मध्य प्रदेश
प्रधानमंत्री मोदी द्वारा जीआईएस-2025 का शुभारंभ प्रदेशवासियों के लिये गौरवशाली क्षण
24 Feb, 2025 09:15 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
भोपाल : मध्यप्रदेश की राजधानी और झीलों की नगरी भोपाल में सोमवार को नया इतिहास रचा गया है। हमारे लिए यह गौरव की बात है कि 8 वीं ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट-2025 के इस ऐतिहासिक समागम का शुभारंभ हमारे यशस्वी प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी के आशीर्वाद के साथ हुआ है। ये दो दिन मध्यप्रदेश की प्रगति और विकास के नये आयाम स्थापित करेंगे। इस वर्ष की थीम है ‘अनंत संभावनाएँ’, जो मध्यप्रदेश में उद्योग और निवेश की असीमित संभावनाओं को दर्शाती है। इन्वेस्टर्स समिट के रूप में निवेश मनीषियों का यह समागम अनंत संभावनाओं के साथ विकास का नया इतिहास लिखने जा रहा है। हमारे लिये सौभाग्य की बात है कि राजा भोज की नगरी भोपाल अपने गौरवशाली अतीत के साथ भविष्य की स्वप्निल उड़ान के लिये तैयार है।
हमें अति प्रसन्नता है कि दुनिया के सबसे बड़े गणतंत्र के सबसे बड़े नायक, यशस्वी प्रधानमंत्री स्वयं इस समिट के साक्षी बने और उन्होंने मध्यप्रदेश को स्वर्णिम विकास का आशीर्वाद दिया। समिट में अनेक देशों के प्रतिनिधि, उद्योग जगत के प्रमुख उद्योगपति, निवेशक बंधु, मध्यप्रदेश के प्रवासी मित्र आदि शामिल हुए हैं। मैं इस समिट में पधारे सभी निवेशकों का अपने ह्दय की गहराइयों से मध्यप्रदेश की साढ़े आठ करोड़ जनता की ओर से स्वागत करता हूं।
हमारे यशस्वी प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी के नेतृत्व में भारत विकास की नई ऊंचाइयों की ओर बढ़ रहा है। उनके नेतृत्व में भारत विश्व की तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बनने की ओर अग्रसर है। आज पूरी दुनिया में भारत और भारतवासियों का सम्मान बढ़ा है। प्रधानमंत्री जी का संकल्प है कि वर्ष 2047 तक भारत आर्थिक और सामरिक रूप से विश्व में सर्वश्रेष्ठ शक्ति बने। प्रधानमंत्री जी के इस संकल्प के अनुरूप ही मध्यप्रदेश ने विकास की रूपरेखा तैयार की है। विकास का यह स्वरूप विरासत के साथ वैश्विक भी है।
मुझे यह बताते हुए प्रसन्नता है कि यशस्वी प्रधानमंत्री जी की प्रेरणा से हम एक वर्ष पहले निवेश और औद्योगिक विकास की यात्रा पर निकले। मध्यप्रदेश क्षेत्रफल की दृष्टि से दूसरा सबसे बड़ा राज्य है। यह जल, वन,खनिज,पुरा और कृषि संपदा से समृद्ध है। विविधता से संपन्न प्रदेश के हर क्षेत्र की अपनी विशेषता है, क्षमता है, मेधा है और आवश्यकता है। इसी को केन्द्र में रखकर हमने पहली बार सबसे पहले रीजनल इन्वेस्टर्स समिट का नवाचार किया। इसमें प्रदेश के हर क्षेत्र का कौशल और उद्यम शामिल हुआ। हमने व्यापार में सरलता और निवेशकों के साथ सीधे संवाद को प्राथमिकता दी। मार्च 2024 में उज्जैन से शुरू हुई इस निवेश यात्रा में जबलपुर, ग्वालियर, सागर, रीवा, शहडोल, नर्मदापुरम, मुंबई, कोयंबटूर, बेंगलुरु, कोलकाता, पुणे, दिल्ली, यूके, जर्मनी और जापान आदि शामिल हैं। इन विभिन्न सम्मेलनों, राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय रोड-शोज के माध्यम से मध्यप्रदेश ने 4.8 लाख करोड़ रुपये के निवेश प्रस्ताव प्राप्त किए हैं। इन निवेश प्रस्तावों ने लगभग 2 लाख नए रोज़गार के अवसर सृजित किए हैं, जो प्रदेश के प्रति निवेशकों के विश्वास को दर्शाता है।
हमने वर्ष-2025 को ‘उद्योग एवं रोजगार वर्ष’ के रूप में मनाने का निर्णय लिया और लक्ष्य निर्धारित किया। इसी दिशा में निवेश को प्रोत्साहित करने के लिए विभिन्न कदम उठाये। निवेश को सरल,सहज और व्यवहारिक बनाने के लिए विभिन्न उद्योगों और क्षेत्रों के लिए विशेष नीतियां बनाई गईं। निवेश, उद्योग, ऊर्जा, स्वास्थ्य, पर्यावरण, नवाचार, अनुसंधान, बुनियादी ढांचे के विकास के लिए 19 नई नीतियां लेकर आए हैं। इन नीतियों से ऑटोमोबाइल, टेक्सटाइल एवं गारमेंट, कृषि, दवा उत्पादन, आईटी, डाटा सेंटर एवं जी.सी.सी, एनिमेशन एवं गेमिंग, ड्रोन एवं सेमी-कंडक्टर, खनिज, पेट्रोलियम, पर्यटन, शिक्षा तथा चिकित्सा के क्षेत्र में निवेश कर अच्छा वित्तीय लाभ प्राप्त किया जा सकता है। प्रधानमंत्री ने मध्यप्रदेश को देश का टेक्सटाइल कैपिटल और मैन्युफैक्चरिंग का फेवरिट डेस्टिनेशन कहा है। यह हमारे लिए सौभाग्य की बात है। साथ ही हमें टेक्सटाइल, टूरिज्म और टेक्नोलॉजी का ‘ट्रिपल-टी’ मंत्र दिया है, हम उस मंत्र का अनुसरण करेंगे।
हम भाग्यशाली है कि माननीय प्रधानमंत्री जी के मार्गदर्शन और आशीर्वाद से मध्यप्रदेश को लगातार महत्वपूर्ण सौगातें मिल रही हैं। इससे प्रदेश की अर्थव्यवस्था ने तेजी से विकास करते हुए अन्य प्रदेशों से चार गुना से अधिक प्रगति की है। केन्द्र और प्रदेश की डबल इंजन सरकार, डबल डिजिट की विकास दर के साथ निरंतर आगे बढ़ रही है।
उद्योगों के विकास और विस्तार के लिए भूमि, जल, बिजली और कुशल कार्यबल आवश्यक है। मुझे यह बताते हुए संतोष है कि हमारे प्रदेश में सरप्लस बिजली है, पर्याप्त पानी है, विशाल लैंड बैंक है और स्किल्ड मेन पॉवर है। कुशल कार्यबल निर्मित करने के लिए हमने ग्लोबल स्किल पार्क की स्थापना की, जिसमें कौशल संवर्धन के लिए विभिन्न कार्यक्रम संचालित किए जा रहे हैं।
प्रदेश में विकास, निर्माण और उद्योगों को बढ़ावा देने के लिए ईज ऑफ डूइंग व्यवस्था की गई, देश में सबसे पहले मध्यप्रदेश लोक सेवा गारंटी लागू कर समय पर सेवाएं प्रदान करने का क्रम निर्मित किया। किसानों के लिए लाभकारी लैंड-पूलिंग योजना लागू की और कृषि उपज व्यवस्था कोसीधे उद्योग जगत से जोड़ा। मध्यप्रदेश की जीवन रेखा माँ नर्मदा से यहां जल संपदा की प्रचुरता है। मुझे यह बताते हुए खुशी है कि प्रधानमंत्री जी के नेतृत्व में प्रदेश को केन-बेतवा और पार्वती-काली सिंध-चंबल रिवर लिंक परियोजना की सौगात मिली है।
ऊर्जा संपन्न मध्यप्रदेश ने नवकरणीय ऊर्जा के क्षेत्र में कई नवाचार किए। रीवा सोलर प्लांट से दिल्ली मेट्रो को बिजली की आपूर्ति हो रही है। वर्ष 2030 तक प्रधानमंत्री जी द्वारा नवकरणीय ऊर्जा और हरित हाइड्रोजन उत्पादन का जो लक्ष्य रखा है उसमें मध्यप्रदेश महत्वपूर्ण योगदान देने के लिए तैयार है।
मध्यप्रदेश को देश का मुख्य इंडस्ट्रियल हब बनाने के लिए देशभर के एक्सप्रेस-वे से जोड़ने का प्रयास किया जा रहा है। अधोसंरचना विकास के अंतर्गत मेगा फुटवेयर क्लस्टर (मुरैना), नवकरणीय ऊर्जा उपकरण निर्माण (मोहासा-बाबई) और पीएम मित्रा पार्क (धार) सहित कई बड़े प्रोजेक्ट प्रगति पर हैं। विक्रम उद्योगपुरी (उज्जैन) में मेडिकल डिवाइसेज पार्क और 06 नए औद्योगिक क्षेत्रों का विकास हो रहा है। मुझे यह बताते हुए संतोष है कि आगामी वर्ष में 13 औद्योगिक पार्क पूर्ण होंगे और 20 नए औद्योगिक पार्कों का कार्य प्रारंभ किया जाएगा, जिससे प्रदेश में निवेश और रोज़गार के नए अवसर सृजित होंगे।
हमारा प्रदेश सांस्कृतिक धरोहरों से समृद्ध है। इस समिट में दुनिया भर से पधारे औद्योगिक प्रतिनिधि और निवेशक प्रदेश के पर्यटन और सांस्कृतिक वैभव से परिचित होंगे। हमने विरासत से विकास का संकल्प लिया है। भारत का वैभवशाली और समृद्ध इतिहास है। अपनी वैभवशाली विरासत के साथ इस ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट में इन्फॉर्मेशन टेक्नोलॉजी, आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस, स्पेस टेक्नोलॉजी, डिफेंस टेक्नोलॉजी तथा अन्य प्रतिस्पर्धी क्षेत्रों में निवेश को केन्द्रित किया गया है।
प्रधानमंत्री जी का संकल्प है आजादी के 100वें वर्ष यानी वर्ष 2047 तक भारत को 35 ट्रिलियन डॉलर की पूर्ण विकसित अर्थव्यवस्था बनाना और विश्व की सर्वोच्च शक्ति के रूप में स्थापित करना है। विकसित भारत निर्माण के इस संकल्प में आर्थिक विकास, सामाजिक प्रगति, पर्यावरणीय स्थिरता और सुशासन सहित विकास के विभिन्न पहलू शामिल हैं। प्रधानमंत्री जी के इस संकल्प की पूर्ति में मध्यप्रदेश सहभागी बनने के लिये प्रतिबद्ध है। यह समिट प्रधानमंत्री जी के सकंल्प,प्रदेश के विकास और जनता के विश्वास को पूरा करेगी।
इस समिट में क्षेत्रीय, राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय उद्योग जगत शामिल हो रहा है। यह पहला अवसर है जब ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट में गांव से लेकर ग्लोबल का समागम हो रहा है। मुझे पूर्ण विश्वास है कि यह समिट मध्यप्रदेश की आधारभूत प्रगति और समृद्धि की नई इबारत लिखेगी। विकसित मध्यप्रदेश निर्माण के साथ विकसित भारत निर्माण में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगी।
मध्यप्रदेश में औद्योगिक विकास के स्वर्ण युग का सुप्रभात : संपत्तिया उइके
24 Feb, 2025 04:36 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
संपत्तिया उइके(लोकस्वास्थ्य यांत्रिकी मंत्री, मध्यप्रदेश सरकार)
