मध्य प्रदेश (ऑर्काइव)
मुख्यमंत्री चौहान ने लोकनायक जयप्रकाश नारायण की पुण्यतिथि पर किया नमन
8 Oct, 2023 10:30 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
भोपाल : मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने भारत रत्न लोकनायक श्रद्धेय जयप्रकाश नारायण की पुण्यतिथि पर उन्हें विनम्र श्रद्धांजलि अर्पित की। मुख्यमंत्री चौहान ने निवास कार्यालय स्थित सभागार में उनके चित्र पर माल्यार्पण कर पुष्पांजलि दीं। जे.पी. अथवा ‘लोक नायक’ के नाम से प्रसिद्ध जयप्रकाश नारायण भारतीय स्वतंत्रता सेनानी, समाज सुधारक और राजनेता थे। भारत सरकार ने उन्हें सन 1998 में मरणोपरांत देश के सर्वोच्च नागरिक सम्मान ‘भारत रत्न’ से नवाजा। सन 1965 में उन्हें समाज सेवा के लिए ‘रैमन मैगसेसे’ पुरस्कार से भी सम्मानित किया गया। लोकनायक जयप्रकाश नारायण का निधन लम्बी बीमारी के बाद 8 अक्टूबर 1979 को पटना में हुआ।
मुख्यमंत्री चौहान ने सरपंचों के साथ किया पौध-रोपण
8 Oct, 2023 10:15 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
भोपाल : मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने श्यामला हिल्स स्थित स्मार्ट सिटी पार्क में अशोकनगर जिले के सरपंचों के साथ पीपल, बेलपत्र और जामुन के पौधे रोपे। मुख्यमंत्री चौहान ने सरपंचों को अपने-अपने क्षेत्र में समर्पित भाव से विकास और जनकल्याण गतिविधियां संचालित करने के लिए प्रेरित किया। उन्होंने कहा कि लोगों का जीवन बेहतर और सरल बनाने के लिए पूरी प्रतिबद्धिता से प्रयास करने में ही सार्वजनिक जीवन की सार्थकता है। मुख्यमंत्री चौहान के साथ अशोक नगर जिले के सरपंच सर्व रणीत सिंह यादव, ब्रजभान सिंह यादव, अवधेश रघुवंशी, शिवराज सिंह रघुवंशी, विकास जैन, शिवकुमार यादव, जीतू यादव, राजीव यादव, वीरेन्द्र कुमार शर्मा, सुनील रघुवंशी, सोनू रघुवंशी, दिव्यपाल यादव, धर्मेन्द्र सिंह रघुवंशी, नेपाल सिंह यादव, बुद्धा अहिरवार, देवेन्द्र सिंह यादव, कल्याण सिंह यादव, रणजीत सिंह यादव, इंद्रजीत सिंह यादव, हरविंदर सिंह, सुरेश अहिरवार और गोपाल सिंह यादव, देवेंद्र सिंह, रूप कुमार शर्मा, अशोक यादव तथा हरवीर सिंह पौध-रोपण में शामिल हुए।
मेरा प्रदेशवासियों से अद्भुत रिश्ता : मुख्यमंत्री चौहान
8 Oct, 2023 10:00 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
भोपाल : मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा है कि मैंने सरकार नहीं परिवार चलाया है, भैया और मामा बनकर ही मुख्यमंत्री के रूप में कार्य किया है। मेरा प्रदेशवासियों से अद्भुत रिश्ता है। बहनों की जिंदगी बदलना, बच्चों की पढ़ाई के लिए बेहतर इंतजाम, युवाओं को रोजगार के लिए कौशल सिखाने और बीमारी में इलाज की व्यवस्था एवं हरसंभव सहायता, वरिष्ठजनों की तीर्थ-यात्रा का इंतजाम, किसानों को जीरो प्रतिशत पर ब्याज दिलाना, उनके लिए समय पर खाद की व्यवस्था और हर गरीब के रहने के लिए जमीन के पट्टे की व्यवस्था करना मेरे लिए महत्वपूर्ण है। मैं चैन की नींद लेने मुख्यमंत्री नहीं बना था, मैंने कभी भी 24 घंटे में 4 घंटे से ज्यादा नींद नहीं ली, जनता की जिंदगी बदलना ही मेरी सर्वोच्च प्राथमिकता रही है। मुख्यमंत्री चौहान सीहोर जिले के ग्राम जहाजपुरा (बुधनी) में जन- संवाद कार्यक्रम को संबोधित कर रहे थे। मुख्यमंत्री चौहान ने स्थानीय निवासी जमुना बाई को शाल, श्रीफल भेंट कर उनका सम्मान किया। उल्लेखनीय है कि मुख्यमंत्री चौहान जब पहली बार विधायक के चुनाव के लिए जनसम्पर्क कर रहे थे, तब जमुना बाई ने उन्हें चुनाव लड़ने में अपने योगदान और सहयोग के रूप में 2 रूपए भेंट करते हुए, सफल होने का आशीर्वाद प्रदान किया था।
ग्रामीण विकास के लिए निर्माण कार्यों का किया भूमि-पूजन
मुख्यमंत्री चौहान ने 10 करोड़ रूपये से अधिक के निर्माण और विकास कार्यों का भूमि-पूजन भी किया। इसके अंतर्गत ग्राम बायां में 2 सामुदायिक भवन और 2 करोड़ 49 लाख रूपये की लागत से बनने वाली रिटेनिंग वॉल, मट्ठा गांव में पंचायत भवन, मांगलिक भवन, ग्राम मरहानपुर में मांगलिक भवन और मछुआरा भवन तथा शिव मंदिर के समीप सामुदायिक भवन और जनोपयोगी सुविधाओं के विकास कार्यों का भूमि-पूजन किया गया। साथ ही ग्राम नीमखेड़ी में सामुदायिक भवन, ग्राम फुलाड़ा और मोगरा में आँगनवाड़ी भवन, ग्राम भड़कुल में पंचायत भवन, सलकनपुर में कोरकू समुदाय के लिए सामुदायिक भवन तथा जहाजपुर में मांगलिक भवन का भूमि-पूजन किया। मुख्यमंत्री चौहान ने क्षेत्र के विभिन्न गाँव में सड़क निर्माण, स्ट्रीट लाइट व्यवस्था, स्वच्छता संबंधित अधो-संरचना निर्माण सहित अन्य कार्यों का भूमि-पूजन भी किया।
लाड़ली बहना योजना, बहनों का मान-सम्मान और आत्मविश्वास बढ़ाने की योजना है
मुख्यमंत्री चौहान ने कहा कि बहन-बेटियों को सशक्त करने के लिए ही लाड़ली लक्ष्मी योजना, कन्या विवाह योजना जैसी योजनाएँ संचालित की गईं। लाड़ली बहना योजना भी बहनों का मान-सम्मान और आत्म-विश्वास बढ़ाने के उद्देश्य से आरंभ की गई है। बहनों को धन के लिए किसी के सामने हाथ न फैलाने पड़ें ,वे आत्म-निर्भर हों, इस उद्देश्य से ही प्रतिमाह 1000 रूपए उपलब्ध कराने की व्यवस्था की गई। जिसे बढ़ाकर 1250 रूपए किया गया है, क्रमबद्ध रूप से राशि बढ़ाते हुए बहनों को प्रतिमाह 3000 रूपए दिए जाएंगे।
