व्यापार
गोल्ड की कीमतों में 3500 रुपए की गिरावट, 75 हजार रुपए के स्तर पर पहुंची कीमतें
12 Nov, 2024 02:14 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
जब से डोनाल्ड ट्रंप को जीत हासिल हुई है, तब से डॉलर इंडेक्स में लगातार मजबूती देखने को मिल रही है. जिसका असर इंटरनेशनल मार्केट से लेकर डॉमेस्टिक मार्केट तक में देखने को मिल रहा है. लोकल मार्केट की बात करें तो गोल्ड की कीमतें 5 सितंबर के बाद से 4.44 फीसदी तक टूट चुकी हैं. वहीं दूसरी ओर इंटरनेशनल मार्केट में गोल्ड के दाम 5 फीसदी तक टूट चुके हैं. जानकारों का अनुमान है कि डॉलर इंडेक्स साल के अंत तक 107 का लेवल छू सकता है. इसका मतलब है कि इंटरनेशनल मार्केट में गोल्ड की कीमतों में और ज्यादा दबाव देखने को मिलेगा और इंटरनेशनल मार्केट में गोल्ड 2300 डॉलर तक पर देखने को मिल सकता है.
इसका मतलब है कि भारत के वायदा बाजार में गोल्ड के दाम 70 हजार रुपए के लेवल पर देखने को मिल सकता है. वहीं दूसरी ओर जानकारों का कहना है कि गोल्ड को की कीमतों में उछाल लाने वाला कोई दूसरा ट्रिगर दिखाई नहीं दे रहा है. ना ही इंटरनेशनल मार्केट में और ना ही डॉमेस्टिक में डिमांड में कोई तेजी की संभावना दिखाई दे रही है. यही वजह से साल के अंत तक गोल्ड की कीमतें 70 हजार रुपए के लेवल पर दिखाई दे सकती हैं. आइए आपको भी बताते हैं कि आखिर मौजूदा समय में गोल्ड के दाम किस लेवल पर देखने को मिल रहे हैं और आने वाले दिनों में गोल्ड के दाम कितने पर दिखाई दे सकते हैं.
5 नवंबर के बाद 4.44% की कमी
देश के वायदा बाजार मल्टी कमोडिटी एक्सचेंज पर गोल्ड के दाम में लगातार गिरावट देखने को मिल रही है. 5 नवंबर के बाद से सोने की कीमत में 4.44 फीसदी की गिरावट देखी जा चुकी है. आंकड़ों को देखें तो 5 नवंबर को बाजार बंद होने के बाद सोने की कीमत 78,507 रुपए प्रति दस ग्राम थे. तब से अब तक गोल्ड की कीमत में करीब 3,500 रुपए की गिरावट देखने को मिल चुकी है. जिसकी वजह से मंगलवार को गोल्ड की कीमत एमसीएक्स 75,020 रुपए प्रति 10 ग्राम के दिन के लोअर लेवल पर पहुंच गई. वैसे मौजूदा समय यानी दोपहर 12 बजकर 30 मिनट पर गोल्ड की कीमत 239 रुपए की गिरावट के साथ 75,112 रुपए प्रति दस ग्राम पर कारोबार कर रहा है. जबकि आज सुबह गोल्ड 75,541 रुपए के साथ ओपन हुआ थात्र. एक दिन पहले बाजार बंद होने के बाद गोल्ड की कीमत 75,351 रुपए प्रति दस ग्राम पर था. जानकारों की मानें तो सोने की कीमत में आने वाले दिनों में और भी गिरावट देखने को मिल सकती है.
5 नवंबर के बाद 137 डॉलर की कमी
वहीं दूसरी ओर इंटरनेशनल मार्केट में गोल्ड की कीमत 5 फीसदी तक कम हो चुकी है. खासकर 5 नवंबर के बाद से. न्यूयॉर्क के कॉमेक्स मार्केट में गोल्ड फ्यूचर की कीमत में बड़ी गिरावट देखी जा चुकी है. आंकड़ों के अनुसार 5 नवंबर को बाजार बंद होने के बाद गोल्ड के दाम करीब 2750 रुपए देखने को मिली थी. तब से अब तक इसमें 137 डॉलर की गिरारवट देखी जा चुकी है. इसका मतलब है कि करीब 5 फीसदी की गिरावट देखने को मिल चुकी है. मौजूदा समय में गोल्ड के दाम में करीब 4 डॉलर की मामूली गिरावट देखने को मिल रही है और दाम 2,614.35 डॉलर प्रति ओंस पर कारोबार कर रही है. जबकि कारोबारी सत्र के दौरान गोल्ड फ्यूचर 2,610 डॉलर प्रति ओंस के लेवल पर पहुंच गई थी. जानकारों की मानें तो गोल्ड के दाम में और गिरावट आना अभी बाकी है.
डोनाल्ड ट्रंप की जीत के बाद डॉलर में आई मजबूती
गोल्ड की कीमतों का सबसे बड़ा दुश्मन डॉलर बना हुआ है. जैसा कि माना जा रहा था कि डोनाल्ड ट्रंप की जीत के बाद डॉलर को मजबूती मिलती हुई दिखाई देगी. ऐसा ही देखने को मिला है. बीते 5 कारोबारी दिनों में डॉलर इंडेक्स में 2.21 फीसदी की बढ़ोतरी देखने को मिल चुकी है. ऐसे में आप अंदाजा लगा सकते है कि ट्रंप की जीत का असर डॉलर पर किस तरह का देखने को मिला है. आने वाले दिनों में इसे और भी ज्यादा मजबूती मिलती हुई दिखाई दे सकती है. अगर बात आज यानी मौजूदा समय की करें तो डॉलर इंडेक्स 105.71 के लेवल पर कारोबार करता हुआ दिखाई दे रहा है, कारोबारी सत्र के दौरान इंडेक्स 105.75 के लेवल पर पहुंच गया था. ऐसे में अनुमान है कि जल्द ही डॉलर इंडेक्स अपने 52 हफ्तों के हाई के लेवल को भी पार कर सकता है. जोकि 106.52 है.
साल के अंत तक डॉलर इंडेक्स 107 तक पहुंच सकता है
अधिकतर एक्सपर्ट का मानना है कि साल के अंत तक डॉलर इंडेक्स 107 के लेवल पर पहुंच सकता है. जिसकी वजह से गोल्ड की कीमतों में और दबाव देखने को मिल सकता है. अगर डॉलर इंडेक्स 107 के लेवल पर गया तो इंटरनेशनल मार्केट में गोल्ड के दाम 2400 से 2300 डॉलर पर भी जा सकते हैं. जिसकी वजह से भारत के एमसीएक्स पर गोल्ड की कीमत 70 हजार रुपए तक लेवल पर भी पहुंच सकती हैं. एचडीएफसी सिक्योरिटीज में करेंसी कमोडिटी के हेड अनुज गुप्ता ने कहा कि गोल्ड की कीमत में लगातार गिरावट का कारण डॉलर इंडेक्स और डिमांड में कमी है. ऐसे आने वाले दिनों में डॉलर इंडेक्स में नजर रहेगी.