मध्यप्रदेश की राजधानी भोपाल में आज यशस्वी प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के मुख्य आतिथ्य में आयोजित ऐतिहासिक ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट : मुख्यमंत्री मोहन यादव
मुख्यमंत्री मोहन यादव के उस शुभ संकल्प का सुखद प्रतिफल है जो आज से सवा साल पहले पहली बार मुख्यमंत्री की कुर्सी पर आसीन होने के तत्काल बाद उन्होंने लिया था। मुझे याद है कि उस मुख्यमंत्री के उस संकल्प को बहुत गंभीरता से नहीं लिया गया परंतु राजधानी भोपाल में आज संपन्न होने जा रही भव्य ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट इस बात की परिचायक है कि मध्यप्रदेश को देश के प्रगतिशील राज्यों की कतार में अग्रणी स्थान का अधिकारी बनाने के लिए कृत संकल्प मुख्यमंत्री के अंदर वह इच्छा शक्ति कूट कूट कर भरी है जो किसी भी " सर्वजन हिताय सर्वजन सुखाय " संकल्प की पूर्ति की पहली शर्त होती है। दरअसल मुख्यमंत्री मोहन यादव ने अपना पदभार संभालते ही राज्य के द्रुतगामी औद्योगिक विकास के अपने सुनहरे स्वप्न को साकार करने की अभिलाषा की पूर्ति हेतु राज्य में क्षेत्रीय निवेशक सम्मेलनों की श्रंखला आयोजित करने की जो पहल की उसके सुखद परिणामों से यह संकेत मिलने लगे थे कि मध्यप्रदेश अब औद्योगिक विकास के स्वर्ण युग की दहलीज पर पहुंच चुका है। मुख्यमंत्री के कुशल मार्गदर्शन में संपन्न होने जा रही इस भव्य ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट ने आज राजधानी को मध्यप्रदेश के औद्योगिक विकास के स्वर्ण युग के सुप्रभात का साक्षी बनने का अवसर प्रदान किया है। यह भी संभवतः प्रथम अवसर है जब प्रधानमंत्री ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट के आयोजन के एक दिन पूर्व भोपाल पहुंचकर राज्य के सांसदों और विधायकों से अनूठा संवाद करेंगे। निश्चित रूप से यह संवाद मध्यप्रदेश के बहुमुखी विकास की नयी संभावनाएं तलाशने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा। मुख्यमंत्री ने कहा है कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में नेतृत्व में मध्यप्रदेश आज आर्थिक क्रांति के एक नए युग में प्रवेश कर रहा है। प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी की उपस्थिति में जब ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट-2025 (GIS-2025) का शुभारंभ हो रहा है, तब यह आयोजन न केवल प्रदेश बल्कि पूरे देश के औद्योगिक विकास को नई ऊंचाइयों तक ले जाने वाला साबित होगा। इस समिट के माध्यम से मध्यप्रदेश वैश्विक निवेश केंद्र के रूप में उभरने के लिए तैयार है। मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव जी के नेतृत्व में प्रदेश सरकार ने नई उद्योग नीति, लॉजिस्टिक हब, पर्यटन प्रोत्साहन और शौर्य ऊर्जा नीति के रूप में ऐसे निर्णायक कदम उठाए हैं, जो इस आयोजन को जमीनी धरातल पर सफल बनाएंगे।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की 'मेक इन इंडिया' और 'स्टार्टअप इंडिया' पहल का प्रभाव
प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी की "मेक इन इंडिया", "स्टार्टअप इंडिया", "डिजिटल इंडिया" और "आत्मनिर्भर भारत" जैसी योजनाओं ने देश में औद्योगिक विकास को नया आयाम दिया है। GIS-2025 इन पहलों को प्रदेश में लागू करने के लिए ठोस मंच प्रदान कर रहा है। मेक इन इंडिया: मध्यप्रदेश में मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर को बढ़ावा देने के लिए कई औद्योगिक क्षेत्रों में निवेश आकर्षित किया जा रहा है। पीथमपुर (इंदौर), मंडीदीप (भोपाल), मालनपुर (ग्वालियर), मेघनगर (झाबुआ) जैसे औद्योगिक हब इस अभियान को गति दे रहे हैं। स्टार्टअप इंडिया: इंदौर और भोपाल में आईटी और स्टार्टअप हब विकसित किए जा रहे हैं, जिससे प्रदेश में इनोवेशन और नई तकनीक आधारित उद्यमिता को प्रोत्साहन मिलेगा। मध्यप्रदेश सरकार की नई उद्योग नीति: निवेशकों के लिए स्वर्णिम अवसर मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव जी के नेतृत्व में प्रदेश सरकार ने नई उद्योग नीति को लागू किया है, जिससे देश-विदेश के निवेशकों को आकर्षित किया जा सके।
कैबिनेट में लिए गए निर्णयों के तहत
उद्योगों को सिंगल विंडो क्लीयरेंस सिस्टम के तहत त्वरित मंजूरी दी जाएगी।
ईज ऑफ डूइंग बिजनेस रैंकिंग में सुधार के लिए नीतिगत बदलाव किए गए हैं।
निवेशकों को कस्टमाइज़्ड पैकेज दिए जाएंगे, जिससे प्रदेश में एफडीआई (विदेशी प्रत्यक्ष निवेश) का प्रवाह तेज होगा।
मध्यप्रदेश: खनिज संपदा और लॉजिस्टिक हब के रूप में विकसित हो रहा है
प्रदेश की समृद्ध खनिज संपदा के दोहन और लॉजिस्टिक सेक्टर में निवेश को प्रोत्साहित करने के लिए सरकार ने नई नीतियां लागू की हैं: बालाघाट में तांबा और मैंगनीज उद्योग, पन्ना में हीरा उद्योग, सतना-कटनी में सीमेंट उद्योग को वैश्विक स्तर पर प्रतिस्पर्धी बनाने के लिए योजनाएं बनाई गई हैं। इंदौर और भोपाल को लॉजिस्टिक हब के रूप में विकसित किया जा रहा है, जिससे व्यापार और निर्यात को गति मिलेगी।
रेल, सड़क और एयर कनेक्टिविटी को बेहतर बनाने के लिए नई परियोजनाएं लाई गई हैं।
पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए नई पहल
मध्यप्रदेश अपनी ऐतिहासिक और प्राकृतिक धरोहर के लिए प्रसिद्ध है। प्रदेश सरकार ने पर्यटन को औद्योगिक विकास से जोड़ने के लिए नई योजनाएं लागू की हैं:
धार्मिक पर्यटन: उज्जैन (महाकाल लोक), चित्रकूट, ओंकारेश्वर और अमरकंटक जैसे तीर्थस्थलों को विश्व स्तरीय पर्यटन स्थल बनाया जा रहा है।
वाइल्डलाइफ टूरिज्म: कान्हा, बांधवगढ़, सतपुड़ा और पेंच नेशनल पार्क को वैश्विक स्तर पर बढ़ावा दिया जा रहा है।
एडवेंचर और इको-टूरिज्म: पचमढ़ी, भीमबेटका और मांडू जैसे स्थानों में पर्यटन सुविधाओं का विस्तार किया जा रहा है।
फिल्म सिटी: मध्यप्रदेश में फिल्म टूरिज्म को बढ़ावा देने के लिए भोपाल और उज्जैन में फिल्म सिटी निर्माण की योजना बनाई जा रही है।
शौर्य ऊर्जा नीति: अक्षय ऊर्जा में आत्मनिर्भरता की ओर बढ़ता मध्यप्रदेश
मध्यप्रदेश ने शौर्य ऊर्जा नीति के तहत अक्षय ऊर्जा को बढ़ावा देने के लिए कई महत्वपूर्ण निर्णय लिए हैं
रीवा सोलर प्लांट के बाद अब प्रदेश में ओंकारेश्वर फ्लोटिंग सोलर प्लांट स्थापित किया जा रहा है।
पवन और सौर ऊर्जा में निवेश आकर्षित करने के लिए सरकार ने नई नवीकरणीय ऊर्जा नीति लागू की है।
2030 तक मध्यप्रदेश को ग्रीन एनर्जी हब बनाने की योजना पर कार्य किया जा रहा है।
GIS-2025: मध्यप्रदेश के उज्जवल भविष्य की ओर एक निर्णायक कदम
GIS-2025 में जर्मनी, जापान, स्विट्जरलैंड, मलेशिया, यूनाइटेड किंगडम, पोलैंड, नीदरलैंड और कनाडा जैसे देशों के निवेशकों की भागीदारी दर्शाती है कि मध्यप्रदेश अब वैश्विक औद्योगिक केंद्र के रूप में अपनी पहचान बना रहा है। प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी की प्रेरणा और मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव जी के नेतृत्व में यह आयोजन प्रदेश के उद्योग जगत को एक नई दिशा देगा। मध्यप्रदेश अब बीमारू राज्य नहीं, बल्कि आत्मनिर्भर भारत के निर्माण में एक मजबूत औद्योगिक शक्ति के रूप में उभर रहा है। नई उद्योग नीति, लॉजिस्टिक हब, पर्यटन, खनिज संपदा और अक्षय ऊर्जा के क्षेत्र में किए गए प्रयास GIS-2025 को जमीनी धरातल पर सफल बनाएंगे। यह आयोजन न केवल प्रदेश बल्कि पूरे देश के औद्योगिक भविष्य को एक नई दिशा देगा। GIS-2025 के माध्यम से मध्यप्रदेश वैश्विक निवेश से औद्योगिक मानचित्र पर अपनी मजबूत पहचान स्थापित करेगा और आत्मनिर्भर भारत के संकल्प को साकार करने की दिशा में ऐतिहासिक कदम उठाएगा।
ग्लोबल इंवेस्टर्स समिट 2025 को गौतम अदाणी ने किया संबोधित
24 Feb, 2025 04:09 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
भोपाल। अदाणी समूह के चेयरमैन गौतम अदाणी ने सोमवार को भोपाल में आयोजित मध्य प्रदेश ग्लोबल इंवेस्टर्स समिट 2025 को संबोधित किया। इस मौके पर अडानी ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के कुशल नेतृत्व में देश आगे बढ़ रहा है। यह कुशल नेतृत्व का ही कमाल है कि आज भारत ग्लोबल ट्रेंड के अनुसार नहीं चलाता है, बल्कि वह खुद ट्रेंड सेट कर रहा है। उन्होंने कहा कि पीएम मोदी की ओर से शुरू किए गए मेक इन इंडिया, डिजिटल इंडिया और आत्मनिर्भर भारत जैसी पहलों ने अर्थव्यवस्था को बहुत तेज गति दी है। अदाणी समूह के प्रमुख ने मध्य प्रदेश में दो लाख 10 हजार करोड़ रुपये के निवेश की घोषणा की। अदाणी समूह यह भारी भरकम निवेश पंप स्टोरेज, सीमेंट, स्मार्ट मीटर, माइनिंग और थर्मल एनर्जी जैसे क्षेत्रों में होगा। इस निवेश से प्रदेश में 2030 तक करीब सवा लाख रोजगार का सृजन होगा।
ग्लोबल इंवेस्टर्स समिट में अदाणी ने कहा,
