छत्तीसगढ़
छत्तीसगढ़: तीसरे श्रमिक अन्न केंद्र का शुभआरंभ, मात्र 5 रुपए में मिलेगा पौष्टिक भोजन
26 Mar, 2025 02:26 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
रायपुर: श्रमिकों के लिए तीसरे लेबर ग्रेन सेंटर ने श्रमिकों के लिए तीसरे श्रम अनाज केंद्र, श्रमिकों के लिए तीसरा श्रम अनाज केंद्र, श्रमिकों का उद्घाटन, श्रमिकों के हित में एक और महत्वपूर्ण पहल करते हुए, शाहेद वीर नारायण सिंह लेबर एन केंडरा को बिलासपुर शहर के शनि चांतीिह क्षेत्र में लॉन्च किया गया था। MLA सुशांत शुक्ला ने भक्त माता कर्म जयंती के शुभ अवसर पर इस केंद्र का उद्घाटन किया और श्रमिकों के साथ बैठकर भोजन लिया। यह लेबर ग्रेन सेंटर पंजीकृत श्रमिकों को केवल 5 रुपये के लिए पूर्ण भोजन प्रदान करेगा। योजना के तहत, इस केंद्र से प्रति दिन लगभग 700 श्रमिकों को भोजन प्रदान किया जाएगा। इससे पहले, दो लेबर ग्रेन सेंटर पहले से ही बृहस्पति बाजार और तिफ्रा में संचालित किए गए थे, जिसमें से कुल 1800 श्रमिकों को फायदा हो रहा था। अब यह संख्या इस नए केंद्र के साथ आगे बढ़ेगी।
उद्घाटन के दौरान, विधायक सुशांत शुक्ला ने कहा कि चंतीदीह क्षेत्र के श्रमिकों ने तीन महीने पहले इस खाद्य केंद्र की मांग की थी, जो कि मुख्यमंत्री विष्णु देव साई और श्रम मंत्री लखानलाल देवांगन के निर्देशों के अनुसार थोड़े समय में पूरा हो गया था। उन्होंने श्रमिकों को आश्वासन दिया और आश्वासन दिया कि वे स्वयं एक आकस्मिक निरीक्षण करेंगे और भोजन की गुणवत्ता का परीक्षण करेंगे। इस अवसर पर, मेयर पूजा विधानी ने यह भी संबोधित किया कि श्रमिकों को ट्रिपल इंजन सरकार (केंद्र, राज्य और स्थानीय निकायों) के सीधे लाभ मिल रहे हैं।
कार्यक्रम के दौरान, श्रम विभाग के सहायक आयुक्त ज्योति शर्मा ने कहा कि श्रमिक सुबह काम की तलाश में बाहर जाते हैं और कभी -कभी बिना खाने के काम में पड़ जाते हैं, जो उनके स्वास्थ्य को प्रभावित करता है। इसे देखते हुए, सरकार ने इस योजना को लागू किया है। अब वे सिर्फ 5 रुपये के लिए पौष्टिक भोजन खाने में सक्षम होंगे या वे इसे टिफिन में पैक करने में सक्षम होंगे। लेबर ग्रेन सेंटर सुबह 8 बजे से 11 बजे तक खुला रहेगा।
इस अवसर पर, लेबर इंस्पेक्टर योशिता शर्मा ने श्रमिकों को अन्य सरकारी योजनाओं के बारे में सूचित किया, जबकि सहायक श्रम अधिकारी आर.के. का। तम्हेन ने अपनी कृतज्ञता व्यक्त की। कार्यक्रम में बड़ी संख्या में सार्वजनिक प्रतिनिधि, श्रमिक और स्थानीय नागरिक मौजूद थे, जिसमें पार्षद रुपली गुप्ता, रेखा सूर्यवंशी, रानी देवांगन, रेखा पांडे, मनोरमा विजय यादव, पूर्व पार्षद विष्णु यादव शामिल थे।
कांग्रेस के वरिष्ठ नेता अब्दुल रशीद खान का निधन, अस्पताल में भारी भीड़
26 Mar, 2025 02:20 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
कांग्रेस के वरिष्ठ नेता व इंदिरा वार्ड के पार्षद अब्दुल रशीद खान का आज सुबह उपचार के दौरान निधन हो गया। पार्षद के निधन की खबर का पता चलते ही भारी संख्या में कांग्रेस कार्यकर्ताओं का हॉस्पिटल में जमावाड़ा लग गया।
बताया जा रहा है कि जगदलपुर शहर के इंदिरा वार्ड के पार्षद अब्दुल रशीद खान का स्वास्थ्य ठीक नहीं होने के कारण 25 मार्च को उपचार के लिए महारानी अस्पताल में भर्ती किया गया था। जहां उपचार के दौरान 26 मार्च की सुबह उनका निधन हो गया। निधन की खबर का पता चलते ही हॉस्पिटल में उनके परिचित और कांग्रेस कार्यकर्ताओं का आना शुरू हो गया। बताया जा रहा है कि पार्षद अब्दुल रशीद खान काफी ही मिलनसार थे। वार्ड की समस्याओं का निराकरण करने के लिए हमेशा आगे रहते थे। उनके कार्य को देखते हुए उन्हें वार्ड के लोगों ने तीन बार पार्षद बनाया था। उनके निधन की जानकारी लगने के बाद घर में शोक की लहर छा गई। सभी का रो रोकर बुरा हाल है।
सहकारिता मंत्री ने केंद्रीय राज्य मंत्री से की मुलाकात, सहकारिता उपलब्धियों और मांगों पर हुई चर्चा
26 Mar, 2025 02:11 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
रायपुर: छत्तीसगढ़ सहकारी मंत्री केदार कश्यप ने मुरलीधर मोहोल के साथ दिल्ली शिष्टाचार में सहकारी समितियों के लिए केंद्रीय राज्य मंत्री से मुलाकात की। इस अवधि के दौरान, अतिरिक्त मुख्य सचिव सहकारी छत्तीसगढ़ सरकार सुब्रत साहू, आयुक्त सहकारी और रजिस्ट्रार सहकारी सोसाइटी कुलदीप शर्मा और भारत सरकार के सहयोग मंत्रालय के प्रतिनिधि उपस्थित थे। बैठक में, छत्तीसगढ़ के सहकारी क्षेत्र में उपलब्धियों, चुनौतियों और जरूरतों पर विस्तृत चर्चा हुई।
