय सिर्फ 10.46 फीसदी हो सका। इसके उलट राजस्व व्यय दोगुने से भी ज्यादा हो गया है। पहली तिमाही में राज्य सरकार ने राजस्व का 22.20 फीसदी खर्च किया। इस दौरान लोन और एडवांस पर सिर्फ 8.29 फीसदी खर्च हुआ। जबकि अप्रैल से दिसंबर के बीच 83.40 फीसदी राशि लोन और एडवांस में खर्च हुई।
कई योजनाओं में देरी से खर्च हुई राशि
विपक्ष का आरोप है कि राज्य सरकार ने कई योजनाओं में देरी से राशि खर्च की है। पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के मुताबिक चना, गुड़ और शक्कर के वितरण में दिसंबर तक राशि खर्च नहीं हो पाई। स्वच्छ भारत मिशन के तहत भी दिसंबर में राशि खर्च नहीं हो पाई। इसके अलावा विधानसभा में यह जानकारी भी सामने आई कि केंद्र सरकार की पालना योजना के तहत राज्यांश की राशि दिसंबर तक खर्च नहीं हो पाई।
केंद्रीय करों से मिली 27.55 फीसदी राशि
वर्ष 2024-25 के बजट में केंद्रीय करों के अनुमानित हिस्से के लिए 44,000.00 करोड़ रुपए का प्रावधान है। अक्टूबर से दिसंबर 2024 की अवधि में इस मद में प्राप्तियां 12,120.77 करोड़ रुपए रहीं, जो बजट अनुमान का 27.55 फीसदी है। इस वर्ष अप्रैल से दिसंबर 2024 की अवधि के दौरान प्राप्त केंद्रीय करों का हिस्सा पिछले वर्ष की इसी अवधि के दौरान प्राप्त राशि से 20.38 प्रतिशत अधिक था।
अप्रैल से दिसंबर तक व्यय का प्रतिशत
राजस्व व्यय 57.85
पूंजीगत व्यय 36.50
ऋण और अग्रिम 83.40
कुल 54.70