बच्चों की बेहतर पढ़ाई के लिए दिए जा रहे हैं अनेक प्रोत्साहन
मुख्यमंत्री चौहान ने कहा कि गरीब और किसान के बच्चों को प्राइवेट स्कूल जैसी शिक्षा सुविधा उपलब्ध कराने के लिए सीएम राइज स्कूल बनाए जा रहे हैं। पढ़ाई के लिए प्रोत्साहित करने के उद्देश्य से उन्हें राशि के साथ साइकिल, लेपटॉप, स्कूटी आदि देने की व्यवस्था भी की गई है। विद्यार्थियों द्वारा मेडिकल और इंजीनियरिंग कॉलेजों में प्रवेश लेने पर उनकी फीस राज्य सरकार द्वारा भरवाई जाएगी। हर गरीब का अपना घर हो यह सुनिश्चित करने के लिए मुख्यमंत्री भू-आवासीय योजना में पट्टे उपलब्ध कराने की व्यवस्था की गई है। हमने गरीब किसान को उनका हक दिया है, प्रदेश में सेवा का यज्ञ चल रहा है। कार्यक्रम को सांसद रमाकांत भार्गव ने भी संबोधित किया। इस अवसर पर क्षेत्रीय जन-प्रतिनिधि उपस्थित थे।
मध्य प्रदेश मिलेट्स स्टेट मिशन से किसानों को 80 प्रतिशत तक अनुदान
8 Oct, 2023 09:30 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
केंद्र सरकार की ओर से मोटे अनाज की पैदावर करने वाले किसानों के लिए एक बड़ी घोषणा की गई है। जीएसटी काउंसिल की बैठक में केंद्रीय वित्त मंत्री श्रीमति निर्मला सीतारमण ने कहा कि मोटे अनाज यानी मिलेट्स के उत्पादों को काउंसिल ने इन प्रोडक्ट्स पर जीएसटी की दर को 18 फीसदी से घटाकर 5 फीसदी कर दिया है। जीएसटी परिषद की फिटमेंट समिति ने पहले मोटे अनाज के पाउडर को जीएसटी से छूट देने की सिफारिश की थी।
मध्य प्रदेश के किसानों को मिलेगा लाभ
मध्य प्रदेश में मोटे अनाज की पैदावर कई इलाकों में काफी होती है। इन किसानों को इस सरकारी घोषणा से काफी लाभ मिलेगा। मध्य प्रदेश शासन की ओर से मोटे अनाज पैदा करने वाले किसानों को सुविधा मिलती रही है। यही कारण है कि बालाघाट, छिंदवाड़ा, जबलपुर, कटनी, मंडला, डिंडोरी, नरसिंहपुर, सिवनी में कोदो-कुटकी की लगातार पैदावर बढ़ रही है। वर्ष 2017-18 में इन जिलों की कुल पैदावार 730 किलो प्रति हेक्टेयर थी, जब अब 800 किलो प्रति हेक्टेयर हो गई है। इन जिलों में प्रति वर्ष हजारों टन मोटे अनाज की पैदावार हो रही है। डबल इंजन की सरकार की नीतियों से मोटे अनाज के प्रति किसानों की खेती करने की ललक बढ़ी है, तो दूसरी ओर से आम लोग इसका उपयोग भी कर रहे हैं। सरकारी आंकड़ों के अनुसार, पूरे देश में हो रही मोटे अनाज की कुल पैदावार में मध्य प्रदेश की हिस्सेदारी पांच प्रतिशत से अधिक की है।
मध्य प्रदेश मिलेट्स स्टेट मिशन से किसानों को 80 प्रतिशत तक अनुदान
मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान की अगुवाई में मध्य प्रदेश शासन ने मोटे अनाजों का उत्पादन बढ़ाने के लिए मध्य प्रदेश राज्य मिलेट मिशन को अप्रैल महीने में ही अपनी स्वीकृति दे दी हुई है। इस निर्णय के बाद से किसानों को 80 प्रतिशत अनुदान के साथ उन्नत और प्रमाणित बीज, ट्रेनिंग, उत्पादों की मार्केटिंग में सरकार का सहयोग दिया जा रहा है। सरकार की ओर से मध्य प्रदेश राज्य मिलेट मिशन के लिए 23 करोड़ 25 लाख रुपये के बज का प्रावधान भी किया हुआ है। समय-समय पर प्रशिक्षण से लेकर कार्यशालाओं का आयोजन किया जा रहा है। किसानों को बताया जा रहा है कि इस तरह खेती की लागत को कम करना आसान हो जाता है।
केंद्र सरकार को किसानों की है चिंता
प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी की पहल पर भारत साल 2023 को ’मिलेट्स ईयर’ के रूप में मना रहा है और सरकार मिलेट्स के उत्पादन और खपत को बढ़ावा देने के प्रयास कर रही है। मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान के नेतृत्व में मध्य प्रदेश शासन भी मिलेट्स को लेकर कई काम कर रही है। इससे पहले केंद्रीय कृषि मंत्री श्री नरेंद्र सिंह तोमर ने कहा था कि मिलेट्स को कम पानी और न्यूनतम उर्वरकों व कीटनाशकों के उपयोग से उगाया जा सकता है। कम लागत में किसानों को अधिक मुनाफा हो सकता है। साथ ही इससे आम जनता के स्वास्थ्य हितों की भी बात है।
दो रुपए का आर्शीवाद और तीन दशक की जीत का सफर
8 Oct, 2023 08:43 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
- बुधनी से पहली बार चुनाव लड़ने पर बुजुर्ग महिला ने दिया था आर्शीवाद
- भीड़ में महिला को देख भावुक हुए सीएम, पैर छुए और गले लगाया
बुधनी की धरती से पहली बार जीत हासिल कर मध्यप्रदेश पर 33 साल से सत्तासीन मुख्यमंत्री शिवराज सिंह जमुना बाई के दो रुपए को आज भी नहीं भूले हैं। बुधनी ने उन्हें हर बार उपहार के रूप में जीत ही दी है, जिसका श्रेय मुख्यमंत्री जमुना बाई के दो रुपए को देते हैं। आज सीहोर में जहाजपुर पहुंचने पर अचानक वहीं महिला सीएम के सामने आई तो वह भावुक होने से खुद को रोक नहीं पाएं। जमुना बाई को लगाते समय सीएम सहित मौजूद सभी लोगों की आंखे नम हो गईं। दरअसल जमुना बाई ने 33 साल पहले आर्शीवाद स्वरूप सीएम को दो रुपए दिए थे।