2021 का IPO रिकॉर्ड टूटने की संभावना, दिसंबर तक 1.50 लाख करोड़ का आंकड़ा हो सकता है पार
12 Nov, 2024 12:39 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
घरेलू बाजार में आईपीओ का रिकॉर्ड टूट गया है। इस साल अब तक कुल 72 कंपनियों ने इश्यू के जरिये 1,21,745 करोड़ रुपये जुटाए हैं। इससे पहले 2021 में 63 कंपनियों ने 1.20 लाख करोड़ जुटाए थे। 2017 में 75,279 करोड़ की तीसरी सबसे बड़ी रकम जुटाई गई थी।
क्या कहते विश्लेषक..
विश्लेषकों के मुताबिक आईपीओ का यही रुझान बना रहा तो दिसंबर तक कंपनियां 1.50 लाख करोड़ रुपये से ज्यादा की रकम जुटा सकती हैं। आंकड़ों के मुताबिक, इस महीने में अब तक चार कंपनियों ने18,533 करोड़ रुपये जुटाए हैं। इसमें सबसे अधिक 11,327 करोड़ रुपये स्विगी ने जुटाए हैं। इस महीने अभी भी 10 आईपीओ आने वाले हैं। इसमें सबसे बड़ा 10,000 करोड़ रुपये एनटीपीसी ग्रीन एनर्जी का होगा। एचडीएफसी बैंक की कंपनी एचडीबी फाइनेंशियल भी बाजार में आने वाली है। इसने 12,500 करोड़ रुपये जुटाने के लिए सेबी के पास मसौदा जमा करा दिया है। 10,000 करोड़ रुपये का ऑफर फॉर सेल होगा।
90 तक पहुंच सकती है कंपनियों की संख्या
दिसंबर तक आईपीओ से रकम जुटाने वाली कंपनियों की संख्या 90 तक पहुंच सकती है। वैसे आईपीओ की संख्या के लिहाज से रिकॉर्ड टूट चुका है। 2021 में 63 कंपनियों ने 1.20 लाख करोड़ रुपये जुटाए थे। 2023 में 58 कंपनियों ने 49,437 करोड़ व 2022 में 40 कंपनियों ने 59,939 करोड़ जुटाए थे।
छोटी-मझोली कंपनियों ने जुटाए 8,124 करोड़ रुपये
एसएमई कंपनियों ने पिछले 12 वर्षों का रिकॉर्ड तोड़ा है। 216 कंपनियों ने इस साल 8,124 करोड़ जुटाए हैं। 2012 में एसएमई प्लेटफॉर्म के लॉन्च होने के बाद यह सर्वाधिक रकम है। इससे पहले 2023 में 182 कंपनियों ने 4,967 करोड़ रुपये की रकम जुटाई थी। सबसे ज्यादा कैपिटल गुड्स की कंपनियां : सबसे अधिक 21 कंपनियां कैपिटल गुड्स क्षेत्र की रही हैं। इसके बाद सेवा क्षेत्र की 9 और कंस्ट्रक्शन की 8 कंपनियां रही हैं। अन्य क्षेत्र की 24 कंपनियां रही हैं। 2023 में कैपिटल गुड्स की 27 कंपनियां बाजार में उतरीं थीं।
विभोर स्टील को सबसे अधिक सब्सक्रिप्शन
इस साल आईपीओ में विभोर स्टील को सबसे अधिक 324 गुना सब्सक्रिप्शन मिला है। मानबा फाइनेंस को 224 गुना, केआरएन हीट को 213 गुना, गाला प्रीसीजन को 201 गुना और यूनिकॉर्न ई-सोल्यूशन को 168 गुना सब्सक्रिप्शन मिला है। फायदा देनेवाले में केआरएन हीट ने 167 फीसदी का लाभ दिया है। प्रीमियर एनर्जी ने 150 फीसदी, भारती हेक्सॉकॉन ने 142 फीसदी का फायदा दिया है।
एफडीआई नियमों के उल्लंघन पर अमेजन और फ्लिपकार्ट को समन जारी करेगी सरकार
12 Nov, 2024 12:34 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
प्रत्यक्ष विदेशी निवेश (एफडीआई) नियमों के उल्लंघन के मामले में सरकार ई-कॉमर्स प्लेटफॉर्म अमेजन और फ्लिपकार्ट को पूछताछ के लिए समन जारी कर सकती है। सूत्रों ने बताया, पिछले सप्ताह अमेजन और फ्लिपकार्ट के विक्रेताओं के यहां छापेमारी के दौरान मिले दस्तावेज की जांच के आधार पर प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) दोनों कंपनियों के अधिकारियों को बुलाने की तैयारी कर रहा है। विक्रेताओं के कारोबारी आंकड़ों और ई-कॉमर्स प्लेटफॉर्म्स के साथ पांच साल में हुए लेनदेन की जांच भी होगी।
अधिकारियों ने दी जानकारी
अमेजन के दो और फ्लिपकार्ट के चार बड़े विक्रेताओं के यहां शनिवार तक तलाशी अभियान चला। मिले दस्तावेज से साबित हो गया कि विदेशी निवेश नियमों का उल्लंघन हुआ है। छापे में पता चला कि दोनों प्लेटफॉर्म का इन्वेंट्री पर शुरू से अंत तक नियंत्रण था और विक्रेताओं का सिर्फ नाम था।
जांच में हुआ खुलासा
2021 में अमेजन के आंतरिक पेपर्स के आधार पर रॉयटर्स की जांच से पता चला कि कंपनियों ने कुछ सबसे बड़े विक्रेताओं की इन्वेंट्री पर महत्वपूर्ण नियंत्रण रखा है। दरअसल, अमेजन व अन्य कंपनियों की प्रतिस्पर्धी-रोधी कारोबार प्रथाओं के कारण छोटे व्यापारियों को नुकसान हो रहा है, इसलिए इन पर निगरानी रखी जा रही है। चुनिंदा विक्रेताओं को फायदा पहुंचाने के आरोप में हाल ही में दोनों कंपनियों के विक्रेताओं के यहां ईडी ने छापेमारी की थी।
अप्पारियो को पहुंचाया विशेष फायदा
सूत्रों में से एक ने सोमवार को कहा, कभी अमेजन के सबसे बड़े भारतीय विक्रेता रहे अप्पारियो के यहां भी पिछले सप्ताह छापा मारा गया था। अप्पारियो को आंतरिक रूप से एक विशेष व्यापारी के रूप में बताया गया था। अन्य विक्रेताओं के विपरीत इन्वेंट्री प्रबंधन जैसी चीजों के उपयोग के लिए अप्पारियो को फायदा पहुंचाया गया था।
विदेशी कंपनियां भारत में नहीं रख सकती इन्वेंट्री
नियमों के मुताबिक, विदेशी ई-कॉमर्स प्लेटफॉर्म्स भारत में इन्वेंट्री नहीं रख सकते हैं। वे केवल ऑनलाइन बाजार के तौर पर काम कर सकते हैं। भारत के करीब 5.91 लाख करोड़ रुपये के
ई-कॉमर्स बाजार में अमेजन और फ्लिपकार्ट की बिक्री तेजी से बढ़ रही है। डेटाम इंटेलिजेंस का अनुमान है कि बीते साल भारतीय ई-कॉमर्स में फ्लिपकार्ट की 32 फीसदी व अमेजन की 24 फीसदी बाजार हिस्सेदारी है। यह देश के कुल 834 अरब डॉलर के खुदरा बाजार का 8 फीसदी हिस्सा है।
जोमैटो और स्विगी पर भी चल रही जांच
उधर, प्रतिस्पर्धा नियमों के उल्लंघन मामले में भारतीय प्रतिस्पर्धा आयोग ऑनलाइन फूड डिलीवरी मंच जोमैटो और स्विगी के खिलाफ जांच कर रहा है। इन दोनों पर चुनिंदा रेस्टोरेंट चेन को फायदा पहुंचाने का आरोप है।
हालांकि, दोनों कंपनियों ने जांच की खबरों को भ्रामक बताया है। इसके साथ ही जोमैटो ने कहा कि वह देश के कानूनों का पालन करती है। आयोग ने पांच अप्रैल 2022 की सूचना के बाद से कोई आदेश पारित नहीं किया है। वहीं, स्विगी का कहना है कि वह नियमों का पालन करने को प्रतिबद्ध है।