प्रधानमंत्री मोदी जी आपके कुशल नेतृत्व में भारत ने हमेशा के लिए अपने आप को बदल लिया है। आपने भारत को एक इसतरह के देश में बदल दिया है, जो पहले ग्लोबल ट्रेंड पर चलता था। लेकिन अब वहां उन्हें परिभाषित कर रहा है। उन्होंने कहा, आपकी ओर से शुरू की गईं मेक इन इंडिया,डिजिटल इंडिया और आत्मनिर्भर भारत जैसी पहलों ने हमारी अर्थव्यवस्था को गति देकर उन्हें आत्मनिर्भरता और नवाचार के युग में बदला है। आज से पहले भारत में इतना आत्मविश्वास कभी नहीं था और न ही अंतरराष्ट्रीय मंचों पर भारत को कभी इतना अधिक महत्व दिया जाता था। उन्होंने कहा कि जब कोई देश खुद पर भरोसा करता है, तभी दुनिया भी उस पर भरोसा करती है।
दिग्गज कारोबारी अदाणी ने मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री डॉक्टर मोहन यादव के नेतृत्व कौशल और विकास को लेकर उनकी सोच का जमकर तारीफ की। उन्होंने कहा, मुख्यमंत्री जी आपके प्रशासन का ध्यान कारोबार लायक माहौल बनाने और बुनियादी सुविधाओं के विकास पर है। इस प्रयास ने मध्य प्रदेश को देश में निवेश के लिए तैयार अग्रणी राज्यों में से एक बना दिया है। उन्होंने कहा कि वित्त वर्ष 2024-2025 के लिए राज्य का 15 लाख करोड़ रुपये से अधिक का सकल राज्य घरेलू उत्पाद आपके कारोबार समर्थक नीति और विकास के प्रति प्रतिबद्धता को दिखाता है। उन्होंने कहा कि नेतृत्व केवल सड़क और पुल बनाना ही नहीं है, बल्कि यह असीम संभावनाओं के लिए रास्ता तैयार करना है। आप मध्य प्रदेश के लिए काम कर रहे हैं। इस काम में अदाणी ग्रुप आपके साथ खड़ा है। उन्होंने बताया दी कि अदाणी ग्रुप ने प्रदेश में अब तक 50 हजार करोड़ रुपये से ज्यादा का निवेश एनर्जी, इंफ्रास्ट्रक्चर, मैन्युफैक्चरिंग, लॉजिस्टिक्स और कृषि व्यापार के क्षेत्र में किया है। उन्होंने बताया कि इससे 25 हजार रोजगार का सृजन हुआ है।
कारोबारी अडानी ने बताया कि इसके अतिरिक्त अदाणी समूह ग्रीन फिल्ड स्मार्ट सिटी के निर्माण, एयरपोर्ट प्रोजेक्ट और कोल गैसीफिकेशन प्रोजेक्ट पर मोहन सरकार से बातचीत कर रहा है। इन परियोजनाओं में अतिरिक्त एक लाख करोड़ रुपये का निवेश होगा।
भोपाल के इस उद्योगपति के घर पहुंचे गौतम अडानी
24 Feb, 2025 03:01 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
भोपाल। अडानी समूह के अध्यक्ष गौतम अडानी ग्लोबल इंवेस्टर्स समिट में शामिल होने भोपाल पहुंचे है। इसी क्रम में आज वह भोपाल के जाने-माने उद्योगपति दिलीप सूर्यवंशी के घर पहुंचे, जहां पर उन्होंने सूर्यवंशी के बेटे रोहन को शादी की शुभाशीष (शुभकामनाएं) देते हुए पूरे परिवार से मुलाकात की है। बताया जा रहा है कि लगभग 30-45 मिनिट तक गौतम अडानी दिलीप सूर्यवंशी के बंगले पर रूकेंगे।
मोदी के पसंदीदा मुख्यमंत्री बने मोहन
24 Feb, 2025 02:14 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
भोपाल । भोपाल की ग्लोबल इन्वेस्टर समिट में शामिल हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने खुले मन से मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव की प्रशंसा की और इस बेहतर आयोजन के लिए उनकी पीठ थपथपाई। जायज है इससे मुख्यमंत्री के नंबर तो बढ़े ही मगर यह भी अत्यंत महत्वपूर्ण है कि प्रधानमंत्री ने जिस तरह दो दिन का समय मध्य प्रदेश को दिया। उससे ये भी साबित होता है कि मोदी जी मोहन कार्यकाल की अब तक की उपलब्धियों से संतुष्ट है और जनप्रतिनिधियों के साथ संवाद से भी इसकी पुष्टि होती है। मोदी जी ने अपनी मौजूदगी से न सिर्फ समिट को सफल बनाया बल्कि निवेश के रास्तों को भी आसान कर दिया। अब समिट में शामिल देश- विदेश के दिग्गज उद्योगपति / निवेशक बढ़-चढ़कर घोषणाएं करेंगे।प्रधानमंत्री ने भी उनसे यही अनुरोध किया कि यही सही वक्त है जब वे मध्य प्रदेश में निवेश कर सकते हैं। मोदी जी ने उज्जैन के महाकाल लोक की भी तारीफ की और भोपाल पहुंचे उद्यमियों से अनुरोध किया कि वे महाकाल लोक देखने के साथ बाबा महाकाल का भी आशीर्वाद प्राप्त करें।इसमें कोई शक नहीं की मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव ने पहले रीजनल कॉन्क्लेव आयोजित कर पूरे प्रदेश में माहौल बनाया और स्थानीय उद्यमियों और निवेशकों को भी भरोसा दिलाया कि उनकी सरकार सही मायने में उद्योग मित्र की भूमिका निभाएगी। 2025 को जिस तरह मुख्यमंत्री ने उद्योग और रोजगार वर्ष घोषित किया, उसकी भी सराहना मोदी जी कर गए। यानी कुल मिलाकर मोदी के मन में मोहन है और वह उनके पसंदीदा मुख्यमंत्री की टॉप पोजीशन में आ गए हैं। दूसरी तरफ मुख्यमंत्री ने भी इन्वेस्टर समिट के विराट आयोजन से साबित कर दिया कि वह भी किसी से कम नहीं है और राजनीति के साथ सभी फील्ड के माहिर खिलाड़ी है। ये भी कम महत्वपूर्ण नहीं है कि समिट का शुभारंभ जहां मोदी जी ने किया, वही समापन में अमित शाह जी मौजूद रहेंगे। ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट तो शुरुआत है,मप्र ने देश के सबसे विकसित राज्य बनने की अपनी फर्राटा दौड़ का ट्रेलर दिखा दिया है। बाबा महांकाल के भक्त मुख्यमंत्री इस में अवश्य सफल साबित होंगे!
प्रधानमंत्री मोदी ने मध्य प्रदेश ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट 2025 में मुख्यमंत्री मोहन यादव की प्रशंसा की
24 Feb, 2025 02:03 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
नरेंद्र मोदी: मध्य प्रदेश ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट 2025 में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने राज्य में उद्योग और निवेश के नये माहौल को लेकर मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव के कार्यों की प्रशंसा की है. उन्होंने देश की बदलती इकॉनोमी को भी सकारात्मक बताया. प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि कुछ दिन पहले ही वर्ल्ड बैंक कहा था कि भारत आने वाले सालों में इसी तरह से दुनिया की सबसे तेज इकॉनोमी बना रहेगा. प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि मध्य प्रदेश जनसंख्या के हिसाब से भारत का पांचवां सबसे बड़ा राज्य है. वह कृषि के मामले में भारत के अव्वल राज्यों में से है. मिनरल्स के हिसाब से भी मध्य प्रदेश देश के पांच राज्यों में से है.
ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट 2025 में पीएम मोदी के वक्तव्य की कुछ प्रमुख बातें
.कुछ ही दिन पहले क्लाइमेट चेंज पर UN की एक संस्था ने “भारत को सोलर पावर की सुपरपॉवर कहा था.” इस संस्था ने ये भी कहा “जहां कई देश सिर्फ बातें करते हैं, वहीं भारत नतीजे लाकर दिखाता है.
.जिस एमपी में कभी खराब सड़कों के कारण बसें तक नहीं चल पाती थीं वो आज देश की ईवी क्रांति के लीडिंग स्टेट में से एक है.
.जनवरी 2025 तक करीब 2 लाख ईवी एमपी में रजिस्टर्ड हुए. ये करीब 90 फीसदी ग्रोथ ये दिखाता है कि एमपी आज मैन्युफैक्चरिंग के नए सेक्टर्स के लिए भी शानदार डेस्टिनेशन बनता जा रहा है.
.बीते 2 दशक में मध्य प्रदेश के लोगों के सपोर्ट से यहां की भाजपा सरकार ने गवर्नेंस पर फोकस किया. दो दशक पहले तक लोग MP में निवेश करने से डरते थे. आज MP निवेश के लिए देश के टॉप राज्यों में शामिल हो गया है.
.बीते दशक में भारत ने आधारभूत विकास में उछाल का दौर देखा है. इसका बहुत बड़ा फायदा मध्य प्रदेश को मिला है. दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेस-वे जो देश के 2 बड़े शहरों को जोड़ रहा है, उसका बड़ा हिस्सा MP से ही होकर गुजर रहा है. यानी एक तरफ MP को मुंबई के ports के लिए तेज कनेक्टिविटी मिल रही है और दूसरी तरफ North India के बाजार को भी ये कनेक्ट कर रहा है.
.भारत के इतिहास में ऐसा अवसर पहली बार आया है जब पूरी दुनिया भारत के लिए अच्छी संभावनाओ से देख रही है. सभी को भारत से बहुत आशाएं हैं. पिछले कुछ हफ्तों में जो विचार आएं है वो भारत में हर निवेशक के लिए उत्साहवर्धक हैं. यूएन की एक संस्था ने भारत को “सोलर पॉवर की सुपरपॉवर कहा है.”
.एमपी को बड़ा फायदा मिला है. दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेस का बड़ा हिस्सा एमपी से होकर गुजरता है. एमपी मुंबई से जुड़ रहा है. पांच हजार किलोमीटर का सड़क नेटवर्क बन चुका है. लॉजिस्टिक कनेक्टिविटी के कारण एमपी आगे बढ़ रहा है.
.एमपी में रेल नेटवर्क का 100 फीसदी इलेक्ट्रिफिकेशन हो चुका है. हवाई नेटवर्क भी यहां सुधारा गया है. यहां की कमलापति स्टेशन को भी मार्डन बनाया गया है.
.भारत का आत्मविश्वास बढ़ रहा है तो राज्यों का भी आत्मविश्वास बढ़ रहा है. जनसंख्या के हिसाब से मध्य प्रदेश भारत का पांचवां बढ़ा राज्य है.
.भारत ने इंफ्रास्ट्रक्चर के बूम का दौर देखा है. इसका बहुत बड़ा फायदा एमपी को मिला है. दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेस वे दो बड़े शहरों को जोड़ता है. उसका बड़ा हिस्सा एमपी से गुजरता है. आज एमपी में 5 लाख किलोमीटर से अधिक का रोड नेटवर्क है. एमपी में लॉजिस्टिक से जुड़े सेक्टर की ग्रोथ तय है.