मुख्यमंत्री शिवराज सिंह के जहाजपुर पहुंचने पर जनसमूह के बीच दिखी एक बुजुर्ग महिला ने उन्हें भावनाओं के भंवर में कैद कर लिया। इस महिला का नाम जमुना बाई था, जो सीएम से मिलने पहुंची थी। भारी भीड़ को छांटते हुए सीएम बुजुर्ग महिला के पास पहुंचे और चरण स्पर्श कर उसे लगे लगा लिया। मुख्यमंत्री ने बताया कि जब वह बुधनी से पहली बार विधायक का चुनाव लड़ रहे थे तो जमुना बाई ने उन्हें आशीर्वाद दिया था और चुनाव लड़ने के लिए दो रुपए भी दिए थे। एक बार फिर बुजुर्ग महिला जमुना बाई के पैर छूकर सीएम ने आशीर्वाद लिया इस बार जमुना बाई भी भावुक हो गईं। शिवराज सिंह चौहान ने अपनी यादों को ताजा करते हुए बताया कि जब वह 1990 में बुधनी से पहली बार विधानसभा का चुनाव लड़ रहे थे, तब जमुना बाई ने उन्हें 2 रुपये की राशि देकर कहा था कि तुम चुनाव लड़ो और खूब आगे बढ़ो। सीएम ने एक बार फिर जमुना बाई को गले लगा कर उनसे आर्शीवाद लिया, इस बाद वहां मौजूद सभी लोगों की आंखे नम हो गईं। मुख्यमंत्री ने कहा कि वह बुधनी की जनता को कभी नहीं भूल सकते, बुधनी वालों के लिए मुख्यमंत्री नहीं, भैया और मामा हैं।
केंद्रीय मंत्री पटेल ने अजय सिंह को भेजा मानहानि नोटिस
8 Oct, 2023 07:00 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
भोपाल । बीते दिनों कांग्रेस की जन आक्रोश यात्रा के दौरान नरसिंहपुर में केंद्रीय मंत्री व विधानसभा प्रत्याशी प्रहलाद सिंह पटेल पर पूर्व नेता प्रतिपक्ष अजय सिंह राहुल ने कोयला घोटाले के आरोप लगाए थे। इस मामले में केंद्रीय मंत्री प्रहलाद सिंह पटेल के भाई और नरसिंहपुर विधायक जालम सिंह पटैल ने आरोपों को झूठा बताते अजय सिंह राहुल को 5 करोड़ की मानहानि नोटिस भी भेजा गया है। प्रेस वार्ता को संबोधित करते हुए राज्यसभा सांसद कैलाश सोनी नरसिंहपुर विधायक जालम सिंह पटेल व भाजपा जिलाध्यक्ष इंजी. अभिलाष मिश्रा ने सयुक्त रूप से कहा कि जिस घोटाले की बात अजय सिंह कर रहे थे वह घोटाला कांग्रेस शासन में ही हुआ था। जिसके प्रधानमंत्री डा. मनमोहन सिंह थे। उन्हें इन घोटालों के सवाल जवाब अपनी पार्टी के नेताओं से करना चाहिए। प्रहलाद सिंह पटेल उस समय की अटल बिहारी बाजपेई जी की सरकार में 2004 तक मंत्री रहे। इस समय किसी भी प्रकार का कोई भी घोटाला भाजपा शासन में नहीं हुआ प्रहलाद सिंह पटेल 2004 से 2014 तक न तो सांसद रहे न मंत्री न ही किसी शासकीय पद पर रहे तो वह किस आधार पर कोयला घोटाले में उनका नाम ले रहे है। कांग्रेस पार्टी का हमेशा से ही भ्रष्टाचार से चोली दामन का साथ रहा है। इनके नेता सोनिया गांधी, राहुल गांधी भी भ्रष्टाचार के मामले में आज भी जमानत पर घूम रहे है। अजय सिंह राहुल का विवादों से पुराना नाता है। उनकी मां के साथ घरेलू हिंसा व प्रापर्टी बेदखली को लेकर विवाद चला था। इनके भाषा व स्वभाव में सामंतशाही झलकती है। उन्होंने 2019 के लोकसभा चुनाव में हमारी सीधी की सांसद महिला नेत्री रीति पाठक के साथ अमर्यादित भाषा का प्रयोग किया था। अजय सिंह यह बयान देने से पहले भूल गए थे कि यह मां नर्मदा व भगवान नरसिंह की पावन भूमि है जहां पर आपके पिता जी को भी हराने का कार्य यहां जनता व भाजपा के कार्यकर्ताओं ने किया है। नरसिंहपुर विधायक जालम सिंह पटेल ने बताया कि अजय सिंह द्वारा दिए गए वक्तव्य को लेकर उन्हें 5 करोड़ की मानहानि का नोटिस वकील के माध्यम से दिया गया है। जिसमें अगर वह सात दिवस के अंदर सार्वजनिक माफी या खेद प्रकट नहीं करते है तो उनके खिलाफ जिला न्यायालय नरसिंहपुर व जबलपुर में मानहानि का केस चलाया जाएगा। उन्होंने कांग्रेस नेता लाखन सिंह पटेल पर कटाक्ष करते हुए कहा कि उन्होंने एक चैनल के इंटरव्यू में अपनी तुलना मोहम्मद गौरी से की है कि जिस प्रकार गौरी ने बार बार भारत पर आक्रमण कर हार नहीं मानी थी उसी प्रकार मैं भी हार नहीं मानूंगा क्या लाखन सिंह सोमनाथ मंदिर पर हुए हमलों व सनातन संस्कृति पर हुए कुठाराघात का समर्थन करते है। उन्होंने अपने इस बयान से पृथ्वीराज चौहान व भारत के वीर सपूतों के अपमान करने का कार्य किया है। क्या लाखन सिंह सनातन संस्कृति या मुगलों की आक्रामक संस्कृति का समर्थन करते है उन्हें इस बात को स्पष्ट करना चाहिए।
ओंकारेश्वर जा रहे युवाओं की कार पुलिया से गिरी, 2 की मौत
8 Oct, 2023 06:00 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
भोपाल । प्रदेश की धार्मिक नगरी ओंकारेश्वर जा रहे युवाओं से भरी एक बगैर रैलिंग वाली पुलिया से नीचे गिर गई, जिसमें दो की मौत हो गई। शनिवार रात हुए इस हादसे में छह लोग घायल है। यह हादसा बड़वाह काटकूट मार्ग पर बरझर के पास हुआ। बताया जा रहा है कि ओखला में ओखलेश्वर हनुमान के दर्शन के बाद महिंद्रा एक्सयूवी वाहन से ओंकारेश्वर जा रहे थे। इसी दौरान अंधेरे में उनका वाहन बिना रेलिंग की पुलिया से लगभग 30 फीट नीचे गिर गया। जोरदार आवाज के बाद ग्रामीण दौड़े। इधर घटना की जानकारी मिलने पर नवागत एसडीओपी अर्चना रावत भी सिविल अस्पताल पहुंची थी। शेष घायलों को उपचार के बाद इंदौर रेफर कर दिया है। बताया जा रहा है की सभी घायल भी इंदौर के हैं। इनके साथ दो अन्य गाड़ियों में भी युवक थे। इस तरह कुल 20 युवा ओंकारेश्वर जा रहे थे। प्रत्यक्षदर्शियों के मुताबिक गाड़ी गिरने के बाद कई पलटी खाई थी। ग्रामीणों ने उसे सीधा कर कांच व दरवाजा तोड़कर फंसे करीब आठ लोगों को बाहर निकाला। इसी दौरान उन्हीं के परिचित जो अन्य वाहनों से पीछे आ रहे थे। उन्होंने सभी घायलों को बड़वाह शासकीय अस्पताल ले गए। यहां चिकित्सकों ने कुणाल नाम के युवक को मृत घोषित कर दिया। जबकि कुछ देर बाद एक अन्य युवक आकाश जाट की भी उपचार के दौरान मौत हो गई। जबकि छह अन्य युवक घायल है। मृतक कुणाल व आकाश इंदौर के निवासी बताये जा रहे हैं।