जल्द करें ये काम, नहीं तो बंद हो सकता है आपका PAN कार्ड
12 Nov, 2024 12:27 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
आज PAN यानी परमानेंट अकाउंट नंबर ज्यादातर लोगों की जिंदगी का अहम हिस्सा है। खासकर, नौकरीपेशा और टैक्सपेयर्स का इसके बगैर काम ही नहीं चलता। यह वित्तीय धोखाधड़ी को रोकने में भी सरकार की मदद करता है।
यही वजह है कि इनकम टैक्स डिपार्टमेंट लगातार गुजारिश कर रहा है कि लोग अपने पैन को आधार से लिंक कर लें। इसके लिए 31 दिसंबर, 2024 आखिरी तारीख तय की गई है। अगर आपने इससे पहले अपने पैन को आधार कार्ड से लिंक नहीं कराया, तो आपका पैन कार्ड डी-एक्टिवेट हो जाएगा। इससे लेनदेन के साथ अन्य मुश्किलें भी हो सकती हैं।
पैन को आधार से लिंक करना जरूरी क्यों
टेक्नोलॉजी के दौर में वित्तीय धोखाधड़ी के मामलों में भी काफी इजाफा हुआ है। कई फिनटेक कंपनियों पर आरोप है कि वे कस्टमर प्रोफाइल बनाने के लिए अनधिकृत तरीके से पैन डिटेल का इस्तेमाल कर रही थीं। यही वजह है कि गृह मंत्रालय ने पैन के जरिए पर्सनल डिटेल तक पहुंच को सीमित करने का निर्देश दिया है, ताकि व्यक्तिगत जानकारी के दुरुपयोग को रोका जा सके।
आयकर विभाग ने सभी टैक्सपेयर्स के लिए पैन को आधार कार्ड से लिंक करना अनिवार्य कर दिया है। डेडलाइन से पहले दोनों को लिंक न करने पर आपका पैन कार्ड निष्क्रिय हो जाएगा। इससे कई तरह की समस्याएं हो सकती हैं, जिसमें वित्तीय लेनदेन करने में कठिनाई भी शामिल है। इसलिए आपको अपने पैन-आधार लिंक का स्टेटस पता कर लेना चाहिए। अगर आपका पैन आधार से लिंक नहीं है, तो उसे तुरंत लिंक कर लें।
पैन-आधार लिंक स्टेटस कैसे पता करें?
आयकर ई-फाइलिंग पोर्टल (www.incometax.gov.in) पर जाएं।
होमपेज पर 'क्विक लिंक्स' विकल्प पर क्लिक करें।
लिंक आधार स्टेटस पर क्लिक करें, पैन और आधार कार्ड नंबर दें।
अगर आपका पैन और आधार पहले से ही लिंक होगा, तो एक संदेश पॉप अप होगा- "आपका पैन पहले से ही दिए गए आधार से लिंक है"। लेकिन, लिंक न होने की सूरत में पॉप-अप में लिखा होगा, "पैन आधार से लिंक नहीं है। कृपया वेबसाइट के बाएं तरफ क्विक लिंक्स अनुभाग के अंतर्गत दिखाई देने वाले 'लिंक आधार' पर क्लिक करें। आपको एक पेज पर ले जाया जाएगा, जहां आपको अपने पैन और आधार कार्ड के अनुसार आपको डिटेल दर्ज करनी होगी।
कितना लगेगा लिंक कराने का शुल्क
सरकार ने 30 जून 2023 तक पैन कार्ड को आधार से लिंक कराना फ्री रखा था। लेकिन, अब इसके लिए फीस देनी पड़ेगी। यह पहले 500 रुपये थी और अब 1 हजार रुपये हो गई है। इसका मतलब कि अगर आपको पैन कार्ड आधार कार्ड से लिंक करवाना है, तो फिर आपको 1 हजार रुपये लेट फीस या फिर फाइन के रूप में देने होंगे।
आयकर विभाग भी टैक्सपेयर्स की पैन और आधार लिंक करने में पूरी मदद कर रहा है। उसने पैन को आधार से जोड़ने की प्रक्रिया से जुड़े सवालों का जवाब देने के लिए एक FAQ पेज भी बनाया है। इससे आपको पूरे प्रोसेस को समझने में मदद मिलती है।
मजबूती के साथ खुला शेयर बाजार; सेंसेक्स 300 अंक चढ़ा, निफ्टी 24200 के पार
12 Nov, 2024 12:16 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
घरेलू संस्थागत निवेशकों की ओर से निरंतर निवेश और अमेरिकी बाजारों में तेजी के साथ-साथ निचले स्तरों पर खरीदारी से मंगलवार को शुरुआती कारोबार में इक्विटी बेंचमार्क सूचकांक सेंसेक्स और निफ्टी में तेजी आई। शुरुआती कारोबार में बीएसई का सेंसेक्स 324.83 अंक चढ़कर 79,820.98 अंक पर पहुंच गया। वहीं एनएसई का निफ्टी 100.7 अंक चढ़कर 24,242 अंक पर पहुंच गया। मंगलवार के कारोबारी सत्र के दौरान रुपया डॉलर के मुकाबले 2 पैसे की गिरावट के साथ 84.40 रुपये पर पहुंच गया।
सेंसेक्स के 30 शेयरों में से भारती एयरटेल, आईसीआईसीआई बैंक, सन फार्मा, एक्सिस बैंक, टाटा स्टील, टाइटन, रिलायंस इंडस्ट्रीज और पावर ग्रिड में सर्वाधिक लाभ रहा। मारुति, एचडीएफसी बैंक, एशियन पेंट्स और इंडसइंड बैंक प्रमुख रूप से पिछड़ने वाले शेयरों में शामिल रहे। एक्सचेंज के आंकड़ों के अनुसार, विदेशी संस्थागत निवेशकों (एफआईआई) ने सोमवार को 2,306.88 करोड़ रुपये के शेयर बेचे, जबकि घरेलू संस्थागत निवेशकों (डीआईआई) ने 2,026.63 करोड़ रुपये के शेयर खरीदे।
जियोजित फाइनेंशियल सर्विसेज के मुख्य निवेश रणनीतिकार वीके विजयकुमार ने कहा, "इस समेकित बाजार में दो मजबूत कारक काम कर रहे हैं। पहला, एफआईआई द्वारा की जा रही लगातार बिकवाली ने मंदड़ियों को फायदा पहुंचाया है और बाजार को नीचे की ओर खींचा है। दूसरा, डीआईआई द्वारा की जा रही सतत खरीद ने बाजार को सहारा दिया है और बाजार में गिरावट को रोका है। आने वाले दिनों में बाजार का रुख कैसा रहेगा, यह इन दो कारकों की सापेक्षिक मजबूती पर निर्भर करेगा।"
एशियाई बाजारों में सियोल, टोक्यो, शंघाई और हांगकांग नकारात्मक दायरे में कारोबार कर रहे थे। सोमवार को वॉल स्ट्रीट में तेजी रही। मेहता इक्विटीज लिमिटेड के वरिष्ठ उपाध्यक्ष (शोध) प्रशांत तापसे ने कहा, "अमेरिकी शेयर बाजार जश्न के मूड में हैं, एसएंडपी 500 ने 6,000 का आंकड़ा पार कर लिया है और डॉव 44,000 के पार पहुंच गया है। यह सब डोनाल्ड ट्रंप की चुनावी जीत, फेड की ब्याज दरों में कटौती और मजबूत उपभोक्ता भावना के कारण हो रहा है।"
वैश्विक तेल मानक ब्रेंट क्रूड 0.15 प्रतिशत गिरकर 71.72 डॉलर प्रति बैरल पर आ गया। सोमवार को बीएसई का सूचकांक 9.83 अंक या 0.01 प्रतिशत की मामूली बढ़त के साथ 79,496.15 अंक पर बंद हुआ था। निफ्टी 6.90 अंक या 0.03 प्रतिशत की मामूली गिरावट के साथ 24,141.30 अंक पर बंद हुआ था।
तेल कंपनियों ने जारी किए पेट्रोल-डीजल के दाम....