'यही सही समय है एमपी में निवेश का', GIS में बोले PM; निवेशकों को दिया 'ट्रिपल-T' मंत्र
24 Feb, 2025 01:36 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
भोपाल । भोपाल में आयोजित ग्लोबल इन्वेस्टर्स (GIS) समिट उद्घाटन के बाद मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने वन-टू-वन चर्चा की। इस दौरान NTPC के चेयरमैन एवं एमडी गुरदीप सिंह से प्रदेश में औद्योगिक विस्तार को लेकर बात की गई। विचार-विमर्श के बाद एमओयू का आदान-प्रदान भी किया गया।
GIS के 24 और 24 के कार्यक्रम
डिपार्टमेंटल समिट
सुबह 11:45 बजे - शाम 06:30 बजे - टेक इंवेस्ट समिट - हॉल 1
सुबह 11:45 बजे - दोपहर 02:00 बजे- नवीन मध्यप्रदेश - समिट हॉल 2
शाम 03:15 बजे - रात 07:00 बजे- फीडर सोलराइजेशन समिट: 2000 मेगावाट कुसुम-सी की प्री-बिड - समिट हॉल 2
पार्टनर कंट्री सेशन
सुबह 11:45 बजे - दोपहर 12:45 बजे - ग्लोबल साउथ पर सत्र - कॉन्फ्रेंस हॉल
दोपहर 12:45 बजे - 01:45 बजे - जर्मनी और मध्यप्रदेश के लिए निवेश रणनीतियों पर सत्र - कंट्री सेशन हॉल
शाम 03:30 बजे - 04:30 बजे- जापान और मध्यप्रदेश के बीच आर्थिक सहयोग पर सत्र - कंट्री सेशन हॉल
थीम आधारित सेशन
सुबह 11:45 बजे - दोपहर 12:45 बजे- मॉलिक्यूल टू मशीन (फार्मा और मेडिकल डिवाइसेस) - सेशन हॉल 1
दोपहर 01:15 बजे - 02:15 बजे - मानव पूंजी में निवेश (कौशल विकास) - सेशन हॉल 1
शाम 04:30 बजे - 05:30 बजे- सड़क अवसंरचना में तेजी: निवेश, नवाचार और संभावनाएं - सेशन हॉल 3
सीआईआई बैठकें
शाम 03:00 बजे - 04:00 बजे- सीआईआई राष्ट्रीय कपड़ा और परिधान समिति की बैठक - कॉन्फ्रेंस हॉल
शाम 04:00 बजे - 05:00 बजे - सीआईआई राष्ट्रीय एमएसएमई परिषद की बैठक - कॉन्फ्रेंस हॉल
शाम 05:00 बजे - 07:00 बजे - विकसित भारत यंग लीडर्स संवाद - कॉन्फ्रेंस हॉल
शाम 03:30 बजे - 04:00 बजे - एमओयू सत्र - सेशन हॉल-3
GIS के 24 और 24 के कार्यक्रम
दोपहर 01:30 बजे - 02:30 बजे - प्रतिनिधियों के लिए भोजन - डेलीगेट्स डाइनिंग हॉल
पीएम मोदी को सीएम मोहन यादव ने भगवान महाकाल की तस्वीर भेंट की।
बजट में लोकल सप्लाई चेन के निर्माण में बल दिया गया
बजट में 12 लाख रुपये की आय को टैक्स फ्री किया गया है। बजट में लोकल सप्लाई चेन के निर्माण में बल दिया गया है, ताकि मैन्युफैक्चरिंग में आत्म निर्भर बन सके। लघु उद्योगों को बढ़ावा दिया जा रहा है। इनकी सप्लाई चेन को मजबूत किया जा रहा है।
विकास में बाधा वाले कानून खत्म
एक दशक से बड़े रिफार्म को गति दी जा रही है। स्थानीय स्तर पर भी इसे गति दी जा रही है। राज्यों के साथ बातचीत की जा रही है। राज्यों के साथ मिलकर बीते सालों में 1500 ज्यादा कानून को खत्म किया गया है। ऐसे कानूनों की पहचान की जा रही है जो विकास में बाधा हैं, ऐसे कानून खत्म किए जा रहे हैं जिनकी उपयोगिता खत्म हो चुकी है। नए सेक्टर को निजी उद्यमियों के लिए खोला जा रहा है। न्यूक्लियर एनर्जी और लीथियम बैटरी का निर्माण नए क्षेत्रों को निवेश के लिए खोला गया है।
पीएम मोदी ने 'ट्रिपल T' पर दिया जोर
आने वाले दिनों में तीन नए सेक्टर की भूमिका है। टेक्सटाइसल, टूरिज्म, टेक्नालॉजी से जुड़े क्षेत्रों को खोला जा रहा है। इसमें अपार संभावनाएं हैं। एमपी देश की कॉटन कैपिटल है। यहां से 30 फीसदी कॉटन सप्लाई किया जाता है। मेलबरी कॉटन का सबसे बड़ा केन्द्र भी एमपी है। यहां से इसकी सप्लाई बहुत है।
एमपी अजब भी है गजब भी है
नर्मदा के दोनों तरफ आदिवासी क्षेत्रों का विकास है। वन्य क्षेत्रों का भी विकास हो रहा है। हेल्थ एंड वैलनेस के क्षेत्र में बहुत अच्छे से निवेश हो रहा है। स्पेशल वीजा भी दिया जा रहा है। इससे एमपी को भी फायदा मिलेगा।
एमपी-मुंबई से जुड़ रहा
एमपी को बड़ा फायदा मिला है। दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेस का बड़ा हिस्सा एमपी से होकर गुजरता है। एमपी मुंबई से जुड़ रहा है। पांच हजार किलोमीटर का सड़क नेटवर्क बन चुका है। लॉजिस्टिक कनेक्टिविटी के कारण एमपी आगे बढ़ रहा है। एमपी में रेल नेटवर्क का 100 फीसदी इलेक्ट्रिफिकेशन हो चुका है। हवाई नेटवर्क भी यहां सुधारा गया है। यहां की कमलापति स्टेशन को भी मार्डन बनाया गया है।
यहां 31 हजार मेगावाट बिजली पैदा हो रही
एनर्जी सेक्टर के बूम का एमपी को लाभ मिला है। एमपी पॉवर सरप्लस है। यहां 31 हजार मेगावाट बिजली पैदा हो रही है। इसमें से 30 फीसदी क्लीन एनर्जी है।
बीना रिफाइनरी में 50 हजार करोड़ का निवेश
बीना रिफाइनरी में 50 हजार करोड़ का निवेश हुआ है। ये एमपी को पेट्रो केमिकल का हब बनाने में मदद करेगा। एमपी में 300 से ज्यादा इंडस्ट्रियल जोन हैं। पीथमपुर, देवास रतलाम में इंवेस्टर जोन बनाए जा रहे हैं। सभी निवेशकों के लिए बेहतर रिटर्न की अपार संभावनाएं हैं।
नदियों जोड़ने से उद्योगों को भी लाभ
उद्योगों के लिए पानी बहुत जरूरी है। इसके लिए एमपी में नदियों जोड़ो अभियान चलाया गया है। यहां की खेती को भी इसका फायदा मिल रहा है। 45 हजार करोड़ रुपये के केन-बेतवा लिंक परियोजना शुरू की गई है। इसके 10 लाख हेक्टेयर जमीन की उर्वरता बढ़ेगी।
संबोधन की शुरुआत में पीएम मोदी ने समारोह में देरी से आने के लिए माफी मांगी। उन्होंने बताया कि बच्चों की परीक्षाओं का समय और मेरा राजभवन से निकलने का समय एक साथ हो रहा था। इसलिए मैं राजभवन से देर से निकला। मैंने सोचा कि बच्चों के निकलने के बाद ही मैं निकलूं। इस वजह से मैंने स्वयं राजभवन से निकलने में लेट कर दिया। अपने संबोधन की शुरुआत करते हुए पीएम ने कहा कि राजा भोज की नगरी में आज का ये कार्यक्रम बहुत अहम है। इस भव्य आयोजन के लिए सीएम मोहन यादव जी और टीम को बहुत बहुत बधाई देता हूं।
आज भारत को सोलर पॉवर कहा जाने लगा है
भारत के इतिहास में ऐसा अवसर पहली बार आया है जब पूरी दुनिया भारत के लिए अच्छी संभावनाएं से देख रही है। सभी को भारत से बहुत आशाएं हैं। पिछले कुछ हफ्तों में जो विचार आएं है वो भारत में हर निवेशक के लिए उत्साहवर्धक हैं। यूएन की एक संस्था ने भारत को सोलर पॉवर की सुपरपॉवर कहा है।
पहले लोग मध्य प्रदेश में निवेश करने से डरते थे
भारत का आत्मविश्वास बढ़ रहा है तो राज्यों का भी आत्मविश्वास बढ़ रहा है। जनसंख्या के हिसाब से मध्य प्रदेश भारत का पांचवां बढ़ा राज्य है। कृषि और माइनिंग के हिसाब से भी मध्य प्रदेश बड़ा राज्य है। एमपी में बहुत संभावनाएं हैं। ये एमपी को देश के पांच बढ़े राज्यों ला सकता है। एमपी ने 20 सालों में बड़ा परिवर्तन देखा है। पहले लोग निवेश करने से डरते थे। एमपी ने अब निवेश के मामलों बड़ा स्थान बना लिया है। एमपी आज ईवी के लीडिंग स्टेट में से एक है। एमपी में दो लाख ईवी वाहन पंजीकृत हो गए हैं, जो बड़ी बात है। एमपी निवेश के लिए बड़ा डेस्टिनेशन बनता जा रहा है।
नरेंद्र मोदी ने ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट में हुई देरी पर की माफी, बताया छात्रों के एग्जाम का असर
24 Feb, 2025 01:16 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट का उद्घाटन किया. इस दौरान समिट में थोड़ी देर से पहुंचे पर पीएम मोदी ने माफी मांगी. उन्होंने कहा कि आज मुझे यहां आने में विलंब हुआ, इसके लिए मैं आप सबसे क्षमा चाहता हूं. विलंब इसलिए हुआ क्योंकि कल जब मैं यहां पहुंचा तो एक बात ध्यान में आई कि आज 10वीं और 12वीं के छात्रों के एग्जाम हैं. उसका समय और मेरा राजभवन से निकलने का समय क्लैश हो रहा था. उसके कारण संभावना थी कि सुरक्षा के कारण अगर रास्ते बंद हो जाएं और बच्चों को एग्जाम के लिए जाने में कठिनाई हो जाए, ये कठिनाई न हो, बच्चे समय से अपने परीक्षा केंद्र पर पहुंच जाएं, इसके कारण मैंने निकलने में ही 10-15 मिनट की देरी कर दी.
पीएम ने समिट को संबोधित करते हुए कहा, ‘विकसित मध्य प्रदेश से विकसित भारत की यात्रा में आज का ये कार्यक्रम बहुत अहम है. इस भव्य आयोजन के लिए मैं मोहन यादव जी और उनकी पूरी टीम को बहुत-बहुत बधाई देता हूं. भारत के इतिहास में ऐसा अवसर पहली बार आया है, जब पूरी दुनिया भारत के लिए इतनी आशावादी है. पूरी दुनिया में चाहे सामान्य जन हों, अर्थनीति के विशेषज्ञ हों, विभिन्न देश हों या फिर संस्थाएं इन सभी को भारत से बहुत आशाएं हैं.’
उन्होंने कहा, ‘कुछ दिन पहले ही वर्ल्ड बैंक ने कहा है कि भारत आने वाले वर्षों में ऐसे ही दुनिया की फाटेस्ट ग्रोइंग इकोनॉमी बना रहेगा. कुछ ही दिन पहले क्लाइमेट चेंज पर UN की एक संस्था ने भारत को सोलर पावर की सुपरपॉवर कहा था. इस संस्था ने ये भी कहा कि जहां कई देश सिर्फ बातें करते हैं, वहीं भारत नतीजे लाकर दिखाता है.’