मध्यप्रदेश में 9 अक्टूबर को हो सकता है चुनाव की तारीखों का ऐलान
8 Oct, 2023 05:00 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
भोपाल । मध्यप्रदेश सहित देश के पांच राज्यों में विधानसभा चुनाव के लिए चुनाव आयोग सोमवार, 9 अक्टूबर को तारीखों का ऐलान कर सकता है। इसके बाद पूरे प्रदेश में आदर्श आचार संहिता लागू हो जाएगी। इस बार भी एक चरण में ही मतदान होगा। मध्य प्रदेश में नवंबर के तीसरे या चौथे सप्ताह में मतदान हो सकता है। हम बता दें कि मप्र सरकार का कार्यकाल 6 जनवरी 2024 को खत्म हो रहा है।
हम बता दें कि पिछली बार 2018 में मध्य प्रदेश में 6 अक्टूबर को चुनाव की तारीखों का ऐलान हुआ था। जबकि 28 नवंबर को एक चरण में चुनाव हुए थे। इसके अलावा 2013 में 4 अक्टूबर, 2008 में 14 अक्टूबर और 2003 में 12 अक्टूबर को चुनाव की तारीखों का ऐलान हुआ था।
प्रदेश में चुनाव की तारीखों के ऐलान के साथ ही आदर्श आचार संहिता लागू हो जाएगी। इसके बाद सार्वजनिक लोकार्पण और शिलान्यास प्रतिबंध हो जाएंगे। किसी भी नए काम या योजना को स्वीकृति नहीं दी जा सकेंगी। सरकार अपनी उपलब्धियों के न होर्डिंग्स लगा सकेगी और न उपब्धियों के विज्ञापन मीडिया में दे सकेंगी।
अतिथि विद्वानों को अब प्रतिदिन मिलेंगे दो हजार रुपये
8 Oct, 2023 04:00 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
भोपाल । प्रदेश के अतिथि विद्वानों को अब प्रतिदिन दो हजार रुपये मानदेय मिलेगा। अभी तक अतिथि विद्वानों को मात्र 1500 रुपए मिल रहे थे। अब प्रदेश के सरकारी महाविद्यालयों में शिक्षण कार्य करवा रहे अतिथि विद्वानों को अधिकतम मासिक मानदेय प्रतिमाह 50 हजार रुपये मिलेगा। उच्च शिक्षा विभाग ने इस संबंध में आदेश जारी कर दिया है। यह एक अक्टूबर से लागू होगा। इससे प्रदेश के करीब 4500 अतिथि विद्वानों को लाभ मिलेगा। इसी बीच प्रदेश के कालेजों में नियमित शिक्षकों के रिक्त पदों पर अतिथि विद्वानों को आमंत्रित करने के आदेश जारी किए गए हैं। इस बार पहली बार अतिथि विद्वानों को साल में 13 दिन का आकस्मिक और तीन दिन ऐच्छिक अवकाश दिया जाएगा। इस बार आवेदन आनलाइन होंगे। आदेश के अनुसार अतिथि विद्वानों के लिए योग्यता संबंधित विषय, सह विषय में न्यूनतम नेट, एमपी सेट या पीएचडी उत्तीर्ण होना आवश्यक है। इसमें अनुभव के अंक भी दिए जाएंगे। प्राचार्यों को निर्देशित किया गया है कि अतिथि विद्वान के कार्य पर उपस्थित होने पर उसकी उपस्थिति उसी दिन में शाम 5:30 बजे तक अनिवार्य रूप से आनलाइन माड्यूल में दर्ज किया जाए। फालेन आउट (विस्थापित) अतिथि विद्वान भी जिले और संभाग स्तर के महाविद्यालयों में खाली पदों पर च्वाइस फिलिंग के माध्यम से भर्ती में शामिल हो सकेंगे। इसके साथ ही मप्र लोक सेवा आयोग द्वारा आयोजित सहायक प्राध्यापक, क्रीड़ाधिकारी, ग्रंथपाल भर्ती परीक्षा में अनारक्षित श्रेणियों में चयनित अतिथि विद्वानों के लिए 25 प्रतिशत पद आरक्षित रहेंगे। बता दें, मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने 11 सितंबर को अतिथि विद्वानों की महापंचायत में 50 हजार रुपये निश्चित मासिक वेतन देने की घोषणा की थी। हालांकि इस आदेश से अतिथि विद्वानों में नाराजगी है। उनका कहना है कि विभाग द्वारा जारी आदेश में प्रतिदिन के हिसाब से मानदेय मिलने से 50 हजार रुपये से कम मानदेय होगा, जबकि मुख्यमंत्री ने निश्चित मासिक वेतन 50 हजार रुपये तक देने की घोषणा की थी।
चुनावी घोषणाओं पर सुप्रीम कोर्ट के फैसले का भाजपा ने किया स्वागत
8 Oct, 2023 11:45 AM IST | GRAMINBHARATTV.IN
भोपाल । चुनावी घोषणाओं को लेकर आए सुप्रीम कोर्ट के फैसले का भाजपा ने स्वागत किया है। केंद्रीय राज्य मंत्री प्रह्लाद पटेल ने शनिवार को भोपाल में प्रेसवार्ता लेकर सुप्रीम कोर्ट के फैसले पर अपनी प्रतिक्रिया दी। उन्होंने कहा कि सुप्रीम कोर्ट ने चुनावी घोषणाओं को लेकर जो फैसला सुनाया है वो स्वागत योग्य है। उन्होंने कहा कि पीएम और सुप्रीम कोर्ट की सोच में कोई फर्क नहीं लगता है। उन्होंने कहा कि आज चुनाव में जिस तरह से सरकारी धन का दुरुपयोग हो रहा है। यह गलत है। आगे इस मुद्दे पर विमर्श होना चाहिए। चुनाव आते ही होने वाली घोषणाओं पर पटेल ने कहा कि योजना कोई भी हो छह महीने बाद उसका इंपैक्ट असेसमेंट और थर्ड पार्टी असेसमेंट होना चाहिए। उन्होंने कहा कि भाजपा किसी भी असेसमेंट के लिए तैयार है।
पिछड़ी जाति की जनगणना से जुड़े सवाल पर उन्होंने कहा कि मेरी जाति पिछड़ी है,पर मेरा परिवार मैं पिछड़ा नहीं हूं। जाति के नाम पर बंटवारा करके लड़ाने का काम नहीं होना चाहिए। ये मुद्दा उठाने वाले राजनेता और दल की नियत को भी हमें देखना होगा।