12 Nov, 2024 12:11 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
सरकारी ऑयल मार्केटिंग कंपनियां हर रोज सुबह पेट्रोल-डीजल के दाम अपडेट करती हैं। साल 2017 से रोजाना सुबह 6 बजे तेल के दाम अपडेट हो जाते हैं। यह जिम्मेदारी सरकार ने ऑयल मार्केटिंग कंपनियों को दी है। तेल कंपनियां क्रूड ऑयल की प्राइस के हिसाब से कीमतों में बदलाव कर सकती हैं।
अंतरराष्ट्रीय बाजार में क्रूड का भाव
पिछले कुछ दिनों से इंटरनेशनल मार्केट में बेंचमार्क ब्रेंट क्रूड की कीमतों में गिरावट देखने को मिल रही है। इसकी कीमत फिलहाल 71.72 डॉलर प्रति बैरल है। पिछले पांच दिनों में ब्रेंट क्रूड की कीमतों में पांच फीसदी और 1 महीने में 10 फीसदी गिरावट आई है। हालांकि, क्रूड की कीमतों में उतार-चढ़ाव लगा रहता है, इसलिए तेल कंपनियों पेट्रोल-डीजल के दाम में कोई बदलाव करने से परहेज कर रही हैं।
तेल कंपनियों ने 12 नवंबर 2024 (मंगलवार) के लिए दाम जारी कर दिये हैं। अगर आप भी पेट्रोल पंप पर जाकर टंकी फुल कराने की सोच रहे हैं, तो पहले लेटेस्ट रेट चेक कर लें। आइए, जानते हैं कि आज आपके शहर में एक लीटर पेट्रोल-डीजल कितने रुपये में मिल रहा है।
महानगरों में पेट्रोल-डीजल के दाम
दिल्ली में एक लीटर पेट्रोल की कीमत 94.76 रुपये और डीजल की कीमत 87.66 रुपये प्रति लीटर है।
मुंबई में पेट्रोल की कीमत 103.43 रुपये प्रति लीटर और डीजल की कीमत 89.95 रुपये प्रति लीटर है।
कोलकाता में पेट्रोल की कीमत 104.93 रुपये प्रति लीटर और डीजल 91.75 रुपये प्रति लीटर है।
चेन्नई में पेट्रोल की कीमत 100.73 रुपये प्रति लीटर और डीजल की कीमत 92.32 रुपये प्रति लीटर है।
अन्य शहरों में पेट्रोल- डीजल के दाम
नोएडा: पेट्रोल 94.83 रुपये प्रति लीटर और डीजल 87.96 रुपये प्रति लीटर
गुरुग्राम: पेट्रोल 95.19 रुपये प्रति लीटर और डीजल 88.05 रुपये प्रति लीटर
बेंगलुरु: पेट्रोल 102.84 रुपये प्रति लीटर और डीजल 88.92 रुपये प्रति लीटर
चंडीगढ़: पेट्रोल 94.22 रुपये प्रति लीटर और डीजल 82.38 रुपये प्रति लीटर
हैदराबाद: पेट्रोल 107.39 रुपये प्रति लीटर और डीजल 95.63 रुपये प्रति लीटर
जयपुर: पेट्रोल 104.86 रुपये प्रति लीटर और डीजल 90.34 रुपये प्रति लीटर
पटना: पेट्रोल 105.16 रुपये प्रति लीटर और डीजल 92.03 रुपये प्रति लीटर
एसएमएस भी चेक कर सकते हैं पेट्रोल डीजल के दाम
आप आसानी से एसएमएस के जरिए पेट्रोल-डीजल के दाम चेक कर सकते हैं। इंडियन ऑयल की वेबसाइट पर दी गई जानकारी के मुताबिक, इसके लिए आपको अपने मोबाइल से 9224992249 पर RSP डीलर कोड लिखकर एसएमएस करना होगा।
EPFO में रिकॉर्ड वृद्धि, पीएफ अंशधारकों की संख्या 7.37 करोड़ हुई
11 Nov, 2024 04:38 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
नौकरीपेशा लोगों के लिए पीएफ एक सुरक्षित निवेश है, जो उन्हें बुढ़ापे में आर्थिक सुरक्षा देती है. हर महीने आपकी सैलरी का कुछ हिस्सा काटकर उसे पीएफ अकाउंट में जाता जाता है. जितना आप पीएफ में डालते हैं उतना ही कंपनी आपके पीएफ में कंट्रीब्यूट करती है, जिसपर सरकार ब्याज भी देती है. कर्मचारियों के पीएफ का लेखा-जोखा कर्मचारी भविष्य निधि संगठन ( EPFO) करती है. ताजा रिपोर्ट के मुताबिक वित्त वर्ष 2023-24 में ईपीएफओ में योगदान देने वाले सदस्यों की संख्या में 7.6 प्रतिशत की बढ़ोतरी हुई है, जो बढ़कर 7.37 करोड़ हो गई है. वित्त वर्ष 2022-23 में ईपीएफओ अंशधारकों की संख्या 6.85 करोड़ थी. वहीं योगदान देने वालों संस्थाओं की संख्या 6.6 प्रतिशत बढ़कर 7.66 लाख हो गई है.
क्या है इन आंकड़ों के मायने
श्रम मंत्रालय की ओर से जारी किए गए इन आंकड़ों के मुताबिक वित्त वर्ष 2023-24 में ईपीएफओ में योगदान करने वालों की संख्या में 7.6 प्रतिशत की बढ़ोतरी हुई है. ये आंकड़े दिखाते हैं कि भारत में औपचारिक क्षेत्र में रोजगार और व्यापारों की संख्या बढ़ रही है, जो कर्मचारियों को बेहतर जीवन स्तर मुहैया कराती है.
ईपीएफओ दावों का निपटारा
ईपीएफओ की बकाया राशि की वसूली में भी 55.4 प्रतिशत की वृद्धि देखी गई, जो पिछले वर्ष के 3,390 करोड़ रुपये की तुलना में 5,268 करोड़ रुपये हो गई है. पिछले वर्ष की तुलना में निपटाए गए दावों की संख्या में भी 7.8 प्रतिशत बढ़कर 4.12 करोड़ से बढ़कर 4.45 करोड़ हो गई है.