मध्य प्रदेश कृषि के मामले में भारत के टॉप के राज्यों में- PM
पीएम ने कहा, ‘मध्य प्रदेश जनसंख्या के हिसाब से भारत का 5वां बड़ा राज्य है. मध्य प्रदेश कृषि के मामले में भारत के टॉप के राज्यों में है. मिनरल्स के हिसाब से भी मध्य प्रदेश देश के टॉप 5 राज्यों में है. मध्य प्रदेश को जीवनदायिनी मां नर्मदा का भी आशीर्वाद प्राप्त है. मध्य प्रदेश में हर वो संभावना है, हर वो क्षमता है जो इस राज्य को GDP के हिसाब से भी देश के टॉप 5 राज्यों में ला सकता है. बीते 2 दशकों में मध्य प्रदेश ने ट्रांसफॉर्मेशन का नया दौर देखा है. एक समय था जब यहां बिजली और पानी की बहुत सारी दिक्कतें थीं. कानून-व्यवस्था की स्थिति तो और भी खराब थी. ऐसी हालत में यहां इंडस्ट्री का विकास बहुत मुश्किल था.’
उन्होंने कहा, ‘बीता दशक भारत के लिए एनर्जी सेक्टर की अभूतपूर्व वृद्धि का रहा है. खासतौर पर ग्रीन एनर्जी को लेकर भारत ने वो कर दिखाया है, जिसकी कल्पना तक मुश्किल थी.’
ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट में मेहमान डेढ़ घंट तक जाम में फंसे रहे , यातायात पुलिस विफल
24 Feb, 2025 11:40 AM IST | GRAMINBHARATTV.IN
भोपाल। राजधानी भोपाल में पहली बार हो रहे ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट में यातायात पुलिस बुरी तरह विफल रही। 25 दिन से चल रही तैयारी की सड़क पर खुली पोल। करीब सवा घंटे तक वाहन सड़कों पर फंसे रहे। कई बड़े करोबारी और निवेशकों को डेढ़ घंटे तक जाम में फंसे रहना पड़ा। सुबह 8 बजे से लेकर 9:20 बजे तक डिपो चौराहा पर यातयात बेतरतीब हो गया। इस आयोजन को लेकर एक महीने से तैयारी चल रही थी, पर जमीन पर वो नहीं दिखी। यातायात को बेहतर ढंग से मैनेज करने के लिए कई बार रिहर्सल की जा चुकी थी। कार्यक्रम में पीएम नरेंद्र मोदी की शिरकत को देखते हुए 5500 पुलिस जवान शहर की सड़कों पर तैनात थे। यातायात व्यवस्था की जिम्मेदारी एक हजार से अधिक जवानों के हाथ में थी। 25 आईपीएस अधिकारी इस कार्यक्रम की निगरानी कर रहे है।
डीसीपी ट्रैफिक संजय सिंह ने बताया कि सुबह 8 से 9 बजे के बीच ट्रैफिक का दबाव अधिक था। हमारा टारगेट था कि 9 बजे तक इन्वेस्टर्स समिट में जाने वाले मेहमानों को अंदर कर दिया जाए, ताकिप्रधानमंत्री के आगमन से एक घंटे पहले सड़क को क्लियर किया जा सके। लेकिन डिपो चौराहा पर जाम की स्थिति बनने के कारण सवा 9 बजे तक ही रोड क्लियर हो सका। बड़ी संख्या में मेहमानों ने स्मार्ट सिटी रोड से आना शुरू कर दिया, जबकि इस रोड को समिट में जाने वाले गेस्ट को इस्तेमाल की इजाजत नहीं थी। लोगों ने स्वेच्छा से इस रास्ते का इस्तेमाल किया। जब चौतरफा ट्रैफिक डिपो चौराहा पर पहुंचा, तो जाम की स्थिति बन गई। जाम की स्थिति बनने के बाद, कार्यक्रम में पहुंचने वाले मेहमानों के वाहनों को रॉन्ग साइड से निकालने का प्रयास किया गया, जिससे सड़क के दोनों ओर जाम लग गया। आम ट्रैफिक भी इसमें फंस गया। इसमें ई-रिक्शा, ऑटो और मैजिक वाहन भी शामिल थे।
जीआईएस के दौरान पर्यटन में निवेश की संभावनाओं के लिये खुलेंगे नए द्वार
24 Feb, 2025 11:00 AM IST | GRAMINBHARATTV.IN
- टूरिज्म समिट में शामिल होंगे अभिनेता पंकज त्रिपाठी, केंद्रीय पर्यटन मंत्री, सचिव सहित कई नामचीन हस्तियां
- विभिन्न निवेश परियोजनाओं के लिये 1000 हेक्टेयर भूमि चिह्नित
- पर्यटन नीति 2025 और फिल्म पर्यटन नीति 2025 में निवेशकों के लिए विशेष लाभ
भोपाल । ग्लोबल इन्वेस्टर मीट के दौरान पर्यटन क्षेत्र में निवेश के लिये संभावनाएं के नए द्वार खुलेंगे। आयोजन के दूसरे दिन 25 फरवरी को फ्यूचर रेडी मध्यप्रदेश के निर्माण में पर्यटन और संस्कृति के योगदान और अवसरों पर एक परिचर्चा का आयोजन किया जाएगा। इसमें माननीय केंद्रीय मंत्री श्री गजेंद्र शेखावत जी, सचिव, पर्यटन मंत्रालय भारत सरकार सुश्री वी विद्यावति, प्रमुख सचिव, पर्यटन एवं संस्कृति विभाग और प्रबंध संचालक म.प्र. टूरिज्म बोर्ड श्री शिव शेखर शुक्ला, इतिहासकार पद्मश्री के.के. मोहम्मद, अध्यक्ष, एडवेंचर टूर ऑपरेटर्स एसोसिएशन ऑफ इंडिया के अध्यक्ष पद्मश्री अजीत बजाज, अभिनेता श्री पंकज त्रिपाठी, कार्यकारी उपाध्यक्ष इंडियन होटल्स कंपनी लि. श्री रोहित खोसला, हेड कॉर्पोरेट कम्युनिकेशन्स एंड कॉर्पोरेट एफेयर्स मेक माई ट्रिप श्री समीर बजाज, निदेशक जेहनुमा होटल्स श्री अलि राशिद, अभिनेता श्री विजय विक्रम सिंह अपने विचार व्यक्त करेंगे।
पर्यटन अधोसंरचनाओं का विकास हो या फिर पर्यटकों की सुविधाओं में विस्तार, मध्यप्रदेश पर्यटन विभाग ने विभिन्न स्तर पर तैयारियां की है। प्रमुख सचिव श्री शुक्ला ने बताया कि पर्यटन क्षेत्र में निवेश को आकर्षित करने के लिए विभिन्न पर्यटन परियोजनाओं में कुल 1000 हेक्टेयर से अधिक भूमि चिह्नित की है। निवेशकों को इन स्थानों पर होटल, रिसोर्ट, गोल्फ कोर्स, वे-साइड एमिनिटिज इत्यादि परियोजनाएं शुरू करने पर नई पर्यटन नीति के तहत प्रोत्साहन दिया जाएगा।
रोप-वे से लेकर क्रूज में निवेश का अवसर
पब्लिक-प्राइवेट-पार्टनरशिप (पीपीपी) परियोजनाओं में हनुवंतिया, मांडू, ओरछा, अमरकंटक सहित विभिन्न पर्यटन गंतव्यों पर टेंट सिटीज, कारवां पर्यटन, रोपवे, गोल्फ कोर्स और स्टैचू ऑफ वननेस (ओंकारेश्वर) और स्टैचू ऑफ यूनिटी (केवड़िया, गुजरात) को जोड़ने वाले क्रूज पर्यटन के लिए निवेश के अवसर उपलब्ध है।
पर्यटन नीति और फिल्म पर्यटन नीति में निवेशकों को विशेष लाभ
पर्यटन नीति और फिल्म पर्यटन नीति में निवेशकों को विशेष लाभ दिया जाने का प्रावधान किया गया है। फिल्म शूटिंग की अनुमति के लिए पारदर्शी, समय सीमा के अंतर्गत दी जाने वाली ऑनलाइन सिंगल विंडो सिस्टम लागू किया गया है और जनजातीय भाषाओं जैसे मालवी, बुंदेलखंडी, आदि में फिल्में बनाने के लिए अतिरिक्त अनुदान दिया जाएगा, जिससे राज्य की सांस्कृतिक विविधता को बढ़ावा मिलेगा। बच्चों के सिनेमा और महिला केंद्रित फिल्मों को भी विशेष अनुदान दिया जाएगा, जिससे स्वस्थ मनोरंजन और महिलाओं के मुद्दों पर आधारित कहानियों को प्रोत्साहन मिलेगा। मध्य प्रदेश के ऐतिहासिक, सांस्कृतिक और धार्मिक व्यक्तित्वों पर आधारित फिल्मों के लिए भी अतिरिक्त अनुदान का प्रावधान है, ताकि राज्य की समृद्ध विरासत को सिनेमा के माध्यम से जन-जन तक पहुंचाया जा सके।
क्षेत्रीय भाषाओं के लिए विशेष अनुदान
क्षेत्रीय भाषाओं, जैसे मराठी, बंगाली, तमिल, तेलुगु, कन्नड़ और मलयालम में फिल्म निर्माण को प्रोत्साहित किया जाएगा, जिससे सिनेमा में विविधता बढ़ेगी और इन प्रदेशों में मध्य प्रदेश के पर्यटन स्थलों का प्रचार होगा। स्थानीय प्रतिभाओं को प्रोत्साहन देने के लिए अतिरिक्त अनुदान का प्रावधान है, जिससे स्थानीय फिल्म उद्योग को बढ़ावा मिलेगा। शॉर्ट फिल्मों के लिए भी वित्तीय सहायता दी जाएगी, जो स्वतंत्र फिल्म निर्माताओं के लिए महत्वपूर्ण साबित होगा और सिनेमा में रचनात्मकता को बढ़ावा देगा। कुल मिलाकर, यह नीति फिल्म निर्माण को सुगम बनाने, सांस्कृतिक विविधता को प्रोत्साहित करने और स्थानीय प्रतिभाओं को बढ़ावा देने के उद्देश्य से बनाई गई है।
2 करोड़ तक अनुदान
मध्य प्रदेश फिल्म पर्यटन नीति 2025 का मुख्य उद्देश्य राज्य में फिल्म निर्माण को बढ़ावा देना, रोजगार और आर्थिक गतिविधियों को बढ़ाना, तथा फिल्म निर्माण संबंधी आधारभूत ढांचे में निवेश आकर्षित करना है। नई नीति में वित्तीय अनुदान को महत्वपूर्ण रूप से बढ़ाया गया है। फीचर फिल्म के लिए अधिकतम अनुदान 2 करोड़ रुपए तक, वेब सीरीज के लिए 1.50 करोड़ रुपए तक, टीवी शो/सीरियल्स के लिए 1 करोड़ रुपए तक, डॉक्यूमेंट्री के लिए 40 लाख रुपए तक, अंतर्राष्ट्रीय फिल्म के लिए 10 करोड़ रुपए तक, और शॉर्ट फिल्मों के लिए 15 लाख रुपए तक का अनुदान दिया जा सकता है। यह अनुदान कुल शूटिंग दिनों के 75% मध्य प्रदेश में होने पर ही मिलेगा। यह नीति प्रदेश में फिल्म निर्माण को प्रोत्साहित करेगी, जिससे स्थानीय अर्थव्यवस्था को लाभ होगा और पर्यटन को बढ़ावा मिलेगा। इसके साथ ही, यह राज्य को फिल्म निर्माण के एक प्रमुख केंद्र के रूप में स्थापित करने में मदद करेगी।