अजय सिंह राहुल भैया के आरोपों पर सफाई देते हुए प्रह्लाद पटेल ने कहा कि चुनाव में लगने वाले अनर्गल आरोप आने वाली पीढ़ी के भरोसे को खत्म करेगा। अजय सिंह ने मुझ पर जो आरोप लगाए हैं उसके लिए मैंने उन्हें कानूनी नोटिस दिया है। मुझे लगता है कि अजय सिंह राहुल पर राहुल नाम का इंपैक्ट पड़ रहा है। उन्होंने जो आरोप लगाए हैं वे पूरी तरह झूठे हैं। मुझे इस बात का गर्व है कि आज तक मुझ पर या मेरे परिवार पर कोई भी आर्थिक आरोप नहीं लगा है। अजय सिंह ने पटेल पर कोयला घोटाले में शामिल होने का आरोप लगाया था।
छोटे भाई जालम सिंह का टिकट काटकर उन्हें टिकट दिए जाने पर उन्होंने कहा कि आज जिस तरह से राजनीति में द्वंद छिड़ा हुआ है। ऐसे में मेरे भाई ने एक मिसाल कायम की है। मैं उसे साधुवाद देता हूं। मैं आपको बता दूं उसका टिकट खतरे में नहीं था। अगर वो चुनाव लड़ता तो उसकी जीत ऐतिहासिक होती।
दुनिया के नक्शे पर जगमगा रही है महाकाल नगरी
8 Oct, 2023 10:48 AM IST | GRAMINBHARATTV.IN
भक्तों की संख्या और दान की तीन गुना रफ्तार
वर्ष 2020 में महामारी काल के दौरान एक तरफ जहां महाकाल की नगरी उज्जैन में भक्तों के दर्शन का प्रतिशत 15 से 18% पर आ गया था वहीं दूसरी ओर 2021 के बाद भक्तों की संख्या दोगुनी हो गई । परंतु 2022 में महाकाल लोक के निर्माण के बाद भक्तों की संख्या में 2021 की तुलना में लगभग तीन गुना प्रगति हुई ।
महाकाल मंदिर समिति को वर्ष 2021 में 22 करोड़ 13 लाख रुपए का दान प्राप्त हुआ , वहीं वर्ष 2022 में यह दान बढ़कर 46 करोड़ 51 लाख पर पहुंच गया । इसी तरह स्थानीय व्यापार में लगभग 200 प्रतिशत अधिक प्रगति हुई, नवीन रोजगार एवं प्रॉपर्टी के दामों में भी चार से 10% तक का इजाफा हुआ । कुल मिलाकर वर्ष 2022 में महाकाल की नगरी को ऐतिहासिक गति और व्यापार में शानदार प्रगति प्राप्त हुई।
महाकाल की कृपा से सब काम हो रहा है : सीएम
महाकाल मंदिर का परिसर 2.87 हेक्टेयर से बढ़कर 47 हेक्टयर हो चुका है। 856 करोड़ की श्री महाकाल मंदिर परिसर विस्तार योजना के प्रथम चरण में 351 करोड़ रुपए के कार्यों को रिकॉर्ड समय में पूरा किया गया है। 242 करोड़ 35 लाख रुपए लागत से दूसरे चरण के विकास कार्य किए गए। लोकार्पण कार्यक्रम के दौरान सीएम शिवराज ने 284 करोड़ रुपए की लागत के यूनिटी मॉल और 250 करोड़ रुपए की लागत के मेडिकल कॉलेज का भूमिपूजन भी किया। उन्होंने कहा कि भगवान श्री महाकाल की कृपा से उज्जैन में विकास कार्यों के लिये तीन हजार करोड़ रुपए अलग से आ रहा है। निश्चित रूप से महाकाल लोक के प्रथम चरण के पश्चात द्वितीय चरण के विकास का वास्तविक स्वरूप जब सामने आएगा तो महाकाल नगरी नए सांस्कृतिक धार्मिक एवं पुरातत्व के वैभव के साथ-साथ व्यापार की नई परिभाषा लिखती हुई दिखाई देगी । मध्य प्रदेश में सर्वाधिक महाकाल नगरी के दर्शन करने वाले महाराष्ट्र एवं राजस्थान से आने वाले लोगों के लिए आने वाले समय में व्यापार का यह बड़ा केंद्र भी दिखाई देगा
महाकाल नगरी उज्जैन के विकास के लिए महाकुंभ के बाद ही मध्य प्रदेश सरकार ने एक ऐसा मॉडल खड़ा करने की शुरूआत कर दी थी जो राष्ट्रीय अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर धर्म, संस्कृति, आस्था के साथ-साथ रोजगार के नए रास्ते भी खोले। आज वही तस्वीर साकार रूप में दिखाई देने लगी है। मध्य प्रदेश की पावन महाकाल नगरी उज्जैन को आज महाकाल लोक के नाम से राष्ट्रीय अंतरराष्ट्रीय स्तर पर जाना जाता है । महाकाल लोक के पहले चरण का लोकार्पण प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने किया तो दूसरी तस्वीर गुरुवार को सामने आई, जब मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने 242 करोड़ से अधिक के महाकाल लोक के दूसरे चरण का लोकार्पण किया।
स्थानीय रोजगार में 200 प्रतिशत की वृद्धि
11 अक्टूबर 2022 को देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने महाकाल लोक का लोकार्पण किया एवं उपरोक्त लोकार्पण समारोह एवं महाकाल लोक राष्ट्रीय अंतरराष्ट्रीय स्तर पर अचानक सुर्खियों में आ गया । महाकाल की नगरी उज्जैन की सांस्कृतिक एवं धार्मिक विरासत अटल एवं अमिट है परंतु धर्म संस्कृति के साथ-साथ महाकाल लोक के लोकार्पण के पश्चात ऐतिहासिक रूप से उज्जैन नगरी लगभग आठ गुनी रफ्तार में विकास के साथ-साथ व्यापार से जुड़ती चली गई । उज्जैन नगरी में महाकाल लोक के निर्माण के साथ प्रॉपर्टी की कीमतों में एक तरफ जहां चार गुना प्रगति हुई वहीं दूसरी ओर स्थानीय रोजगार में भी 200% से अधिक प्रगति सामने आई ।
आदिवासी अंचल पर कांग्रेस का फोकस
8 Oct, 2023 10:45 AM IST | GRAMINBHARATTV.IN
भोपाल । भले ही अब तक प्रदेश में होने वाले विधानसभा चुनाव की तारीखों का ऐलान नहीं हुआ है, लेकिन सूबे में चुनावी प्रचार तेज होने लगा है। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के अलावा तमाम भाजपा नेता बीते एक माह में प्रदेश के अलग-अलग इलाकों में आ जा चुके हैं। इस बीच अब कांग्रेस ने भी अपनी सक्रियता बढ़ाते हुए पार्टी के दोनों दिग्गज नेता राहुल गांधी और प्रियंका गांधी को भी मैदान में उतार दिया है। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की सभा के बाद अब कांग्रेस ने महाकौशल व विंध्य अंचल के दो आदिवासी बाहुल्य शहरों में राहुल गांधी व प्रियंका गांधी की सभाएं कराने का तय किया है। 