मध्य प्रदेश
जनरल उपेंद्र द्विवेदी ‘विंध्य की माटी का गौरव’: उप मुख्यमंत्री शुक्ल
16 Apr, 2025 09:45 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
भोपाल : उप मुख्यमंत्री राजेन्द्र शुक्ल ने आज अपने भोपाल स्थित निज निवास पर भारतीय थलसेना अध्यक्ष जनरल उपेंद्र द्विवेदी एवं उनकी धर्मपत्नी का सपरिवार आत्मीय स्वागत एवं अभिनंदन किया। उप मुख्यमंत्री शुक्ल ने कहा कि विंध्य अंचल की धरती से निकलकर भारतीय सेना के सर्वोच्च पद पर पहुंचे जनरल उपेंद्र द्विवेदी ‘विंध्य की माटी के गौरव’ हैं।
उप मुख्यमंत्री शुक्ल ने जनरल उपेंद्र द्विवेदी को देश की सीमाओं की सुरक्षा में उनकी वीरता, नेतृत्व क्षमता एवं अनुकरणीय सेवाओं के लिए हार्दिक शुभकामनाएं दीं। उन्होंने कहा कि जनरल द्विवेदी विंध्य क्षेत्र के उन अनमोल रत्नों में से हैं, जिन पर सम्पूर्ण प्रदेश को गर्व है। उप मुख्यमंत्री शुक्ल ने कहा कि जनरल द्विवेदी जैसे व्यक्तित्वों से युवा पीढ़ी को प्रेरणा मिलती है।
राज्य के आर्थिक और सामाजिक विकास में आधी आबादी की पूरी भूमिका हो : मुख्यमंत्री डॉ. यादव
16 Apr, 2025 09:30 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
भोपाल : मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा है कि माताओं, बहनों और बेटियों के हित में हमारी सरकार हमेशा उनके साथ हैं। इनके लिए सरकार कोई कसर नहीं रखेगी। बहनों को हमारी सरकार उनका हर वाजिब हक दिलायेगी। राज्य के आर्थिक और सामाजिक विकास में आधी आबादी की पूरी भूमिका हो, इसे बढ़ाने के लिए कई महत्वपूर्ण निर्णय लिए गए हैं। देश की राजनीति में महिलाओं का प्रतिनिधित्व बढ़े, इसके लिए आगामी वर्षों में लोकसभा और विधानसभा में 33 प्रतिशत महिला आरक्षण का लाभ मिलेगा। मध्यप्रदेश सरकार पहले ही निकाय चुनावों में महिलाओं के लिए 50 प्रतिशत आरक्षण लागू कर चुकी है।
मुख्यमंत्री डॉ. यादव बुधवार को मंडला जिले के टिकरवारा गांव में जनसभा को संबोधित कर रहे थे। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने यहाँ आयोजित राज्य स्तरीय कार्यक्रम में प्रदेश की लाड़ली बहनों सहित अन्य योजनाओं के हितग्राहियों को सिंगल क्लिक के जरिए 2500 करोड़ से अधिक की सम्मान एवं सहायता राशि अंतरित की। उन्होंने भारतीय महिला क्रिकेट टीम में चयनित होने के लिए सुशुचि उपाध्याय का मंच से अभिनंदन भी किया। कार्यक्रम में मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने विभिन्न योजनाओं में हितलाभ और युवाओं को नियुक्ति-पत्र भी वितरित किये।
मंडला को मिली 232 करोड़ के विकास कार्यों की सौगात
मुख्यमंत्री डॉ. यादव द्वारा प्रदेश की 1.27 करोड़ बहनों को 1552.38 करोड़ रुपए, 56.68 लाख सामाजिक सुरक्षा पेंशन हितग्राहियों को 340 करोड़ रुपए, प्रधानमंत्री उज्ज्वला गैस योजना में पात्र 25 लाख बहनों को 450 रुपए में सिलेंडर रिफिलिंग के लिए 57 करोड़ रुपए की राशि अंतरित की गई। सरकार द्वारा अब तक लाड़ली बहनों को 36 हजार 500 करोड़ रुपए से अधिक की सम्मान राशि प्रदान की जा चुकी है।
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने मंडला के विकास को गति देने के लिए 232 करोड़ रुपए की लागत वाले 66 विकास कार्यों का लोकार्पण और भूमि-पूजन किया। लोक स्वास्थ्य यांत्रिकी मंत्री श्रीमती संपतिया उइके की मांग पर मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने मंडला जिले में सुरखी-इंद्री मार्ग पर 16 करोड़ 61 लाख रुपए की लागत से नया पुल बनाने और बंजर नदी में नवनिर्मित एक अन्य पुल का लोकार्पण कर इसका नामकरण अमर शहीद शंकर शाह रघुनाथ शाह सेतु करने की घोषणा की। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि मंडला के विकास में सरकार कोई भी कमी नहीं छोड़ेगी।
परिणय सूत्र में बंधे 1100 नवविवाहित दंपत्तियों को दिया आशीर्वाद
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने मुख्यमंत्री कन्या विवाह/निकाह योजना के अंतर्गत सामूहिक विवाह समारोह में परिणय-सूत्र में बंधे 1100 से अधिक नवविवाहित दंपत्तियों पर पुष्प वर्षा कर आशीर्वाद प्रदान किया। उन्होंने कहा कि आज नवविवाहित दंपत्तियों को 49-49 हजार की राशि प्रदान की गई है। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि 16 संस्कारों में विवाह सबसे बड़ा होता है। नवदंपत्ति नए संकल्पों के साथ सपनों का संसार बसाने के लिए आगे बढ़ते हैं। उन्होंने कहा कि जीवन में कमाई का एक हिस्सा बचाएं जिससे भविष्य में अपने साथ बच्चों का भविष्य भी सुरक्षित हो सके। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने लोगों से विवाह समारोह पर बेहिसाब खर्च से बचने का सुझाव देते हुए कहा कि कन्या विवाह/निकाह योजना के सामूहिक विवाह में शामिल होकर कोई भी कम खर्च में धूमधाम से शादी कर सकता है। उन्होंने आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग एवं किसानों को शादियों में टीका, दहेज और मृत्यु भोज के लिए कर्ज न लेने की सलाह दी। मुख्यमंत्री ने कहा कि ऐसी कुरीतियों से समाज का विकास बाधित होता है। इसके बजाय सभी जनजातीय बंधु अपने बच्चों को पढ़ायें, लिखायें और उन्हें अपने जीवन में आगे बढ़ने के लिए समर्थ बनायें। उन्होंने कहा कि एक सुसंस्कृत बच्चा ही सशक्त समाज के निर्माण में योगदान देता है। अपने बच्चों को सामर्थ्यवान बनाना ही राष्ट्र निर्माण है, सच्ची राष्ट्र सेवा है।
लाड़ली बहनों को आत्मनिर्भर और सशक्त बनाने के लिए संकल्पित