अनुकंपा नियुक्ति नीति, 2024 के मसौदे पर भी चर्चा
कार्यकारी समिति ने नई अनुकंपा नियुक्ति नीति, 2024 के मसौदे पर भी चर्चा की, जिसका लक्ष्य ईपीएफओ के कई कर्मचारियों के आश्रितों और बच्चों को राहत पहुंचाना है, जिनकी दुर्भाग्यवश सेवाकाल के दौरान मृत्यु हो गई थी, जिनमें से कई की मृत्यु कोविड महामारी के दौरान हुई थी. इसके अलावा बैठक में कार्यकारी समिति ने ईपीएफओ में बेहतर गवर्नेंस के लिए आईटी, प्रशासनिक, वित्तीय और अन्य संबंधित पहलुओं पर चर्चा की गई. ईपीएस पेंशन भुगतान के लिए सरकार नई केंद्रीकृत पेंशन भुगतान प्रणाली को लाने पर काम कर रही है.
डॉलर के मुकाबले रुपये में लगातार कमजोरी, क्या कर रहा है आरबीआई?
11 Nov, 2024 04:29 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
डॉलर के मुकाबले भारतीय रुपया लगातार कमजोर हो रहा है। सोमवार को शुरुआती कारोबार में यह 1 पैसा गिरकर 84.38 रुपये प्रति डॉलर पर आ गया। यह इसका अब तक सबसे निचला स्तर है।
क्यों गिर रहा है रुपया
करेंसी मार्केट के जानकारों के मुताबिक, विदेशी निवेशकों की लगातार बिकवाली और इक्विटी मार्केट की सुस्ती के चलते रुपये में कमजोरी आ रही है। उनका कहना है कि जब तक डॉलर सूचकांक में नरमी नहीं आती या विदेशी फंड अपनी निकासी कम नहीं करते, रुपया दबाव में बना रहेगा।
रुपया शुक्रवार को अमेरिकी डॉलर के मुकाबले 5 पैसे गिरकर 84.37 के नए ऑल टाइम लो-लेवल पर पहुंच गया था। इसमें लगातार तीसरे कारोबारी सत्र में गिरावट दर्ज की गई थी।
मध्यम अवधि में रुपया 83.80 से 84.50 के दायरे में कारोबार करेगा, क्योंकि रिजर्व बैंक अपने पास पर्याप्त विदेशी मुद्रा भंडार होने के कारण रुपये की गिरावट पर अंकुश लगा सकता है।
कब से दबाव में है रुपया
अमेरिकी चुनाव और लगातार विदेशी फंड की निकासी के बीच रुपया काफी समय से दबाव में है। विदेशी निवेशकों ने अक्टूबर में करीब 12 बिलियन डॉलर की इक्विटी बिकवाली की थी। यह सिलसिला नवंबर भी में भी जारी है। उन्होंने नवंबर के शुरुआती 10 दिनों में ही करीब 1.6 बिलियन डॉलर की निकासी कर ली है।
सीआर फॉरेक्स एडवाइजर्स के मैनेजिंग डायरेक्टर अमित पाबारी का कहना है कि भारतीय शेयर बाजार मूल्यांकन काफी अधिक है। साथ ही, कंपनियों के तिमाही नतीजे काफी कमजोर आ रहे हैं, जो ऊंचे वैल्यूएशन को सपोर्ट नहीं करते।
विदेशी निवेशकों ने कितनी निकासी की
शेयर बाजार के आंकड़ों के अनुसार, विदेशी संस्थागत निवेशक (एफआईआई) शुक्रवार को 3,404.04 करोड़ रुपये के शेयर बेचे। विदेशी निवेशकों ने सितंबर 2024 में 57,724 करोड़ रुपये का निवेश किया था। लेकिन, उन्होंने अक्टूबर में 94,017 करोड़ रुपये की शुद्ध निकासी की। यह उनकी अब तक की सबसे अधिक बिकवाली थी।
अगर नवंबर की बात करें, तो विदेशी निवेशकों ने पिछले पांच कारोबारी सत्रों में ही 20 हजार करोड़ रुपये की निकासी की है। एक्सपर्ट के मुताबिक, विदेशी निवेशकों की बिकवाली आगे भी जारी रह सकती है। ऐसे में रुपये और शेयर मार्केट में अस्थिरता का दौर बना रहेगा।
विदेशी मुद्रा भंडार में भी आई गिरावट
आरबीआई ने शुक्रवार को बताया था कि कि भारत का विदेशी मुद्रा भंडार एक नवंबर को खत्म सप्ताह में 2.675 अरब डॉलर घटकर 682.13 अरब डॉलर रह गया। पिछले सप्ताह कुल मुद्रा भंडार 3.463 अरब डॉलर घटकर 684.805 अरब डॉलर रह गया था। सितंबर के अंत में मुद्रा भंडार 704.885 अरब डॉलर के सर्वकालिक उच्च स्तर पर पहुंच गया था।
हालांकि, रुपये में कमजोरी के चलते विदेशी मुद्रा भंडार में गिरावट आ रही है। ऐसे में आरबीआई पर भी रुपये में गिरावट रोकने के लिए कदम उठाने का दबाव बढ़ रहा है। हालांकि, एक्सपर्ट का मानना है कि आरबीआई चीनी करेंसी युआन के मुकाबले रुपये को प्रतिस्पर्धी बनाए रखने के वैल्यू में गिरावट की रणनीति बना सकता है।
जीवन प्रमाण पत्र सबमिट करने का तरीका हुआ सरल, एक ऐप से कुछ मिनटों में हो जाएगा काम
11 Nov, 2024 01:27 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
केंद्र और राज्य सरकार द्वारा मिलने वाले पेंशन का लाभ पाने वाले लाभार्थी के लिए नवंबर का महीना काफी अहम रहने वाला है। दरअसल, हर साल नवंबर के महीने सभी पेंशनर्स को लाइफ सर्टिफिकेट जमा करना होता है। पेंशनर्स को यह सर्टिफिकेट 1 नवंबर से 30 नवंबर के बीच सबमिट करना होता है। जिन सीनियर सिटिजन की उम्र 80 साल से ज्यादा होती है वह 1 अक्टूबर से 30 नवंबर के बीच जीवन प्रमाण पत्र जमा कर सकते हैं।
अगर पेंशनर्स समयसीमा के भीतर लाइफ सर्टिफिकेट जमा नहीं करते हैं तो पेंशन रुक सकती है। लाइफ सर्टिफिकेट ऑनलाइन और ऑफलाइन दोनों तरीके से जमा किया जा सकता है। ऑफलाइन सबमिट करने के लिए आपको पेंशन दफ्तर या फिर बैंक ब्रांच जाना होगा। वहीं, पेंशनर्स जीवन प्रमाण पोर्टल पर जाकर आप यह सर्टिफिकेट ऑनलाइन सबमिट कर सकते हैं। हम आपको नीचे बताएंगे कि आप ऑनलाइन कैसे लाइफ सर्टिफिकेट जमा कर सकते हैं।
कैसे सबमिट करें लाइफ सर्टिफिकेट