मुख्यमंत्री विष्णुदेव साई के नेतृत्व में मंत्री केदार कश्यप ने छत्तीसगढ़ में सहकारी समितियों को मजबूत करने के लिए किए जा रहे काम के बारे में विस्तृत जानकारी दी। उन्होंने कहा कि छत्तीसगढ़ प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की "सहयोग के लिए समृद्धि" दृष्टि को महसूस करने में तेजी से आगे बढ़ रहा है।
मंत्री श्री कश्यप ने बताया कि छत्तीसगढ़ में सहकारी समितियों के आधुनिकीकरण के लिए 2028 पैक का चयन किया गया है। इसके अलावा, शेष 30 पैक और प्रस्तावित 500 नए पैक के लिए जल्दी अनुमोदन प्रदान करने की मांग थी। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार ने 8500 करोड़ रुपये के छोटे कृषि ऋण वितरित करने का लक्ष्य निर्धारित किया था, जिसमें से अब तक 7709 करोड़ रुपये वितरित किए गए हैं। हालांकि, केवल 1150 करोड़ रुपये का केवल रियायती पुनर्वित्त नाबार्ड द्वारा बनाया गया है, जो कुल ऋण का केवल 14.9 प्रतिशत है। इस अनुपात को 45 प्रतिशत तक बढ़ाने की मांग थी।
मंत्री श्री कश्यप ने केंद्र सरकार से आग्रह किया कि वे राज्य की चीनी बिक्री मासिक कोटा प्रणाली में अधिक बिक्री की अनुमति दें ताकि गन्ने के किसानों को तेजी से भुगतान किया जा सके। यह अनुरोध किया गया था कि सरदार वल्लभभाई पटेल सहकारी शुगर फैक्ट्री, पंडारिया द्वारा लिए गए ऋण पर 84.79 लाख रुपये की देरी से ब्याज माफ कर दिया गया। अंतर्राष्ट्रीय सहकारी सहकारी समितियों में 2025 में, छत्तीसगढ़ की भागीदारी के लिए एक्सपोज़र विजिट में छत्तीसगढ़ को शामिल करने का भी अनुरोध किया गया था।
छत्तीसगढ़ की सरकार ने सहकारी समितियों के माध्यम से ग्रामीण और आदिवासी क्षेत्रों में आर्थिक विकास को गति देने के लिए कई पहल की है, जिसमें आदिवासी परिवारों के लिए दूध सहकारी योजना के तहत 6 जिलों में 325 परिवारों को 650 मिल्च जानवरों को प्रदान करने की योजना तैयार की गई है। नाबार्ड की RIDF योजना के तहत, राज्य में 725 गोदामों का निर्माण किया जा रहा है, जिसमें से 665 पूरा हो गया है। जनुशादी केंद्र राज्य के 28 पैक में संचालित किए जा रहे हैं, जिनमें से 25 हाल ही में स्थापित किए गए हैं।
मंत्री श्री कश्यप ने कहा कि राज्य सरकार जैविक खेती और वन उत्पादों के सहकारी विपणन को प्रोत्साहित कर रही है। छत्तीसगढ़ राज्य सहकारी छोटे वन प्रोडक्शन एसोसिएशन के माध्यम से 22 छोटे वन वन उपज का जैविक प्रमाणीकरण प्राप्त किया गया है। छत्तीसगढ़ ने एनसीसीएफ पोर्टल पर सभी पैक का पंजीकरण पूरा कर लिया है। सहकारी समितियों में माइक्रो एटीएम स्थापित करके धान की खरीद के दौरान 116 करोड़ रुपये का लेन -देन किया गया है। पिछले 6 महीनों में, केसीसी कार्ड को 2.50 लाख किसानों को वितरित किया गया है। पीएम किसान समृद्धि केंद्र राज्य के सभी पैक में स्थापित किए गए हैं, जहां से 1760.34 करोड़ रुपये का लेन -देन किया गया है।
मंत्री केदार कश्यप ने केंद्रीय मंत्री मुरलीधर मोहोल से छत्तीसगढ़ की मांगों को पूरा करने का आग्रह किया। उन्होंने कहा कि कृषि, ग्रामीण विकास और आर्थिक सशक्तिकरण के लिए सहकारी समितियों के माध्यम से राज्य में कई योजनाओं को सफलतापूर्वक लागू किया जा रहा है। यदि वे केंद्र सरकार से अपेक्षित सहयोग प्राप्त करते हैं, तो इन योजनाओं को अधिक प्रभावी तरीके से लागू किया जाएगा।
छत्तीसगढ़ में गेहूं की फसल के लिए घरेलू उपायों से बढ़ाएं उपज और गुणवत्ता, डॉ. बीरेंद्र अनंत का सुझाव
26 Mar, 2025 02:07 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
राजनांदगांव: अगर आप छत्तीसगढ़ में गेहूं की खेती से अच्छा मुनाफा कमाना चाहते हैं, तो यह खबर आपके लिए है. खास उपाय अपनाकर गेहूं की उपज और मुनाफा बढ़ाया जा सकता है. पिछेती गेहूं की फसल में बालियां आनी शुरू हो गई हैं और जल्द ही पकने लगेंगी. इस समय कुछ उपाय करने से न केवल पैदावार बढ़ेगी, बल्कि दानों का वजन और गुणवत्ता भी बेहतर होगी. सहायक संचालक डॉक्टर बीरेंद्र अनंत ने बताया कि किसान सरल घरेलू उपाय अपनाकर गेहूं के दानों का वजन बढ़ा सकते हैं.
ये उपाय सस्ते, सुरक्षित और फसल की गुणवत्ता सुधारने वाले हैं. खास बात यह है कि इसके लिए किसी भारी खर्च की जरूरत नहीं होती, बल्कि घर या खेत में उपलब्ध चीजों से ही गेहूं के दानों को पोषण दिया जा सकता है. फसल के आखिरी 30 दिनों की देखभाल जरूरी है, ताकि दाने मोटे और चमकदार बनें. किसान आसान और किफायती उपाय अपनाकर गेहूं की फसल को बेहतर बना सकते हैं. ये उपाय न केवल पौधों को पोषण देते हैं, बल्कि दानों का वजन बढ़ाने में भी मदद करते हैं.