10 अक्टूबर को राहुल गांधी शहडोल के ब्यौहारी आ रहे हैं, उसके बाद 12 अक्टूबर को मंडला में प्रियंका की सभा करवाई जा रही है। दरअसल 10 अक्टूबर को राहुल गांधी शहडोल के ब्यौहारी में जन आक्रोश यात्रा के समापन पर जनसभा को संबोधित करेंगे। इस अंचल में अजय सिंह राहुल और कमलेश्वर पटेल को जातीय और स्थानीय समीकरण को देखते हुए अलग-अलग अंचल से यात्रायें निकालने का जिम्मा सौंपा गया है, जिसका समापन ब्यौहारी में होगा। जनसभा में राहुल गांधी आदिवासी समाज के कुछ व्यक्तियों से संवाद करेंगे। सभा में प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष कमलनाथ, प्रदेश कांग्रेस के प्रभारी रणदीप सुरजेवाला और पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह सहित अन्य कांग्रेस नेता उपस्थित रहेंगे। आदिवासी सीटों के साथ-साथ कांग्रेस की रणनीति विंध्य साधने की भी है। 2018 में विंध्य में कांग्रेस का प्रदर्शन सबसे ज्यादा कमजोर रहा था। यहां 30 विधानसभा सीटों में से महज 6 सीटें ही पार्टी जीत पाई थी। विंध्य में सिंगरौली, शहडोल, अनूपपुर और उमरिया आदिवासी बाहुल्य जिले हैं, वहीं दूसरी ओर सतना, रीवा और सीधी में पिछड़ा वर्ग और जनरल वर्ग का प्रभाव है। विंध्य को साधने के लिए ही दो नेताओं अजय सिंह और कमलेश्वर पटेल को जन आक्रोश यात्रा की जिम्मेदारी दी गई थी और अब समापन पर राहुल गांधी की सभा रखी गई हैं, ताकि आसपास के जिलों के कार्यकर्ताओं में जोश भरा जा सके।
कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी 12 अक्टूबर मंडला में जनसभा को संबोधित करेंगी। कांग्रेस मीडिया विभाग के अध्यक्ष के के मिश्रा के मुताबिक प्रियंका गांधी और पीसीसी चीफ कमलनाथ 12 अक्टूबर दिल्ली से विशेष विमान से सुबह 11 बजे जबलपुर पहुंचेंगे। जिसके बाद हेलीकॉप्टर से 11.45 तक मंडला पहुंचेंगे और वहां दोपहर 12 बजे कांग्रेस की जनसभा को संबोधित करेंगे। सभा के बाद प्रियंका गांधी और कमलनाथ हेलीकॉप्टर से ही जबलपुर रवाना होंगी। जहां से प्रियंका गांधी दिल्ली के लिए रवाना हो जाएंगी।
कांग्रेस का फोकस आदिवासी सीटों पर है, यहीं वजह है कि रणनीति के तहत आदिवासी बाहुल्य इलाकों में राहुल और प्रियंका के दौरे हो रहे हैं। 5 अक्टूबर को प्रियंका गांधी ने धार के मोहनखेड़ा में आमसभा को संबोधित किया था। शहडोल की तीनों विधानसभा सीटें अनुसूचित जनजाति के लिए आरक्षित हैं और तीनों पर भाजपा का कब्जा है। ब्योहारी से शरद कोल, जयसिंहनगर से जयसिंह मरावी और जैतपुर से मनीषा सिंह विधायक हैं। मंडला जिले की भी तीनों विधानसभा सीटें अनुसूचित जनजाति के लिए आरक्षित हैं। 2 पर कांग्रेस और 1 पर भाजपा का विधायक है। बिछिया में कांग्रेस के नारायण सिंह पट्टा, निवास से कांग्रेस के अशोक मर्सकोले और निवास से भाजपा के देवीसिंह सैयाम विधायक हैं। यह वो इलाका है , जहां पर गोंगापा का प्रभाव माना जाता है।
सोशल मीडिया मैनेजमेंट से लेकर पर्सनालिटी डेवलपमेंट तक के लिए कंपनियां हायर कर रहे नेता
8 Oct, 2023 09:45 AM IST | GRAMINBHARATTV.IN
भोपाल । मध्यप्रदेश, छत्तीसगढ़ और राजस्थान में विधानसभा चुनाव नजदीक आ चुके हैं। सभी पार्टियों ने टिकट घोषित करना शुरू कर दिए हैं और कम समय के चलते नेता हर छोटे बड़े काम के लिए प्रोफेशनल लोगों को हायर कर रहे हैं। यह लोग सोशल मीडिया मैनेजमेंट, कंटेंट राइटिंग, बूथ मैनेजमेंट, इमेज बिल्डिंग जैसे तमाम काम कर रहे हैं। इस बार के चुनाव में नेता इन सभी कामों के लिए या तो अलग अलग कंपनियां हायर कर रहे हैं या फिर एक ही कंपनी से यह सब काम करवा रहे हैं।
पिछले एक दशक से बतौर राजनीतिक रणनीतिकार कार्य कर रहे नितिन द्विवेदी कहते हैं कि अब डिजिटल मार्केटिंग और सोशल मीडिया मैनेजमेंट भी राजनीतिक रणनीति का एक महत्वपूर्ण हिस्सा बन चुका है। नितिन का मानना है कि सेलिब्रिटी, खिलाड़ी, नेता, कॉर्पोरेट या सामाजिक संस्था सभी को पब्लिक रिलेशन की जरूरत है। वैसे तो जनता के वोट हासिल करने के लिए नेता सतत संपर्क में रहते हैं और अपनी छवि चमकाने के लिए हरसंभव प्रयास करते हैं लेकिन चुनाव नजदीक आने पर वे प्रोफेशनल लोगों को भी हायर करते हैं। पिछले एक दशक से पार्टियां और प्रत्याशी अपने स्तर पर कई तरह के रणनीतिकार नियुक्त कर रहे हैं। इन कामों में पढ़े लिखे प्रोफेशनल्स युवा और कंपनियां उनकी मदद कर रही हैं। नितिन का मानना है कि जब चुनाव सिर पर होते हैं तब कई तरह के काम एक साथ किए जाते हैं। ऐसे में यह प्रोफेशनल्स बेहतर तरीके से हर काम को कर पाते हैं।
नितिन बताते हैं कि प्रशान्त किशोर ने भारत में राजनीतिक रणनीति को नया मुकाम दिया है। उन्होंने कांग्रेस, भाजपा समेत कई प्रमुख दलों के लिए काम किया और यह साबित किया कि एक प्रोफेशनल कंपनी चुनावों में किस तरह से बेहतर परिणाम ला सकती है। नितिन ने बताया कि पब्लिक रिलेशन प्रोफेशन के अंदर भी आज बहुत सारे काम शामिल हो गए हैं। इन कामों के माध्यम से किसी व्यक्ति, पार्टी या संस्था की छवि को बेहतर बनाया जाता है।
इन कामों के लिए प्रोफेशनल्स की मदद ले रहे नेता
1. मीडिया मैनेजमेंट करना। इसमें मुख्य रूप से प्रेस कॉन्फ्रेंस करना और प्रेस रिलीज बनाना।
2. अगर कुछ अप्रिय स्थिति व्यक्ति या संस्था के साथ बनती है तो छवि सुधारने के लिए नई रणनीति बनाना।