पेंशनर को सबसे पहले पेंशनर्स जीवन प्रमाण पोर्टल पर जाकर जीवन प्रमाण ऐप को डाउनलोड करना होगा। इसके बाद नीचे दिए गए स्टेप को फॉलो करके वह आसानी से जीवन प्रमाण पत्र जमा कर सकते हैं।
स्टेप 1: ऐप को ओपन करने के बाद आधार नंबर, पीपीओ नंबर , बैंक खाता, बैंक का नाम. मोबाइल नंबर में से कोई एक डिटेल्स दें। इसके बाद गेट ओटीपी पर क्लिक करें।
स्टेप 2: अब ओटीपी दर्ज करें। इसके बाद नाम और ईमेल आईडी भरें। फिर 'स्कैन फिंगर' पर क्लिक करके फिंगर-प्रिंट स्कैन करें। आप फिंगर-प्रिंट स्कैन की जगह पर आईरिस स्कैनर पर आईरिस स्कैन भी कर सकते हैं।
स्टेप 3: अब स्मार्टफोन में 'Device Registration' मैसेज शो होगा। इस के नीचे लिखे ओके पर क्लिक करें।
स्टेप 4: अब ऑथेंटिकेशन और सर्टिफिकेट जनरेट हो जाएगा। इसके बाद दोबारा अपना आधार नंबर और रजिस्टर्ड मोबाइल नंबर दर्ज करें।
स्टेप 5: अब मोबाइल नंबर पर आए ओटीपी को दर्ज करें और ओके को सेलेक्ट करें।
स्टेप 6: इसके बाद स्क्रीन पर शो हो रहे सभी जानकारी (जैसे-नाम, पीपीओ नंबर, पेंशन का प्रकार, सैंक्शनिंग अथॉरिटी का नाम, डिसवर्सिंग एजेंसी, ईमेल और बैंक अकाउंट नंबर आदि) भरें। अब Remarried options, Re-Employed Options में से कोई एक ऑप्शन सेलेक्ट करें।
स्टेप 7: अब 'स्कैन फिंगर' के ऑप्शन को क्लिक करके फिंगर स्कैन करें। फिंगरप्रिंट स्कैन होने के बाद लाइफ सर्टिफिकेट जमा हो जाएगा।
लाइफ सर्टिफिकेट सबमिट होने के बाद रजिस्टर्ड मोबाइल नंबर पर acknowledgement का मैसेज आएगा। इस मैसेज में जीवन प्रमाण प्रमाणपत्र आईडी डिटेल्स होगी। इस डिटेल्स को संभाल कर रखें ताकि आप आसानी से लाइफ सर्टिफिकेट डाउनलोड कर सकते हैं।
लाइफ सर्टिफिकेट डाउनलोड करने के लिए आपको जीवन प्रमाण वेबसाइट (https://jeevanpramaan.gov.in) पर जाकर जीवन प्रमाण आईडी या आधार नंबर देना होगा। इसके बाद आप आसानी से लाइफ सर्टिफिकेट की पीडीएफ कॉपी डाउनलोड कर सकते हैं।
गिरावट के साथ खुला शेयर बाजार; सेंसेक्स 400 अंक नीचे खुला, निफ्टी 24050 के नीचे
11 Nov, 2024 12:51 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
शेयर बाजार में बीते कुछ समय से जारी गिरावट का सिलसिला सोमवार को भी जारी रहा। हफ्ते के पहले कारोबारी दिन शुरुआती कारोबार में सेंसेक्स 484.98 अंक गिरकर 79,001.34 पर पहुंच गया। निफ्टी 143.6 अंक फिसलकर 24,004.60 के स्तर पर कारोबार करता दिखा।
विदेशी फंडों की निरंतर निकासी, निराशाजनक तिमाही आय और एशियाई बाजारों के कमजोर रुख से निवेशकों की धारणा प्रभावित होने से सोमवार को शुरुआती कारोबार में बेंचमार्क संवेदी सूचकांक सेंसेक्स और निफ्टी में गिरावट आई। विदेशी मुद्रा व्यापारियों ने कहा कि इक्विटी बाजार में अस्थिरता जारी रहने की आशंका है। इससे निकट अवधि में गिरावट का माहौल बना रहा सकता है।
शुरुआती कारोबार में बीएसई का सेंसेक्स 484.98 अंक गिरकर 79,001.34 अंक पर आ गया। वहीं एनएसई का निफ्टी 143.6 अंक गिरकर 24,004.60 अंक पर आ गया। सेंसेक्स की 30 शेयरों वाली कंपनी एशियन पेंट्स में 8 प्रतिशत से अधिक की गिरावट आई। कंपनी ने शनिवार को बताया कि सितंबर तिमाही में उसका समेकित शुद्ध लाभ 43.71 प्रतिशत घटकर 693.66 करोड़ रुपये रह गया। कमजोर मांग, सामग्री मूल्य मुद्रास्फीति और घरेलू बाजार में सजावटी तथा कोटिंग कारोबार में गिरावट के कारण यह गिरावट आई।
एक्सिस बैंक, अदाणी पोर्ट्स, नेस्ले, रिलायंस इंडस्ट्रीज, टाटा स्टील और इंडसइंड बैंक भी पिछड़ने वाले शेयरों में शामिल रहे। हालांकि, टाटा मोटर्स, पावर ग्रिड, मारुति और एचसीएल टेक्नोलॉजीज लाभ में रहीं।
एक्सचेंज के आंकड़ों के अनुसार, विदेशी संस्थागत निवेशकों (एफआईआई) ने शुक्रवार को 3,404.04 करोड़ रुपये मूल्य की इक्विटी बेची। मेहता इक्विटीज लिमिटेड के वरिष्ठ उपाध्यक्ष (शोध) प्रशांत तापसे ने कहा कि भारतीय बाजार दबाव में हैं, जिसका मुख्य कारण विदेशी निवेशकों की लगातार बिकवाली है।
एशियाई बाजारों में सियोल, टोक्यो, शंघाई और हांगकांग में गिरावट दर्ज की गई। शुक्रवार को वॉल स्ट्रीट सकारात्मक क्षेत्र में बंद हुआ। जियोजित फाइनेंशियल सर्विसेज के मुख्य निवेश रणनीतिकार वीके विजयकुमार ने कहा, "अमेरिकी बाजारों में निरंतर तेजी, जिसने डॉव और एसएंडपी 500 को क्रमशः 40,000 और 6,000 से ऊपर पहुंचा दिया है, अब भारतीय बाजारों के लिए अनुकूल नहीं रह गई है। इसके विपरीत, भारत में वित्त वर्ष 2025 के लिए उम्मीद से भी खराब आय में गिरावट से शेयर कीमतों पर दबाव पड़ रहा है, जिससे निकट भविष्य में मंदड़ियों को फायदा हो रहा है।"
वैश्विक तेल मानक ब्रेंट क्रूड 0.42 प्रतिशत गिरकर 73.56 डॉलर प्रति बैरल पर आ गया। शुक्रवार को बीएसई का सेंसेक्स 55.47 अंक या 0.07 प्रतिशत की गिरावट के साथ 79,486.32 अंक पर बंद हुआ था। निफ्टी 51.15 अंक या 0.21 प्रतिशत की गिरावट के साथ 24,148.20 अंक पर बंद हुआ था।
तेल कंपनियों ने जारी किए पेट्रोल-डीजल के दाम....