ऐसे करें देखभाल
नीम की पत्तियों को उबालकर तैयार किया गया पानी फसल पर स्प्रे करने से पौधों में रोग नहीं लगते और दाने भरने में सहायता मिलती है. एक बाल्टी पानी में आधा किलो गुड़ और दो लीटर छाछ मिलाकर छिड़काव करने से फसल को पोषण मिलता है और दाने भारी होते हैं. लकड़ी या उपलों की राख खेत में छिड़कने से मिट्टी की उर्वरता बढ़ती है और गेहूं के दानों का वजन बढ़ता है. एक लीटर पानी में 10 मिली नीम का तेल और 5 ग्राम गंधक मिलाकर स्प्रे करने से फसल की रोग-प्रतिरोधक क्षमता बढ़ती है और दाने मजबूत बनते हैं. इन प्राकृतिक उपायों से किसान गेहूं की उपज बढ़ा सकते हैं, जिससे फसल की गुणवत्ता बेहतर होगी और दाने मोटे व चमकदार बनेंगे.
बाजारों में मिलेगी अच्छी कीमत
डॉ. अनंत ने बताया कि इन घरेलू उपायों को गेहूं की बालियां बनने के समय से ही शुरू करना चाहिए ताकि दानों को सही समय पर पोषण मिल सके. यदि किसान सप्ताह में एक बार इन उपायों को अपनाते हैं, तो फसल में सकारात्मक बदलाव दिख सकता है. रासायनिक उर्वरकों के अत्यधिक उपयोग से फसल को नुकसान हो सकता है, जबकि ये प्राकृतिक उपाय न केवल लागत घटाते हैं बल्कि मिट्टी की उर्वरता भी बनाए रखते हैं. समय पर सही देखभाल से गेहूं के दाने वजनदार और चमकदार बनते हैं, जिससे बाजार में अच्छी कीमत मिलती है और किसान की आय बढ़ती है.
"छत्तीसगढ़ में धर्मांतरण रोकने के लिए कानून का मसौदा तैयार, डिप्टी सीएम का बयान"
26 Mar, 2025 01:54 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
रायपुर: छत्तीसगढ़ में धर्मांतरण को रोकने के लिए प्रदेश की विष्णुदेव सरकार जल्द ही सख्त कानून लाने की तैयारी कर रही है. इसकी जानकारी खुच गृह मंत्री और डिप्टी सीएम विजय शर्मा ने दी है. उन्होंने साफ कहा कि धर्मांतरण को लेकर छत्तीसगढ़ में जल्द कड़ा कानून आएगा. अगले विधानसभा सत्र में धर्मांतरण पर कानून लाया जाएगा. मालूम हो कि छत्तीसगढ़ में धर्मांतरण को लेकर लगातार कानून लाए जाने की मांग चल रही है.
डिप्टी सीएम विजय शर्मा ने कहा कि धर्मांतरण के विषय पर और उससे जुड़े सभी विषयों पर चर्चा जारी है.
जल्दी ही हम देश के सर्वोतम प्रावधानों के साथ विधानसभा में आएंगे. धर्मांतरण का विषय सामाजिक है. जो भी ऐसा कर रहे हैं, उन पर प्रावधान आने के बाद करवाई करने का अधिकार पुलिस को भी होगा
और प्रशासन को भी होगा.
कांग्रेस ने साधा निशाना
इधर, धर्मांतरण मामले में कांग्रेस ने सरकार से श्वेतपत्र की मांग की है. PCC चीफ दीपक बैज ने कहा कि धर्मांतरण पर BJP ने प्रदेश का माहौल खराब किया है. यह BJP की सिर्फ सत्ता पाने की राजनीति थी. BJP सरकार आने के बाद भी लगातार शिकायतें आ रही है. BJP के लोग लगातार कह रहे है हम कानून बनाएंगे. मैं पूछना चाहता हूं कानून कब बनाएंगे. सरकार को धर्मांतरण पर श्वेतपत्र लाना चाहिए.
पीसीसी चीफ दीपक बैज ने कहा कि धर्मांतरण को लेकर बीजेपी ने सत्ता में आने से पहले ही महोल बनाया. बस्तर का महोल खराब किया. सिर्फ सत्ता पाने के लिए ऐसा किया गया, लेकिन अब प्रदेशभर से शिकायतें आ रही है. केंद्र और राज्य हर जगह इनकी सरकार है. ये कानून बनाने की बात कर रहे हैं, केंद्र और राज्य में कानून कब बनाया जाएगा. बीजेपी के पास कोई कुद्दा नहीं है, इसलिए शर्म के नाम पर राजनीति करती है.
छत्तीसगढ़ में जलस्तर घटने से बांधों में पानी की कमी, गर्मी से पहले पेयजल समस्या का खतरा
26 Mar, 2025 12:40 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
रायपुर। प्रदेश में गर्मी की शुरुआत में ही बांधों के कंठ सूखने लगे हैं। वर्ष 2023 और 2024 की तुलना में बड़े बांधों में 20 से 38 प्रतिशत तक जलभराव कम है। छोटे बांध तो सूखने के कगार पर पहुंच गए हैं। इससे आने वाले दिनों में निस्तारी और पेयजल का संकट खड़ा होने से इंकार नहीं किया जा सकता है।
हालांकि, राज्य सरकार की ओर से पेयजल संकट से निपटने के लिए कार्ययोजना बनाकर तैयारी शुरू कर दी गई है। प्रदेश में 12 बड़े और 34 मध्यम स्तर के बांध हैं। विशेषज्ञों का कहना है कि दिसंबर और जनवरी में अच्छी बारिश नहीं होने के कारण बांधों में जलभराव की यह स्थिति उत्पन्न हुई है।