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि हमारी सरकार लाड़ली बहनों को आत्मनिर्भर और सशक्त बनाने के लिए संकल्पित है। महिलाओं को सुरक्षा, सम्मान, स्वाभिमान और समृद्धि प्रदान करने के लिए हर महीने बहनों के खातों में राशि भेजकर रक्षाबंधन मनाया जा रहा है। अगर बहनों के हाथ में कुछ पैसा आए वो पूरे घर का समुचित प्रबंधन करती हैं। आज बहनों को उज्ज्वला योजना, पक्के मकान जैसी योजनाओं का लाभ मिल रहा है। प्रदेश सरकार नागरिकों के सुख-दुख की चिंता करते हुए गरीब, महिला, युवा और किसान सभी वर्गों के कल्याण के लिए प्रयासरत है। किसानों को आत्मनिर्भर बनाने के लिए सोलर पंप बांटे जाएंगे, जिसका लाभ प्रदेश के 5 से 10 हॉर्स पॉवर पंप वाले किसानों को मिलेगा। साथ ही बिजली विभाग सरप्लस बिजली किसानों से खरीदेगा। उन्होंने कहा कि केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह के मार्गदर्शन में सहकारिता के माध्यम से किसान और पशुपालकों की आय बढ़ाने के लिए नई योजना शुरू की गई है, 25 गाय-भैंस पालने पर 25 प्रतिशत अनुदान का प्रावधान है। राज्य सरकार ने शासकीय गौशालाओं के लिए अनुदान राशि भी 20 से बढ़ाकर 40 रुपए की है। हमारी सरकार घर-घर गोकुल बनाने की दिशा में कार्य कर रही है।
हर ब्लॉक में एक वृंदावन ग्राम बनाया जाएगा
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने मां नर्मदा और रानी दुर्गावती को नमन करते हुए कहा कि मां नर्मदा ने महाकौशल से मालवा और गुजरात तक लोगों को जीवन दिया है। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के मार्गदर्शन में बुंदेलखंड में सिंचाई व्यवस्था के लिए केंद्र सरकार ने 1 लाख करोड़ की राशि प्रदान की है। बुंदेलखंड की धरती वीरों की धरती है। यहां काल के प्रवाह में पानी की कमी से पलायन होने लगा था। केंद्र सरकार के सहयोग से केन-बेतवा, पार्वती-कालीसिंध-चंबल नदी जोड़ो परियोजनाओं का लाभ मध्यप्रदेश के कई जिलों को मिलेगा। उन्होंने कहा कि महारानी दुर्गावती द्वारा जल संचय के लिए तैयार संरचनाओं से सीख लेनी चाहिए। उन्होंने कहा कि हमारी सरकार ने प्रदेश के हर ब्लॉक में एक गांव को वृंदावन ग्राम के रूप में विकसित करने का निर्णय लिया है।
लोक स्वास्थ्य यांत्रिकी मंत्री श्रीमती संपतिया उइके ने कहा कि उनके लिए यह यादगार दिन है, क्योंकि वे कभी टिकरवारा गांव की सरपंच थीं और आज सरकार में मंत्री हैं।
मंडला सांसद फग्गन सिंह कुलस्ते ने कहा कि मुख्यमंत्री डॉ. यादव के नेतृत्व में पूरे प्रदेश में सिंचाई का रकबा बढ़ा है, जिसके लाभ से मंडला और डिंडौरी भी अछूता नहीं रहा है। उन्होंने मंडला के जनजातीय क्षेत्रों में विकास कार्यों के लिए विशेष पैकेज देने पर राज्य सरकार का अभिनंदन किया।
कार्यक्रम में विधायक नारायण पट्टा, विधायक चैनसिंह वरकड़े, नगर पालिका अध्यक्ष मंडला श्रीमती कृष्णा पंजवानी, प्रफुल्ल श्रीवास्तव सहित बड़ी संख्या में हितग्राही और दूर-दराज से आए क्षेत्रीय ग्रामीण एवं जनजातीय बंधु उपस्थित थे।
जेनेटिक काउंसलिंग में समुदाय का सहयोग लिया जाए : राज्यपाल पटेल
16 Apr, 2025 09:15 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
भोपाल : राज्यपाल मंगुभाई पटेल ने कहा है कि सिकल सेल उन्मूलन प्रयासों में जेनेटिक काउंसलिंग की भूमिका बहुत महत्वपूर्ण है। जेनेटिक काउंसलिंग कार्य में मध्यस्थों की भूमिका की संभावनाओं पर कार्य करते हुए समुदाय का सहयोग प्राप्त किया जाए। उन्होंने कहा है कि सिकल सेल एनीमिया आनुवंशिक रोग है। रोग को खत्म करने के लिए वैवाहिक और गर्भधारण संबंधी सावधानियां के बारे में सामुदायिक जन जागृति की दिशा में प्रभावी पहल जरूरी है। जेनेटिक काउंसलिंग कार्य में समुदाय के नेतृत्व और पंचायत पदाधिकारियों का सहयोग भी लिया जाना चाहिए।
राज्यपाल पटेल राजभवन में जनजातीय प्रकोष्ठ के तत्वावधान में आयोजित समीक्षा बैठक की अध्यक्षता कर रहे थे। बैठक में उपमुख्यमंत्री राजेंद्र शुक्ल, आयुष मंत्री इंदर सिंह परमार भी मौजूद थे।
राज्यपाल पटेल ने कहा कि रोगी को स्वस्थ बनाने के सकारात्मक दृष्टिकोण के साथ प्रमाणित औषधियों और चिकित्सा पद्धतियों को स्वीकार किया जाना चाहिए। मध्यप्रदेश के वनों में प्रचुर मात्रा में वन औषधियों की उपलब्धता है। इन औषधियों के सिकल सेल रोगी को स्वस्थ बनाने के अनुभवों और उपयोग के परीक्षणों के प्रमाणीकरण का कार्य व्यापक स्तर पर तेज गति से किया जाए। लक्ष्य समस्त रोगी और वाहकों को स्वास्थ सुविधा उपलब्ध कराना होना चाहिए। उन्होंने कहा कि सिकल सेल एक जटिल रोग है, जो लगभग 21 प्रकार के रोगों का कारण बन सकता है। जरूरी है कि रोग प्रबंधन के कार्य बहुआयामी और एकीकृत स्वरूप में किए जाएं। समस्त रोगियों की उपचार व्यवस्थाओं के साथ ही वाहकों को भी आवश्यक स्वास्थ्य संबंधी सहयोग प्रदान किया जाए। स्वस्थ जीवन शैली के लिए मार्गदर्शन दिया जाए। राज्यपाल पटेल ने कहा कि रोग नियंत्रण प्रयासों को व्यक्ति केंद्रित किया जाए। हर स्तर पर औषधियों की पर्याप्त उपलब्धता हो। समस्त रोगियों और वाहकों को उपचार,औषधि और जेनेटिक काउंसलिंग की सेवाएं उपलब्ध हो। उन्होंने छात्रावासों के भोजन में लौह तत्व की उपलब्धता वाले खाद्य पदार्थों को जोड़ने की जरूरत बताई है। गर्भवती महिलाओं की सिकल सेल जांच, जेनेटिक परामर्श और नवजात शिशुओं के वैक्सीनेशन के प्लेटफार्म के रूप में आंगनवाड़ियों को शामिल करने के लिए कहा है।
बैठक में जनजाति प्रकोष्ठ के अध्यक्ष दीपक खांडेकर, राज्यपाल के अपर मुख्य सचिव के.सी. गुप्ता, प्रमुख सचिव आयुष डी.पी. आहूजा, प्रमुख सचिव लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा संदीप यादव एवं अन्य वरिष्ठ विभागीय अधिकारी उपस्थित थे।
सिकल सेल औषधियां विशेष पिछड़ी जनजातीय क्षेत्रों की मोबाइल मेडिकल यूनिट में उपलब्ध हो : राज्यपाल श्री पटेल
16 Apr, 2025 09:00 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
भोपाल :राज्यपाल मंगुभाई पटेल ने कहा है कि पीएम जनमन योजना अंतर्गत दूररस्थ अंचलों के लिए संचालित मोबाइल मेडिकल यूनिट को सराहनीय पहल बताया है। उन्होंने बैगा, भारिया और सहरिया जनजातीय अंचलों में संचालित मोबाइल मेडिकल यूनिट में सिकल सेल एनीमिया रोग की दवाईयों सहित आवश्यक व्यवस्थाएं सुनिश्चित करने के लिए कहा है।
राज्यपाल पटेल वन एवं जनजातीय कार्य विभाग की योजनाओं की समीक्षा कर रहे थे। समीक्षा बैठक का आयोजन जनजातीय प्रकोष्ठ के तत्वावधान में जवाहर खण्ड राजभवन में किया गया था। राज्यपाल पटेल ने वन अधिकार अधिनियम 2006 क्रियान्वयन कार्य की समीक्षा की। सामुदायिक और व्यक्तिगत वन अधिकारों, वन संसाधन संरक्षण, वन ग्राम के राजस्व ग्रामों में संपरिवर्तन के कार्य की प्रगति से भी अवगत हुए। उनके समक्ष जनजातीय कार्य विभाग अंतर्गत प्रधानमंत्री जनजातीय आदिवासी न्याय महा अभियान योजना अंतर्गत किए जाने वाले कार्यों की जानकारी प्रस्तुत की गई।