11 Nov, 2024 12:47 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
सरकारी ऑयल मार्केटिंग कंपनियां (OMC) रोजाना सुबह 6 बजे पेट्रोल-डीजल के दाम अपडेट करती हैं। उन्हें यह जिम्मेदारी साल 2017 से मिली है। सरकारी तेल कंपनियां पेट्रोल-डीजल के रेट को क्रूड ऑयल की कीमत के हिसाब से तय करती हैं। आइए जानते हैं कि आज यानी सोमवार (11 नवंबर, 2024) को पेट्रोल और डीजल का क्या रेट है।
अंतरराष्ट्रीय बाजार में क्रूड ऑयल का रेट
आज इंटरनेशनल मार्केट में क्रूड ऑयल की प्राइस में मामूली गिरावट आई है। बेंचमार्क ब्रेंट क्रूड 0.23 फीसदी की गिरावट के साथ 73.70 डॉलर प्रति बैरल पर कारोबार कर रहा है। पिछले एक महीने की बात करें, तो ब्रेंट क्रूड की कीमतों में 7.18 फीसदी की गिरावट आई है। हालांकि, वैश्विक अस्थिरता के चलते सरकारी कंपनियों ने तेल की कीमतों में कोई कमी नहीं की है।
सोमवार (11 नवंबर) को देश के सभी शहरों में फ्यूल प्राइस लगभग जस के तस बने हुए हैं। हालांकि, पेट्रोल और डीजल अभी जीएसटी के दायरे से बाहर हैं और इन पर राज्य सरकारें वैट लगाती हैं। इसलिए अलग-अलग शहरों के हिसाब से इनकी कीमतों में भी अंतर होता है। ऐसे में आपको गाड़ी की टंकी फुल कराने से पहले रेट चेक कर लेना चाहिए। मिसाल के लिए, अगर आप काम के सिलसिले
में नोएडा से दिल्ली जाते हैं, तो आपको फ्यूल दिल्ली में भराना चाहिए, क्योंकि वहां दाम कम होता है।
मेट्रो सिटी में पेट्रोल- डीजल के दाम
दिल्ली में एक लीटर पेट्रोल की कीमत 94.76 रुपये और डीजल की कीमत 87.66 रुपये प्रति लीटर है।
मुंबई में पेट्रोल की कीमत 103.43 रुपये प्रति लीटर और डीजल की कीमत 89.95 रुपये प्रति लीटर है।
कोलकाता में पेट्रोल की कीमत 104.93 रुपये प्रति लीटर और डीजल 91.75 रुपये प्रति लीटर है।
चेन्नई में पेट्रोल की कीमत 100.73 रुपये प्रति लीटर और डीजल की कीमत 92.32 रुपये प्रति लीटर है।
अन्य शहरों में पेट्रोल- डीजल के दाम
नोएडा: पेट्रोल 94.83 रुपये प्रति लीटर और डीजल 87.96 रुपये प्रति लीटर
गुरुग्राम: पेट्रोल 95.19 रुपये प्रति लीटर और डीजल 88.05 रुपये प्रति लीटर
बेंगलुरु: पेट्रोल 102.84 रुपये प्रति लीटर और डीजल 88.92 रुपये प्रति लीटर
चंडीगढ़: पेट्रोल 94.22 रुपये प्रति लीटर और डीजल 82.38 रुपये प्रति लीटर
हैदराबाद: पेट्रोल 107.39 रुपये प्रति लीटर और डीजल 95.63 रुपये प्रति लीटर
जयपुर: पेट्रोल 104.86 रुपये प्रति लीटर और डीजल 90.34 रुपये प्रति लीटर
पटना: पेट्रोल 105.16 रुपये प्रति लीटर और डीजल 92.03 रुपये प्रति लीटर
कहां और कैसे चेक करें लेटेस्ट फ्यूल रेट
सरकारी तेल कंपनियों ने फ्यूल प्राइस को चेक करने के लिए मोबाइल मैसेज की सुविधा भी दी है। साथ ही, आप कंपनियों के वेबसाइट से भी लेटेस्ट रेट चेक कर सकते हैं। यहां तक कि कंपनियों के ऑफिशियल ऐप्स के जरिये भी लेटेस्ट रेट चेक किया जा सकता है।
भारत में ओबेन रार ईझेड इलेक्ट्रिक बाइक उपलब्ध
10 Nov, 2024 07:15 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
नई दिल्ली। भारतीय बाजार में अब ओबेन रार ईझेड इलेक्ट्रिक बाइक उपलब्ध है। बाइक की शुरुआती कीमत 89,999 रुपए एक्स-शोरूम है। यह कीमत एक इंट्रोडक्ट्री ऑफर के तहत सीमित समय के लिए लागू है। इस बाइक की बुकिंग भी कंपनी ने शुरू कर दी है।
ग्राहक केवल 2,999 रुपए का टोकन अमाउंट देकर इसे बुक कर सकते हैं। ओबेन रार ईझेड को तीन बैटरी वेरिएंट्स में पेश किया गया है: 2.6केडब्ल्यूएच, 3.4केडब्ल्यूएच, और 4.4केडब्ल्यूएच। 2.6केडब्ल्यूएच बैटरी वेरिएंट को फुल चार्ज करने पर यह 110 किलोमीटर तक रेंज देता है, और इसे चार्ज करने में 45 मिनट का समय लगता है। 3.4केडब्ल्यूएच वेरिएंट 140 किलोमीटर की रेंज देता है, और इसे फुल चार्ज करने में 1.5 घंटे का वक्त लगता है। सबसे बड़ा 4.4केडब्ल्यूएच बैटरी वेरिएंट 175 किलोमीटर तक की दूरी तय कर सकता है, जिसे चार्ज होने में 2 घंटे का समय लगता है।
इस बाइक की टॉप स्पीड 95 किलोमीटर प्रति घंटा है और यह केवल 3.3 सेकंड में 0 से 40 किलोमीटर प्रति घंटे की गति पकड़ सकती है। इसके अलावा, बाइक में आईपी67 प्रमाणित बैटरी पैक, 52 एनएम का पीक टॉर्क, राउंड एलईडी हेडलाइट, और डिजिटल इंस्ट्रूमेंट क्लस्टर जैसी सुविधाएं भी दी गई हैं। इसके अलावा, इसे ओबेन के सिग्नेचर नियो-क्लासिक डिज़ाइन में डिजाइन किया गया है और इसमें तीन ड्राइव मोड इको, सिटी, और हैवॉक भी दिए गए हैं।
भारत में एसयूवी स्कोडा क्यालॉक लॉन्च
10 Nov, 2024 06:15 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
नई दिल्ली। भारतीय बाजार में स्कोडा इंडिया ने अपनी नई बहुप्रतीक्षित कॉम्पैक्ट एसयूवी स्कोडा क्यालॉक को लॉन्च कर दिया है। यह कार स्कोडा की ओर से भारतीय बाजार में पहली बार पेश की गई एक सब-कॉम्पैक्ट एसयूवी है, और इसकी शुरुआती कीमत रुपए 7.89 लाख (एक्स-शोरूम) रखी गई है।