पर्याप्त बारिश नहीं होने से सूखे बांध
नदियों और जलाशयों से बांधों में पानी छोड़ा जाता है। पर्याप्त बारिश नहीं होने से इनके जल स्तर भी कम है। कुछ बांधों के जीर्णशीर्ण होना भी प्रमुख वजहों में से एक है। प्रदेश के बड़े बांधों में शामिल गंगरेल (रविशंकर सागर) में 58.59 प्रतिशत ही जलभराव है, जबकि 2024 में 77.93 प्रतिशत था।
मिनी माता बांगों बांध में पिछले साल की तुलना में 27.53 प्रतिशत जलभराव कम हुआ है। मुरुमसिल्ली में पिछले बार की तुलना में इस बार करीब 38 प्रतिशत जलभराव कम है। हालांकि, वर्ष 2023 की तुलना में इस बार इसकी स्थिति बेहतर है। वर्ष 2023 में यहां केवल 10.30 प्रतिशत ही जलभराव था।
कोडार जलाशय की स्थिति ज्यादा खराब
महासमुंद के कोडार जलाशय की स्थिति सबसे ज्यादा खराब है। यहां 19.87 प्रतिशत पानी बचा है। बीते वर्ष इस अवधि में 31.99 प्रतिशत था। मुंगेली के मनियारी जलाशय में विगत वर्ष की तुलना में इस बार जल भराव अधिक है। बीते वर्ष 54.68 प्रतिशत जलभराव था, जो वर्तमान में 67.87 प्रतिशत है।
विधानसभा में उठा था पेयजल का मुद्दा
विधानसभा में भी पेयजल संकट का मुद्दा उठा था। ध्यानाकर्षण में भाजपा विधायक धमरजीत सिंह ने जल संकट का मुद्दा उठाते हुए चिंता जाहिर की थी। पक्ष और विपक्ष के सदस्यों ने अपने सुझाव दिए थे। विधानसभा अध्यक्ष डा. रमन सिंह ने कहा था कि भीषण जल सकंट है, जिसके सावधानी की जरूरत है।
मुख्यमंत्री उच्च स्तरीय बैठक करें और कलेक्टरों को निर्देशित करें कि अपने-अपने क्षेत्र के जनप्रतिनिधियों सांसद, विधायक, जनपद अध्यक्ष व अन्य के साथ बैठकर सप्ताहभर के अंदर कार्ययोजना बनाएं। मुख्यमंत्री साय ने इस पर सहमति दी थी। उन्होंने सोमवार को पेयजल संकट से निपटने को बैठक ली थी।
प्री एग्रीकल्चर टेस्ट 2025 के लिए छत्तीसगढ़ में आवेदन प्रक्रिया शुरू, 21 अप्रैल तक करें आवेदन
26 Mar, 2025 12:32 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
छत्तीसगढ़ प्रोफेशनल एग्जामिनेशन बोर्ड ने एग्रीकल्चर यूजी कोर्स में दाखिले के लिए सीजी पीएसटी 2025 के लिए आवेदन की प्रक्रिया शुरू कर दी है. कैंडिडे 21 अप्रैल तक रजिस्ट्रेशन कर सकते हैं. सीजी पैट परीक्षा का आयोजन छत्तीसगढ़ राज्य में मान्यता प्राप्त संस्थानों द्वारा पेश किए गए कृषि पाठ्यक्रमों में प्रवेश के लिए एक राज्य स्तर पर किया जाता है. आइए जानते हैं प्रवेश परीक्षा का आयोजन कब किया जाएगा और एडमिट कार्ड कब जारी होगा.
एप्लीकेशन प्रोसेस 24 मार्च से शुरू हुआ है. परीक्षा का आयोजन राज्य भर में निर्धारित विभिन्न केंद्रों पर 15 मई को किया जाएगा और सभी रजिस्टर्ड कैंडिडेट्स को एडमिट कार्ड 7 मई को जारी किए जाएंगे. अभ्यर्थी अपने रजिस्ट्रेशन नंबर और जन्म तिथि के जरिए हाॅल टिकट जारी होने के बाद डाउनलोड कर सकेंगे. एग्जाम का आयोजन ऑफलाइन मोड में किया जाएगा. परीक्षा का आयोजन हर साल बैचलर ऑफ एग्रीकल्चर (B.Agri।) और बैचलर ऑफ हॉर्टिकल्चर (B.Horti।) प्रोग्राम में दाखिले के लिए किया जाता है.
कौन कर सकता है आवेदन?
अप्लाई करने वाले कैंडिडेट का साइंस स्ट्रीम या जीवन विज्ञान/कृषि विज्ञान में उच्च माध्यमिक परीक्षा पास करने अनिवार्य हैं. साथ ही कृषि गणित/फसल उत्पादन और बागवानी के साथ कैंडिडेट 35 फीसदी नंबरों से पास होना चाहिए. अधिक जानकारी के लिए अभ्यर्थी जारी आधिकारिक नोटिफिकेशन को चेक कर सकते हैं.
ऐसे करें अप्लाई
आधिकारिक वेबसाइट vyapamcg.cgstate.gov.in पर जाएं.
होम पेज पर दिए गए ऑनलाइन एप्लिकेशन टैब पर क्लिक करें.
यहां सीजी पैट 2025 रजिस्ट्रेशन लिंक पर क्लिक करें.
अब रजिस्ट्रेशन करें और आवेदन फाॅर्म भरें.
फीस जमा करें और सबमिट करें.
क्या है परीक्षा पैटर्न?
परीक्षा का आयोजन 15 मई को एक शिफ्ट सुबह 9:00 बजे से दोपहर 12:15 बजे तक किया जाएगा. एग्जाम में 200 नंबरों के कुल 200 प्रश्न पूछे जाएंगे. एग्रीकल्चर और साइंस स्ट्रीम की परीक्षा में तीन सेक्शन होंगे. परीक्षा में बहुविकल्पीय प्रश्न पूछे जाएंगे.