राज्यपाल पटेल ने कहा कि पीएम जनमन आवास योजना अंतर्गत बनने वाले मकानों की डिजाइनिंग, आकार के प्रारूप के संबंध में राज्य स्तर से मार्गदर्शन उपलब्ध कराया जाना चाहिए। कार्य की गुणवत्ता को सुनिश्चित करने के लिए अधिकारियों के द्वारा निर्माण कार्य का क्षेत्र निरीक्षण भी किया जाना चाहिए। उन्होंने कहा कि योजना के हितग्राही को आवास की डिजाइनिंग और आकार में परिवार की जरूरतों, प्रकाश और हवा के समुचित प्रबंध करने के लिए आवश्यक सहयोग दिया जाना चाहिए। उन्होंने कहा कि अभियान अवधि के अंतर्गत निर्धारित लक्ष्यों की समय सीमा में पूर्ति भी सुनिश्चित की जाए। राज्यपाल पटेल ने कहा कि जनजातीय प्रकोष्ठ द्वारा त्रैमासिक आधार पर विभागीय समीक्षा बैठकें आयोजित की जाए। बैठक में संबंधित विभाग द्वारा विगत तीन माह की अवधि में विभागीय योजनाओं, कार्यों की प्रगति की संकलित जानकारी प्रस्तुत की जाए।
बैठक में अपर मुख्य सचिव वन अशोक बर्णवाल, राज्यपाल के अपर मुख्य सचिव के.सी. गुप्ता, प्रमुख सचिव जनजातीय कार्य गुलशन बामरा, उपसचिव श्रीमती वंदना वैद्य, प्रधान मुख्य वन संरक्षक वी.एन. अंबाडे, प्रबंध संचालक राज्य लघु वनोपज सहकारी संघ विभाष ठाकुर, सचिव वन अतुल मिश्रा एवं अन्य वरिष्ठ अधिकारी मौजूद थे।
किसानों के लिए सीएम डॉ. मोहन ने बड़ा ऐलान! किसान कर्ज खुद वहन करेगी सरकार
16 Apr, 2025 08:00 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
भोपाल: मध्य प्रदेश के किसानों के लिए सीएम डॉ. मोहन यादव ने बड़ा ऐलान किया है. उन्होंने कहा है कि सहकारी बैंकों से किसानों के कर्ज की राशि पर ब्याज राज्य सरकार वहन करेगी. भारतीय किसान संघ के प्रतिनिधिमंडल ने सीएम डॉ. मोहन यादव से मुलाकात की. संघ के पदाधिकारियों ने भूमि अधिग्रहण संशोधन प्रारूप मामले में कुछ सुझाव दिए और सहकारी बैंकों का कर्ज 31 मार्च तक जमा नहीं कर पाने के कारण डिफॉल्ट हुए किसानों का मुद्दा उठाया. इस पर मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा कि किसानों का ब्याज सरकार भरेगी, उन्हें चिंता करने की जरूरत नहीं है. भारतीय किसान संघ के प्रतिनिधिमंडल ने सीएम को राज्य सरकार के भूमि अधिग्रहण संशोधन प्रारूप के मामले में किसानों की चिंताओं से अवगत कराया और अपना पक्ष रखा. किसान संघ ने सीएम डॉ. मोहन यादव से कहा कि किसानों की सलाह और उन्हें विश्वास में लिए बिना भूमि अधिग्रहण नहीं किया जाना चाहिए. तीनों प्रांतों, प्रदेश पदाधिकारियों और भारतीय किसान संघ के अखिल भारतीय पदाधिकारियों के सामने प्रदेश पदाधिकारियों ने मध्य प्रदेश नगर तथा ग्राम निवेश (संशोधन) विधेयक 2025 का प्रजेंटेशन दिया। इसके बाद किसान संघ ने सीएम के सामने ही इस पर सुझाव दिए।
2025 के डिफॉल्टर किसानों का ब्याज भरेगी सरकार
किसान संघ ने सहकारी बैंकों का 31 मार्च तक कर्ज न चुकाने के कारण डिफॉल्टर हुए किसानों का मुद्दा भी उठाया। इस मामले पर सीएम डॉ. मोहन यादव ने किसान संघ से कहा कि किसानों को इसकी चिंता करने की जरूरत नहीं है। ऐसे किसानों का सहकारी बैंकों का ब्याज राज्य सरकार भरेगी। मध्य प्रदेश में कुल 4523 प्राथमिक कृषि साख सहकारी समितियां हैं। इन समितियों से किसानों को खाद, बीज और अन्य कृषि कार्यों के लिए कृषि ऋण (सहकारी बैंक ऋण) दिया जाता है। खास बात यह है कि इस कृषि ऋण की ब्याज दर जीरो फीसदी होती है, यानी किसानों को बिना ब्याज के ऋण मिल जाता है, लेकिन अगर किसान डिफॉल्टर हो जाते हैं तो उन पर ब्याज लगना शुरू हो जाता है। ब्याज की रकम ज्यादा होने से किसान ज्यादा परेशान होता है। निर्धारित अवधि में ऋण न चुकाने वाले किसानों से समितियां आधार दर के साथ दंडात्मक ब्याज भी वसूलती हैं।
मध्यप्रदेश कृषक कल्याण मिशन किसानों के समग्र विकास की दिशा में एक ऐतिहासिक पहल: मुख्यमंत्री डॉ. यादव
16 Apr, 2025 07:00 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
भोपाल: मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा है कि मध्यप्रदेश कृषि आधारित राज्य है और इस क्षेत्र में यहां अपार संभावनाएं हैं। किसानों की आय, कृषि उत्पादन, पशुपालन, मत्स्य पालन में वृद्धि के साथ-साथ खाद्य प्र-संस्करण और कृषि से उत्पादित कच्चे माल पर आधारित औद्योगिक इकाई स्थापित करने जैसे हर संभव प्रयास जारी हैं। किसानों और गौपालकों की आय बढ़ाने के साथ-साथ कुपोषण दूर करने की दिशा में सरकार योजनाबद्ध तरीके से पूरी ऊर्जा के साथ कार्य कर रही है।
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि राज्य में दुग्ध उत्पादन बढ़ाने के लिए महत्वपूर्ण योजनाएं तैयार की जा रही हैं। मध्यप्रदेश में वर्तमान दुग्ध उत्पादन 9 प्रतिशत से बढ़ाकर जल्द से जल्द 20 प्रतिशत तक करने के लिए राज्य सरकार ने डॉ. भीमराव अम्बेडकर कामधेनु योजना प्रारंभ की है। इससे हम घर-घर गोकुल तैयार करने की दिशा में आगे बढ़ेंगे। उन्होंने कहा कि हमने गौशालाओं में दुधारू पशुओं के लिए भी अनुदान राशि बढ़ाने का भी निर्णय लिया है।
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने बुधवार को मीडिया को जारी संदेश में कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी की विकसित भारत @2047 के विजन के अनुरूप हमारी सरकार ने गरीब, युवा, अन्नदाता (किसान) और नारी कल्याण के लिए मिशन शुरू कर दिए हैं। मंत्रि-परिषद की गत दिवस मंगलवार को बैठक में मध्यप्रदेश कृषक कल्याण मिशन को सैद्धांतिक स्वीकृति दे दी गई है। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार मध्यप्रदेश को विशेषकर गरीबों औरकिसानों को आर्थिक रूप से सुखी और समृद्ध बनाने के लिए प्राण-प्रण से कार्य कर रही है।
BJP प्रदेश अध्यक्ष वीडी शर्मा विपक्ष पर आरोप लगाते हुए बोले- कांग्रेस का विरोध प्रदर्शन केवल भ्रष्टाचार को छिपाना और कुछ नहीं...