ग्राहकों के बीच इस एसयूवी को लेकर उत्साह देखने को मिल रहा है, और कंपनी ने इसे इस सेगमेंट में एक नई शुरुआत बताया है। स्कोडा क्यालॉक के नाम के बारे में एक दिलचस्प कहानी है। कंपनी ने एक कंपीटिशन आयोजित किया था, जिसमें दो लाख से अधिक लोग अपने नाम के सुझाव भेज चुके थे। इसके बाद, सबसे ज्यादा वोट क्यालॉक नाम को मिले, जो माउंट कैलाश और क्रिस्टल से प्रेरित है, और इस एसयूवी को शक्तिशाली व स्थिर प्रतीक प्रदान करता है। स्कोडा क्यालॉक का डिजाइन बेहद आकर्षक और आधुनिक है। यह कार एमक्यूबी एओ-इन प्लेटफॉर्म पर आधारित है, जो स्कोडा और फॉक्सवैगन द्वारा विकसित किया गया है। कार का फ्रंट लुक दमदार और बोल्ड है, जिसमें स्प्लिट हेडलाइट्स, स्क्वॉयर्ड-ऑफ टेल-लाइट्स, और बटरफ्लाई ग्रिल जैसी डिजाइन एलिमेंट्स हैं। कार की लंबाई 3995 मिमी है, और व्हीलबेस 2566 मिमी, जो इस सेगमेंट की अन्य एसयूवी के मुकाबले लंबा है, जिससे यह अधिक स्पेस और आराम प्रदान करता है। स्कोडा क्यालॉक में 1.0 लीटर टीएसआई टर्बो-पेट्रोल इंजन है, जो 115 पीएस की पावर और 178 एनएम का टॉर्क जनरेट करता है। यह इंजन 6-स्पीड मैन्युअल और टॉर्क कन्वर्टर ऑटोमेटिक ट्रांसमिशन विकल्पों के साथ आता है। यह एसयूवी महज 10.5 सेकंड में 0 से 100 किमी/घंटा की रफ्तार पकड़ सकती है, जो इसे इस सेगमेंट की सबसे तेज़ एसयूवी बनाती है।
सुरक्षा के मामले में भी स्कोडा क्यालॉक बेहद मजबूत है। इसमें 6 एयरबैग, एबीएस के साथ ईबीडी, इलेक्ट्रॉनिक स्टेबिलिटी कंट्रोल, इलेक्ट्रॉनिक डिफरेंशियल लॉक, और इसोफिक्स चाइल्ड सीट माउंट जैसी सुविधाएं दी गई हैं। इस कार को एमक्यूबी एमक्यूबी एओ-इन प्लेटफॉर्म पर तैयार किया गया है, जो पहले से ही सुरक्षा के मामले में स्कोडा और वोक्सवैगन की अन्य कारों के लिए जाना जाता है। इसमें 10 इंच का टचस्क्रीन इंफोटेनमेंट सिस्टम, सिंगल-पैन सनरूफ, कीलेस एंट्री, वायरलेस फोन चार्जिंग, और वायरलेस एंड्रॉइड ऑटो और एप्पल कारप्ले जैसी सुविधाएं दी गई हैं। इसके अलावा, इसमें फ्रंट सीट वेंटिलेशन, लेदर अपहोल्स्ट्री, और पावर्ड सीट एडजस्टमेंट जैसी प्रीमियम सुविधाएँ भी हैं।
पावर फाइनेंस ने शापूरजह ग्रुप को कर्ज देने से किया इनकार
10 Nov, 2024 05:15 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
नई दिल्ली । देश की सरकारी कंपनी पावर फाइनेंस कॉरपोरेशन लिमिटेड (पीएफसी) ने शापूरजी पल्लोनजी ग्रुप को कर्ज देने से मना कर दिया है, जिससे इस बड़ी कंपनी की कर्ज पुनर्वित्त योजना पर संकट गहरा गया है। पीएफसी की एक वरिष्ठ अधिकारी ने एक विश्लेषक कॉल में बताया कि बोर्ड ने इस लोन को मंजूरी न देने का निर्णय लिया है। उन्होंने कहा कि पीएफसी ने इस मामले की गहन जांच-पड़ताल की और पाया कि यह कंपनी के लिए नया सेक्टर है, जिसमें फंडिंग करना सरल नहीं होगा। बोर्ड ने करीब 20,000 करोड़ रुपये (2.4 अरब डॉलर) के लोन को अस्वीकार करने का अंतिम फैसला लिया। शापूरजी पल्लोनजी ग्रुप, जो भारतीय अरबपति शापूर मिस्त्री के नियंत्रण में है, ने पुराने कर्ज को रिफाइनेंस करने के लिए पीएफसी से यह लोन मांगा था। पीएफसी से कर्ज न मिलने पर अब इस समूह को अपनी फंडिंग जरूरतों को पूरा करने के लिए कोई नया विकल्प तलाशने होगा। इस बीच शापूरजी पल्लोनजी ग्रुप की इंजीनियरिंग और कंस्ट्रक्शन शाखा, अफकॉन्स इंफ्रास्ट्रक्चर लिमिटेड ने हाल ही में शेयरों की बिक्री के माध्यम से पूंजी जुटाई है। इस शेयर बिक्री के दौरान संस्थापक गोस्वामी इन्फ्राटेक प्राइवेट लिमिटेड ने 41.8 अरब रुपये के शेयर बेचे, जिससे कंपनी की वित्तीय आवश्यकताओं को पूरा करने में सहायता मिली है। शापूरजी पल्लोनजी ग्रुप के लिए यह स्थिति चुनौतीपूर्ण है, क्योंकि पीएफसी से कर्ज मिलने पर इसे अपने मौजूदा वित्तीय दायित्वों को पुनर्वित्त करने में मदद मिल सकती थी। अब कंपनी को कर्ज जुटाने के लिए अन्य स्रोतों की तलाश करनी पड़ेगी।
एयरलाइन के पास वित्त वर्ष 25 के अंत तक होंगे 110 विमान!
10 Nov, 2024 04:15 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
नई दिल्ली । एयर इंडिया (एआई) एक्सप्रेस ने अपनी नई रूट प्लान जारी किया है, जिसके तहत वे छोटे शहरों और कस्बों को महानगरों से जोड़ने के साथ ही नए विदेशी गंतव्यों के लिए भी एक्सप्रेस उड़ानें भरेंगे।एयरलाइन के पास लगभग 90 विमानों का बेड़ा है और चालू वित्त वर्ष के अंत तक यह संख्या 110 को पार कर सकती है। कंपनी का लक्ष्य मार्च, 2025 के अंत तक कुल 55 गंतव्यों के लिए उड़ानें भरना है। एयर इंडिया एक्सप्रेस के मुख्य वाणिज्यिक अधिकारी (सीसीओ) ने इस बारे में एक बयान जारी किया, कहते हैं, टियर-2 और टियर-3 शहरों और कस्बों पर जो सेवाएं शुरू होंगी, उनमें बाजार का सबसे बड़ा हिस्सा फालोवा में गैर-मेट्रो शहरों को शामिल किया गया है।एयर इंडिया एक्सप्रेस की यह नई योजना उड़ानें बढ़ाने के लिए एक महत्वपूर्ण कदम है, जो छोटे शहरों को विभिन्न गंतव्यों तक जोड़ने में मदद करेगा। इससे यात्रियों को अधिक विकल्प मिलेंगे और नए गंतव्यों का विकास होगा।यह योजना टाटा समूह के स्वामित्व वाली एयरलाइन थाईलैंड के बैंकॉक और फुकेट जैसे और विदेशी गंतव्यों के लिए भी सेवाएं शुरू करने की योजना बनाता है।आगे की योजनाओं में मलेशिया, हांगकांग और अन्य सीआईएस देशों के लिए भी उड़ानें जोड़ने की संभावनाएं शामिल हैं। इससे एयर इंडिया एक्सप्रेस अगले कुछ सालों में विस्तारित होकर एक महत्वपूर्ण खिलाड़ी बन सकती है।