महादेव बेटिंग ऐप मामले में सीबीआई का बड़ा कदम, भूपेश बघेल के ठिकानों पर रेड
26 Mar, 2025 10:38 AM IST | GRAMINBHARATTV.IN
छत्तीसगढ़ की राजधानी रायपुर में सीबीआई की टीम ने छापेमारी की है। सीबीआई ने पूर्व सीएम भूपेश बघेल के आवास पर छापेमारी की। महादेव बेटिंग ऐप मामले में बघेल के घर समेत कई जगहों पर छापेमारी जारी है। बता दें कि इस मामले में पहली बार सीबीआई ने छापेमारी की है। इससे पहले इस मामले की जांच ईडी कर रही थी। बघेल के अलावा सीबीआई की टीम ने उनके राजनीतिक सलाहकार और वरिष्ठ पत्रकार विनोद वर्मा, आईपीएस शेख आरिफ, आईपीएस आनंद छाबड़ा, आईपीएस अभिषेक महेश्वरी, आईपीएस अभिषेक पल्लव, पूर्व आईएएस अनिल टूटेजा, एडिशनल एसपी संजय ध्रुव, आईपीएस प्रशांत अग्रवाल और कांग्रेस विधायक देवेंद्र यादव के ठिकानों पर भी CBI ने छापेमारी की है।
सीबीआई एक्शन के बाद बघेल ने सोशल मीडिया पर पोस्ट कर कहा कि अब सीबीआई आई है। 8 और 9 अप्रैल को अहदाबाद में होने वाली एआईसीसी की बैठक के लिए गठित ड्राफ़्टिंग कमेटी की मीटिंग के लिए आज दिल्ली जाने का कार्यक्रम था। उससे पहले ही सीबीआई रायपुर और भिलाई स्थित निवास पहुंच चुकी है।
जानें क्या है महादेव ऐप
बता दें कि महादेव बेटिंग ऐप ऑनलाइन सट्टेबाजी के लिए बनाया गया है। इस पर यूजर्स चांस गेम्स, कार्ड गेम्स, पोकर नाम से लाइव गेम खेलते थे। ऐप के जरिए क्रिकेट, बैडमिंटन और फुटबाॅल जैसे खेलों और चुनावों में अवैध सट्टेबाजी की जाती थी। इस ऐप के सबसे ज्यादा खाते छत्तीसगढ़ में खुले। ऐप के जरिए धोखाधड़ी की जाती थी।
इस ऐप के प्रमोटर सौरभ चंद्राकर और रवि उप्पल फ्रेंचाइजी के तौर पर बेचते थे। यूजर को शुरुआत में फायदा और बाद में नुकसान होता था। जानकारी के अनुसार ऐप के प्रमोटर ने ऐसा एल्गोरिदम तय किया कि ऐप में पैसा लगाने वाले केवल 30 प्रतिशत ग्राहक ही जीतते थे। दोनों प्रमोटर कमाई का 80 प्रतिशत हिस्सा अपने पास रखते थे।
राज्यपाल डेका से मैट्स यूनिवर्सिटी के कुलाधिपति ने की भेंट
25 Mar, 2025 11:12 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
रायपुर : राज्यपाल रमेन डेका से आज यहां राजभवन में मैट्स यूनिवर्सिटी रायपुर के कुलाधिपति गजराज पगारिया ने भेंट की। राज्यपाल डेका ने विश्वविद्यालय को नैक से ए प्लस ग्रेड मिलने पर शुभकामनाएं दी और इसी तरह आगे भी विश्वविद्यालय की गुणवत्ता बनाये रखने कहा। इस अवसर पर विश्वविद्यालय के कुलपति के. पी. यादव भी उपस्थित थे।
जिला पंचायत के प्रथम सम्मिलन में अध्यक्ष, उपाध्यक्ष एवं सदस्यों ने ली शपथ
25 Mar, 2025 11:10 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
रायपुर : मुंगेली जिला कलेक्टोरेट में आज आयोजित जिला पंचायत के प्रथम सम्मिलन में नवनिर्वाचित अध्यक्ष श्रीकांत पाण्डेय, उपाध्यक्ष शांति देवचरण भास्कर और सदस्यों ने विधिपूर्वक शपथ ली। केन्द्रीय आवासन और शहरी कार्य राज्य मंत्री तोखन साहू तथा उप मुख्यमंत्री अरुण साव प्रथम सम्मिलन-सह-शपथ ग्रहण समारोह में मुख्य अतिथि के रूप में शामिल हुए। विधायक पुन्नूलाल मोहले और धरमलाल कौशिक विशिष्ट अतिथि के रूप में समारोह में मौजूद थे। पंचायत एवं ग्रामीण विकास की उप संचालक सुभूमिका देसाई ने जिला पंचायत के नवनिर्वाचित अध्यक्ष, उपाध्यक्ष और सदस्यों को शपथ दिलाया।
*सरकार की योजनाओं का लाभ जनता तक पहुंचे - केंद्रीय राज्य मंत्री साहू*
मुंगेली जिला पंचायत के प्रथम सम्मिलन को संबोधित करते हुए केंद्रीय आवासन और शहरी कार्य राज्य मंत्री तोखन साहू ने सभी नवनिर्वाचित जनप्रतिनिधियों से कहा कि केन्द्र एवं राज्य सरकार की योजनाओं का लाभ जनता तक पहुंचाने के लिए कार्य करें। शासन की विभिन्न योजनाओं के माध्यम से विकास की रोशनी जिले के अंतिम छोर तक पहुंचे और अंतिम पायदान में खड़े व्यक्ति को इसका लाभ मिले। कोई भी पात्र हितग्राही योजना से वंचित नहीं होना चाहिए। उन्होंने बिलासपुर जिले के ग्राम मोहभट्ठा में 30 मार्च को होने वाले प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के कार्यक्रम में अधिक से अधिक संख्या में नागरिकों से शामिल होने का आग्रह किया।
*जिले को अव्वल लाने संकल्प लेकर कार्य करें - उप मुख्यमंत्री साव*
उप मुख्यमंत्री अरुण साव ने नवनिर्वाचित जनप्रतिनिधियों को संबोधित करते हुए उम्मीद जताई कि पंचायत चुनाव में जनता ने जो भरोसा जताया है, उस पर सभी नवनिर्वाचित प्रतिनिधि खरा उतरेंगे और मुख्यमंत्री विष्णु देव साय के नेतृत्व में जिले के विकास को और आगे बढ़ाएंगे। उन्होंने शासन की सभी योजनाओं को जन-जन तक पहुंचाने में प्रदेश में मुंगेली जिले को अव्वल स्थान पर पहुंचाने के संकल्प के साथ काम करने को कहा। साव ने नगरीय निकाय और पंचायत चुनाव को शांतिपूर्ण ढंग से संपादित करने और तीनों जनपद पंचायतों में निर्विरोध अध्यक्ष एवं उपाध्यक्ष निर्वाचित होने पर सभी को बधाई एवं शुभकामनाएं दीं।