16 Apr, 2025 06:43 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
भोपाल: बुधवार 16 अप्रैल को प्रदेश अध्यक्ष विष्णुदत्त शर्मा ने भोपाल स्थित भाजपा प्रदेश कार्यालय में पत्रकार वार्ता को संबोधित किया। उन्होंने कहा कि कांग्रेस पार्टी हमेशा से झूठ, छल और धोखाधड़ी की राजनीति करती आई है। नेशनल हेराल्ड मामले पर उसका विरोध भी चोरी और अहंकार का बेहतरीन उदाहरण है। कांग्रेस को तकनीकी और कानूनी आधार पर न्यायालय में अपना पक्ष रखना चाहिए।
आंतरिक षड्यंत्र किसने रचा, कांग्रेस करे पता?
भाजपा प्रदेश अध्यक्ष शर्मा ने कहा कि मैं कांग्रेस के मित्रों से पूछना चाहता हूं कि यदि ईडी की चार्जशीट में सोनिया गांधी, राहुल गांधी और सैम पित्रोदा का नाम आया है तो उनके खिलाफ षड्यंत्र किसने रचा? चूंकि यह मामला मोदी सरकार के आने से पहले का है, इसलिए कांग्रेस पार्टी को इस मुद्दे पर राजनीति करने का कोई औचित्य नहीं है।
90 करोड़ का कर्जदार करोड़ों का मालिक बन गया
भाजपा प्रदेश अध्यक्ष शर्मा ने कहा कि तकनीकी दृष्टि से देखा जाए तो भारत के इतिहास में यह एक अजीब मामला है, जिसमें 90 करोड़ की देनदारी वाली कंपनी हजारों करोड़ की संपत्ति वाली कंपनी बन गई। इस कंपनी के 76 प्रतिशत शेयर यानी तीन-चौथाई सोनिया गांधी और राहुल गांधी के पास थे।
नेशनल हेराल्ड मामला कॉरपोरेट साजिश का नतीजा
भाजपा प्रदेश अध्यक्ष शर्मा ने कहा कि नेशनल हेराल्ड अखबार 1937 में शुरू हुआ था। उस समय यह नेहरू परिवार की संपत्ति नहीं थी। इसके 5000 शेयरधारक थे। इसके लिए कई लोगों ने योगदान दिया था। नेशनल हेराल्ड 2008 में बंद हो गया। तब कांग्रेस ने इस अखबार को 90 करोड़ का लोन दिया था।
संवैधानिक संस्थाओं का अपमान करना इनकी की पुरानी आदत
भाजपा प्रदेश अध्यक्ष शर्मा ने कहा कि कांग्रेस सरकारों का जब भी मन हुआ, उन्होंने संविधान पर हमला किया और उसमें संशोधन किया। कांग्रेस सरकार ने देश में लोकतंत्र की हत्या की। संवैधानिक संस्था होने के नाते संसद देश में कानून बनाती है।
नेशनल हेराल्ड कालेधन को सफेद करने का माध्यम
मीडिया लोकतंत्र का चौथा स्तंभ है। देश में जनता की आवाज उठाने के लिए कई अखबार और चैनल आए। वे आज भी चल रहे हैं। ऐसे में जिस अखबार को कांग्रेस सरकार का पूरा आशीर्वाद प्राप्त था, वह क्यों नहीं चल पाया? यह अखबार अप्रत्यक्ष रूप से कालेधन को सफेद करने और कांग्रेस के भ्रष्टाचार को उजागर करने का माध्यम था।
मध्य प्रदेश कृषक कल्याण मिशन प्रारंभ करने को सैद्धांतिक मंजूरी
16 Apr, 2025 05:00 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
भोपाल: मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव की अध्यक्षता में मंत्रि-परिषद की बैठक मंगलवार को मंत्रालय में सम्पन्न हुई। मंत्रि-परिषद द्वारा प्रदेश के किसानों के समन्वित विकास के लिए किसान कल्याण तथा कृषि विकास विभाग, उद्यानिकी एवं खाद्य प्र-संस्करण विभाग, मत्स्य पालन विभाग, पशु पालन एवं डेयरी विभाग, सहकारिता विभाग, खाद्य नागरिक आपूर्ति और उपभोक्ता संरक्षण विभाग में प्रचलित योजनाओं को एक मंच पर लाकर मध्यप्रदेश किसान कल्याण मिशन को प्रारंभ करने की सैद्धांतिक अनुमति दी गयी।
मध्यप्रदेश ने कृषि क्षेत्र में अभूतपूर्व प्रगति की है। कृषि उत्पादकता (किलोग्राम प्रति हेक्टेयर) वर्ष 2002-2003 में 1195 था जो वर्ष 2024 में 2393 हो गया। यह वृद्धि 200 प्रतिशत हो गयी है। फसल उत्पादन (लाख मीट्रिक टन) वर्ष 2002-2003 में 224 एवं वर्ष 2024 में 723 होकर 323 प्रतिशत हो गयी है। कृषि विकास दर (प्रतिशत में) 2002-2003 में 3 प्रतिशत से बढ़कर 2024 में 9.8 प्रतिशत हो गयी। 327 प्रतिशत की वृद्धि हुई। कृषि क्षेत्र का बजट (करोड़ रूपये) वर्ष 2002-2003 में 600 करोड़ एवं वर्ष 2024 में 27050 करोड़ होकर वृद्धि दर 4508 प्रतिशत हुई। मध्यप्रदेश में कृषि क्षेत्र का योगदान प्रदेश की जीडीपी में 39 प्रतिशत है।
म.प्र. कृषक कल्याण मिशन का उद्देश्य किसानों की आय में वृद्धि, कृषि को जलवायु-अनुकूल बनाना, धारणीय कृषि पद्धतियों को अपनाना, जैव विविधता और परम्परागत कृषि ज्ञान संरक्षण, पोषण एवं खाद्य सुरक्षा सुनिश्चित करना, किसानों की उपज के लिए उचित मूल्य सुनिश्चित करना है।
किसानों की आय में वृद्धि- कृषि तथा उद्यानिकी के अंतर्गत फसलों की उत्पादकता में वृद्धि, उच्च मूल्य फसलों की खेती, गुणवत्तापूर्ण आदानों की उपलब्धता - बीज, रोपण सामग्री, उर्वरक, कीटनाशक, और कृषि विस्तार एवं क्षमता विकास, सस्ती ब्याज दरों पर ऋण की आसान उपलब्धता, खाद्य प्र-संस्करण और कृषि आधारित उद्योग, वैल्यू-चैन विकास और मौजूदा वैल्यू-चैन का सुदृढ़ीकरण, मप्र की विशिष्ट समस्याओं के लिए अनुसंधान एवं विकास है।