3. विपक्ष के लोगों द्वारा छवि खराब करने पर उसका जवाब देना और उसकी रोकथाम करना।
4. इलेक्शन के समय सर्वे करवाना।
5. पार्टियों को कैंडीडेट्स चयन में मदद करना।
6. बूथ मैनेजमेंट।
7. माइक्रो मैनेजमेंट।
8. मेन टू मेन मार्किंग।
9. घोषणा पत्र बनाना और योजनाओं की जानकारी आम जनता तक प्रभावी ढंग से पहुंचाना।
10. कैंडिडेट का जनता के बीच आचरण बेहतर बनाना।
11. सोशल मीडिया और अन्य माध्यमों से ज्यादा से ज्यादा लोगों तक बात पहुंचाना।
12. प्रभावी भाषण देने की कला विकसित करना।
यात्रा में शामिल नहीं होने वालों का कटेगा टिकट
8 Oct, 2023 08:45 AM IST | GRAMINBHARATTV.IN
भोपाल । मप्र में कांग्रेस इस बार काफी सजग और सतर्क नजर आ रही है। इसलिए पार्टी ने अभी तक एक भी टिकट की घोषणा नहीं की है। दरअसल, पार्टी दावेदारों को हर तरह से परख रही है। इसके लिए एक और पैमाना बनाया गया है, वह है जन आक्रोश यात्रा में परफॉर्मेंस। इसके लिए पार्टी नेताओं की सक्रियता का आकलन कर रही है। जो नेता जन आक्रोश यात्रा में शामिल नहीं हुए हैं उनको टिकट नहीं दिया जाएगा।
गौरतलब है कि प्रदेश की 230 विधानसभा सीटों के लिए कांग्रेस में 5 हजार से अधिक नेता दावेदारी कर रहे हैं। इस कारण कांग्रेस में नेताओं को हर स्तर पर परखा जा रहा है। कांग्रेस सूत्रों का कहना है कि पार्टी ने भाजपा के खिलाफ एंटी इन्कम्बेंसी को बूस्ट करने के लिए जन आक्रोश यात्रा निकाली थी। जन आक्रोश यात्रा पूरे प्रदेश में मिले जन समर्थन से पार्टी के वरिष्ठ नेता गदगद हैं। इसके इतर, पार्टी ने कई स्थानों पर वरिष्ठ नेताओं व टिकट के दावेदारों द्वारा जन आक्रोश यात्रा से दूरी बनाने को गंभीरता से भी लिया है। पार्टी हाईकमान का कहना है कि जन आक्रोश यात्रा किसी नेता की नहीं, कांग्रेस पार्टी द्वारा आयोजित की गई यात्रा थी। इसी कारण सातों यात्राओं में प्रदेश के नेताओं के साथ एआईसीसी के सचिव भी पूरे समय उपस्थित रहे, जो हर गतिविधियों पर नजर रख रहे थे। वे यह भी देख रहे थे कि क्षेत्र में टिकट के दावेदार किस नेता का कितना प्रभाव है।
गौरतलब है कि कांग्रेस ने गणेश चतुर्थी से जन आक्रोश यात्रा का आगाज किया था। यात्रा ने 15 दिन में सभी 230 विधानसभाओं को कवर किया। भाजपा के खिलाफ चल रही एंटी इन्कम्बेंसी का फायदा उठाने के लिहाज से यात्रा का खाका तैयार किया गया था। भाजपा ने जहां अपनी जनआशीर्वाद यात्रा में क्षेत्रीय चेहरों को दरकिनार करते हुए केंद्रीय नेताओं को यात्रा की कमान सौंपी थी। वहीं, कांग्रेस ने क्षेत्रीय नेताओं को मैदान में उतारकर, जनता को जमीनी मुद्दों पर चुनाव लडऩे का मैसेज देने की कोशिश की। लेकिन इस यात्रा में कई नेता दूरी बनाए रहे। अब एआईसीसी के सचिवों ने अपनी रिपोर्ट भी पार्टी हाईकमान को सौंप दी है। बताया जाता है कि विंध्य और ग्वालियर-चंबल इलाके में कांग्रेस पार्टी के कुछ नेताओं ने पार्टी द्वारा निकाली गई जन आक्रोश यात्राओं से दूरी बना ली थी और पार्टी को कोई सूचना भी नहीं दी थी, जबकि कुछ नेता व्यक्तिगत कारणों से यात्रा में शामिल नहीं हुए थे। ऐसे नेताओं ने यात्रा प्रभारियों को सूचना दी थी। दिल्ली में दो दिन पहले हुई स्क्रीनिंग कमेटी की बैठक में यात्रा में चल रहे एआईसीसी के सचिवों ने अपनी रिपोर्ट प्रस्तुत की और बताया कि किस जिले में कौन-कौन नेता पार्टी द्वारा निकाली गई जन आक्रोश यात्रा में शामिल नहीं हुए और वे टिकट की दावेदारी कर रहे हैं। बताया जाता है कि कांग्रेस पार्टी के प्रभारी महासचिव रणदीप सुरजेवाला ने इसे काफी गंभीरता से लिया और साफ कहा कि ऐसे नेताओं को टिकट देने पर विचार नहीं किया जाए। इससे अच्छा संदेश नहीं जाएगा। सुरजेवाला ने कहा कि पार्टी से बड़ा कोई नहीं है।
कांग्रेस सूत्रों का कहना है कि पार्टी हाईकमान के निर्देश के बाद भी यात्रा से अपने- आप को दूर रखने वाले को कारण बताओ नोटिस जारी करने पर भी विचार किया जाएगा। सुरजेवाला का साफ कहना है कि पार्टी में सबसे ज्यादा जरूरी अनुशासन है। इसका पालन नहीं करने वालों पर कार्रवाई होना चाहिए, ताकि भविष्य में पार्टी का कोई नेता या कार्यकर्ता अनुशासनहीनता नहीं करे। गौरतलब है कि इस यात्रा के जरिए कांग्रेस ने करीब 11,400 किलोमीटर की दूरी को कवर किया। यह यात्रा मप्र के सातों संभागों से होकर गुजरी। इस यात्रा की जिम्मेदारियां विधानसभा स्तर पर नेताओं के वर्चस्व के आधार पर तय की गई थी। यात्रा में धार्मिक आयोजन और धार्मिक स्थल पर पूजा पाठ के साथ ही भोजन करने समेत कई कार्यक्रम हुए। यात्रा के दौरान जन सभा, नुक्कड़ नाटक जैसे सामाजिक कार्यक्रम भी हुए। इसी मॉडल के साथ कांग्रेस कर्नाटक के चुनावी रण में उतरी थी। जहां कांग्रेस की यात्रा सफल रही थी और यात्रा के बाद आने वाले नतीजों में भाजपा का सूपड़ा साफ हो गया था।