मुंगेली जिला पंचायत के प्रथम सम्मिलन को विधायक पुन्नूलाल मोहले और धरमलाल कौशिक ने भी संबोधित किया। कलेक्टर राहुल देव, पुलिस अधीक्षक भोजराम पटेल और जिला पंचायत के सीईओ प्रभाकर पाण्डेय सहित जिले के वरिष्ठ अधिकारी, जनप्रतिनिधि और गणमान्य नागरिक बड़ी संख्या में कार्यक्रम में मौजूद थे।
जिला पंचायत के प्रथम सम्मिलन में शामिल हुए केन्द्रीय राज्य मंत्री तोखन साहू और उप मुख्यमंत्री अरुण साव
25 Mar, 2025 11:08 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
रायपुर : केन्द्रीय आवासन और शहरी कार्य राज्य मंत्री तोखन साहू तथा उप मुख्यमंत्री अरुण साव आज बिलासपुर जिला पंचायत के प्रथम सम्मिलन में शामिल हुए। साहू और साव के मुख्य आतिथ्य में आयोजित समारोह में जिला पंचायत के नवनिर्वाचित अध्यक्ष, उपाध्यक्ष और सदस्यों ने शपथ ली। बिलासपुर के स्वर्गीय लखीराम अग्रवाल ऑडिटोरियम में आयोजित सम्मिलन में विधायकगण सर्वधरमलाल कौशिक, धर्मजीत सिंह और सुशांत शुक्ला भी शामिल हुए। जिला पंचायत के नवनिर्वाचित अध्यक्ष राजेश सूर्यवंशी, उपाध्यक्ष ललिता संतोष कश्यप और सदस्यों ने इस गरिमामय समारोह में शपथ ग्रहण किया।
केंद्रीय आवासन और शहरी कार्य राज्य मंत्री तोखन साहू ने कार्यक्रम में सभी नवनिर्वाचित जनप्रतिनिधियों को बधाई देते हुए उम्मीद जताई कि नवनिर्वाचित अध्यक्ष, उपाध्यक्ष और सदस्यगण गांवों के समग्र विकास के लिए पूरे समर्पण के साथ कार्य करेंगे। उन्होंने कहा कि ग्रामीणों की आशाओं और आकांक्षाओं के अनुरूप आप सभी काम करें। आपकी सक्रियता से ही गांव का संपूर्ण विकास होगा।
उप मुख्यमंत्री अरुण साव ने अपने संबोधन में कहा कि जनता ने जिस भरोसे के साथ, जिस उम्मीद के साथ आपको अपना आशीर्वाद दिया है, उसका आदर करते हुए जनता की इच्छा और आकांक्षाओं को पूरा करने के लिए काम करें। ग्राम विकास के बड़े उद्देश्यों को लेकर पंचायतीराज व्यवस्था बनाई गई है। संविधान में संशोधन करके पंचायत को सशक्त बनाया गया है। उसको आज मूर्त रूप देने की आवश्यकता है। साव ने उम्मीद जताई कि हमारे बिलासपुर की जिला पंचायत की यह नई टीम गांव में सुराज लाएगी।
बिलासपुर की महापौर पूजा विधानी, पूर्व सांसद लखन लाल साहू, कलेक्टर अवनीश शरण, जिला पंचायत के सीईओ संदीप अग्रवाल एवं हर्षिता पांडेय सहित अनेक जनप्रतिनिधि और गणमान्य नागरिक बड़ी संख्या में कार्यक्रम में उपस्थित थे।
स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्री जायसवाल ने जिला अस्पताल दुर्ग का निरीक्षण कर स्वास्थ्य सुविधाओं का किया मूल्यांकन
25 Mar, 2025 11:07 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
रायपुर : स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण तथा चिकित्सा शिक्षा मंत्री श्याम बिहारी जायसवाल ने आज जिला अस्पताल दुर्ग का निरीक्षण किया। इस दौरान उन्होंने ओपीडी, रजिस्ट्रेशन काउंटर, पुरुष वार्ड, महिला वार्ड, शिशु वार्ड, डिलीवरी वार्ड, ऑपरेशन कक्ष सहित सभी वार्डों का विस्तृत निरीक्षण किया। स्वास्थ्य मंत्री जायसवाल ने मरीजों एवं उनके परिजनों से उपलब्ध स्वास्थ्य सुविधाओं और चिकित्सकीय सेवाओं के अनुभवों पर चर्चा की।
निरीक्षण के दौरान स्वास्थ्य मंत्री जायसवाल ने आईसीयू, ब्लड बैंक, एनआरसी, एसएनसीयू, डीईआईसी और प्रसव विभाग का भी निरीक्षण किया और चिकित्सा अधिकारियों व चिकित्सकों को आवश्यक दिशा-निर्देश दिए। ऑपरेशन थियेटर (ओटी) का निरीक्षण करते हुए, उन्होंने इसे मॉडल ओटी के रूप में विकसित करने के निर्देश दिए। इसी क्रम में स्वास्थ्य मंत्री जायसवाल ने डायलिसिस यूनिट का निरीक्षण कर उपलब्ध उपकरणों की स्थिति का अवलोकन किया और आवश्यक आधुनिक उपकरणों की पूर्ति करने के निर्देश दिए। साथ ही, मरीजों की सुविधा के लिए डायलिसिस यूनिट की संख्या में वृद्धि करने के निर्देश भी दिए।
निरीक्षण के अंत में स्वास्थ्य मंत्री जायसवाल ने स्टोर रूम का अवलोकन किया और इसे अधिक व्यवस्थित रखने के निर्देश दिए। अस्पताल की मौजूदा सुविधाओं की सराहना करते हुए उन्होंने स्वास्थ्य सेवाओं के विस्तार के लिए 5 मेडिकल ऑफिसर की नियुक्ति के निर्देश दिए। साथ ही, प्रसूति विभाग में डॉक्टर एवं विशेषज्ञों की आवश्यकता की मांग को जल्द पूरा करने का आश्वासन दिया। इसके अलावा उन्होंने दवा वितरण कक्ष का भी निरीक्षण कर मरीजों को उपलब्ध दवाइयों की गुणवत्ता की समीक्षा की।
इस अवसर पर वैशालीनगर विधायक रिकेश सेन, अहिवारा विधायक डोमनलाल कोर्सेवाड़ा, विधायक दुर्ग ललित चन्द्राकर और गजेन्द्र यादव, महापौर अल्का बाघमार, स्वास्थ्य संचालक पदमिनी भोई, स्वास्थ्य सचिव अमित कटारिया, एडीएम अरविन्द एक्का, एसडीएम हरवंश सिंह मिरी, मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी दुर्ग डॉ. मनोज दानी, सिविल सर्जन एवं सह अस्पताल अधीक्षक दुर्ग हेमन्त साहू, डॉ. ओपी वर्मा तथा संबंधित विभागों के अन्य अधिकारीगण उपस्थित थे।
विश्व क्षय दिवस पर छत्तीसगढ़ को मिला राष्ट्रीय सम्मान : टीबी मुक्त ग्राम पंचायत अभियान में उल्लेखनीय उपलब्धि पर देश में प्रथम स्थान