कृषि तथा उद्यानिकी सस्टेनेबल कृषि पद्धतियां के अंतर्गत गुड एग्रीकल्चर प्रैक्टिस (जीएपी) को अपनाना, जैविक/प्राकृतिक खेती क्षेत्र में बढ़ोतरी, जैविक एवं प्राकृतिक उत्पादों के लिए मार्केट लिंकेज का निर्माण तथा सुदृढ़ीकरण, जैविक एवं प्राकृतिक उत्पाद हेतु प्रमाण पत्र जारी करने तथा ट्रैसेबिलिटी सिस्टम को विकसित ,किसानों की उपज के उचित मूल्य सुनिश्चित करना,मंडियों का आधुनिकीकरण एवं उन्नयन, मंडी कार्यों के प्रबंधन के लिए प्रौद्योगिकी का उपयोग, मण्डी में पारदर्शी तथा निष्पक्ष नीलामी की प्रक्रिया को सुदृढ़ एवं मंडी के बाहर उपज बेचने की सुविधा को विकसित करना, जिन फसलों में वायदा अनुबंधों की अनुमति है, उनकी कार्य योजना तैयार करना है।
किसानों की आय में वृद्धि के लिए सहकारिता एवं मत्स्य पालन के अंतर्गत सहकारिता के माध्यम से दूध संकलन के कवरेज को 26000 ग्रामों तक ले जाया जायेगा। दूध संकलन व प्र-संस्करण की वर्तमान क्षमता को बढाकर 50 लाख लीटर / दिवस किया जायेगा। पशुओं में स्टॉल फीडिंग एवं मिनरल मिक्चर का घरेलू विकल्प का उपयोग से निराश्रित गौवंश की संख्या में कमी लाना। मत्स्य पालन क्षेत्र में आय वृद्धि के लिए आधुनिक तकनीकों का प्रयोग - Cage Farming तथा Biofloc, मछुआ/किसान क्रेडिट कार्ड योजनान्तर्गत शून्य प्रतिशत ब्याज दर पर ऋण उपलब्ध कराकर स्व-रोजगार को बढ़ावा दिया जायेगा।
मिशन के अन्य घटक में कृषि का जलवायु-अनुकूलन तथा रिस्क मिटिगेशन, जलवायु अनुकूल किस्मों को विकसित करवाना, कृषि फसलों के साथ ही पशुपालन, मत्स्योत्पादन को अपनाना, जैव विविधता और परम्परागत कृषि ज्ञान संरक्षण, पारंपरिक कृषि पद्धतियों का दस्तावेज़ीकरण, संरक्षण और उपयोग शामिल है।
मिशन के अपेक्षित परिणाम में उद्यानिकी फसलों का सकल वर्धित मूल्य कृषि आधारित फसलों से अधिक किया जायेगा। उद्यानिकी फसलों का क्षेत्रफल राष्ट्रीय औसत के बराबर लाया जायेगा। कृषि यंत्रीकरण को डेढ़ गुना करना, कृषि क्षेत्र में पूंजी निवेश को 75 प्रतिशत बढाना, प्रदेश को नरवाई जलाने से मुक्त करना, जैविक / प्राकृतिक / गुड एग्रीकल्चर प्रैक्टिस कृषि के अंतर्गत संपूर्ण बोये गये क्षेत्र का 10 प्रतिशत हिस्सा एवं सूक्ष्म सिंचाई को 20 प्रतिशत क्षेत्रफल तक पहुंचाना हैं।
फसल बीमा का कवरेज 50 प्रतिशत तक करना, संकर तथा उन्नत बीजों का विस्तार आधे क्षेत्रफल तक करना, प्रदेश के अन्नदाता को ऊर्जादाता सौर ऊर्जा पम्प अनुदान पर उपलब्ध कराये जाना, नये प्र-संस्करण क्षेत्रों की स्थापना, विपणन नेटवर्क का विस्तार और प्रदेश की बाहर की मंडियों तक पहुंच बढ़ाना, मत्स्य बीज के मामलें में प्रदेश को आत्मनिर्भर बनाना, कोल्ड चेन और नेटवर्क विकास के जरिये किसानों को मत्स्य संपदा के लिए मिलने वाले मूल्य को डेढ़ गुना करना, उच्च उत्पादकता मछली का पालन 10288 मीट्रिक टन किया जाना, मत्स्य पालन के लिए 1.47 लाख किसान क्रेडिट कार्ड उपलब्ध कराये जायेंगे। संगठित क्षेत्र में दुग्ध संकलन को 50 लाख लीटर प्रतिदिन किया जायेगा। पशुधन उत्पादकता में 50 प्रतिशत की वृद्धि की जायेगी। बेसहारा गौ-वंश की देखभाल के लिए प्रदेशव्यापी नेटवर्क तैयार करना, जिससे सड़कों पर उनकी उपस्थिति शून्य हो सकेगी।
मध्यप्रदेश कृषक कल्याण मिशन की साधारण सभा के अध्यक्ष मुख्यमंत्री होंगे। मिशन क्रियान्वयन की कार्यकारिणी समिति के अध्यक्ष मुख्य सचिव होंगे। मिशन क्रियान्वयन जिला स्तर पर कलेक्टर की अध्यक्षता में किया जायेगा।
चिकित्सा महाविद्यालय, सतना से संबंद्ध नवीन चिकित्सालय के निर्माण के लिए राशि 383 करोड़ 22 लाख रूपये की स्वीकृति
मंत्रि-परिषद द्वारा लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा विभाग अंतर्गत चिकित्सा महाविद्यालय, सतना से संबंद्ध नवीन चिकित्सालय के निर्माण के लिए राशि 383 करोड़ 22 लाख रूपये की स्वीकृति प्रदान की गयी है।
गांधी चिकित्सा महाविद्यालय एवं संबद्ध चिकित्सालय में नवीन पदों की स्वीकृति
मंत्रि-परिषद द्वारा लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा विभाग के अंतर्गत गांधी चिकित्सा महाविद्यालय एवं संबद्ध चिकित्सालय में पीडियाट्रिक कार्डियोलॉजी, पीडियाट्रिक न्यूरोलॉजी एवं नियोनेटोलॉजी विभाग में नियमित स्थापना के कुल 12 नवीन पदों का सृजन किये जाने की स्वीकृति प्रदान की गयी है। इन पदों में प्राध्यापक के 3 पद, सह प्राध्यापक के 3 पद, एवं सहायक प्राध्यापक के 3 पद एवं सीनियर रेसीडेंट के 3 पद शामिल हैं।
प्रदेश में किसान मेलों का आयोजन किया जाएगा: मुख्यमंत्री डॉ. यादव
16 Apr, 2025 04:00 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
प्रदेश में लगेंगे किसान मेले: मुख्यमंत्री डॉ. यादव
किसानों को कृषि और सम्बद्ध कार्यों के लिए मिलेगा मार्गदर्शन: मुख्यमंत्री डॉ. यादव
मंदसौर में 3 मई को लगेगा कृषि मेला, कृषि उपकरणों की लगेगी प्रदर्शनी
मुख्यमंत्री से की भारतीय किसान संघ के प्रतिनिधि मंडल ने भेंट
मुख्यमंत्री को किसान हित में निर्णयों के लिए दिया धन्यवाद