मध्य प्रदेश की फिल्म पर्यटन नीति 2025 कई महत्वपूर्ण क्षेत्रों पर ध्यान केंद्रित करती है। सिनेमाघरों के बुनियादी ढांचे को मजबूत करने के लिए, नए सिंगल स्क्रीन सिनेमाघरों के निर्माण और मौजूदा सिनेमाघरों के नवीनीकरण के लिए निवेश आकर्षित करने के उपाय किए गए हैं, जिससे राज्य में सिनेमाघरों की कमी को दूर किया जा सके। गुणवत्तापूर्ण डॉक्यूमेंट्री फिल्म निर्माण को बढ़ावा देने के लिए राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय फिल्म समारोहों में पुरस्कार प्राप्त डॉक्यूमेंट्री फिल्मों को अनुदान प्राप्त करने का अवसर दिया गया है। अंतरराष्ट्रीय फिल्म निर्माण परियोजनाओं को आकर्षित करने के लिए 10 करोड़ तक के प्रोत्साहन दिए जाएंगे, जिससे विदेशी फिल्म निर्माताओं को राज्य की खूबसूरत लोकेशंस और संस्कृति को वैश्विक स्तर पर प्रदर्शित करने के लिए प्रोत्साहित किया जा सके। यह नीति सिनेमा उद्योग के सभी पहलुओं को शामिल करते हुए समग्र विकास का दृष्टिकोण अपनाती है, जिसमें स्थानीय प्रतिभाओं, क्षेत्रीय भाषाओं, महिलाओं के सशक्तिकरण और बुनियादी ढांचे के विकास को प्राथमिकता दी गई है।
मध्य प्रदेश पर्यटन नीति 2025 के तहत कई महत्वपूर्ण कदम उठाए गए हैं। निवेशकों को आकर्षित करने के लिए पर्यटन बोर्ड में निवेश प्रोत्साहन सेल की स्थापना की गई है। भूमि आवंटन की प्रक्रिया को पारदर्शी बनाया गया है और निजी निवेशकों को लैंड पार्सल, मार्ग सुविधा केंद्र और हेरिटेज संपत्तियां आवंटित की जाएंगी। बड़ी परियोजनाओं को विशेष प्रोत्साहन दिया जाएगा, जैसे कि 100 करोड़ से अधिक के निवेश वाली अल्ट्रा मेगा परियोजनाओं को कलेक्टर गाइडलाइन दर पर 90 वर्षों के लिए भूमि का सीधा आवंटन किया जाएगा। पर्यटन परियोजनाओं के लिए 15% से 30% तक पूंजी अनुदान दिया जाएगा, जिसकी अधिकतम सीमा 90 करोड़ रुपए तक होगी। वाइल्ड लाइफ रिसॉर्ट्स और इलेक्ट्रिक क्रूज को विशेष प्रोत्साहन दिया जाएगा। दुर्गम क्षेत्रों में पर्यटन परियोजनाओं की स्थापना पर अतिरिक्त अनुदान दिया जाएगा। निवेशकों को उनकी आवश्यकताओं के अनुसार प्रोत्साहन पैकेज भी दिया जा सकेगा। नई पर्यटन संभावनाओं वाले क्षेत्रों का विकास किया जाएगा और निजी निवेश को प्रोत्साहित किया जाएगा। विभिन्न विभागों से अनुमति प्राप्त करने के लिए सिंगल विंडो सिस्टम लागू किया गया है, जिससे निवेशकों को समयबद्ध तरीके से अनुमतियां मिल सकेंगी। लोक सेवा गारंटी अधिनियम के तहत अनुमतियों को समय सीमा में प्रदान किया जाएगा। गोल्फ टूरिज्म को बढ़ावा देने के लिए निजी निवेशकों को पीपीपी मॉडल के तहत अनुबंध पर जमीन दी जाएगी। निजी निवेशकों को गोल्फ टूरिज्म के लिए आवंटित भूमि का १०% व्यवसायिक उपयोग करने की अनुमति दी जाएगी। आवंटित मार्ग सुविधा केंद्र को कम हुई भूमि के बदले समतुल्य मूल्य की भूमि उपलब्ध कराई जाएगी। नर्मदा घाटी विकास प्राधिकरण, जल संसाधन विभाग, लोक निर्माण विभाग के रेस्ट हाउस, गेस्ट हाउस, डाक बंगला, सर्किट हाउस आदि को पर्यटन परियोजना की स्थापना के लिए निजी निवेशकों को लीज पर दिया जाएगा। स्टार्टअप उद्यमियों को निविदाओं में भाग लेने का अवसर मिलेगा। कुल मिलाकर, यह नीति निवेशकों को आकर्षित करने, पर्यटन को बढ़ावा देने और राज्य में पर्यटन संबंधी आधारभूत ढांचे का विकास करने के उद्देश्य से बनाई गई है जिससे निश्चित ही पर्यटन में नए निवेश के द्वार खुलेंगे।
प्रधानमंत्री श्री मोदी आज करेंगे जीआईएस का शुभारंभ
24 Feb, 2025 10:00 AM IST | GRAMINBHARATTV.IN
24 - 25 फरवरी को भोपाल होगा इंडस्ट्री लीडर्स का महामंच
जीआईएस एमपी में निवेश की अनंत संभावनाओें पर फोकस
भोपाल । मध्यप्रदेश निवेशकों, व्यवसायियों और उद्योगों के लिए अनंत संभावनाओं के उद्देश्य से बहुप्रतीक्षित इन्वेस्ट मध्यप्रदेश - ग्लोबल इंवेस्टर्स समिट-2025 की मेजबानी करने के लिए तैयार है। 24-25 फरवरी, 2025 को भोपाल में पहली बार आयोजित होने वाली समिट मध्यप्रदेश के लिए ऐतिहासिक है। समिट के आयोजन से प्रदेश की राजधानी भोपाल, देश के सबसे बड़े निवेश सम्मेलन का केंद्र बन गई है और म.प्र. उद्योग हब बनकर उभर रहा है। प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी 24 फरवरी को 2 दिवसीय ग्लोबल इंवेस्टर्स समिट का शुभारंभ करेंगे। भोपाल के राष्ट्रीय मानव संग्रहालय में होने वाली इस समिट में प्रधानमंत्री श्री मोदी मध्यप्रदेश की औद्योगिक नीतियों का शुभारंभ करेंगे और देश-विदेश से आए निवेशकों, उद्योगपतियों, प्रवासी भारतीयों और स्टार्ट-अप्स को संबोधित करेंगे और मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव की उपस्थिति में राज्य की 18 से अधिक नई नीतियों का अनावरण करेंगे। इसमें औद्योगिक, खाद्य, निर्यात, एमएसएमई, स्टार्ट-अप्स, जीसीसी, सेमी-कंडक्टर, ड्रोन, पर्यटन, फिल्म निर्माण नीति शामिल है। प्रधानमंत्री श्री मोदी के संबोधन से पहले राज्य की औद्योगिक और निवेश क्षमता को प्रदर्शित करने वाला 5 मिनट की वीडियो फिल्म प्रदर्शित की जाएगी।
समिट में सहभागिता के लिए 25 हजार से अधिक पंजीकरण प्राप्त हुए हैं। इनमें 50 से अधिक देशों के 100 से अधिक विदेशी प्रतिनिधि भोपाल आ रहे है। इसमें राजदूत, उच्चायुक्त और महावाणिज्य दूत शामिल हैं। समिट में व्यापक पैमाने पर भागीदारी इस बात का प्रमाण है कि मध्यप्रदेश ने देश-दुनिया के निवेशकों को आकर्षित किया है।
समिट में भाग लेने वाले प्रमुख उद्योगपतियों में आदित्य बिड़ला समूह के अध्यक्ष श्री कुमार मंगलम बिड़ला, अडानी समूह के अध्यक्ष श्री गौतम अडानी, गोदरेज इंडस्ट्रीज लिमिटेड के अध्यक्ष और एमडी श्री नादिर गोदरेज, रसना प्राइवेट लिमिटेड के समूह अध्यक्ष श्री पिरुज खंबाटा, भारत फोर्ज लिमिटेड के अध्यक्ष और एमडी श्री बाबा एन कल्याणी, सन फार्मास्युटिकल्स लिमिटेड के ग्लोबल हेड ऑफ ऑपरेशंस श्री राहुल अवस्थी और एसीसी लिमिटेड के सीईओ श्री नीरज अखौरी जैसे दिग्गज शामिल हैं।
जीआईएस-2025 में कृषि, खाद्य प्रसंस्करण, कपड़ा और वस्त्र, खनन, सूचना प्रौद्योगिकी, नवीकरणीय ऊर्जा, शहरी विकास, पर्यटन और खाद्य जैसे प्रमुख निवेश क्षेत्र विभिन्न सम्मेलनों के माध्यम से निवेशकों को अनंत संभावनाओं से परिचित कराएंगे।
गृह मंत्री श्री शाह करेंगे 25 फरवरी को जीआईएस का समापन
जीआईएस के दूसरे दिन, 25 फरवरी को समापन में मुख्य सचिव श्री अनुराग जैन राज्य के विकास के संदर्भ में भविष्य की रूपरेखा पर प्रकाश डालेंगे। इसके बाद मध्यप्रदेश - अनंत संभावनाएं नामक वीडियो की प्रस्तुति होगी, जिसमें राज्य की विशाल क्षमता और अवसरों को प्रदर्शित किया जाएगा। प्रमुख उद्योगपति सभा को संबोधित कर अपना विजन और अनुभव साझा करेंगे। केंद्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री श्री अमित शाह का मुख्य संबोधन होगा। मुख्यमंत्री डॉ. यादव भी संबोधित करेंगे। दो दिवसीय निवेश शिखर सम्मेलन के दौरान मुख्यमंत्री डॉ. यादव प्रमुख उद्योगपतियों के साथ वन-टू-वन मीटिंग और प्रदेश के औद्योगिक निवेश संभावनाओं पर परस्पर चर्चा करेंगे।
भागीदार देश सत्र : शिखर सम्मेलन ने वैश्विक भागीदारी को आकर्षित किया है, जिसमें भागीदार देश विभिन्न सत्रों की मेजबानी कर रहे हैं। इनमें ग्लोबल साउथ, जर्मनी और मध्यप्रदेश के लिए निवेश रणनीतियों और जापान और मध्यप्रदेश के बीच आर्थिक सहयोग पर सत्र शामिल हैं। कनाडा के साथ एक राउण्ड टेबल मीटिंग, पोलैंड के साथ एक कंट्री सेशन और एक बहुराष्ट्रीय निवेश सत्र भी होगा।
विभागीय शिखर सम्मेलन: नवीनीकृत मध्यप्रदेश शिखर सम्मेलन, कुसुम परियोजनाओं के लिए हस्ताक्षरित पॉवर परचेज एग्रीमेंट (पीपीए), लेटर ऑफ अवार्ड (एलओए) वितरण और बीईएसएस परियोजना के साथ मुरैना सौर पर पूर्व-बोली बैठकों सहित हरित ऊर्जा परियोजनाओं को बढ़ाने पर ध्यान केंद्रित करेगा।
टेक-इन्वेस्ट समिट: यह समिटराज्य को टेकसंचालित अर्थव्यवस्था बनाने की दिशा में संभावनाओं को उजागर करेगा, जिसमें आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस, स्मार्ट शहरों और डिजिटल परिवर्तन पर चर्चा होगी, जिसमें एक समर्पित एआई और आईटी स्टार्ट-अप इनक्यूबेशन नीति का शुभारंभ होगा।
एमएसएमई और स्टार्ट-अप सत्र : मध्यप्रदेश का जीवंत एमएसएमई और स्टार्ट-अप पारिस्थितिकी तंत्र नवाचार और विकास को बढ़ावा देने के लिए पूरी तरह तैयार है। यह शिखर सम्मेलन उद्यमियों, निवेशकों और औद्योगिक संगठनों को जोड़ता है। साथ ही सहयोग और विस्तार के अवसरों को भी बढ़ावा देता है। शिखर सम्मेलन राज्य में स्टार्ट-अप और एमएसएमई पारिस्थितिकी तंत्र पर केंद्रित है। प्रमुख यूनिकॉर्न, स्टेबिलिटी और ब्रांड रिस्पांसिबिलिटी स्टार्ट-अप शिखर सम्मेलन का हिस्सा बन रहे है।