कांग्रेस की जन आक्रोश यात्रा की सफलता को देखकर आलाकमान गदगद है। दरअसल, जहां भाजपा ने जनआशीर्वाद यात्रा की कमान केंद्रीय नेताओं को सौंपी थी वहीं, कांग्रेस ने भाजपा की रणनीति को काउंटर करने के लिए स्थानीय नेताओं को मैदान में उतारा था। नेता प्रतिपक्ष गोविंद सिंह, पूर्व केंद्रीय मंत्री अरुण यादव, सीडब्लूसी मेंबर कमलेश्वर पटेल, पूर्व नेता प्रतिपक्ष अजय सिंह, पूर्व केंद्रीय मंत्री सुरेश पचौरी, पूर्व केंद्रीय मंत्री कांतिलाल भूरिया और पूर्व मंत्री जीतू पटवारी को कांग्रेस ने यात्रा की कमान सौंपी थी। इसके जरिए कांग्रेस ने एक साथ कई समीकरणों को साधा है। नेता प्रतिपक्ष गोविंद सिंह ग्वालियर-चंबल की राजनीति में अच्छी-खासी दखल रखते हैं। पूर्व मंत्री और कांग्रेस के यूथ चेहरे जीतू पटवारी के कार्यक्रमों में भारी भीड़ हुई। किसानों के मुद्दे पर पटवारी सरकार का मुखर विरोध करते देखे गएं, इसी की बानगी बीते दिनों इंदौर में आयोजित किसान ट्रैक्टर रैली में देखने को मिली थी। ओबीसी वर्ग से आने वाले कमलेश्वर पटेल ने विंध्य में भाजपा के खिलाफ चल रही लहर को और मजबूती दी है। बुंदेलखंड के जातीय समीकरणों के लिहाज से पूर्व केंद्रीय मंत्री अरुण यादव को जिम्मेदारी सौंपी गई है। वहीं, आदिवासी वर्ग से आने वाले पूर्व केंद्रीय मंत्री कांतिलाल भूरिया कद्दावर नेता होने के साथ-साथ जातिगत समीकरणों को साधने में भी कांग्रेस के लिए तुरुप का इक्का साबित हो सकते हैं।
निर्वाचन आयोग ने दाम किए तय,आठ पुड़ी, दो सब्जी, आचार के लगेंगे 80 रुपए, साफा के 150
7 Oct, 2023 11:00 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
भोपाल । जैसे जैसे विधानसभा चुनाव का समय नजदीक आता जा रहा है उसी के साथ निर्वाचन आयोग द्वारा तैयारियों को अंतिम रूप दे दिया है। चुनाव के दौरान खाने की सामग्री के भी रेट तय कर दिए हैं। ऐसे में आठ पुड़ी, 2 सब्जी, आचार व एक मिठाई के पीस के 80 रुपये लगेंगे। चुनाव के दौरान कार्यकर्ताओं व पदाधिकारियों को खाने का भी इंतजाम किया जाता है। चाय, खाना, आइसक्रीम, नाश्ते में पोहा, जलेबी, समोसा, कचोरी आदि पर भी रुपये खर्च किए जाते हैं। कार्यकर्ताओं व मतदाताओं पर खूब रुपये इस तरह से लुटाए जाते हैं। ऐसे में अनावश्यक व ज्यादा खर्च न करें उसके लिए जरूरी सामग्री के दाम तय कर दिए है।
भोजन स्पेशल पैकेट के 80 रुपये
जो रेट तय किए है उनमे ऐसे में भोजन स्पेशल पैकेट में 8 पुड़ी, 2 सब्जी, आचार व एक मिठाई के पीस के 80 रुपये लगेंगे। भोजन सादा पैकेट के 35 रुपये काउंट किए जाएंगे। 35 रुपये के पैकेट में 5 पुड़ी, एक सब्जी व अचार रहेगा। एक ओर भोजन स्पेशल थाली में चार रोटी, दाल, चावल, पनीर, अचार, मिठाई, व सलाद दिया जाएगा। इस थाली के दाम 120 रुपये तय किए हैं।
काजू कतली 700 रुपये और बंगाली मिठाई 350
इसके आलावा से सेव व नमकीन प्रतिकिलो 240-240 रुपये, मलाई बर्फी 350, काजू कतली 700, बेसन लड्डू 409 रुपये प्रतिकिलो, बूंदी के लड्डू 250, बंगाली मिठाई 350 रुपये प्रतिकिलो की दर से राशि काउंट की जाएगी। इसके आलावा कचोरी, समोसा के 10-10 रुपये व खमंड व दहीबड़ा के 20-20 रुपये जोड़े जाएंगे। पोहा के 10 रुपये, चाय कट 5 व चाय फुल के 7 रुपये लगेंग। जलेबी प्रतिकिलो 200 रुपये, फलहारी नमकीन 300 रुपये किलो के जोड़े जाएंगे।
125 के टीशर्ट, साफा के 150 रुपये
निर्वाचन आयोग द्वारा जो रेट तय किए है उसके मुताबिक गले की साफी के 20 रुपये जोड़े जाएंगे। इसके अलावा बैच के 5 रुपये, कैफ के 25 रुपये, टीशर्ट पोलिस्टर प्रति नग 100 रुपये व टीशर्ट प्रति नग 125 रुपये लगेंगे। इसके आलावा स्वागत करने के लिए विशेष साफा के 150 रुपये व सामान्य साफा के 70 रुपये निर्वाचन आयोग द्वारा जोड़े जाएंगे. कपड़े का बैनर के 50 रुपये व कपड़े के झंडे के अलग अलग साइज के 12, 21 व 30 रुपये लगेंगे।
टैंकर व फायर ब्रिगेड के भी लगेंगे रुपये
उम्मीदवारों व दलों द्वारा यदि नगरीय निकायो के टैंकर व फायर ब्रिगेड का उपयोग किया गया तो उसके भी रुपये लगेंगे। जो रेट तय किए है। उसके मुताबिक फायर ब्रिगेड के एक एक हजार रुपये लगेंगे। इसके आलावा टेंकरो के 250 से 600 रुपये तक लगेंगे। सबसे महंगा टेंकर नरसिंहगढ़ में 600 रुपये में मिलेगा. इसके आलावा सारंगपुर व खुजनेर में सबसे कम 250 रुपये में टैंकर मिलेंगे।
टेंट लगेगा 1.50 लाख व 81 हजार का
वाटर फ्रूफ डोम जिसकी ऊंचाई 15 फीट, चौड़ाई 100 फीट व लंबाई 30 फीट रहेगी उसके 1 लाख 50 हजार रुपये लगेंगे। इसके आलावा छोटे डोम के 81 हजार रुपये लगेंगे। पाइप पंडाल सीलिंग सहित 560 रुपये लगेंगे। 15 फीट के राउंड पांडाल के 22 हजार रुपये लगेंगे। पंडाल में सफ़ेद पर्दा के 180 रुपये, रंगीन पर्दा के 100 रुपये लगेंगे। सोफा साधारण दो सीटर 90, तीन सीटर 150, वीआई सोफा एक सीटर 100 रुपये, वीआई सोफा दो सीटर 200 रुपये, कलर वाला ग्रीन हाउस वीआइपी 30 हजार रुपये, गमले पौधे सहित 90 रुपये, फ्लावर डेकोरेशन 85, तख्त लोहे का 140 रुपये, टेबल चादर सहित 45 रुपये व टी टेबल 55 रुपये लगेंगे।
स्टैंड फेन 15 व सीलिंग फेन 20 रुपये लगेंगे। जंबो कूलर के 20 व वीआइपी साउंड रहित कूलर के 200 रुपये लगेंगे। सादा कुर्सी 5 व कवर सहित कुर्सी 20, वेलकम गेट 25 रुपये लगेंगे। दरी के प्रतिनग 25 रुपये, मेटी के 65, रेड पट्टी के 4, स्टेज सीढ़ी के 35 रुपये लगेंगे। सादा गद्दा के 15 व फोम गद्दे के 45 रुपये लगेंगे। गोल तकिया, लोड के 10 रुपये लगेंगे। पानी के लिए स्टील ग्लास के प्रति सेंकड़ा 15 रुपये, स्टील बाल्टी प्रति नग 4 रुपये, पानी जग 2 रुपये, स्टील टब 15 रुपये, दीपक स्टैंड के 30 रुपये, मेटल लेम्प 95 रुपये, पोडियम माइक सहित 180 रुपये लगेंगे।