भोपाल: मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा है कि प्रदेश के सभी संभागों में इस वर्ष किसान मेले आयोजित होंगे जिसमें किसानों को कृषि, खाद्य प्र-संस्करण, उद्यानिकी और पशुपालन से संबंधित विभिन्न कार्य पद्धतियों और नए अनुसंधान की जानकारी दी जाएगी। किसानों को आधुनिक कृषि तकनीक से संबंधित मार्गदर्शन दिया जाएगा। कृषि कार्यों से जुड़े आधुनिक उपकरणों को प्रदर्शित भी किया जाएगा। आगामी 3 मई को मंदसौर में किसान मेले का आयोजन जा रहा है। संभाग स्तरीय किसान मेलों के बाद अक्टूबर माह में एक वृहद राज्य स्तरीय किसान मेला भी आयोजित होगा। मुख्यमंत्री डॉ. यादव मंगलवार को समत्व भवन (मुख्यमंत्री निवास) में भारतीय किसान संघ के प्रतिनिधियों से चर्चा कर रहे थे। इस अवसर भारतीय किसान संघ ने प्रदेश में किसानों को 5 रुपए के शुल्क पर विद्युत कनेक्शन और फसलों पर बोनस राशि प्रदान करने के लिए मुख्यमंत्री डॉ. यादव के प्रति आभार व्यक्त किया।
अन्नदाता को ऊर्जादाता बनाने का अभियान
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि प्रदेश के अन्नदाता को ऊर्जादाता बनाने के उद्देश्य से प्रदेश में एक वर्ष में दस लाख सौर ऊर्जा पम्प प्रदान करने का लक्ष्य है। यह कार्य अभियान के रूप में चलेगा। एक हॉर्स पॉवर से दस हॉर्स पॉवर तक सोलर पम्प स्थापना के लिए किसान को राशि जमा करवाकर निर्धारित अवधि में कनेक्शन दिए जाएंगे। प्रदेश में किसान खुद बिजली बनाएंगे। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने मजरों टोलों के निवासी जनजातीय वर्ग के लोगों को इस कार्य में प्राथमिकता देने के निर्देश दिए। बैठक में अपर मुख्य सचिव नवीन एवं नवकरणीय ऊर्जा मनु श्रीवास्तव ने बताया कि प्रदेश में गत तीन दिन में सोलर पम्प स्थापना के लिए लगभग 17 हजार आवेदन प्राप्त हो चुके हैं।
सुझावों पर करेंगे अमल
मुख्यमंत्री डॉ.यादव ने कहा कि कृषक प्रतिनिधियों के सुझावों पर राज्य सरकार अमल करेगी। मुख्यमंत्री डॉ.यादव ने बैठक में उपस्थित अधिकारियों को प्रदेश में गठित एफपीओ (किसान उत्पादक संगठन) को सक्रिय करने,किसानों द्वारा नरवाई जलाने को निरूत्साहित करने और रासायनिक खाद के उपयोग को कम करने के संबंध में निर्देश दिए। बैठक में बड़ी परियोजनाओं के लिए किसानों की भूमि लेने पर बदले में भूमि देने के प्रावधान, किसान को हिस्सेदार और मालिक बनाकर उनका हित सुनिश्चित करने, दूध पर बोनस, कम पानी से सिंचाई से मक्का उत्पादन को प्रोत्साहित करने, गौशालाओं के अंतर्गत आधुनिक तकनीक से संचालन, उच्च शिक्षा में कृषि विषय के अध्ययन और जिलों में पर्याप्त पशु चिकित्सकों की व्यवस्था के संबंध में चर्चा हुई।
बैठक में कमल सिंह आंजना, चंद्रकांत गौर, राम भरोसे बासोतिया, श्रीमती गिरजा ठाकुर, राजेन्द्र पालीवाल आदि शामिल थे। इस अवसर पर अपर मुख्य सचिव मुख्यमंत्री कार्यालय डॉ. राजेश राजौरा, अपर मुख्य सचिव नगरीय विकास एवं आवास संजय कुमार शुक्ला, कृषि सचिव एम सेलवेंद्रन एवं अन्य अधिकारी उपस्थित थे।
मप्र में 28.8 किलोमीटर में वेस्टर्न बाईपास बनाने की तैयारी, इतने वाहनों की होगी छमता
16 Apr, 2025 02:00 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
ग्वालियर: आगरा-इंदौर मार्ग पर रायरू निरावली से काउंटर मैग्नेट सिटी होते हुए शिवपुरी हाईवे पर पनिहार तक 28.8 किमी लंबा वेस्टर्न बायपास बनाने की तैयारी कर ली गई है। वेस्टर्न बायपास बनने से वाहन चालकों को 32 किमी का चक्कर और 40 मिनट का समय बचेगा। अभी इसमें 1.25 घंटे का समय लगता है। साथ ही बायपास से एक साथ 25 से 30 हजार वाहन गुजर सकेंगे।
भूमि अधिग्रहण के लिए अधिसूचना
एनएचएआई ने बायपास के लिए भूमि अधिग्रहण कर ली है। 1347.6 करोड़ रुपए की लागत से बनने जा रहे 28.8 किमी लंबे इस बायपास का काम हाइजवेज कंपनी को दिया गया है। बायपास के लिए 15 गांवों की 110 हेक्टेयर भूमि अधिग्रहण करने के लिए अधिसूचना भी जारी कर दी गई है। इसका काम अक्टूबर से शुरू हो जाएगा। कंपनी को यह काम दो साल में पूरा करना होगा।
बायपास दो जिलों के 15 गांवों से होकर गुजरेगा
ग्वालियर: बरौआ नूराबाद, निरावली, गाजीपुरा, जिनावली, बिलपुरा, जिगसोली, कुलेथ, सोजना, परपाटे का पुरा और तिघरा, पनिहार और रामपुर। मुरैना: बानमोर कलां, बानमोर खुर्द, जयपुर उर्फ नयागांव। दो फ्लाईओवर और एक आरओबी भी बनेंगे: बानमोर से पनिहार तक बन रहे पश्चिमी बायपास पर सात छोटे पुल, 18 अंडरपास, दो फ्लाईओवर और एक आरओबी बनाया जाएगा। दोनों फ्लाईओवर 60-60 मीटर के होंगे। ये फ्लाईओवर बानमोर और नूराबाद में बनेंगे। बायपास पर एक साथ 25 से 30 हजार वाहन गुजर सकेंगे।
वाहन चालकों को यह होगा लाभ
वेस्टर्न बायपास के निर्माण से आगरा-इंदौर मार्ग से प्रतिदिन गुजरने वाले 12 से 15 हजार छोटे-बड़े वाहन चालकों को लाभ मिलेगा। अभी तक वाहन चालकों को रायरू या बानमोर जाने के लिए बेला की बावड़ी से शिवपुरी लिंक रोड, सिकरौदा तिराहा और झांसी बायपास होते हुए करीब 60 किमी का सफर तय करना पड़ता है। वेस्टर्न बायपास के निर्माण से यह सफर महज 28.8 किमी में पूरा हो जाएगा। इससे वाहन चालकों को 32 किमी का चक्कर और 40 मिनट का समय बचेगा।
साडा को मिलेगा लाभ: व्यापारिक गतिविधियां और बसाहट बढ़ेगी