खनन शिखर सत्र : समिट में एनएमईटी फंड का उपयोग करके तांबा और रणनीतिक खनिजों का पता लगाने के लिए एमपीएसएमसीएल और हिंदुस्तान कॉपर लिमिटेड के बीच समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर किए जाएंगे।
शहरी विकास शिखर सत्र: इस सत्र में किफायती आवास, शहरी नियोजन में एआई और शहरों में नवीकरणीय ऊर्जा अपनाने संबंधी चर्चा रहेगी।
कपड़ा और परिधान सत्र : समिट में तकनीकी और सुरक्षात्मक वस्त्रों को बढ़ाने पर विशेष रूप से चर्चा की जाएगी। सत्र में जापान की मशहूर कम्पनी यूनिक्लो मध्यप्रदेश के वस्त्र और परिधान उद्योग की संभावनाओं पर चर्चा करेंगे।
पर्यटन सत्र : सत्र में इंडियाहाइक्स के साथ बहु-दिवसीय ट्रेकिंग मार्गों को विकसित करने के लिए समझौता ज्ञापन, ग्वालियर किले की रोशनी के लिए इंटरग्लोब एविएशन (इंडिगो) के साथ एक सीएसआर साझेदारी आदि सहित प्रमुख पहलों की घोषणा की जाएगी।
प्रवासी मध्यप्रदेश सत्र: ग्लोबल इंवेस्टर्स समिट में प्रवासी मध्यप्रदेश के प्रवासी नागरिक शामिल होंगे। यह सत्र वैश्विक भारतीय प्रवासी को जोड़ने, नए निवेश के अवसरों को बढ़ावा देने और सांस्कृतिक और आर्थिक संबंधों को मजबूत करने के लिए प्रमुख मंच प्रदान करेगा।
क्षेत्रीय सत्र: जीआईएस में क्षेत्रीय शिखर सम्मेलनों की श्रृंखला भी होगी, जो प्रमुख क्षेत्रों में निवेश की क्षमता को अनलॉक करेगी। इसमें -
मॉलीक्युल्स टू मशीन (स्वास्थ्य सेवा, फार्मा और चिकित्सा उपकरण): आयात निर्भरता, स्वदेशी उत्पादन को बढ़ावा देने, उद्योग परिवर्तन, सरकारी नीतियों, डिजिटल परिवर्तन और नियामक चुनौतियों पर चर्चा के साथ भारत में फार्मा और मेडटेक की विकास कहानी का प्रदर्शन होगा।
सीड-टू-शेल्फ (खाद्य प्रसंस्करण, कृषि और बागवानी): इस सत्र में कृषि से तैयार उत्पादों की मूल्य श्रृंखला, खाद्य प्र-संस्करण और बागवानी में निवेश आकर्षित करने, क्षेत्र की जैव विविधता, कृषि उत्पादन और औद्योगिक परिदृश्य पर विषय विशेषज्ञों के साथ विस्तृत चर्चा की जाएगी।
नए युग का निर्माण (कपड़ा और परिधान): इस सत्र में मध्यप्रदेश की प्रचुर कच्ची सामग्री उपलब्धता, मजबूत बुनियादी ढांचा के साथ-साथ मैन्यूफैक्चरिंग, डिजाईन, इनोवेशन और निर्यात विस्तार बढ़ाने पर चर्चा की जाएगी।
कौशल विकास सत्र: इस सत्र में युवाओं में कौशल विकास प्रतिभा का पोषण और बढ़ते कार्य बल को सशक्त बनाने पर विस्तार से चर्चा की जाएगी। मुख्यमंत्री सीखो-कमाओ योजना जैसी पहलों के साथ, मध्यप्रदेश को एक अग्रणी कौशल विकास केंद्र के रूप में उभर रहा है, जो युवाओं को रोजगार के लिये तैयार कर रहा है।
खाद्य एवं भंडारण सत्र : इस सत्र में मध्यप्रदेश को दुनिया से जोड़ना के उद्देश्य से प्रदेश के सुविकसित परिवहन बुनियादी ढांचे और अग्रणी उद्योगों के प्रतिनिधियों के साथ विचार-विमर्श किया जाएगा।
सहकारिता सत्र: इस सत्र में राज्य के आर्थिक विकास में सहकारी समितियों की भूमिका को उजागर करना और सहकारी समितियों को मजबूत करने के लिए रणनीतियों पर चर्चा की जाएगी।
सड़क अवसंरचना सत्र: इस सत्र में मध्यप्रदेश में सड़क अवसंरचना विकास में निवेश के अवसरों, नवीन समाधानों और भविष्य की संभावनाओं पर विषय-विशेषज्ञों के साथ विस्तृत चर्चा की जाएगी।
भविष्य की चुनौतियां
एमपी स्टार्ट-अप पिचिंग सत्र: इस सत्र में स्टार्ट-अप्स को अपने नवीन विचारों और समाधानों को पिच करने के उद्देश्य से युवा स्टार्ट-अप उद्यमी सम्मिलित होंगे। इससे राज्य में उद्यमिता और निवेश को बढ़ावा मिलेगा।
ग्रीन हाइड्रोजन: इस सत्र में टिकाऊ ऊर्जा स्रोत के रूप में ग्रीन हाइड्रोजन की क्षमता, निवेश के अवसरों और इस तकनीक को आगे बढ़ाने में मध्यप्रदेश की भूमिका पर चर्चा की जाएगी।
शिखर सम्मेलन और सत्रों के अलावा, कपड़ा और परिधान के साथ सीआईआई बैठकें, एमएसएमई परिषद के साथ बैठक और विकसित भारत युवा नेता संवाद भी होगा।
प्रदर्शनियाँ
जीआईएस-2025 में इन निवेश शिखर सम्मेलनों के समानांतर ऑटो एक्सपो जोन, इलेक्ट्रिक वाहनों और स्वच्छ गतिशीलता में नवाचारों का प्रदर्शन, टेक्सटाइल एक्सपो जोन, टिकाऊ और सुरक्षात्मक वस्त्रों का प्रदर्शन और एमपी मंडप प्रदर्शनियाँ, मध्यप्रदेश की औद्योगिक ताकत और निवेश प्रोत्साहन को उजागर करना सहित कई प्रदर्शनियाँ होंगी।
B2B और B2G मीटिंग:
जीआईएस-2025 के अंतर्गत बीट-2-बी (बिजनेस टू बिजनेस) और बिजनेस-टू-गवर्नमेंट (बी2जी) मीटिंग के माध्यम से व्यवसायों के लिए विशेष नेटवर्किंग प्लेटफ़ॉर्म प्रदान किया जाएगा, जिससे निवेशक सीधे नीति निर्माताओं, नियामक निकायों और उद्योग के नेताओं से जुड़ सकते हैं।
एमपी बिजनेस एग्जीक्यूटिव मीट, एमपी गवर्नमेंट और बिजनेस मीट और विकसित भारत यंग लीडर्स डायलॉग जैसे प्रमुख कार्यक्रम रणनीतिक व्यावसायिक नेटवर्किंग, नियामक चर्चा और उद्यमिता विकास की सुविधा प्रदान करेंगे।
एक्सपो और प्रदर्शनी:
शिखर सम्मेलन में कई समानांतर एक्सपो आयोजित किए जाएँगे, जिनमें
मध्यभारत फ़ैब्रिक और फ़ैशन एक्सपो में मध्यप्रदेश के समृद्ध कपड़ा उद्योग, परिधान में नवाचार और उभरते वैश्विक फ़ैशन रुझानों को प्रदर्शित किया जाएगा।
एमपी मोबिलिटी एक्सपो - इस एक्सपो में राज्य की ऑटोमोटिव क्षेत्र में हुई प्रगति को प्रदर्शित किया जाएगा।
ओडीओपी विलेज: राज्य की एक जिला, एक उत्पाद (ओडीओपी) पहल, स्थानीय कारीगरों और लघु उद्योगों का प्रदर्शन किया जाएगा।
एमपी पैवेलियन प्रदर्शनी राज्य के औद्योगिक परिदृश्य और व्यावसायिक प्रोत्साहनों के बारे में जानकारी प्रदान करती है।
एमपी डिजिटल एक्सपीरियंस ज़ोन - प्रधानमंत्री श्री मोदी 5,000 वर्ग फीट में निर्मित इमर्सिव सेंटर का भ्रमण करेंगे। इसमें वे मध्यप्रदेश की समृद्ध विरासत, ऐतिहासिक धरोहर और पर्यटन स्थलों का वर्चुअल अनुभव लेंगे। यह जोन जीआईएस में आने वाले प्रतिभागियों को मध्यप्रदेश की परंपरा और नवाचार के संगम का अनुभव कराएगा।
सामान्य प्रदर्शनी - व्यवसायियों को अपने उत्पादों, सेवाओं और तकनीकी प्रगति को उजागर करने के लिए मंच प्रदान करना। जीआईएस-2025 कुशल यातायात और सुरक्षा प्रबंधन, ई-कार्ट स्टेशन और शटल सेवाओं के साथ सहज कार्यक्रम अनुभव प्रदान करेगा। स्थिरता और नवाचार पर केंद्रित, इसका उद्देश्य कार्बन-रहित आयोजन बनना है। जीआईएस-2025, निवेश शिखर सम्मेलन से कहीं अधिक भारत के सबसे तेजी से बढ़ते राज्यों में से एक मध्यप्रदेश में आर्थिक अवसरों का प्रवेश द्वार है। यह उद्योग एवं रोजगार वर्ष 2025 की शुरुआत का प्रतीक है, जिसका उद्देश्य रोजगार सृजित करना, कौशल विकास को बढ़ाना और विश्व स्तरीय बुनियादी ढाँचा तैयार करना है। यह शिखर सम्मेलन निवेशकों के विश्वास को सुदृढ़ करेगा, नई नीतियों को क्रियान्वित करेगा और रोजगार के अवसर खोलेगा, जिससे राज्य विकसित भारत-विकसित मध्यप्रदेश की ओर अग्रसर होगा।
जीआईएस की सुरक्षा के बीच वीआईपी रोड पर ई-रिक्शा चालक का स्टंट
24 Feb, 2025 09:08 AM IST | GRAMINBHARATTV.IN
भोपाल। राजधानी भोपाल में जीआईएस की तैयारी को लेकर पुलिस शहर भर में सुरक्षा के लिये पुख्ता इंतेजाम कर रही है। इसमें शामिल होने के लिये प्रधानमंत्री के आगमन को लेकर वीवीआईपी मार्गो पर भी पुलिस कर्मी लगातार पैट्रोलिंग कर रहे है। इसी सुरक्षा इंतेजामो की तैयारियो के बीच वीआईपी रोड पर एक ई-रिक्शा चालक द्वारा किये जा रहे स्टंट का वीडियो सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर वायरल हो रहा है। वायरल वीडियो में देखा जा सकता है कि रात के समय एक ई-रिक्शा चालक पहले तो तेज स्पीड से अपने रिक्शा को भगा कर लाता है, और फिर तीन की जगह 2 पहियो पर उसे काफी दूर तक चलाता है। उसके पीछे ही आ रही एक कार भी नजर आ रही है। ई-रिक्शा चालक के बीच सड़क पर किये जा रहे ऐसे स्टंट के कारण हादसा होने की संभावना है। वायरल वीडियो के आधार पर पुलिस जल्द संज्ञान लेकर आरोपी चालक के खिलाफ कार्यवाही कर सकती है।
ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट में पार्किंग प्लान