25 Mar, 2025 11:05 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
रायपुर : विश्व क्षय (टीबी) दिवस के अवसर पर विज्ञान भवन, नई दिल्ली में केंद्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय द्वारा आयोजित राष्ट्रीय समारोह में छत्तीसगढ़ राज्य को "टीबी मुक्त ग्राम पंचायत अभियान" में उत्कृष्ट प्रदर्शन हेतु प्रथम पुरस्कार से सम्मानित किया गया। यह सम्मान 50 लाख से अधिक आबादी वाले राज्यों की श्रेणी में टीबी मुक्त ग्राम पंचायतों के सर्वाधिक अनुपात हेतु प्रदान किया गया।
कार्यक्रम की अध्यक्षता केंद्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्री एवं रसायन एवं उर्वरक मंत्री जे. पी. नड्डा ने की। समारोह में देशभर के स्वास्थ्य सचिव, राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के मिशन संचालक, राज्य क्षय अधिकारी, विभिन्न मंत्रालयों एवं विश्व स्वास्थ्य संगठन के प्रतिनिधि सम्मिलित हुए।
छत्तीसगढ़ राज्य की ओर से यह पुरस्कार राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के संचालक विजय दयाराम के. ने प्राप्त किया। केंद्रीय मंत्री नड्डा ने छत्तीसगढ़ सरकार के प्रयासों की भूरि-भूरि सराहना करते हुए कहा कि राज्य ने "टीबी मुक्त पंचायत" के लक्ष्य को प्राप्त करने की दिशा में अनुकरणीय कार्य किया है।
उल्लखेनीय है कि भारत सरकार द्वारा 2023 में "टीबी मुक्त ग्राम पंचायत" की परिकल्पना की गई थी। पहले ही वर्ष छत्तीसगढ़ की 2260 पंचायतों को टीबी मुक्त घोषित किया गया था, जबकि वर्ष 2024 में यह संख्या बढ़कर 4102 पंचायतों तक पहुँच गई, जो देश में सर्वाधिक अनुपात दर्शाता है।
मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने छत्तीसगढ़ को मिले इस सम्मान पर प्रसन्नता व्यक्त करते हुए स्वास्थ्य विभाग के सभी अधिकारियों और कर्मचारियों को बधाई दी है। स्वास्थ्य मंत्री श्याम बिहारी जायसवाल ने अभियान से जुड़े सभी अधिकारियों, कर्मचारियों और सहयोगियों को बधाई दी। स्वास्थ्य मंत्री श्याम बिहारी जायसवाल ने स्वास्थ्य सचिव अमित कटारिया ने निर्देश दिए कि 100 दिवसीय अभियान के दौरान चिन्हित सभी संभावित मरीजों की X-Ray और नाट परीक्षण प्राथमिकता से पूर्ण किए जाएँ, उनका तत्काल पंजीकरण और उपचार प्रारंभ कर निक्षय पोषण योजना व मित्रों से सहायता सुनिश्चित की जाए।
"निक्षय निरामय छत्तीसगढ़" बना जन-आंदोलन
छत्तीसगढ़ सरकार द्वारा 7 दिसंबर 2024 से शुरू किए गए 100 दिवसीय 'निक्षय निरामय छत्तीसगढ़' अभियान ने ग्रामीण स्तर पर व्यापक पहचान, उपचार और सहभागिता को गति दी। मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय द्वारा इस अवसर पर समाज के सभी वर्गों – उद्योगों, कॉरपोरेट्स, NGO व आम जनता – से टीबी मरीजों को गोद लेने की अपील की गई थी। इस अपील के बाद प्रदेश में निक्षय मित्रों की संख्या बढ़कर 13,422 हो गई, जिन्होंने अब तक 26,039 टीबी मरीजों को पोषण आहार व अन्य सहयोग प्रदान किया है।
सहकारिता मंत्री केदार कश्यप ने केंद्रीय राज्यमंत्री से की मुलाकात
25 Mar, 2025 11:04 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
रायपुर : छत्तीसगढ़ के सहकारिता मंत्री केदार कश्यप ने आज दिल्ली में केंद्रीय सहकारिता राज्य मंत्री मुरलीधर मोहोल से सौजन्य भेंट की। इस दौरान अपर मुख्य सचिव सहकारिता छत्तीसगढ़ शासन सुब्रत साहू, आयुक्त सहकारिता एवं पंजीयक सहकारी संस्थाएं कुलदीप शर्मा तथा भारत सरकार के सहकारिता मंत्रालय के प्रतिनिधि उपस्थित रहे। बैठक में छत्तीसगढ़ की सहकारी क्षेत्र में उपलब्धियों, चुनौतियों और आवश्यकताओं पर विस्तृत चर्चा हुई।
मंत्री केदार कश्यप ने मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय के नेतृत्व में छत्तीसगढ़ में सहकारिता को मजबूत बनाने के लिए किए जा रहे कार्यों के बारे में केंद्रीय राज्य मंत्री मोहोल को विस्तार से जानकारी दी। उन्होंने बताया कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के “सहकार से समृद्धि” विजन को साकार करने में छत्तीसगढ़ तेजी से आगे बढ़ रहा है।
मंत्री कश्यप ने बताया कि छत्तीसगढ़ में सहकारी समितियों के आधुनिकीकरण के लिए 2028 पैक्स का चयन किया गया है। इसके अलावा, शेष 30 पैक्स और प्रस्तावित 500 नए पैक्स के लिए शीघ्र स्वीकृति प्रदान करने की मांग की गई। उन्होंने बताया कि राज्य सरकार ने 8500 करोड़ रुपये के अल्पकालिक कृषि ऋण वितरण का लक्ष्य रखा था, जिसमें से अब तक 7709 करोड़ रुपये वितरित किए जा चुके हैं। हालांकि, नाबार्ड द्वारा केवल 1150 करोड़ रुपये का ही रियायती पुनर्वित्त उपलब्ध कराया गया है, जो कुल ऋण का मात्र 14.9 प्रतिशत है। इस अनुपात को बढ़ाकर 45 प्रतिशत तक करने की मांग की गई।
मंत्री कश्यप ने केंद्र सरकार से राज्य के शक्कर बिक्री मासिक कोटा प्रणाली में छूट देकर अधिक मात्रा में बिक्री की अनुमति प्रदान करने का आग्रह किया ताकि गन्ना किसानों का भुगतान तेजी से हो सके। सरदार वल्लभभाई पटेल सहकारी शक्कर कारखाना, पंडरिया द्वारा लिए गए टर्म लोन पर 84.79 लाख रुपये के विलंबित ब्याज को माफ करने का अनुरोध किया गया। अंतर्राष्ट्रीय सहकारिता वर्ष 2025 में छत्तीसगढ़ की भागीदारी के लिए छत्तीसगढ़ को एक्सपोजर विजिट में शामिल करने का भी आग्रह किया गया।