वेस्टर्न बायपास के निर्माण से काउंटर मैग्नेट सिटी में बसाहट और व्यापार बढ़ेगा। क्योंकि बायपास का करीब 90 फीसदी हिस्सा इसी क्षेत्र से गुजर रहा है। इससे साडा और आसपास के क्षेत्रों में आवासीय और व्यावसायिक प्रोजेक्ट आएंगे और बसाहट के साथ ही व्यापारिक गतिविधियां भी बढ़ेंगी। क्योंकि यहां लॉजिस्टिक पार्क, उद्योग, स्कूल, कॉलेज और अन्य संस्थानों के लिए भी जगह आरक्षित होगी। कुलेथ, जिगसौली, सोजना, पनिहार, जिनावली, गाजीपुरा क्षेत्र में भी ये संभावनाएं देखी जा रही हैं। साडा के दोनों ओर सर्विस रोड भी बनाई जा रही हैं।
प्रोजेक्ट में ये तैयार
रायरू के निरावली से बाईपास शुरू होगा, जो पनिहार तक बनेगा।
बाईपास का एक लंबा हिस्सा सोन चिरैया अभ्यारण्य क्षेत्र से भी गुजरेगा। वन्य जीव विभाग ने इस क्षेत्र में एनिमल अंडरपास और फ्लाईओवर बनाने के लिए ही एनओसी दी है।
वेस्टर्न बाईपास प्रोजेक्ट में एनिमल अंडरपास फ्लाईओवर (जानवरों की आवाजाही) के लिए अलग से रास्ते होंगे।
वेस्टर्न बाईपास प्रोजेक्ट में कुल 154 हेक्टेयर जमीन का उपयोग होगा, जिसमें 41 हेक्टेयर जमीन वाइल्ड लाइफ और करीब तीन हेक्टेयर जमीन वन विभाग की है। जबकि 15 गांवों की 110 हेक्टेयर जमीन शामिल है।
शहर की जनता को 30 वर्ष तक भरपूर मात्रा में मिलेगा पानी, चंबल और कोतवाल बांध से पानी लाने की योजना शुरू
16 Apr, 2025 01:00 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
ग्वालियर: एमपी के ग्वालियर में चंबल नदी और कोतवाल बांध से ग्वालियर तक पानी लाने की महत्वाकांक्षी योजना पर काम शुरू हो गया है। इससे ग्वालियर शहर की जनता को 30 वर्ष तक भरपूर मात्रा में पानी मिलेगा। भविष्य में जलसंकट का सामना नहीं करना पड़ेगा। नगर निगम ने 24 मार्च-2024 को चंबल से पानी लाने के लिए 458.68 करोड़ रुपए का ठेका इनविराड प्रोजेक्ट प्राइवेट लिमिटेड कंपनी को दिया है और कंपनी ने कार्य शुरू कर दिया है। यह कार्य कंपनी को 24 महीने में पूरा करना है। चंबल से ग्वालियर को प्रतिदिन 150 एमएलडी पानी मिलेगा, जो शहर की बढ़ती आबादी की पानी की जरूरत को पूरा करेगा।
वाटर ट्रीटमेंट प्लांट से 90 एमएलडी पानी रोज
चंबल नदी का पानी मुरैना नगर निगम के इंटेकवेल के माध्यम से देवरी गांव में बन रहे वाटर ट्रीटमेंट प्लांट पर आएगा। यहां से गुजर रही पाइप लाइन से निगम पानी संपवेल पर लेगा।
देवरी गांव से चंबल का 90 मिलियन लीटर (एमएलडी) पानी प्रतिदिन भेजा जाएगा। कोतवाल बांध से 60 एमएलडी पानी के लिए लाइन डाली जाएगी, जो देवरी से आ रही लाइन से जुड़ेगी।
यहां डाली जाएगी पाइप लाइन
मुरैना : मुरैना शहर के अंदर 7.50 किमी के दायरे में डक्ट बनाकर पाइप लाइन डाली जा रही। यहां पूर्व में ही ड्राइंग व डिजाइन तैयार किए जा चुके हैं।
नूराबाद : सर्विस रोड पर दो किमी खुदाई कर डक्ट बनाई जाएगी।
बानमोर : बानमोर से गुजर रहे हाईवे के पास ही 3.50 किलोमीटर की खुदाई कर पाइप लाइन बिछाने का कार्य शुरू कर दिया गया है।
नोट : प्रोजेक्ट में 43 किमी लाइन।
चंबल वाटर प्रोजेक्ट- कब क्या हुआ
06 अक्टूबर-2023 को महाराज बाड़ा पर तत्कालीन सीएम शिवराज सिंह चौहान और 16 दिसंबर 2024 को सीएम डॉ. मोहन यादव ने जीवाजी विवि के कैंपस में भूमिपूजन किया।
24 दिसंबर-2024 के वर्क ऑर्डर जारी हुए।
06 फरवरी-2025 से कार्य शुरू हुआ।
24 महीने में प्रोजेक्ट का काम पूरा करना होगा।
पति का आरोप, पत्नी मेरठ की चर्चित घटना की तरह उसे ‘ड्रम’ की धमकी देती रहती है
16 Apr, 2025 12:30 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
रीवा: रीवा जिले के बसेड़ा गांव निवासी हीरालाल साकेत ने पुलिस अधीक्षक कार्यालय में शिकायत दर्ज कराई है, जिसमें कहा है कि उसकी पत्नी उसे ढोल बजाकर धमका रही है। हीरालाल ने आरोप लगाया कि उसकी पत्नी मेरठ की चर्चित घटना की तरह उसे ढोल बजाकर धमकाती है। पीड़ित के अनुसार उसकी शादी 2015 में हुई थी। उसके तीन बच्चे हैं। उसकी पत्नी का अपने ससुराल वालों से कई सालों से झगड़ा चल रहा है। वह देर रात मोबाइल पर किसी से बात करती है और पूछने पर हंगामा करती है। जब वह किसी बात का विरोध करता है तो उसकी पत्नी ढोल की ओर इशारा करके उसे धमकाती है और कहती है कि वह उसके साथ भी ऐसा ही करेगी। वह बिना बताए अपने मायके चली जाती है और खुद ही वापस आ जाती है। पत्नी की इन हरकतों से वह मानसिक रूप से परेशान है और बच्चों की सुरक्षा को लेकर डरा हुआ है। हीरालाल ने अपनी पत्नी के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की मांग की है। पुलिस ने शिकायत पर जांच शुरू कर दी है।
बीमार बच्चे को लेकर पहुंचे पति-पत्नी
इस बीच, चाकघाट निवासी अशोक कुमार सोनी अपनी पत्नी और बीमार बच्चे को लेकर पुलिस अधीक्षक कार्यालय पहुंचे। उन्होंने शिकायत में बताया कि उनकी मेडिकल दुकान को लेकर कुछ लोगों से विवाद चल रहा है। आरोपियों ने दुकान में घुसकर सारा सामान बाहर फेंक दिया। उन्होंने निष्पक्ष कार्रवाई की मांग की है।
हाई-स्पीड स्प्रिंग कारखाने का जल्द होगा निर्माण, इस गति से दौड़ेगी वंदे भारत