24 Feb, 2025 08:06 AM IST | GRAMINBHARATTV.IN
1149 इलेक्ट्रिक वाहन ले जाएंगे आयोजन स्थल तक
अतिथियों के प्रवेश और निकास की सुविधाजनक व्यवस्था
भोपाल । इंदिरा गांधी राष्ट्रीय मानव संग्रहालय में 24 एवं 25 फरवरी को आयोजित ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट में शामिल हो रहे अतिथियों के वाहनों के लिये पहले ही पार्किंग की व्यापक व्यवस्था की गई है। साथ ही आयोजन स्थल से वाहनों के निकास की व्यवस्था भी दुरुस्त की गई है। वाहनों की पार्किंग जारी किए गए पास के मुताबिक की गई है। अतिथियों के वाहन पार्किंग में रोक दिए जाएंगे और वहां से आयोजन स्थल तक जाने के लिए ई-बस और कार की व्यवस्था की गई है। तीन प्रकार की ई-बस के अतिरिक्त 973 कार भी इसमें शामिल हैं।
पार्किंग व्यवस्था इस प्रकार होगी
गवर्नमेंट ऑफिशियल्स : स्मार्ट सिटी पार्किंग और वीआईपी पार्किंग नंबर 2 में व्यवस्था होगी। अधिकारी अपने वाहन से आयोजन स्थल तक जा सकेंगे।
गेस्ट ऑफ़ ऑनर (फाइव स्टार कैटेगरी) : वीआईपी पार्किंग नंबर वन। यहां से एमपीआईडीसी द्वारा वाहन की व्यवस्था की जाएगी।
गेस्ट ऑफ़ ऑनर (अन्य): 23वीं बटालियन ग्राउंड। अपने वाहन से जा सकेंगे।
स्पेशल इनवाइटीः रीजनल कॉलेज, डेमोंसट्रेशन स्कूल और पुलिस रेडियो ग्राउंड (स्मार्ट सिटी पार्क के पास) यहां से ई-बस और ट्रैवलर से आयोजन स्थल तक पहुंचाया जाएगा।
मीडियाः पुलिस रेडियो ग्राउंड (स्मार्ट सिटी पार्क के पास) और मैरिज गार्डन (पुलिस रेडियो ग्राउंड के पास)। यहां से ई-बस और ट्रैवलर से आयोजन स्थल तक पहुंचाया जाएगा।
फॉरेन डेलीगेटः सैर सपाटा में पार्किंग, फिर यहां से एमपीआईडीसी द्वारा वाहन की व्यवस्था की जाएगी।
एनआरआई/ओसीआई / पीआईओ / एमपी डायस्पोराः पुलिस रेडियो ग्राउंड (स्मार्ट सिटी पार्क के पास)। यहां से एमपीआईडीसी द्वारा वाहन की व्यवस्था की जाएगी।
डेलिगेट्स (जो होटल में ठहरे हैं या स्थानीय) दशहरा मैदान की पार्किंग में परिवर्तन कर टीटी नगर मल्टी लेवल कार पार्किंग एवं राम मंदिर अटल पथ पर डेलीगेट्स के वाहनों की पार्किंग व्यवस्था की गयी है। यहां से ट्रैवलर एवं अन्य इलेक्ट्रिक वाहनों द्वारा डेलिगेट्स को ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट - (इंदिरा गाँधी मानव संग्रहालय) तक ले जाया जाएगा। डेलीगेट्स जो कि प्रधानमंत्री श्री मोदी के कार्यक्रम के लिये आमंत्रित हैं, उन्हें सुबह 8:30 बजे तक कार्यक्रम स्थल पर पहुंचना होगा।
ऑर्गेनाइजर के लिए डीटीई पार्किंग, इवेंट टीम, सर्विस प्रोवाइडर और वॉलिंटियर के लिए दशहरा मैदान और स्मार्ट सिटी गवर्नमेंट हाउसिंग पार्किंग में व्यवस्था होगी।
सभी को पार्किंग में सुबह 6:30 बजे तक पहुंचना होगा, जहां से आयोजन स्थल तक पहुंचने के लिए सुबह 7:30 बजे तक का समय निर्धारित है।
प्रधानमंत्री श्री मोदी के कार्यक्रम के लिये मुख्य सभागार में गेस्ट ऑफ़ ऑनर (फाइव स्टार कैटेगरी) मुख्य हाल के द्वार क्रमांक 1 से प्रवेश करेंगे एवं अन्य गेस्ट ऑफ़ ऑनर, फॉरेन डेलीगेट, गवर्नमेंट आफिशियल्स एवं ऑर्गेनाइजर को द्वार क्रमांक-2 से प्रवेश दिया जायेगा।
स्पेशल इन्वाइटीस, मीडिया एवं NRI (डायस्पोरा) के प्रवेश की व्यवस्था द्वार क्रमांक 3 एवं 4 से की गई है। डेलिगेट्स (सुबह 7:30 बजे ) के प्रवेश की व्यवस्था द्वार क्रमांक 5 एवं 6 से की गई है। सम्मानित अतिथिगणों से अनुरोध किया गया है कि उच्च सुरक्षा मानकों के अनुपालन में कृपया कम से कम सामान लेकर चलें। सुरक्षा और सुविधा के लिए सभी का सहयोग अपेक्षित है।
प्रधानमंत्री मोदी के मन की बात का 119वां एपिसोड
23 Feb, 2025 10:00 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
भोपाल : प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के देशवासियों से आत्मीय संवाद के अनुक्रम में 'मन की बात' के 119वें एपिसोड का रविवार को सजीव प्रसारण हुआ। मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने समत्व भवन (मुख्यमंत्री निवास) के निज कार्यालय कक्ष से प्रधानमंत्री मोदी के मन की बात प्रसारण का श्रवण किया।
मन की बात के इस एपिसोड में प्रधानमंत्री मोदी ने उत्तराखंड में हाल ही में सम्पन्न हुए राष्ट्रीय खेलों का जिक्र करते हुए कहा कि इसमें देशभर के 11 हजार से अधिक एथलीट्स ने शानदार प्रदर्शन किया। प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि राष्ट्रीय खेलों में इस आयोजन ने देवभूमि के नए स्वरूप को पेश किया। उन्होंने इन खेलों में हुए कुछ यादगार प्रदर्शनों की भी चर्चा की। प्रधानमंत्री मोदी ने मध्यप्रदेश के 19 साल के पोल वाल्टर देव कुमार मीणा की सराहना करते हुए कहा कि देव कुमार ने साबित किया है कि भारत का खेल भविष्य बेहद प्रतिभावान पीढ़ी के हाथों में है। प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि उत्तराखंड में हुए राष्ट्रीय खेलों ने हमें यह भी दिखाया है कि कभी हार न मानने वाले ‘जीतते’ जरूर हैं। कम्फर्ट के साथ कोई चैम्पियन नहीं बनता।
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी द्वारा प्रदेश के पोल वाल्टर की सराहना से हम गौरवान्वित हैं। पोल वाल्ट खेल में देव कुमार का उत्कृष्ट प्रदर्शन यह बताता कि हमारा प्रदेश खेलों और खिलाड़ियों के विकास और इनके प्रोत्साहन में कितनी तेजी से आगे बढ़ रहा है।
डिक्की छोटे और मध्यम उद्यमियों को बड़े निवेशकों के साथ जोड़ेगा
23 Feb, 2025 09:37 PM IST | GRAMINBHARATTV.IN
इन्वेस्टर्स समिट में बड़े औद्योगिक समूहों के साथ एंकर यूनिट के लिए होगी चर्चा
भोपाल। मध्यप्रदेश में निवेश करने के इच्छुक बड़े उद्योगपतियों को छोटी इकाइयों की आवश्यकता होती है। इस जरूरत को अवसर में बदलने और बड़े निवेशकों को सहयोग देने के लिए डिक्की (दलित इंडियन चैंबर ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्री) पूरी तरह से तैयार है। डिक्की के अध्यक्ष डॉ. अनिल सिरवैया ने बताया कि संगठन एससी-एसटी उद्यमियों को उद्योग स्थापित करने के लिए विशेष अनुदान और सब्सिडी उपलब्ध करवा रहा है।
डिक्की ने एससी-एसटी उद्यमियों को वित्तीय सहायता प्रदान करने हेतु सिडबी, एसबीआई और सेंट्रल बैंक ऑफ इंडिया के साथ एमओयू किए हैं। इन समझौतों के तहत एससी-एसटी उद्यमियों को केवल 4% ब्याज दर पर 20 करोड़ रुपये तक का लोन उपलब्ध कराया जाएगा। इसके अलावा, 400-400 करोड़ रुपये के वेंचर कैपिटल फंड की भी स्थापना की गई है। यह सहायता मुख्य रूप से फूड प्रोसेसिंग, टेक्सटाइल, आईटी, फेब्रिकेशन, टूरिज्म सहित विभिन्न क्षेत्रों में उद्यमिता को बढ़ावा देने के लिए दी जाएगी।
ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट के माध्यम से डिक्की एंकर यूनिट डेवेलपमेंट की अवधारणा को लागू करने जा रहा है, जिससे एमएसएमई इकाइयों की स्थापना को प्रोत्साहन मिलेगा।
देश में अफर्मेटिव एक्शन पॉलिसी प्रभावी रूप से लागू है, जिसे केंद्र सरकार, सीआईआई और डिक्की संयुक्त रूप से बढ़ावा दे रहे हैं। इस नीति के तहत बड़े उद्योगों को एससी-एसटी वर्ग के उद्यमियों को वेंडर के रूप में शामिल करने की अपेक्षा की जाती है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी समावेशी आर्थिक विकास को लेकर गंभीर हैं और 'सबका साथ, सबका विकास' के मूलमंत्र को ध्यान में रखते हुए केंद्र सरकार की अफर्मेटिव एक्शन पॉलिसी बनाई गई है।
डिक्की ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट को एससी-एसटी युवाओं के आर्थिक विकास और रोजगार सृजन के लिए एक बड़े अवसर के रूप में देख रहा है। मध्यप्रदेश सरकार के साथ मिलकर इस दिशा में कार्य किया जा रहा है। मुख्यमंत्री मोहन यादव ने एससी-एसटी वर्ग के युवाओं और उद्यमियों को विशेष सहायता प्रदान करने के लिए महत्वपूर्ण पहल की है।
समिट से दो दिन पूर्व, ट्राइबल ब्लॉक और आरक्षित विधानसभा क्षेत्रों में संचालित उद्योगों की 104 करोड़ रुपये की बकाया सब्सिडी को डीबीटी के माध्यम से उद्यमियों के खातों में स्थानांतरित किया गया। मुख्यमंत्री ने डिक्की मध्यप्रदेश के अध्यक्ष डॉ. अनिल सिरवैया के प्रयासों की सराहना करते हुए उन्हें बधाई दी।
डिक्की छोटे और मध्यम उद्यमियों को सशक्त बनाने और उन्हें बड़े औद्योगिक समूहों के साथ जोड़ने के लिए निरंतर कार्य कर रहा है, जिससे समावेशी आर्थिक विकास को बढ़ावा मिले।