छत्तीसगढ़ सरकार ने सहकारिता के माध्यम से ग्रामीण और आदिवासी क्षेत्रों में आर्थिक विकास को गति देने की कई पहल की है, जिसमें जनजातीय परिवारों के लिए दुग्ध सहकारिता योजना के तहत 6 जिलों में 325 परिवारों को 650 दुधारू पशु उपलब्ध कराने की योजना तैयार की गई है। नाबार्ड की आरआईडीएफ योजना के तहत राज्य में 725 गोदामों का निर्माण किया जा रहा है, जिसमें से 665 पूर्ण हो चुके हैं। राज्य के 28 पैक्स में जनऔषधि केंद्र संचालित किए जा रहे हैं, जिनमें से 25 हाल ही में स्थापित किए गए हैं। 2029 पैक्स में कॉमन सर्विस सेंटर स्थापित किए गए हैं, जिनमें से 1103 हाल ही में शुरू किए गए हैं।
मंत्री कश्यप ने कहा कि राज्य सरकार जैविक खेती और वन उत्पादों के सहकारी विपणन को प्रोत्साहित कर रही है। छत्तीसगढ़ राज्य सहकारी लघु वनोपज संघ के माध्यम से 22 लघु वनोपजों का जैविक प्रमाणन प्राप्त किया गया है। छत्तीसगढ़ ने सभी पैक्स का एनसीसीएफ पोर्टल पर पंजीयन पूरा कर लिया है। सहकारी समितियों में माइक्रो एटीएम की स्थापना कर धान उपार्जन के दौरान 116 करोड़ रुपये का लेन-देन किया गया है। पिछले 6 महीनों में 2.50 लाख किसानों को केसीसी कार्ड वितरित किए गए हैं। राज्य के सभी पैक्स में पीएम किसान समृद्धि केंद्र स्थापित किए गए हैं, जहां से 1760.34 करोड़ रुपये का लेन-देन किया गया है।
मंत्री केदार कश्यप ने केंद्रीय मंत्री मुरलीधर मोहोल से छत्तीसगढ़ की मांगों को पूरा करने का आग्रह किया। उन्होंने कहा कि सहकारिता के माध्यम से राज्य में कृषि, ग्रामीण विकास और आर्थिक सशक्तिकरण के लिए कई योजनाएं सफलतापूर्वक क्रियान्वित की जा रही हैं। केंद्र सरकार से अपेक्षित सहयोग मिलने पर इन योजनाओं को और अधिक प्रभावी तरीके से लागू किया जा सकेगा।
एफ.पी.ओ. मेले में मिलेगा जैविक और प्रसंस्कृत खाद्य उत्पादों का अनूठा संगम
25 Mar, 2025 11:03 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
रायपुर : छत्तीसगढ़ में कृषक उत्पादक संगठनों (एफ.पी.ओ.) को बढ़ावा देने और जैविक व प्रसंस्कृत कृषि उत्पादों के प्रचार-प्रसार के उद्देश्य से रायपुर के इंदिरा गांधी कृषि विश्वविद्यालय परिसर में तीन दिवसीय कृषक उत्पादक संगठन मेला सह प्रदर्शनी का आयोजन किया जा रहा है। इस मेले में छत्तीसगढ़ के 45 कृषक उत्पादक संगठन अपने उत्कृष्ट कृषि उत्पादों का प्रदर्शन और विक्रय करेंगे।
यह मेला 26 मार्च से 28 मार्च 2025 तक आयोजित किया जाएगा, जिसका शुभारंभ 26 मार्च को सुबह 11 बजे कृषि विकास एवं किसान कल्याण तथा जैव प्रौद्योगिकी मंत्री रामविचार नेताम करेंगे। इस अवसर पर धरसींवा विधायक अनुज शर्मा, रायपुर ग्रामीण विधायक मोती लाल साहू और रायपुर नगर निगम की महापौर मीनल चौबे विशिष्ट अतिथि के रूप में उपस्थित रहेंगे, जबकि कार्यक्रम की अध्यक्षता इंदिरा गांधी कृषि विश्वविद्यालय के कुलपति डॉ. गिरीश चंदेल करेंगे।
एफ.पी.ओ. मेले में छत्तीसगढ़ के विभिन्न जिलों के कृषक उत्पादक संगठनों द्वारा निर्मित जैविक और प्रसंस्कृत खाद्य उत्पादों की भरमार होगी। मेले में सुगंधित जैविक चावल-विष्णुभोग, देवभोग, जीराफूल, ब्लैक राइस, रेड राइस, ग्रीन राइस, ब्राउन राइस, जैविक दालें और तिलहन - अरहर, उड़द, मसूर, लाखड़ी दाल, सरसों, मूंगफली तेल, शीशम तेल, मिलेट्स और आटा- बाजरा, कोदो, कुटकी, रागी, मल्टीग्रेन आटा, चावल आटा, रागी आटा, मसाले और हर्बल उत्पाद- हल्दी पाउडर, लाल मिर्च पाउडर, धनिया पाउडर, मोरिंगा पाउडर, हर्बल साबुन, फिनाइल, जैविक गुड़ और स्नैक्स - गुड़, गुड़ कैंडी, बेरी बिस्कुट, आम पापड़, महुआ लड्डू, अमचूर लड्डू, अचार और प्रसंस्कृत खाद्य पदार्थ - नींबू, कटहल, आंवला, हल्दी, सरसों, बांस, मिक्स अचार, मशरूम पापड़, मशरूम बड़ी, सौंदर्य और स्वास्थ्य उत्पाद -हनी बी वैक्स, लिप बाम, फुट क्रीम, कुमकुम, हल्दी रोली उपलब्ध होंगे।
मेले में न केवल उत्पादों की प्रदर्शनी और बिक्री होगी, बल्कि एफ.पी.ओ. के बेहतर संचालन के लिए विषय विशेषज्ञों द्वारा प्रशिक्षण सत्र भी आयोजित किए जाएंगे। इसमें कृषि वैज्ञानिक, कृषि विभाग के अधिकारी, प्रगतिशील कृषक और एफ.पी.ओ. के प्रतिनिधि भाग लेंगे।
भारत सरकार द्वारा कृषक उत्पादक संगठनों के माध्यम से किसानों को उनकी उपज का उचित मूल्य दिलाने, फसल प्रसंस्करण को बढ़ावा देने और कृषि उत्पादों के मूल्य संवर्धन को प्रोत्साहित करने के लिए पूरे देश में एफ.पी.ओ. मेलों का आयोजन किया जा रहा है। इसी कड़ी में छत्तीसगढ़ में यह आयोजन हो रहा है, जहां किसानों को सीधा बाजार मिलेगा और उपभोक्ताओं को गुणवत्तापूर्ण जैविक उत्पाद। इस तीन दिवसीय एफ.पी.ओ. मेला सह प्रदर्शनी में आम जनता के लिए प्रवेश निःशुल्क रहेगा, जहां वे अपनी पसंद के जैविक और प्रसंस्कृत उत्पाद खरीद सकेंगे।