16 Apr, 2025 12:00 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
ग्वालियर: हाई स्पीड ट्रेनों शताब्दी, राजधानी और गतिमान के बाद अब वंदे भारत एक्सप्रेस की स्प्रिंग भी सिथौली स्थित रेल स्प्रिंग फैक्ट्री में बनेगी। इसके लिए इलाहाबाद मुख्यालय से मंजूरी मिलने के बाद रेलवे बोर्ड को प्रस्ताव भेज दिया गया है। उम्मीद है कि इस साल वंदे भारत ट्रेन के कोच भी ग्वालियर में बने स्प्रिंग की मदद से पटरियों पर दौड़ने लगेंगे। देशभर में चलने वाली ट्रेनों के लिए स्प्रिंग बनाने वाली सिर्फ दो फैक्ट्रियां हैं, इनमें से एक ग्वालियर के सिथौली में और दूसरी चेन्नई स्थित आईसीएफ है। सिथौली स्थित रेल स्प्रिंग फैक्ट्री में सालों से आईसीएफ (इंटीग्रल) और एलएचबी (लिंक-हॉफमैन ब्रश) कोच की स्प्रिंग बनती आ रही है। भारतीय रेलवे लगातार स्प्रिंग की मांग बढ़ा रहा है, जिसके चलते इस साल फैक्ट्री का लक्ष्य भी पहली बार एक लाख स्प्रिंग से ऊपर चला गया है। हर साल बढ़ रही है स्प्रिंग की मांग
रेल स्प्रिंग कारखाना, सिथौली की शुरुआत 1989 में हुई थी। इसके बाद 1990 में स्प्रिंग बनने लगे। यहां मांग के हिसाब से स्प्रिंग बनते हैं और हर साल इनकी संख्या बढ़ती जा रही है। इस साल पहली बार लक्ष्य एक लाख को पार कर गया है। कारखाने में ज्यादातर स्प्रिंग एलएचबी कोच के लिए बनते हैं।
स्प्रिंग की संख्या बढ़ने पर तीन शिफ्ट में शुरू हुआ काम
45 और लोगों को मिला रोजगार 35 साल में पहली बार स्प्रिंग की संख्या बढ़ने पर दो की जगह तीन शिफ्ट में काम शुरू हुआ। कारखाने में 275 लोगों का स्टाफ है। तीसरी शिफ्ट शुरू होने से करीब 45 और लोगों को रोजगार मिला है। यहां एक दिन में 450 से 500 स्प्रिंग बन रहे हैं। जल्द ही हर दिन 600 स्प्रिंग बनाने की योजना बनाई जा रही है।
तीन हजार स्प्रिंग से शुरू हुआ था कारखाना
सिथौली स्प्रिंग कारखाने में 1990 में स्प्रिंग बनाने की शुरुआत हुई थी। पहले साल तीन हजार स्प्रिंग बनाए गए। उसके बाद पांच हजार स्प्रिंग बनाए गए। मांग बढ़ने पर हर साल लक्ष्य बढ़ता गया और अब यह आंकड़ा एक लाख को पार कर गया है।
50 मशीनों पर बनते हैं स्प्रिंग
स्प्रिंग फैक्ट्री में करीब 50 मशीनें लगी हैं। मांग के हिसाब से एक बार में दो से तीन कर्मचारी इन मशीनों पर काम करते हैं। काम बढ़ने पर कर्मचारी आपस में बांट लेते हैं। भविष्य में और भी मशीनें आने की संभावना है, जिससे काम और बढ़ेगा।
कांग्रेस का विरोध: नेशनल हेराल्ड केस पर सड़कों पर उतरी पार्टी
16 Apr, 2025 11:00 AM IST | GRAMINBHARATTV.IN
कांग्रेस पार्टी के वरिष्ठ नेताओं के खिलाफ नेशनल हेराल्ड मामले में आरोप पत्र दाखिल करने के खिलाफ कांग्रेस बुधवार को आयकर ऑफिस का घेराव करेगी। अखिल भारतीय कांग्रेस पार्टी की राष्ट्रीय नेता सोनिया गांधी, राहुल गांधी और कांग्रेस पार्टी के वरिष्ठ नेताओं के खिलाफ नेशनल हेराल्ड मामले में आरोप पत्र दाखिल किए जाने के विरोध में कांग्रेसियों द्वारा भरतपुरी स्थित आयकर ऑफिस का घेराव किया जाएगा।
कांग्रेस नेता रवि राय ने कहा कि सत्ता के नशे में चूर भारतीय जनता पार्टी सत्ता का पूर्ण दुरुपयोग कर रही है। बदले की राजनीति का गंदा खेल खेला जा रहा है। अपनी पार्टी और नेताओं के हक में कांग्रेस कार्यकर्ता आवाज बुलंद करते हुए दोपहर को अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी के आव्हान पर भरतपुरी स्थित आयकर ऑफिस का घेराव करेंगे।
सभी वरिष्ठ कांग्रेस जन, शहर कांग्रेस के सभी पदाधिकारी, महिला कांग्रेस, यूथ कांग्रेस, सेवा दल, एनएसयूआई, सभी पार्षद गण, ब्लॉक अध्यक्ष, ब्लॉक प्रभारी, आईटी सेल, सभी प्रकोष्ठ के पदाधिकारी, सभी मंडलम् अध्यक्ष, सेक्टर अध्यक्ष, बीएलए साथी दोपहर 3 बजे शहर कांग्रेस कार्यालय क्षीरसागर पर एकत्रित होकर एक साथ घेराव प्रदर्शन करने निकलेंगे।
हरसूद में रेलवे ट्रैक के पास नर्मदा पाइपलाइन का फटना, क्षेत्रीय लोग हुए परेशान
16 Apr, 2025 09:00 AM IST | GRAMINBHARATTV.IN
खंडवा में जलसंकट के बीच नर्मदा की पाइपलाइन फिर से फूट गई। घटना बुधवार तड़के 5 बजे की हैं, पाइपलाइन हरसूद क्षेत्र के सक्तापुर फाटा के पास रेलवे ट्रैक किनारे फूटी हैं। शुरुआत में पानी की बौछार सड़क की ओर थी, लेकिन बाद में पानी का मूवमेंट रेलवे ट्रैक की ओर होने लगा, हालांकि ट्रैक पर पानी नहीं पहुंचा।सुरक्षा के लिहाज से रेलवे की टीम पर मौके पर पहुंची। लेकिन, उनका नगर निगम या विश्वा कंपनी के लोगों से संपर्क नहीं हो पाया। नगर निगम के अधिकारियों ने जलसंकट के बीच सप्लाई को बंद नहीं किया है। इससे रेलवे ट्रैक किनारे पानी जमा होने लगा है।
शहर में एक महीने से जलसंकट
बता दें कि, नर्मदा पाइपलाइन फूटने की वजह से ही शहर में पिछले एक महीने से जलसंकट के हालात हैं। शहर में पानी के लिए त्राहि-त्राहि मची हुई है। अब फिर से लाइन फूटने की घटना हुई हैं। लोगों ने निगम प्रशासन से नर्मदा की ऑप्शनल सुक्ता की पाइपलाइन से सप्लाई करवाने की मांग की है।